हिसार से कांग्रेस सांसद जयप्रकाश (JP) का एक विवादित बयान सामने आया है। महिलाओं पर दिए गए अपने बयान को लेकर वे आलोचनाओं के घेरे में आ गए हैं, जिसके बाद हरियाणा महिला आयोग ने उन्हें नोटिस जारी किया है। कलायत में एक जनसभा के दौरान, जहां उनके बेटे विकास सहारन चुनाव लड़ रहे हैं, जय प्रकाश ने महिलाओं पर अपमानजनक टिप्पणी कर दी, जिसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। वह कह रहे हैं कि, “अगर लिपस्टिक और पाउडर से नेता बनते हैं तो मुझे भी लगाना चाहिए। मुझे दाढ़ी क्यों रखनी चाहिए?” इस तरह की भाषा के प्रयोग की निंदा करते हुए आयोग की अध्यक्ष रेणु भाटिया ने कहा, “हमने जय प्रकाश से इस पर जवाब देने को कहा है।” जहां से बेटा लड़ रहा, वहां से श्वेता थी दावेदार जेपी के इस बयान के बाद माना जा रहा है कि उन्होंने यह कलायत विधानसभा सीट से टिकट मांग रहीं राज्यसभा सांसद रणदीप सिंह सुरजेवाला की करीबी श्वेता ढुल और अनीता ढुल बड़सीकरी को लेकर कहा है। इस सीट पर जेपी के बेटे विकास सहारण कांग्रेस उम्मीदवार हैं।इस बयान के बाद ढुल खाप की तरफ से शुक्रवार को पंचायत हो चुकी है। रविवार यानी आज दोबारा पंचायत बुलाई गई है। ढुल खाप के कलायत विधानसभा के अंतर्गत 6 गांव आते हैं। AAP ने भी हमला बोला जेपी के बयान के बाद कलायत से आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी अनुराग ढांडा ने कहा कि बहन-बेटियां चुनाव लड़ने की कोशिश करेंगी तो क्या उनका अपमान करना शुरू कर देंगे। ऐसे लोगों को जनता सबक सिखाएगी। लोकतंत्र में कोई भी चुनाव लड़ सकता है, राजनीति किसी की जागीर नहीं है। किसी के चुनाव लड़ने से कोई बड़ी बात नहीं है। सभी ने अपनी-अपनी योजना बना रखी हैं कि मैं यह काम कर सकता हूं। अगर वे इम्प्लीमेंट करना चाहते हैं तो इन लोगों को इसमें भी दिक्कत है। वे चाहते हैं कि कलायत 3 परिवारों की जागीर बनी रहे, जैसा कि वे 30-40 साल से करते आ रहे हैं। एक बार जय प्रकाश का परिवार आए, एक बार कमलेश का परिवार आए और एक बार रामपाल माजरा का परिवार आए। कलायत इन तीन परिवारों में घूमता रहता है। खुद को क्षेत्र का नेता कहने वाले लोगों ने कभी एक नाली तक नहीं बनवाई। हिसार से कांग्रेस सांसद जयप्रकाश (JP) का एक विवादित बयान सामने आया है। महिलाओं पर दिए गए अपने बयान को लेकर वे आलोचनाओं के घेरे में आ गए हैं, जिसके बाद हरियाणा महिला आयोग ने उन्हें नोटिस जारी किया है। कलायत में एक जनसभा के दौरान, जहां उनके बेटे विकास सहारन चुनाव लड़ रहे हैं, जय प्रकाश ने महिलाओं पर अपमानजनक टिप्पणी कर दी, जिसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। वह कह रहे हैं कि, “अगर लिपस्टिक और पाउडर से नेता बनते हैं तो मुझे भी लगाना चाहिए। मुझे दाढ़ी क्यों रखनी चाहिए?” इस तरह की भाषा के प्रयोग की निंदा करते हुए आयोग की अध्यक्ष रेणु भाटिया ने कहा, “हमने जय प्रकाश से इस पर जवाब देने को कहा है।” जहां से बेटा लड़ रहा, वहां से श्वेता थी दावेदार जेपी के इस बयान के बाद माना जा रहा है कि उन्होंने यह कलायत विधानसभा सीट से टिकट मांग रहीं राज्यसभा सांसद रणदीप सिंह सुरजेवाला की करीबी श्वेता ढुल और अनीता ढुल बड़सीकरी को लेकर कहा है। इस सीट पर जेपी के बेटे विकास सहारण कांग्रेस उम्मीदवार हैं।