केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण तथा ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान करनाल के सुल्तानपुर गांव में पहुंचे। यहां केंद्रीय मंत्री ने सर्वप्रथम ग्राम सचिवालय का अवलोकन किया। इसके उपरांत फाइव पौंड सिस्टम का निरीक्षण किया। कॉमन सर्विस सेंटर व बैंक पत्राचार सेंटर का निरीक्षण किया। इसके बाद सुल्तानपुर के पार्क व लाइब्रेरी का विजिट किया। यहां ड्रोन दीदी द्वारा ड्रोन का प्रदर्शन किया गया। उन्होंने सामुदायिक केंद्र में विभिन्न योजनाओं के लाभार्थियों से बातचीत की। वहीं किसानों के दिल्ली कूच के सवाल पर उन्होंने कहा कि मैं कल भी किसानों से मिला और आज भी किसानों से मिला हूं। मैं हर रोज किसानों से मिलता हूं। किसी भी थाने में नहीं कोई एफआईआर केंद्रीय मंत्री ने सुल्तानपुर गांव को संपूर्ण रूप से एक विकसित और आदर्श गांव बताया। उन्होंने कहा कि गंदे पानी को साफ करने के लिए यहां सुल्तानपुर गांव में फाइव पौंड बनाए गए है। यहां पर ई लाइब्रेरी है, कॉमन सर्विस सेंटर है, स्वास्थ्य की बात हो या फिर अन्य सुविधाओं की बात हो, यह एक साफ सुथरा गांव है। इतना ही नहीं इस गांव की किसी थाने में एक भी एफआईआर नहीं है। गांव में दिखी सामुहिकता की भावना सरपंच हो या फिर पूर्व सरपंच हो, सभी एक साथ मिलकर सामूहिकता की भावना से काम करते है। मनरेगा के कामों का भी बहुत बेहतर उपयोग हुआ है, यह गांव एक प्रेरणा के रूप में उभर कर सामने आया है। ड्रोन दीदी से भी मुलाकात की और आजीविका मिशन के माध्यम से बहने अपनी गरीबी दूर कर रही है। खेती भी बहुत उन्नत है। उन्होंने हरियाणा सरकार को 23 फसलें एमएसपी पर खरीदने के फैसले पर बधाई दी। मिनिमम एक्साइज को किया गया खत्म उन्होंने कहा कि करनाल जिला धान का कटोरा है और अरब कंट्रियों में यहां का चावल सप्लाई होता है और धान के किसानों के लिए एक बड़ा फसला लिया गया कि धान के एक्सपोर्ट पर जो मिनिमम एक्साइज लगती थी, वह खत्म कर दी गई है। जिससे किसानों को ओर भी ज्यादा फायदा होगा। केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण तथा ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान करनाल के सुल्तानपुर गांव में पहुंचे। यहां केंद्रीय मंत्री ने सर्वप्रथम ग्राम सचिवालय का अवलोकन किया। इसके उपरांत फाइव पौंड सिस्टम का निरीक्षण किया। कॉमन सर्विस सेंटर व बैंक पत्राचार सेंटर का निरीक्षण किया। इसके बाद सुल्तानपुर के पार्क व लाइब्रेरी का विजिट किया। यहां ड्रोन दीदी द्वारा ड्रोन का प्रदर्शन किया गया। उन्होंने सामुदायिक केंद्र में विभिन्न योजनाओं के लाभार्थियों से बातचीत की। वहीं किसानों के दिल्ली कूच के सवाल पर उन्होंने कहा कि मैं कल भी किसानों से मिला और आज भी किसानों से मिला हूं। मैं हर रोज किसानों से मिलता हूं। किसी भी थाने में नहीं कोई एफआईआर केंद्रीय मंत्री ने सुल्तानपुर गांव को संपूर्ण रूप से एक विकसित और आदर्श गांव बताया। उन्होंने कहा कि गंदे पानी को साफ करने के लिए यहां सुल्तानपुर गांव में फाइव पौंड बनाए गए है। यहां पर