हिमाचल प्रदेश में मौसम साफ होने के बावजूद सुबह शाम कड़ाके की सर्दी पड़ रही है। प्रदेश के 16 शहरों में रात का तापमान माइनस में चला गया है। इस सीजन में पहली बार ऐसा हुआ है, जब एक साथ 16 शहरों का तापमान माइनस में गया है। 10 दिसंबर को 13 शहरों का पारा माइनस में गया था। ऊंचे पहाड़ों से ज्यादा मैदानी इलाकों में सर्दी पड़ रही है। शिमला का न्यूनतम तापमान 4.4 डिग्री सेल्सियस चल रहा है। वहीं प्रदेश के सबसे गर्म शहर ऊना का न्यूनतम तापमान माइनस 0.8 डिग्री तक लुढ़क गया है। इसी तरह हमीरपुर का न्यूनतम तापमान माइनस 0.4 डिग्री, सोलन का -0.5 डिग्री, मनाली का -0.2 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया है। इससे सुबह शाम पहाड़ों से ज्यादा ठंड प्रदेश के मैदानी इलाकों में पड़ रही है। बर्फीली हवाएं चलने से मैदानी इलाकों में बड़ी ठंड मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक कुलदीप श्रीवास्तव ने बताया कि ऊंचे पहाड़ों से बर्फीली हवाएं मैदानी इलाकों की तरफ चल रही है। इससे मैदानी इलाकों में ज्यादा ठंड पड़ रही है। इसी तरह रात में मौसम साफ होने से कोहरा भी जमा है। इससे भी रात में ठंड में इजाफा हुआ है। 6 दिन पहाड़ों पर खिलेगी धूप कुलदीप श्रीवास्तव ने बताया कि प्रदेश में अगले 6 दिन तक बारिश-बर्फबारी के आसार नहीं है। अगले सप्ताह प्रदेशभर में धूप खिलेगी। इससे तापमान में उछाल आएगा और लोगों को ठंड से राहत मिलेगी। सुबह शाम जरूर ठंड बढ़ी है। मगर दिन में तापमान नॉर्मल रहेगा। इससे लोगों को ठंड से राहत मिलेगा। हिमाचल प्रदेश में मौसम साफ होने के बावजूद सुबह शाम कड़ाके की सर्दी पड़ रही है। प्रदेश के 16 शहरों में रात का तापमान माइनस में चला गया है। इस सीजन में पहली बार ऐसा हुआ है, जब एक साथ 16 शहरों का तापमान माइनस में गया है। 10 दिसंबर को 13 शहरों का पारा माइनस में गया था। ऊंचे पहाड़ों से ज्यादा मैदानी इलाकों में सर्दी पड़ रही है। शिमला का न्यूनतम तापमान 4.4 डिग्री सेल्सियस चल रहा है। वहीं प्रदेश के सबसे गर्म शहर ऊना का न्यूनतम तापमान माइनस 0.8 डिग्री तक लुढ़क गया है। इसी तरह हमीरपुर का न्यूनतम तापमान माइनस 0.4 डिग्री, सोलन का -0.5 डिग्री, मनाली का -0.2 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया है। इससे सुबह शाम पहाड़ों से ज्यादा ठंड प्रदेश के मैदानी इलाकों में पड़ रही है। बर्फीली हवाएं चलने से मैदानी इलाकों में बड़ी ठंड मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक कुलदीप श्रीवास्तव ने बताया कि ऊंचे पहाड़ों से बर्फीली हवाएं मैदानी इलाकों की तरफ चल रही है। इससे मैदानी इलाकों में ज्यादा ठंड पड़ रही है। इसी तरह रात में मौसम साफ होने से कोहरा भी जमा है। इससे भी रात में ठंड में इजाफा हुआ है। 6 दिन पहाड़ों पर खिलेगी धूप कुलदीप श्रीवास्तव ने बताया कि प्रदेश में अगले 6 दिन तक बारिश-बर्फबारी के आसार नहीं है। अगले सप्ताह प्रदेशभर में धूप खिलेगी। इससे तापमान में उछाल आएगा और लोगों को ठंड से राहत मिलेगी। सुबह शाम जरूर ठंड बढ़ी है। मगर दिन में तापमान नॉर्मल रहेगा। इससे लोगों को ठंड से राहत मिलेगा। हिमाचल | दैनिक भास्कर