इस बयान के बाद ढुल खाप की तरफ से शुक्रवार को पंचायत हो चुकी है। रविवार यानी आज दोबारा पंचायत बुलाई गई है। ढुल खाप के कलायत विधानसभा के अंतर्गत 6 गांव आते हैं। AAP ने भी हमला बोला जेपी के बयान के बाद कलायत से आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी अनुराग ढांडा ने कहा कि बहन-बेटियां चुनाव लड़ने की कोशिश करेंगी तो क्या उनका अपमान करना शुरू कर देंगे। ऐसे लोगों को जनता सबक सिखाएगी। लोकतंत्र में कोई भी चुनाव लड़ सकता है, राजनीति किसी की जागीर नहीं है। किसी के चुनाव लड़ने से कोई बड़ी बात नहीं है। सभी ने अपनी-अपनी योजना बना रखी हैं कि मैं यह काम कर सकता हूं। अगर वे इम्प्लीमेंट करना चाहते हैं तो इन लोगों को इसमें भी दिक्कत है। वे चाहते हैं कि कलायत 3 परिवारों की जागीर बनी रहे, जैसा कि वे 30-40 साल से करते आ रहे हैं। एक बार जय प्रकाश का परिवार आए, एक बार कमलेश का परिवार आए और एक बार रामपाल माजरा का परिवार आए। कलायत इन तीन परिवारों में घूमता रहता है। खुद को क्षेत्र का नेता कहने वाले लोगों ने कभी एक नाली तक नहीं बनवाई। हरियाणा | दैनिक भास्कर
Related Posts
हरियाणा के कच्चे कर्मचारी होंगे पक्के:CM कैबिनेट मीटिंग में लेंगे फैसला; कमेटी बन चुकी, कांन्ट्रेक्चुअल सर्विस दे चुके कर्मचारियों की ड्रॉफ्ट पॉलिसी बनेगी
हरियाणा के कच्चे कर्मचारी होंगे पक्के:CM कैबिनेट मीटिंग में लेंगे फैसला; कमेटी बन चुकी, कांन्ट्रेक्चुअल सर्विस दे चुके कर्मचारियों की ड्रॉफ्ट पॉलिसी बनेगी हरियाणा के कच्चे कर्मचारी पक्के होंगे। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की अध्यक्षता में 5 अगस्त को होने वाली मंत्रिमंडल की बैठक में इस पॉलिसी को मंजूरी मिल सकती है। इस मीटिंग में यह भी फैसला होना है कि रेगुलराइजेशन में 5 साल, 7 साल, 10 साल यानी कितने साल तक की सेवा वाले कर्मचारियों को शामिल करना है। यह भी फैसला करना है कि किन कर्मचारियों को रेगुलर किया जाना है। अभी तक की चर्चा के मुताबिक जो कर्मचारी हरियाणा कौशल रोजगार निगम में पोर्ट हुए हैं, उन्हें रेगुलर करने पर विचार किया जा रहा है। अभी बहुत कर्मचारी ऐसे हैं जो विभागों में कार्यरत हैं मगर हरियाणा कौशल रोजगार निगम में पोर्ट नहीं हुए हैं उन पर अगली बैठक में चर्चा होगी। कमेटी का सरकार कर चुकी गठन हरियाणा सरकार ने अस्थाई कर्मचारियों को रेगुलर करने की पॉलिसी तैयार करने के लिए वरिष्ठ आईएएस अधिकारियों की कमेटी का गठन किया है। वरिष्ठ अधिकारियों की इस कमेटी की 26 जुलाई को पहली बैठक हो चुकी है। इसमें पंजाब की पॉलिसी के बिंदुओं पर भी चर्चा हुई। हालांकि पहली बैठक में पॉलिसी के मसौदे पर ज्यादा चर्चा नहीं हो सकी मगर इसकी बैक ग्राउंड पर चर्चा हुई। अभी कमेटी की दूसरी या तीसरी बैठक में पॉलिसी का ड्राफ्ट तैयार हो सकता है। कमेटी में ये IAS अधिकारी कमेटी में प्रधान सचिव विजेंद्र कुमार, प्रधान सचिव डॉ. डी सुरेश, आयुक्त एवं सचिव विकास गुप्ता, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव और आयुक्त एवं सचिव डॉ. अमित अग्रवाल, मानव संसाधन विभाग के महानिदेशक जे गणेशन, वित्त विभाग के विशेष सचिव पंकज, मानव संसाधन विभाग के विशेष सचिव डॉ. आदित्य दहिया, स्कूल शिक्षा विभाग के निदेशक जितेंद्र दरिया और डीए राजेंद्र वर्मा शामिल हैं। मुख्य सचिव टीवीएसएन प्रसाद ने यह कमेटी गठित की है। सरकार ने कहा है कि यह कमेटी उन कर्मचारियों के लिए चर्चा कर एक ड्राफ्ट पॉलिसी तैयार करेगी , जिन्होंने कांट्रेक्चुअल सर्विस दी है। पंजाब पॉलिसी पर भी चर्चा एडवोकेट जनरल बलदेव राज महाजन ने पंजाब की पॉलिसी का जिक्र किया है, इसलिए इस पॉलिसी के अच्छे बिंदुओं को भी शामिल किया जा सकता है। मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव राजेश खुल्लर पूरा प्रयास कर रहे हैं कि अधिक से अधिक अस्थायी कर्मचारियों को इस पॉलिसी का लाभ मिल सके। मगर अफसरों की कमेटी के मसौदे पर भी काफी कुछ निर्भर करेगा।