ई लाइब्रेरी है, कॉमन सर्विस सेंटर है, स्वास्थ्य की बात हो या फिर अन्य सुविधाओं की बात हो, यह एक साफ सुथरा गांव है। इतना ही नहीं इस गांव की किसी थाने में एक भी एफआईआर नहीं है। गांव में दिखी सामुहिकता की भावना सरपंच हो या फिर पूर्व सरपंच हो, सभी एक साथ मिलकर सामूहिकता की भावना से काम करते है। मनरेगा के कामों का भी बहुत बेहतर उपयोग हुआ है, यह गांव एक प्रेरणा के रूप में उभर कर सामने आया है। ड्रोन दीदी से भी मुलाकात की और आजीविका मिशन के माध्यम से बहने अपनी गरीबी दूर कर रही है। खेती भी बहुत उन्नत है। उन्होंने हरियाणा सरकार को 23 फसलें एमएसपी पर खरीदने के फैसले पर बधाई दी। मिनिमम एक्साइज को किया गया खत्म उन्होंने कहा कि करनाल जिला धान का कटोरा है और अरब कंट्रियों में यहां का चावल सप्लाई होता है और धान के किसानों के लिए एक बड़ा फसला लिया गया कि धान के एक्सपोर्ट पर जो मिनिमम एक्साइज लगती थी, वह खत्म कर दी गई है। जिससे किसानों को ओर भी ज्यादा फायदा होगा। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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पूर्व विधायक रोहिता रेवड़ी के देवर की हत्या का मामला:22 साल बाद फरार आरोपी गिरफ्तार; होटल के तंदुरिए समेत 6 आरोपी पहले पकड़े जा चुके हरियाणा के पानीपत में शहरी विधानसभा क्षेत्र से पूर्व विधायक रोहिता रेवड़ी के देवर एवं कांग्रेसी नेता सुरेंद्र रेवड़ी के भाई चंद्र रेवड़ी हत्याकांड में पुलिस को 22 साल बाद कामयाबी मिली है। पुलिस ने मामले में फरार चल रहे भगौड़ा घोषित हो चुके आरोपी को गिरफ्तार किया है। आरोपी ने मामले में नामजद अपने अन्य साथी आरोपियों के साथ मिलकर ने जून 2002 में गोहाना मोड़ के पास स्थित होटल रीजेंसी में साथियों के साथ खाना खाने गए चंद्र की डंडे व तंदूर के सरियों से वार कर हत्या कर दी थी। आरोपी की पहचान संजय निवासी लाटा टिहरी गढ़वाल उत्तराखंड के रूप में हुई। पूछताछ में आरोपी ने मामले में पहले पकड़े जा चुके अपने उक्त 6 साथी आरोपियों के अतिरिक्त फरार दो अन्य साथी आरोपियों के साथ मिलकर हत्या की उक्त वारदात को अंजाम देने के बारे में स्वीकार किया। आरोपी संजय साल 2002 में गोहाना मोड़ के पास स्थित होटल रीजेंसी में तंदूर पर काम करता था। पूछताछ में आरोपी ने पुलिस को बताया उसने करनाल, हैदराबाद व उत्तराखंड के विभिन्न शहरों में छिपकर फरारी काटी। पुलिस टीम ने बुधवार को पूछताछ के बाद आरोपी को कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया। पहले ये हो चुके गिरफ्तार, अब आरोपी आया था काम की तलाश में
जानकारी देते हुए डीएसपी मुख्यालय सतीश वत्स ने बताया कि उक्त वारदात में पुलिस टीम द्वारा पहले 6 आरोपी रमेश निवासी कालखा, रमेश धींगडा व दीपक धींगडा निवासी माडल टाउन, जितेंद्र निवासी बलईपुर सिवान बिहार, कुलदीप निवासी केवरसारी टिहरी गढ़वाल उत्तराखंड व दिनेश निवासी कादल विस्तापीर देहरादून उत्तराखंड को गिरफ्तार कर जेल भेजा जा चुका है। वारदात में संलिप्त आरोपी संजय पुलिस पकड़ से बचने के लिए ठिकाने बदल कर रह रहा था। आरोपी 22 साल बाद मंगलवार को काम की फिराक में पानीपत आया था। जहां टीम ने उसे पकड़ लिया। यूं लगा था वारदात का पता