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प्रत्येक हिमाचल वासी पर 1.17 लाख का कर्ज:अरुणाचल के बाद सबसे ज्यादा; खर्चें कम करेगी सरकार, ऑफिसरों की मौज पर लगेगा अंकुश हिमाचल प्रदेश के प्रत्येक व्यक्ति पर 1 लाख 16 हजार 180 रुपए का कर्ज हो गया है, जो कि देश में अरुणाचल प्रदेश के बाद सर्वाधिक है। इस आर्थिक बदहाली से प्रदेश को बाहर निकालने के लिए मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू द्वारा गठित रिसोर्स मोबेलाइजेशन कमेटी की मंगलवार दोपहर बाद सचिवालय में अहम मीटिंग हुई। इसमें अनावश्यक खर्चे कम करने, सरकारी गाड़ियों व अफसरों की मौज रोकने और अफसरों का युक्तिकरण करने जैसे सुझाव पर चर्चा की गई। कैबिनेट सब कमेटी के सदस्य एवं टीसीपी मंत्री राजेश धर्माणी ने कहा कि, प्रदेश में जितना टैक्स इक्ट्ठा हो रहा, लगभग उतना ही पैसा लोन की किश्त और ब्याज चुकाने में जा रहा है। इसलिए कदम उठाने जरूरी है। आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए आने वाले दिनों में सख्त निर्णय लेने पड़ सकते हैं। मुफ्त की सेवाओं में भी कटौती हो सकती है। उन्होंने कहा कि, साधन संपन्न लोगों को मुफ्त सेवाएं गलत है। यह जरूरतमंदों को ही मिलती रहनी चाहिए। अफसरों के पदों का होगा युक्तिकरण: धर्माणी राजेश धर्माणी ने कहा कि, प्रदेश के विभिन्न विभागों में गेजेटेड अफसरों का युक्तिकरण जरूरी है। यानी जहां 10 अधिकारी हैं, वहां जरूरत के हिसाब से 5 से 6 अफसर रखे जाएंगे। उन्होंने कहा कि, साल 2006 से 2022 के बीच 16 साल में गेजेटेड ऑफिसर की संख्या में 62 प्रतिशत का इजाफा हुआ है। उन्होंने कहा कि गेजेटेड ऑफिसर कम करके जरूरत के हिसाब से फील्ड व निचला स्टाफ बढ़ाने पर ध्यान दिया जाएगा, ताकि जनता तक विभिन्न सेवाओं को आसानी से पहुंचाया जा सके। धर्माणी ने कहा, अनप्रोडक्टिव खर्च कम करने होंगे। विभिन्न विभागों, बोर्ड व निगमों में सरकारी गाड़ियों के दुरुपयोग पर भी अंकुश लगाना होगा। सरकारी गाड़ियों का दुरुपयोग रोकना होगा। बोर्ड-निगमों को खुद आर्थिक संसाधन जुटाने होंगे। 80 हजार करोड़ का कर्ज छोड़ गई बीजेपी सरकार: राजेश राजेश धर्माणी ने कहा कि, हिमाचल में जब कांग्रेस सरकार बनी तब राज्य पर 80 हजार करोड़ रुपए का ज्यादा का कर्ज चढ़ चुका था। 31 मार्च 2023 तक यह 86589 करोड़ हो गया था। 