7 साल बाद अपहरण और रेप का आरोपी दोषी करार, जालौन कोर्ट ने सुनाई आजीवन कारावास की सजा

7 साल बाद अपहरण और रेप का आरोपी दोषी करार, जालौन कोर्ट ने सुनाई आजीवन कारावास की सजा

<p style=”text-align: justify;”><strong>Jalaun Court News:</strong> यूपी के जालौन जिले में शुक्रवार को एक ऐतिहासिक फैसला सामने आया है. यहां की स्पेशल एससी/एसटी कोर्ट ने दुष्कर्म के एक 7 साल पुराने मामले में बड़ा फैसला सुनाया है. कोर्ट ने आरोपी दीपक पाठक को दोषी करार देते हुए उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. इसके साथ ही 50 हजार का आर्थिक दंड का आदेश भी दिया है, जो पीड़िता को मुआवजे के तौर पर दिया जाएगा. आरोपी ने छात्रा को अगवा कर उसके साथ दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया था.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>यह मामला वर्ष 2016 में उरई कोतवाली क्षेत्र का है. यहां पर 18 वर्षीय छात्रा एक कोचिंग सेंटर पढ़ने जा रही थी, तभी विद्या मंदिर स्कूल के पास गली में तीन युवकों ने उसे जबरन अगवा कर लिया. छात्रा की मां ने उसी दिन उरई कोतवाली में शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें विवेक गुप्ता सहित तीन लोगों को नामजद किया गया.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>आरोपियों ने एक महीने तक बंधक बनाकर किया रेप</strong><br />पुलिस की जांच में नया मोड़ तब आया जब छात्रा को बरामद कर न्यायालय में उसका बयान दर्ज कराया गया. 164 के बयान में छात्रा ने दीपक पाठक, निवासी ग्राम खकसीस, थाना रेंडर, को मुख्य आरोपी बताया. छात्रा ने बताया कि उसे एक महीने तक बंधक बनाकर कई बार दुष्कर्म किया गया. मेडिकल, जांच और आरोप पत्र के बाद कोर्ट में केस चला.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>साक्ष्यों को आधार पर दोषी को मिली सजा</strong><br />शासकीय अधिवक्ता लखन लाल निरंजन और बृजराज राजपूत ने केस की प्रभावी पैरवी की. पीड़िता व उसकी मां के बयान कोर्ट में दर्ज कराए गए. मजबूत साक्ष्यों और गवाही के आधार पर विशेष न्यायाधीश डॉ. अवनीश कुमार द्वितीय ने 22 मई 2025 को दीपक को दोषी करार दिया.</p>
<p style=”text-align: justify;”>23 मई को सजा पर सुनवाई में कोर्ट ने दीपक पाठक को उम्रकैद और 50 हजार जुर्माने की सजा सुनाई. यह राशि पीड़िता को मुआवजा स्वरूप देने का आदेश दिया गया. कोर्ट के इस फैसले से पीड़िता और उसके परिवार को सात साल बाद न्याय मिला.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>(प्रवीण द्विवेदी की रिपोर्ट)</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>ये भी पढ़ें: <a href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/bku-leader-rakesh-tikait-protested-against-privatization-of-electricity-in-up-2949275″><strong>यूपी में बिजली के निजीकरण के विरोध में उतरे राकेश टिकैत, कहा- तुरंत फैसला वापस ले सरकार</strong></a></p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Jalaun Court News:</strong> यूपी के जालौन जिले में शुक्रवार को एक ऐतिहासिक फैसला सामने आया है. यहां की स्पेशल एससी/एसटी कोर्ट ने दुष्कर्म के एक 7 साल पुराने मामले में बड़ा फैसला सुनाया है. कोर्ट ने आरोपी दीपक पाठक को दोषी करार देते हुए उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. इसके साथ ही 50 हजार का आर्थिक दंड का आदेश भी दिया है, जो पीड़िता को मुआवजे के तौर पर दिया जाएगा. आरोपी ने छात्रा को अगवा कर उसके साथ दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया था.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>यह मामला वर्ष 2016 में उरई कोतवाली क्षेत्र का है. यहां पर 18 वर्षीय छात्रा एक कोचिंग सेंटर पढ़ने जा रही थी, तभी विद्या मंदिर स्कूल के पास गली में तीन युवकों ने उसे जबरन अगवा कर लिया. छात्रा की मां ने उसी दिन उरई कोतवाली में शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें विवेक गुप्ता सहित तीन लोगों को नामजद किया गया.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>आरोपियों ने एक महीने तक बंधक बनाकर किया रेप</strong><br />पुलिस की जांच में नया मोड़ तब आया जब छात्रा को बरामद कर न्यायालय में उसका बयान दर्ज कराया गया. 164 के बयान में छात्रा ने दीपक पाठक, निवासी ग्राम खकसीस, थाना रेंडर, को मुख्य आरोपी बताया. छात्रा ने बताया कि उसे एक महीने तक बंधक बनाकर कई बार दुष्कर्म किया गया. मेडिकल, जांच और आरोप पत्र के बाद कोर्ट में केस चला.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>साक्ष्यों को आधार पर दोषी को मिली सजा</strong><br />शासकीय अधिवक्ता लखन लाल निरंजन और बृजराज राजपूत ने केस की प्रभावी पैरवी की. पीड़िता व उसकी मां के बयान कोर्ट में दर्ज कराए गए. मजबूत साक्ष्यों और गवाही के आधार पर विशेष न्यायाधीश डॉ. अवनीश कुमार द्वितीय ने 22 मई 2025 को दीपक को दोषी करार दिया.</p>
<p style=”text-align: justify;”>23 मई को सजा पर सुनवाई में कोर्ट ने दीपक पाठक को उम्रकैद और 50 हजार जुर्माने की सजा सुनाई. यह राशि पीड़िता को मुआवजा स्वरूप देने का आदेश दिया गया. कोर्ट के इस फैसले से पीड़िता और उसके परिवार को सात साल बाद न्याय मिला.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>(प्रवीण द्विवेदी की रिपोर्ट)</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>ये भी पढ़ें: <a href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/bku-leader-rakesh-tikait-protested-against-privatization-of-electricity-in-up-2949275″><strong>यूपी में बिजली के निजीकरण के विरोध में उतरे राकेश टिकैत, कहा- तुरंत फैसला वापस ले सरकार</strong></a></p>  उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड लोगों में खौफ! हिमाचल नहीं आ रहे पर्यटक, एडवांस बुकिंग में गिरावट, जानें HPTDC के होटलों का हाल