थाना चांदनी बाग में 10 जून 2002 को रमेश चंद्र ने पुलिस को दी शिकायत में बताया था कि वह ट्रेडिंग का काम करता है। देर शाम वह घर के बाहर खड़ा था। तभी चचेरे भाई चंद्र ने आकर बताया था कि वह जंपी, महेश, मोनू, संजय, आदित्य, तरूण, मोंटी व तिलक के साथ रीजेंसी होटल में खाना खाने के लिए जा रहे हैं। चंद्र देर रात 10:30 बजे तक भी वापस घर नहीं आया तो वह जोगिंद्र को साथ लेकर रीजेंसी होटल गया। वहा देखा चंद्र के साथ होटल मालिक दीपक धींगडा व रिसेप्सन पर काम करने वाला रमेश बिल को लेकर झगड़ा कर रहे थे। दीपक धींगडा अंदर से कारिंदों को बुला लाया और सभी ने मिलकर तंदूर के सरिए, छुरी व डंडों से चंद्र पर हमला कर दिया। उसने छुड़ाने की काफी कोशिश की। आरोपियों ने चंद्र को काफी चोटे मारी। वह और जोगिंद्र कार से चंद्र को सिविल अस्पताल लेकर गए। डॉक्टरों ने चेक कर चंद्र को मृत घोषित कर दिया।
कांग्रेस ने हरियाणा में बागी को निकाला:बहादुरगढ़ से निर्दलीय चुनाव लड़ रहे; चित्रा सरवारा के बाद दूसरे नेता पर कार्रवाई
कांग्रेस ने हरियाणा में बागी को निकाला:बहादुरगढ़ से निर्दलीय चुनाव लड़ रहे; चित्रा सरवारा के बाद दूसरे नेता पर कार्रवाई हरियाणा में झज्जर जिले की बहादुरगढ़ विधानसभा सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ रहे राजेश जून को कांग्रेस ने पार्टी से निष्कासित कर दिया है। उन्हें पार्टी विरोधी गतिविधियों में संलिप्त पाए जाने के बाद 6 साल के लिए निकाला गया है। राजेश जून बहादुरगढ़ से कांग्रेस का टिकट मांग रहे थे, लेकिन कांग्रेस ने उन्हें टिकट न देकर राजेंद्र सिंह जून को उम्मीदवार बनाया है। इसके कारण उन्होंने बागी होकर निर्दलीय चुनाव लड़ने का फैसला लिया। बहादुरगढ़ विधानसभा से फिलहाल 14 उम्मीदवार मैदान में हैं। इससे पहले अंबाला कैंट विधानसभा सीट से टिकट मांग रहीं नेता चित्रा सरवारा को भी कांग्रेस ने 6 साल के बाहर का रास्ता दिखा दिया है। कांग्रेस ने अंबाला कैंट से उनकी टिकट काटकर परविंदर परी को अपना उम्मीदवार बनाया है। AICC की ओर से जारी लेटर… पहली लिस्ट में नाम न आने के बाद की बगावत
बहादुरगढ़ विधानसभा सीट से टिकट कटने से नाराज होकर राकेश जून ने कांग्रेस पार्टी छोड़ दी थी। कांग्रेस की पहली लिस्ट में नाम न होने के बाद ही राजेश जून ने बगावत कर दी थी। इसके साथ ही 11 सितंबर को नामांकन दाखिल कर उन्होंने निर्दलीय चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया था। कांग्रेस ने यहां से मौजूदा विधायक राजेंद्र जून को चुनाव में उतारा है। राजेश जून ने 2014 के विधानसभा चुनाव में बहादुरगढ़ विधानसभा से निर्दलीय चुनाव लड़ा था, लेकिन हार गए थे। इस चुनाव में उन्हें 28 हजार 242 वोट मिले थे, और वह तीसरे स्थान पर थे। इसके बाद वर्ष 2019 के विधानसभा चुनाव में उन्होंने राजेंद्र जून के पक्ष में अपना नामांकन पत्र वापस ले लिया था। डबल वोट लेकर विधायक बनने का दावा किया