10 हजार करोड़ रुपए की कर्मचारियों की देनदारी सरकार के पास है। इससे डगमगा रही अर्थव्यवस्था इसके विपरीत रेवेन्यू डेफिसिएट ग्रांट (RDG) लगातार कम हो रही है। 14वें वित्त आयोग में हिमाचल को RDG में 40624 करोड़ रुपए मिले थे। 15वें वित्त आयोग में यह बढ़ने के बजाय कम होकर 37199 करोड़ रह गया। साल 2021-22 में RDG 10249 करोड़ मिली थी, जो कि 2025-26 में 3257 करोड़ की रह जाएगी। इससे अर्थव्यवस्था डगमगा रही है। GST प्रतिपूर्ति राशि भी बंद GST प्रतिपूर्ति राशि भी भारत सरकार ने जून 2022 में बंद कर दी है, जोकि देश में जीएसटी लागू होने के बाद से हर साल 3000 करोड़ रुपए से ज्यादा मिल रही थी। इसे देखते हुए रिसोर्स मोबेलाइजेशन कमेटी ने काम शुरू कर दिया है। अग्निहोत्री की अध्यक्षता में कैबिनेट सब कमेटी बता दें कि, मुख्यमंत्री सुक्खू ने डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री की अध्यक्षता में रिसोर्स मोबेलाइजेशन के लिए कैबिनेट सब कमेटी गठित कर रखी है। इसमें मुकेश अग्निहोत्री के अलावा कृषि मंत्री चंद्र कुमार, उद्योग मंत्री हर्ष वर्धन चौहान, टीसीपी मिनिस्टर राजेश धर्माणी सदस्य हैं। इस कमेटी की आज सचिवालय में अहम मीटिंग हुई है। कैबिनेट को सुझाव भेजेगी कमेटी इसमें निर्णय लिया गया कि आफिसर के पदों का युक्तिकरण करने से पहले विभिन्न विभागाध्यक्षों से सुझाव लिए जाएंगे और देखा जाएगा कि कहां कितने अधिकारियों की जरूरत है। इस हिसाब से पदों का युक्तिकरण किया जाएगा। कैबिनेट सब कमेटी में खर्च कम करने और आय के साधन बढ़ाने को लेकर भी चर्चा की गई। आज की मीटिंग में निर्णय लिया गया कि जल्द दोबारा मीटिंग बुलाई जाए, इसमें मुख्य सचिव और वित्त सचिव को भी बुलाया जाए और आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए सुझाव तैयार कर कैबिनेट को भेजे जाएंगे। इन पर अंतिम निर्णय कैबिनेट मीटिंग में होगा।
हिमाचल में सूखे जैसे हालात, बारिश की उम्मीद नहीं:हमीरपुर में तापमान 35 डिग्री के पार, अगले एक सप्ताह तक नहीं गिरेगा पारा
हिमाचल में सूखे जैसे हालात, बारिश की उम्मीद नहीं:हमीरपुर में तापमान 35 डिग्री के पार, अगले एक सप्ताह तक नहीं गिरेगा पारा हिमाचल प्रदेश में अक्टूबर माह में राज्य में 4 साल बाद बेहद कम बारिश हुई है, और नवंबर के पहले सप्ताह में भी बारिश की कोई संभावना नहीं है। आईएमडी ने पूर्वानुमान लगाया है कि अगले एक सप्ताह तक मौसम साफ रहेगा। अगर यही स्थिति रही तो राज्य में लंबे समय से जारी बारिश ना होने के कारण इस बार सूखे जैसे हालात बनने की संभावना है। 1 से 31 अक्टूबर तक राज्य में सामान्य बारिश 25.1 मिमी होती है, लेकिन इस बार सिर्फ 0.7 मिमी बारिश हुई है। 