सैलजा बोलीं- शाह पूरे देश से मांगें माफी:सिरसा में कहा- भगवान से कम नहीं हैं बाबा साहेब, गृहमंत्री ने सदन में किया अपमान
सैलजा बोलीं- शाह पूरे देश से मांगें माफी:सिरसा में कहा- भगवान से कम नहीं हैं बाबा साहेब, गृहमंत्री ने सदन में किया अपमान सिरसा में सांसद कुमारी सैलजा ने कहा कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सदन में बाबा साहेब के बारे में टिप्पणी करके उनका अपमान किया है। हमारे लिए संविधान ग्रंथ से कम नहीं है और बाबा साहेब भगवान से कम नहीं हैं। इसलिए गृह मंत्री अमित शाह पूरे देश से माफी मांगें। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की बात करना भाजपा की आदत हो गई है। जब चुनाव होते हैं, तो भाजपा को बाबा साहेब की जरूरत होती है और वे बाबा साहेब का नाम लेते हैं। उनका इस्तेमाल करते हैं और सदन में अपमान करते हैं। भगवान से कम नहीं है बाबा साहेब- सैलजा सांसद ने कहा कि सदन में इस प्रकार टिप्पणी करके अमित शाह ने पूरी दुनिया के सामने बाबा साहेब का अपमान किया है। हमारी मांग है कि अमित शाह पूरे देश से माफी मांगे। हम इस प्रकार बाबा साहेब के अपमान को बर्दाश्त नहीं कर सकते। बाबा साहेब हमारे लिए भगवान से कम नहीं है। उन्होंने कहा कि बाबा साहेब पर अमित शाह द्वारा की गई टिप्पणी के बाद कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मलिकार्जुन खड़गे, विपक्ष के नेता राहुल गांधी, सांसद प्रियंका गांधी, कांग्रेस के राष्ट्रीय संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल सहित इंडिया गठबंधन के कई सांसदों ने भाजपा के खिलाफ संसद परिसर में रोष प्रकट किया और मांग की कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह माफी मांगें।
हरियाणा में भाजपा-हलोपा मिलकर लड़ सकते हैं चुनाव:गोपाल कांडा ने धर्मेंद्र प्रधान से की मुलाकात, 3 दिन में सीट बंटवारे पर फैसला संभव
हरियाणा में भाजपा-हलोपा मिलकर लड़ सकते हैं चुनाव:गोपाल कांडा ने धर्मेंद्र प्रधान से की मुलाकात, 3 दिन में सीट बंटवारे पर फैसला संभव हरियाणा की सिरसा विधानसभा सीट से हरियाणा लोकहित पार्टी (हलोपा) के विधायक गोपाल कांडा ने एक बार फिर BJP नेताओं की टेंशन बढ़ा दी है। एक महीने के अंदर दूसरी बार हलोपा सुप्रीमो गोपाल कांडा ने हरियाणा BJP प्रभारी गोपाल कांडा से मुलाकात की है। गोपाल कांडा ने धमेंद्र प्रधान के घर 40 मिनट तक बैठक की है। बताया जा रहा है कि इस बैठक में हरियाणा विधानसभा चुनाव को लेकर मंथन चला। बैठक में हरियाणा विधानसभा चुनाव में सीट शेयरिंग को लेकर चर्चा हुई। आगामी 2 से 3 दिनों में सीट शेयरिंग पर दोनों दलों के बीच सहमति बन सकती है। गोपाल कांडा हरियाणा में 5 विधानसभा सीट पर अपनी पसंद के उम्मीदवार उतारना चाहता है। भाजपा और हलोपा दोनों की पसंद से यह उम्मीदवार उतारे जाएंगे। 