बहादुरगढ़ विधानसभा से 3 बार के MLA राजेंद्र जून राजेश जून के चाचा हैं। टिकट कटने पर ही राजेश जून ने समर्थकों की मीटिंग बुलाई थी। उसमें उन्होंने ऐलान करते हुए कहा था, ‘मेरे साथ कांग्रेस नेतृत्व ने धोखा किया है। अब मैं कांग्रेस उम्मीदवार से डबल वोट लेकर विधायक बनूंगा।’ राजेश जून ने कहा था कि कांग्रेस के केंद्रीय नेतृत्व ने टिकट देने का वादा किया था, लेकिन वादा नहीं निभाया। 16 चुनावों में यहां से 8 बार कांग्रेस जीती
अब तक हुए 16 विधानसभा चुनावों में बहादुरगढ़ से 8 बार कांग्रेस, लोकदल 5 बार, ओल्ड कांग्रेस, हविपा और भाजपा एक-एक बार चुनाव जीती है। यहां सबसे पहले चौधरी छोटूराम की पार्टी जमींदारा लीग से उनके भतीजे चौधरी श्रीचंद विधायक बने थे। जबकि, वर्ष 1987 में पूर्व मंत्री मांगेराम नंबरदार ने 25 हजार 320 वोटों से अब तक की सबसे बड़ी जीत हासिल की थी। वहीं, वर्ष 1972 में एनसीओ के हरद्वारी लाल ने महज 395 वोटों से सबसे छोटी जीत हासिल की थी। जाट मतदाता सबसे अधिक
बहादुरगढ़ विधानसभा में 32 गांवों के अनुपात में शहर के 31 वार्डों में करीब 40 हजार वोट अधिक हैं। हलके में कुल 2 लाख 40 हजार 980 मतदाता हैं, जिनमें 1 लाख 27 हजार 774 पुरुष और 1 लाख 13 हजार 201 महिला हैं। जबकि, 85 वर्ष से अधिक आयु के 2201 मतदाता हैं। क्षेत्र में इस बार कुल 233 मतदान केंद्र बनाए गए हैं। बहादुरगढ़ विधानसभा क्षेत्र में करीब 94 हजार जाट, करीब 23 हजार ब्राह्मण, हरिजन करीब 19 हजार, बनिया करीब 18 हजार, करीब 13 हजार पंजाबी और करीब 11 हजार वोटर वाल्मीकि हैं। इनके अलावा धानक, सैनी और खाती करीब 7-7 हजार, अहीर और कुम्हार करीब 5-5 हजार हैं। इस कारण पिछले कई चुनावों में शहर निर्णायक साबित हुआ है। गांवों की बात करें तो राठी, दलाल और छिल्लर-छिकारा गोत्र का दबदबा है। कांग्रेस के ये बागी मैदान में, अब तक 2 पर कार्रवाई
कांग्रेस के 20 सीटों पर 29 बागी मैदान में हैं। इनमें बल्लभगढ़ में पूर्व मुख्य संसदीय सचिव शारदा राठौर, तिगांव में पूर्व MLA ललित नागर, कलायत में सुरजेवाला कैंप की अनीता ढुल, उचाना में वीरेंद्र घोघड़िया, पटौदी से सुधीर चौधरी, पानीपत सिटी से पूर्व विधायक रोहिता रेवड़ी, पानीपत ग्रामीण से विजय जैन, पुंडरी से सतबीर भाणा, पृथला से नीटू मान और कोसली से मनोज आजाद कैंडिडेट के तौर पर मैदान में हैं। वहीं, जगाधरी में आदर्शपाल कांग्रेस का टिकट न मिलने पर AAP के टिकट पर उतर गए हैं। सभी बागियों में से पार्टी ने अब तक 2 पर कार्रवाई की है। उनमें राजेश जून और अंबाला कैंट से चित्रा सरवारा को पार्टी ने 6 साल के लिए निकाल दिया है। भाजपा ने बागियों पर नहीं की कोई कार्रवाई
