फरीदकोट में बेकाबू ट्राले ने सड़क किनारे खड़ी तीन गाड़ियों को टक्कर मार दी, जिससे गाड़ियों का काफी नुकसान हो गया। जबकि कोई जानी नुकसान नहीं हुआ। हादसा कोटकपूरा शहर में मोगा रोड पर शनिवार देर शाम हुआ और इसकी तस्वीरें वहां पर दुकान के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे में भी कैद हुई है। इस मामले की जानकारी मिलने के बाद थाना सिटी पुलिस मौके पर पहुंची और पुलिस ने ट्राले को कब्जे में लेकर जांच का काम शुरू कर दिया है। यह ट्राला शहर से मोगा रोड की तरफ आ रहा था और जब वह नए बस स्टैंड से पहले भारत डेयरी के पास पहुंचा तो उसके ड्राइवर ने संतुलन खो दिया और उसने डेयरी के बाहर खड़ी एक कार को टक्कर मार दी। टक्कर के बाद यह कार आगे खड़ी 2 अन्य गाड़ियों से टकरा गई। इस हादसे के चलते तीनों गाड़ियों के आगे और पीछे के हिस्से बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए। इस मामले में सूचना के बाद थाना सिटी की पुलिस मौके पर पहुंची और ट्राले को कब्जे में लेकर जांच का कार्य शुरू कर दिया। फरीदकोट में बेकाबू ट्राले ने सड़क किनारे खड़ी तीन गाड़ियों को टक्कर मार दी, जिससे गाड़ियों का काफी नुकसान हो गया। जबकि कोई जानी नुकसान नहीं हुआ। हादसा कोटकपूरा शहर में मोगा रोड पर शनिवार देर शाम हुआ और इसकी तस्वीरें वहां पर दुकान के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे में भी कैद हुई है। इस मामले की जानकारी मिलने के बाद थाना सिटी पुलिस मौके पर पहुंची और पुलिस ने ट्राले को कब्जे में लेकर जांच का काम शुरू कर दिया है। यह ट्राला शहर से मोगा रोड की तरफ आ रहा था और जब वह नए बस स्टैंड से पहले भारत डेयरी के पास पहुंचा तो उसके ड्राइवर ने संतुलन खो दिया और उसने डेयरी के बाहर खड़ी एक कार को टक्कर मार दी। टक्कर के बाद यह कार आगे खड़ी 2 अन्य गाड़ियों से टकरा गई। इस हादसे के चलते तीनों गाड़ियों के आगे और पीछे के हिस्से बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए। इस मामले में सूचना के बाद थाना सिटी की पुलिस मौके पर पहुंची और ट्राले को कब्जे में लेकर जांच का कार्य शुरू कर दिया। पंजाब | दैनिक भास्कर
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पीएम मोदी के विरोध में केस दर्ज होने पर प्रदर्शन:मानसा में किसानों ने पहनी काली पगड़ी, बोले- केस वापस लें सरकार
पीएम मोदी के विरोध में केस दर्ज होने पर प्रदर्शन:मानसा में किसानों ने पहनी काली पगड़ी, बोले- केस वापस लें सरकार फिरोजपुर में 2022 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दौरे के दौरान विरोध प्रदर्शन के मामले में किसानों पर दर्ज केस के विरोध में किसान नेता रुलदू सिंह मानसा ने काली पगड़ी पहनकर विरोध जताया है। उन्होंने कहा कि किसानों पर दर्ज मामला पूरी तरह से निंदनीय है और इसे वापस लेने के लिए पंजाब और केंद्र सरकार के खिलाफ आंदोलन किया जाएगा। खनौरी बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन का समर्थन करते हुए रुलदू सिंह ने कहा कि जगजीत सिंह डल्लेवाल किसानों की मांगों के लिए संघर्ष कर रहे हैं। उनके समर्थन में उन्होंने अपनी पगड़ी का रंग बदला है। उन्होंने चेतावनी दी कि जब तक केंद्र सरकार किसानों की मांगें नहीं मानेगी, वह काली पगड़ी पहने रहेंगे। रुलदू सिंह ने स्पष्ट किया कि 2022 में प्रधानमंत्री मोदी के पंजाब दौरे के दौरान किसी भी किसान ने न तो सड़क जाम की और न ही पीएम के काफिले को रोका। पूर्व मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने भी इस बात की पुष्टि की थी। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर किसानों पर दर्ज मामले वापस नहीं लिए गए तो आने वाले दिनों में किसान आंदोलन और तेज किया जाएगा।
हरियाणा BJP सांसद बोले-किसान कसाई, नशे के सौदागर:आंदोलन वाली जगह 700 लड़कियां गायब हुईं; व्यक्ति की हत्या की, इनकी हैसियत क्या है
हरियाणा BJP सांसद बोले-किसान कसाई, नशे के सौदागर:आंदोलन वाली जगह 700 लड़कियां गायब हुईं; व्यक्ति की हत्या की, इनकी हैसियत क्या है हरियाणा में भाजपा के राज्यसभा सांसद रामचंद्र जांगड़ा ने किसानों को लेकर विवादित बयान दिया है। उन्होंने किसानों को नशे का सौदागर और कसाई बताया। सांसद ने कहा कि जहां किसान आंदोलन हुआ, वहां पर 700 लड़कियां गायब हुई थीं। पंजाब के किसानों ने हरियाणा में नशा फैलाया। पिछले आंदोलन में एक व्यक्ति की हत्या कर सड़क पर टांग दिया। राकेश टिकैत और गुरनाम चढ़ूनी के चुनाव हारने पर उन्होंने कहा कि इनकी हैसियत क्या है?। जांगड़ा ने ये बयान गुरुवार (12 दिसंबर) को रोहतक के महम शुगर मिल में गन्ना पेराई सत्र के शुभारंभ पर दिया। यहां प्रदेश के सहकारिता मंत्री डॉ. अरविंद शर्मा भी मौजूद थे। उनके इस बयान का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। सांसद जांगड़ा ने कहीं 5 बड़ी बातें… 1. बॉर्डर पर बैठे पंजाब के नशेड़ियों ने नशे का नेटवर्क फैलाया
जांगड़ा ने कहा कि 2021 के बाद से गांव-गांव में बच्चे बेमौत मर रहे हैं। कोई नशे का इंजेक्शन लगा रहा तो कोई चिट्टा (हेरोइन), भुक्की, अफीम और कोकीन खा रहा। कई स्मैक भी पी रहे हैं। 2021 में एक साल तक टिकरी और सिंघु बॉर्डर पर पंजाब के जो नशेड़ी बैठे रहे, उन्होंने सारा नशे का नेटवर्क हरियाणा प्रदेश में फैला दिया। 2. 700 लड़कियां गायब, कहां गईं, कोई पता नहीं
उन्होंने कहा कि चाहे सीआईडी की रिपोर्ट पूछ लेना, सिंघु बॉर्डर व बहादुरगढ़ बॉर्डर के पास के गांव की 700 लड़कियां गायब हैं। वे कहां पर गई, यह किसी को पता नहीं। एक व्यक्ति की हत्या कर सड़क के बीच में टांग दिया। ये किसान नहीं, बल्कि कसाई हैं। 3. लोगों को बहकाने के लिए आ जाते हैं
राज्यसभा सांसद ने आगे कहा कि राकेश टिकैत ने दो चुनाव लड़े, यूपी में दोनों बार जमानत जब्त हुई। गुरनाम सिंह चढूनी ने अभी पिहोवा से चुनाव लड़ा। 1170 वोट मिले। इनकी हैसियत क्या है और लोगों को बहकाने के लिए आ जाते हैं। चंदा इकट्ठा करके ले जाते हैं। भाईचारा खराब करके कलायत चले जाते हैं। 4. भाईचारा खराब हुआ, युवक नशे का शिकार हुए