12 में से 6 जिलों में एक बूंद भी बारिश नहीं हुई आईएमडी के अनुसार, राज्य के 6 जिलों चंबा, हमीरपुर, बिलासपुर, सोलन, सिरमौर और कुल्लू में एक बूंद भी बारिश नहीं हुई। ऊना में सबसे ज्यादा 8.6 मिमी बारिश हुई है, लेकिन यह भी सामान्य से 54 फीसदी कम है। कांगड़ा में पूरे महीने में सिर्फ 1.5 मिमी, लाहौल स्पीति में 0.1 मिमी और मंडी में 3.4 मिमी बारिश हुई। मानसून के दौरान सामान्य से कम बारिश इस बार मानसून सीजन में राज्य में सामान्य से 19 फीसदी कम बारिश हुई है। पोस्ट मानसून सीजन में भी पहाड़ों पर बादल नहीं बरस रहे हैं। अगले एक सप्ताह तक भी बारिश की संभावना नहीं है। यह राज्य की कृषि और बागवानी के लिए अच्छे संकेत नहीं हैं। इसके चलते जल स्रोतों में पानी का स्तर भी कम होने लगा है। सूखे के चलते किसान गेहूं की बुवाई नहीं कर पा रहे हैं। 7 नवंबर तक मौसम साफ मौसम विभाग के अनुसार 7 नवंबर तक मौसम साफ रहेगा। बारिश या बर्फबारी न होने से तापमान सामान्य से अधिक है। इस कारण नवंबर का महीना शुरू होने के बावजूद ठंड का अहसास नहीं हो रहा है। हालात ये हैं कि कई जगहों पर तापमान सामान्य से 4 से 5 डिग्री अधिक है। पारा 35 के पार मौसम विज्ञान के अनुसार, राज्य में न्यूनतम और अधिकतम तापमान भी सामान्य से अधिक है। इसके चलते दिन के साथ रातें भी गर्म हैं। दिन में लोगों को पसीना आ रहा है। खासकर मैदानी इलाकों में दिन में तापमान काफी अधिक बना हुआ है। ऊना में अभी भी तापमान 35.3 डिग्री सेल्सियस है।
मंडी में नेशनल हाईवे पर तेंदुए की मौत:अज्ञात वाहन ने मारी टक्कर; लोगों ने की पिंजरा लगाने की मांग
मंडी में नेशनल हाईवे पर तेंदुए की मौत:अज्ञात वाहन ने मारी टक्कर; लोगों ने की पिंजरा लगाने की मांग मंडी जिले के नेशनल हाईवे 154 जोगिंद्रनगर पठानकोट मार्ग पर शुक्रवार देर शाम एक तेंदुए को अज्ञात वाहन ने टक्कर मार दी। इस दौरान सिर में गंभीर चोट लगने से तेंदुए की मौके पर ही मौत हो गई। स्थानीय युवक अंकित जम्वाल ने घटना की सूचना तुरंत वन विभाग के अधिकारियों को दी। सूचना मिलते ही डीएफओ कमल भारती अपनी वन विभाग की टीम के साथ मौके पर पहुंचे और मृत तेंदुए को अपने कब्जे में ले लिया। इस बारे में जानकारी देते हुए डीएफओ कमल भारती ने बताया कि किसी वाहन की टक्कर लगने से तेंदुए की मौत हुई है। पोस्टमार्टम के बाद होगा अंतिम संस्कार वन विभाग ने पंचनामा व रिपोर्ट तैयार कर मृत तेंदुए के शव को अपने कब्जे में ले लिया है। शनिवार को उच्च स्तरीय जांच कमेटी की देखरेख में शव का पोस्टमार्टम कर अंतिम संस्कार किया जाएगा। बताया जा रहा है कि जब वाहन गुजर रहा था तो अचानक तेंदुआ वाहन के नीचे आ गया। वहीं, सनोर घाटी के बालू गांव व इसके आसपास के क्षेत्रों में तेंदुए की बढ़ती सक्रियता से ग्रामीण डरे हुए हैं। ग्रामीणों ने वन मंडल अधिकारी मंडी से यहां तेंदुए को पकड़ने के लिए पिंजरा लगाने की मांग की है।