इधर, भाजपा के भी 15 सीटों पर 19 बागी मैदान में हैं। इनमें प्रमुख चेहरों में हिसार से कुरुक्षेत्र सांसद नवीन जिंदल की मां सावित्री जिंदल और गौतम सरदाना, गन्नौर से देवेंद्र कादियान, सफीदों से पूर्व MLA बचन सिंह आर्य, तोशाम से शशिरंजन परमार, हथीन से पूर्व विधायक केहर सिंह रावत, लाडवा से संदीप गर्ग, गुरुग्राम से नवीन गोयल, पृथला से नयनपाल रावत व दीपक डागर, पुंडरी से दिनेश कौशिक, कलायत से विनोद निर्मल व आनंद राणा, इसराना से सत्यवान शेरा और असंध से जिलेराम शर्मा शामिल हैं। सरकार में 5 साल मंत्री रहे पूर्व कैबिनेट मंत्री रणजीत चौटाला भी रानियां से मैदान में हैं। वहीं, डबवाली में आदित्य देवीलाल चौटाला भाजपा की फाइनल लिस्ट आने से पहले ही इनेलो में शामिल होकर मैदान में उतर गए। हालांकि, भाजपा ने इनमें से किसी भी नेता पर कोई कार्रवाई नहीं की है। ये भी पढ़ें… हरियाणा कांग्रेस ने बागी चित्रा सरवारा को निकाला:पार्टी कैंडिडेट की ही बेटी, टिकट नहीं मिली तो निर्दलीय लड़ रहीं; अनिल विज से टक्कर हरियाणा में कांग्रेस ने पार्टी विरोधी गतिविधियों में लिप्त नेता चित्रा सरवारा को पार्टी से निकाल दिया है। उन्होंने कांग्रेस से टिकट न मिलने पर अंबाला कैंट विधानसभा सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ने का फैसला किया था। इसके बाद पार्टी ने उन्हें 6 साल के लिए निष्कासित किया है। पूरी खबर पढ़ें…
यमुनानगर में आढ़ती से मांगी एक करोड़ की फिरौती:विदेशी नंबर से कॉल, गोल्डी बराड़ गैंग का लिया नाम, 2 युवक गिरफ्तार
यमुनानगर में आढ़ती से मांगी एक करोड़ की फिरौती:विदेशी नंबर से कॉल, गोल्डी बराड़ गैंग का लिया नाम, 2 युवक गिरफ्तार यमुनानगर जिले के कस्बा बिलासपुर अनाज मंडी के आढ़ती शिव कुमार काे काल करके गोल्डी बराड़ गैंग के नाम से एक करोड़ रुपए की रंगदारी मांगने के मामले में सीआइए टू की टीम ने दो आरोपियों खानपुर निवासी हरमीत व मानकपुर निवासी हर्ष को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार आरोपियों को रिमांड पर लेकर पूछताछ की जा रही है। हरमीत ने दी गैंग बदमाशों को पनाह डीएसपी राजेश कुमार ने बताया कि गोल्डी बराड गैंग के बदमाशों ने यूएसए से काल कर रंगदारी मांगी गई। इसमें यूएसए में रह रहे बलाचौर निवासी सौरभ, गौरव, ताहरी निवासी गुरमीत व गौरव गोल्डी बराड़ गैंग से जुड़े हैं। इन्होंने ही रंगदारी मांगी। इसके लिए यहां अपने साथियों को सक्रिय किया। जिसके लिए हरमीत व हर्ष ने साथ दिया। हरमीत ने गैंग बदमाशों को पनाह दी। वहीं हर्ष ने रेकी कर आढ़ती की जानकारी जुटाई। यह भी पता लगा है कि यूएसए में रह रहे आरोपियों ने वहां पर 22 नवंबर को युवक की हत्या भी की थी। 22 दिसंबर को यूएसए में उन्हें गिरफ्तार किया जा चुका है। यह था मामला मछरौली निवासी शिव कुमार की अनाज मंडी बिलासपुर में मैसर्स बाबू राम एंड संस के नाम से आढ़त है। यही मंडी में बनी दुकान के ऊपर बने मकान में वह अपने परिवार के साथ रहता है। 19 दिसंबर की दोपहर साढ़े 12 बजे अज्ञात नंबर से काल आई। काल करने वाले ने खुद को लॉरेंस गैंग से बताया और रुपयों की मांग की। इसके बाद उसे काल आती रही, लेकिन उसने रिसीव नहीं की। परिवार को खत्म करने की धमकी 20 दिसंबर को फिर काल आई। काल करने वाले ने खुद को गोल्डी बराड गैंग से बताया और एक करोड़ रुपए की रंगदारी मांगी। रंगदारी न देने पर परिवार सहित खत्म करने की धमकी दी थी। रविवार को इस संबंध में बिलासपुर थाना पुलिस ने केस दर्ज किया।