3 दिनों में यह साफ हो जाएगा कि हलोपा कितनी सीटों पर और भाजपा के सिंबल पर हलोपा की पसंद से कौन लड़ेगा। हलोपा-BJP की मुलाकात से सिरसा और फतेहाबाद के भाजपा नेताओं की चिंता बढ़ी हुई है। रानियां से रणजीत चौटाला की सीट खतरे में बता दें कि हलोपा-भाजपा के बीच सीट बंटवारे का फार्मूला फिट बैठता है तो सबसे ज्यादा खतरा रणजीत चौटाला को है। रणजीत चौटाला रानियां विधानसभा से दावेदार हैं और विधायक का चुनाव जीत चुके हैं। वहीं गोपाल कांडा ने अपने भतीजे गोबिंद कांडा के बेटे धवल कांडा को रानियां से हलोपा प्रत्याशी घोषित किया है। इससे रणजीत चौटाला की टेंशन बढ़ गई है। वहीं गोबिंद कांडा पहले से ही भाजपा का हिस्सा हैं। वे दो सीटों ऐलनाबाद और फतेहाबाद से दावेदारी कर रहे हैं। ऐलनाबाद में मीनू बेनीवाल और फतेहाबाद में विधायक दुड़ाराम की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। वैश्य और पंजाबी वोट बैंक पर पकड़ गोपाल कांडा का राज्य में वैश्य और पंजाबियों के बीच अच्छा जनाधार है। हलोपा को लगता है कि हलोपा उन सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी, जिन पर भाजपा को चुनाव जीतना मुश्किल लगता है। हालांकि, हाल ही में पंचकूला में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने साफ कर दिया था कि हरियाणा में भाजपा अकेले ही विधानसभा चुनाव लड़ेगी। लेकिन मुख्यमंत्री नायब सैनी के सिरसा दौरे के दौरान नायब सैनी ने बयान दिया था कि हलोपा और भाजपा मिलकर चुनाव लड़ेंगे, जिसके बाद से ही दोनों पार्टियों के बीच गठबंधन की चर्चाएं सामने आ रही हैं। गोपाल कांडा ने पिछली मुलाकात पर दी थी जानकारी
गोपाल कांडा ने धर्मेंद्र प्रधान से पिछली मुलाकात के बाद सोशल मीडिया पर लिखा था, ‘ केंद्रीय शिक्षा मंत्री एवं हरियाणा में भाजपा के चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान जी से आज नई दिल्ली में मुलाकात हुई। हरियाणा विधानसभा चुनाव सहित अन्य महत्वपूर्ण मुद्दों पर विस्तार से चर्चा हुई। हरियाणा लोकहित पार्टी (HLP), राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) का घटक दल है। लोकसभा चुनाव में भी HLP ने सहयोगी दल के रूप में समर्पित सहयोग किया है। आज की मुलाकात में विभिन्न विषयों और भविष्य की राजनीतिक संभावनाओं पर सकारात्मक बातचीत हुई है।’ बिना शर्त सरकार को दिया है समर्थन
हलोपा विधायक गोपाल कांडा ने पहले दिन से हरियाणा की भाजपा सरकार को बिना शर्त समर्थन दिया था। ऐलनाबाद उपचुनाव के दौरान गोपाल कांडा के भाई गोबिंद कांडा भाजपा में शामिल हो गए थे। तब गोबिंद कांडा को भाजपा, जजपा और हलोपा का संयुक्त उम्मीदवार बनाया गया, लेकिन किसान आंदोलन के समर्थन में विधानसभा की सदस्यता से इस्तीफा देने वाले इनेलो के प्रधान महासचिव अभय सिंह चौटाला से चुनाव हार गए। हालांकि गोबिंद कांडा ने ऐलनाबाद चुनाव मजबूती से लड़ा और कुछ ही मतों से अंतर से हार गए थे। 2009 में निर्दलीय चुनाव लड़कर जीते, फिर गृह राज्यमंत्री बने
वर्ष 2009 के विधानसभा चुनाव में गोपाल कांडा ने सिरसा सीट से बतौर निर्दलीय चुनाव लड़ा और हुड्डा सरकार में उद्योग मंत्री रहे लक्ष्मण दास अरोड़ा को हराकर विधानसभा पहुंचे। विधानसभा चुनाव नतीजों के बाद भूपेंद्र सिंह हुड्डा की अगुआई में कांग्रेस को पूर्ण बहुमत नहीं मिल पाया। तब कांग्रेस ने 40 सीटें जीती और इनेलो 32 विधायकों के साथ दूसरी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी। गोपाल कांडा ने उस समय के सियासी हालात का फायदा उठाते हुए निर्दलीय जीतने वाले पांच-छह विधायकों को रातों-रात साधते हुए उनका समर्थन हुड्डा को दिलवा दिया। लगातार दूसरी बार हरियाणा का मुख्यमंत्री बनने वाले भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कांडा को बतौर इनाम अपनी कैबिनेट में शामिल करते हुए गृह राज्यमंत्री की कुर्सी दी।