हरियाणा के पलवल में पंचायती जमीन को खाली कराने का नोटिस देने की रंजिश में गांव के सरपंच पर गोली चला दी गई। गोली चलने पर उसके भतीजे ने गोली चाले वाले को धक्का दे दिया, जिससे वह गोली दूसरी गोली नहीं चला सका। उसकी जान बच गई। ग्रामीणों ने मौके पर ही 3 हमलावरों को पकड़ लिया। मुंडकटी थाना पुलिस ने सरपंच की शिकायत पर हत्या के प्रयास सहित अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। मुंडकटी थाना प्रभारी मुकेश कुमार के अनुसार, बंचारी गांव के मौजूद सरपंच सीताराम ने दी शिकायत में कहा है कि गुरुवार देर शाम वह अपनी बैठक पर बैठा हुआ था। सरपंच का कहना है कि उस समय उसके पास प्रजापति समाज में हुए झगड़े के समझौते को लेकर दोनों पक्षों के कुछ व्यक्ति बैठे हुए थे। उसने बताया कि उसी दौरान गांव के निवासी उदयवीर व लोकेश आए। उदयवीर कहने लगा कि तू मेरा फोन क्यों नहीं उठा रहा, इस पर उसने कहा कि भाई आप अपने घर चले जाओ। वे वहां से चले गए। उसके बाद प्रदीप वहां आया और उसकी तरफ देखकर बाइक को वापस घूमाकर चला गया। आरोप है कि शाम के करीब पौने सात बजे उदयवीर, लोकेश व प्रदीप तीनों अपनी-अपनी बाइकों पर उसके (सरपंच) घर के सामने आकर खड़े हो गए। जब तक वे कुछ समझ पाते उदयवीर ने अपनी जेब से कट्टा निकाल कर उस पर जान से मारने की नीयत से सीधा फायर कर दिया। वह इसमें बाल-बाल बच गया। वहां खड़े उसके भतीजे मंजीत ने उदयवीर को धक्का दिया, जिससे वह दूसरी गोली नहीं चला सका। उसे मौके पकड़ लिया। प्रदीप के हाथ से देसी कट्टा जमीन पर गिर गया था। उसने उसे उठाने का प्रयास किया, लेकिन वहां लोग एकत्रित हो गए और उनको पकड़ लिया। सरपंच ने शिकायत में कहा कि उन्होंने मौके पर पुलिस बुला कर तीनों लड़कों, एक देसी कट्टा, एक जिंदा राउंड व छह चले हुए खाली खोल पुलिस को सौंप दिए। खाली खोल उदयवीर की जेब से मिले थे। सरपंच का आरोप है कि उदयवीर व प्रदीप पहले भी कई बार उसे जान से मारने की धमकी दे चुके है, लेकिन उन धमकियों को उन्होंने नजर अंदाज कर दिया था। हरियाणा के पलवल में पंचायती जमीन को खाली कराने का नोटिस देने की रंजिश में गांव के सरपंच पर गोली चला दी गई। गोली चलने पर उसके भतीजे ने गोली चाले वाले को धक्का दे दिया, जिससे वह गोली दूसरी गोली नहीं चला सका। उसकी जान बच गई। ग्रामीणों ने मौके पर ही 3 हमलावरों को पकड़ लिया। मुंडकटी थाना पुलिस ने सरपंच की शिकायत पर हत्या के प्रयास सहित अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। मुंडकटी थाना प्रभारी मुकेश कुमार के अनुसार, बंचारी गांव के मौजूद सरपंच सीताराम ने दी शिकायत में कहा है कि गुरुवार देर शाम वह अपनी बैठक पर बैठा हुआ था। सरपंच का कहना है कि उस समय उसके पास प्रजापति समाज में हुए झगड़े के समझौते को लेकर दोनों पक्षों के कुछ व्यक्ति बैठे हुए थे। उसने बताया कि उसी दौरान गांव के निवासी उदयवीर व लोकेश आए। उदयवीर कहने लगा कि तू मेरा फोन क्यों नहीं उठा रहा, इस पर उसने कहा कि भाई आप अपने घर चले जाओ। वे वहां से चले गए। उसके बाद प्रदीप वहां आया और उसकी तरफ देखकर बाइक को वापस घूमाकर चला गया। आरोप है कि शाम के करीब पौने सात बजे उदयवीर, लोकेश व प्रदीप तीनों अपनी-अपनी बाइकों पर उसके (सरपंच) घर के सामने आकर खड़े हो गए। जब तक वे कुछ समझ पाते उदयवीर ने अपनी जेब से कट्टा निकाल कर उस पर जान से मारने की नीयत से सीधा फायर कर दिया। वह इसमें बाल-बाल बच गया। वहां खड़े उसके भतीजे मंजीत ने उदयवीर को धक्का दिया, जिससे वह दूसरी गोली नहीं चला सका। उसे मौके पकड़ लिया। प्रदीप के हाथ से देसी कट्टा जमीन पर गिर गया था। उसने उसे उठाने का प्रयास किया, लेकिन वहां लोग एकत्रित हो गए और उनको पकड़ लिया। सरपंच ने शिकायत में कहा कि उन्होंने मौके पर पुलिस बुला कर तीनों लड़कों, एक देसी कट्टा, एक जिंदा राउंड व छह चले हुए खाली खोल पुलिस को सौंप दिए। खाली खोल उदयवीर की जेब से मिले थे। सरपंच का आरोप है कि उदयवीर व प्रदीप पहले भी कई बार उसे जान से मारने की धमकी दे चुके है, लेकिन उन धमकियों को उन्होंने नजर अंदाज कर दिया था। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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कांग्रेस कार्यकर्ता की कुमारी सैलजा पर अभद्र टिप्पणी:रोहतक में शिकायत के बाद मांगी माफी, प्रत्याशी बोले- मैं नहीं जानता, ऐसे शब्द नहीं बोलने चाहिए सिरसा से कांग्रेस सांसद कुमारी सैलजा पर कांग्रेसी कार्यकर्ता द्वारा अभद्र टिप्पणी की गई। जिसमें उसकी पार्टी के ही कार्यकर्ता ने कहा कि “हुड्डा तो देवै था जस्सी ने, ** दे थी डॉक्टर कै, खास बात आड़ थी जी, सैलजा**”। इसके बाद विवाद बढ़ने लगा और इस टिप्पणी का जगह-जगह विरोध भी होने लगा। इसके बाद रोहतक के लाढ़ोत रोड निवासी व्यक्ति ने इसकी शिकायत दी और जाति सूचक शब्द कहने वाले के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। इसके बाद टिप्पणी करने वाल कार्यकर्ता ने माफी भी मांगी है। टिप्पणी कर्ता ने कहा कि “जो कल उन्होंने शब्द कहे थे, वे गलत कहे गए। भोला आदमी हूं, कुमारी सैलजा हमारी बहन है और पार्टी की नेता है। पूरे समाज में माफी मांगता हूं और आगे ऐसी गलती नहीं करूंगा।” वहीं कांग्रेस प्रत्याशी ने अपना पल्ला झाड़ते हुए कहा कि वे इस व्यक्ति को जानते तक नहीं हैं। बता दें कि हिसार की नारनौंद सीट से कांग्रेस ने जस्सी पेटवाड़ को टिकट देकर उम्मीदवार बनाया है। इसके बाद आरोपी व्यक्ति ने जाति सूचक टिप्पणी की थी। जिसके कारण वे बहुत ट्रोल हुए। कांग्रेस प्रत्याशी बोले- मैं नहीं जानता कौन है जाति सूचक शब्द कहने वाला नारनौंद से कांग्रेस के प्रत्याशी जस्सी पेटवाड़ ने कहा कि एक वीडियो वायरल हो रहा है। जिसमें एक व्यक्ति अपने निजी विचार आदरणीय नेता जी के बारे में दे रहा है। कुछ विरोधी लोग इसे मेरे से जोड़कर दिखाने का प्रयास कर रहे हैं। यह चाहे मेरा कार्यकर्ता हो या किसी दूसरे नेता का कार्यकर्ता हो। ऐसे शब्दों की हमारे समाज में कोई जगह नहीं है। लेकिन जो भी इस तरह के बयान दे रहा है, वह उसके निजी बयान है। इनका मेरे से कोई लेना देना नहीं है। ऐसे शब्द किसी को भी नहीं बोलने चाहिए जस्सी पेटवाड़ ने कहा कि हमारा समाज इन शब्दों की घोर निंदा करता है। ना तो उस व्यक्ति को जानते हैं और ना ही यह पता कि वह किस गांव से है। जिस वीडियो में कुमारी शैलजा के बारे में जो बोला है, वो पार्टी की नेता हैं और आदरणीय है। वह व्यक्ति जो शब्द बोल रहा है और उसके काटकर दिखाने का प्रयास कर रहे हैं। इसमें तो उनकी मानसिकता नजर आ रही है। ऐसे शब्द किसी को भी नहीं बोलने चाहिए। लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को मिले थे अनुसूचित जाति के वोट लोकसभा चुनाव में अनुसूचित जाति वर्ग के काफी वोट कांग्रेस को मिले थे। इसलिए कांग्रेस 5 सीटों पर जीत हासिल करने में सफल रही थी। इसलिए अब अनुसूचित जाति के वोटों को अपने से छिंटकने ना देने के लिए डैमेज कंट्रोल का प्रयास किया जा रहा है। इसलिए वीडियो वायरल होने के बाद खुद प्रत्याशी ने भी अपना पल्ला झाड़ते हुए कुमारी शैलजा का पक्ष लिया।
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सतीश कुमार के चार बच्चे हैं। पीड़िता ने पुलिस को बताया था कि वह सबसे छोटी है और पिता की लाडली भी। वह अपने पिता के साथ ही सोती थी। उसे नहीं पता था कि पिता उसके साथ ऐसी घिनौनी हरकत करेगा।