उन्होंने कहा कि कुंडली बॉर्डर पर 100 फैक्ट्रियां बंद हो गईं। बहादुरगढ़ बॉर्डर पर एक साल तक 100 फैक्ट्रियां बंद हो गई। नुकसान किसका हुआ, हरियाणा प्रदेश का। भाईचारा किसका खराब हुआ, हमारा हुआ। चंदा हमारा गया, खीर-हलवे हमारे गए। बेटियां हमारी गायब हुईं और हमारे युवक नशे का शिकार हुए। इतना बड़ा नुकसान हमारे प्रदेश को सहन करना पड़ा। 5. केंद्र और सैनी सरकार अच्छा काम कर रही
जांगड़ा ने कहा कि इन लोगों से सचेत रहें और उन्हें बता दें कि प्रदेश में सैनी सरकार व केंद्र में मोदी सरकार इतना अच्छा काम कर रही है कि हमें कोई आंदोलन व धरना प्रदर्शन करने की जरूरत नहीं। अपना समय व पैसा बर्बाद करने की जरूरत नहीं है। पंधेर बोले- लोगों की भीड़ देखकर भाजपा चिंतित है
किसान नेता सरवण सिंह पंधेर ने जांगड़ा के बयान पर पलटवार करते हुए कहा- हरियाणा के सांसद गैर-जिम्मेदाराना बयान दे रहे हैं और मैं भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा से आग्रह करता हूं कि उन्हें पार्टी से निष्कासित करें और उनके खिलाफ कार्रवाई करें। उन्होंने कहा कि जिस तरह से जांगड़ा समुदायों में फूट डालने का काम कर रहे हैं वो उचित नहीं है। किसान आंदोलन से काफी लोग जुड़ रहे हैं, इसलिए भाजपा सरकार चिंतित है। AAP बोली- BJP को अन्नदाता दिख रहा नशेड़ी
आम आदमी पार्टी (AAP) के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. सुशील गुप्ता ने भी जांगड़ा के बयान के सहारे बीजेपी को घेरा है। उन्होंने कहा- बीजेपी के सांसदों को देश के अन्नदाता नशेड़ी नजर आने लगे हैं। किसानों को नशेड़ी और 700 लड़कियों के गायब होने जैसे गैर-जिम्मेदाराना बयान देना न केवल शर्मनाक है बल्कि बेहद निंदनीय भी है। वहीं, नेहरा खाप के युवा राष्ट्रीय अध्यक्ष संदीप नेहरा ने कहा कि रामचंद्र जांगड़ा का मानसिक संतुलन खराब है। उनके परिवार को उनका अच्छे डॉक्टर से इलाज करवाना चाहिए। साथ ही संदीप ने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर जांगड़ा ने किसानों पर दिए बयान पर माफी नहीं मांगी तो इसका खामियाजा उन्हें भुगतना पड़ेगा।
BJP सांसद कंगना रनोट ने कहा था- किसान आंदोलन के दौरान रेप-मर्डर हुए
करीब 4 महीने पहले हिमाचल से BJP सांसद एवं एक्ट्रेस कंगना रनोट ने किसान आंदोलन को लेकर बयान दिया था। जिस पर बवाल हुआ था। उन्होंने दैनिक भास्कर को दिए इंटरव्यू में कहा था कि पंजाब में किसान आंदोलन के नाम पर उपद्रवी हिंसा फैला रहे थे। वहां रेप और हत्याएं हो रही थीं। किसान बिल को वापस ले लिया गया वर्ना इन उपद्रवियों की बहुत लंबी प्लानिंग थी। वे देश में कुछ भी कर सकते थे। कृषि कानूनों की वापसी वाले बयान पर भी हुआ था बवाल
सितंबर महीने में सांसद कंगना रनोट ने 3 कृषि कानूनों को दोबारा लागू करने की बात कही थी। उन्होंने कहा था कि किसानों के जो लॉ हैं, जो रोक दिए गए, वे वापस लाने चाहिए। किसानों को खुद इसकी डिमांड करनी चाहिए। हमारे किसानों की समृद्धि में ब्रेक न लगे। हमारे किसान पिलर ऑफ स्ट्रेंथ (मजबूती के स्तंभ) हैं। वे खुद अपील करें कि हमारे तीनों कानूनों को लागू किया जाए। हमारे कुछ राज्यों ने इन कानूनों को लेकर आपत्ति जताई थी, उनसे हाथ जोड़ विनती करती हूं कि इन्हें वापस लाएं। हालांकि इसका विरोध होने के बाद उन्होंने माफी मांग ली थी।
अमृतसर में बोले अमृतपाल के पिता तरसेम सिंह:कहा-नफरत के तहत पुलिस लगा रही आरोप, हाईकोर्ट के जज करें गुरुप्रीत कत्ल केस की जांच
अमृतसर में बोले अमृतपाल के पिता तरसेम सिंह:कहा-नफरत के तहत पुलिस लगा रही आरोप, हाईकोर्ट के जज करें गुरुप्रीत कत्ल केस की जांच वारिस-ए-पंजाब के मुखी और सांसद अमृतपाल सिंह के पिता तरसेम सिंह ने आरोप लगाया है कि पंजाब सरकार और राज्य एजेंसियां सिख युवक गुरप्रीत सिंह की हत्या की साजिश में उन्हें जानबूझकर फंसाने के कोशिश कर रही है। आज उन्होंने एक प्रेस वार्ता के दौरान कहा कि यह साजिश उसी कड़ी का हिस्सा है जिसके तहत पंजाब सरकार दावा करती है कि अमृतपाल सिंह की रिहाई से पंजाब के सीएम की जान को खतरा है। उन्होंने कहा कि गुरप्रीत सिंह के कत्ल की जांच किसी सीटिंग जज के जरिए होनी चाहिए ना कि पुलिस को जज बनाना चाहिए। अमृतपाल सिंह के पिता तरसेम सिंह ने कहा कि बीते दिन पंजाब पुलिस ने अपनी घृणित प्रवृत्ति के तहत दिए गए बयानों के आधार पर एक्टिविस्ट गुरप्रीत सिंह के कत्ल के शक की सुई सीधा अमृतपाल सिंह पर खड़ी कर दी है। जो कि सरकार की अमृतपाल सिंह के प्रति प्रतिशोधात्मक मंशा की पुष्टि करती है। केंद्रीय एजेंसियां बना रही डराने वाला माहौल उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा उन पर दर्ज किए गए झूठे मुकदमे और केंद्रीय एजेंसियों की छापेमारी का मकसद लोकसभा चुनाव के दौरान पैदा हुई राजनीतिक उथल-पुथल को दबाने के लिए डराने वाला माहौल बनाना है। उन्होंने कहा कि गुरप्रीत सिंह की हत्या बहुत दुखद घटना थी, लेकिन हत्या के दिन से ही सरकार और राज्य एजेंसियों द्वारा इस हत्या को लेकर भाईचारे का माहौल खराब करने की अनैतिक और क्रूर कोशिशें और भी दुखद हैं। इस साजिश में पंजाब विधानसभा अध्यक्ष कुलतार सिंह संधवा की भी बेहद संदिग्ध भूमिका है। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान और अध्यक्ष संधवा इस घटना का इस्तेमाल अपने नापाक इरादों को पूरा करने के लिए कर रहे हैं। ये दोनों एक ऐसा माहौल बना रहे हैं जो पंजाब के युवाओं को फिर से हिंसा के रास्ते पर धकेल रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले दशकों की घटनाओं से सबक लेने के बजाय, ये राजनीतिक नेता वही दमनकारी और अन्यायपूर्ण नीतियां अपना रहे हैं। नई क्षेत्रीय पार्टियों को बनने से रोकने की साजिश उन्होंने कहा कि जिस दिन 29 सितंबर, 2024 को उन्होंने नई पार्टी बनाने के लिए श्री अकाल तख्त साहिब पर प्रार्थना की, उसी दिन से वारिस पंजाब संगठन के बारे में और भाई अमृतपाल सिंह के बारे में पंजाब सरकार ने पंजाब की नई क्षेत्रीय पार्टी को बनने से रोकने की साजिश रचनी शुरू कर दी। इसीलिए वह इस संबंध में माननीय उच्च न्यायालय के वर्तमान न्यायाधीशों से इसकी निष्पक्ष जांच की मांग करते हैं । उन्होंने यह भी आशंका जताई कि आने वाले दिनों में अगर उनके परिवार को जान-माल का नुकसान हुआ तो इसकी सीधी जिम्मेदारी डीजीपी पंजाब और पंजाब सरकार की होगी। उन्होंने श्री अकाल तख्त साहिब से भी अपील है कि इस संबंध में कोई कमेटी बनाकर जांच करवाई जाए, ताकि राज्य सरकार का सिखों को आपस में लड़वाने की मंशा पूरी ना हो पाए।