पंचकूला में लोगों ने इस बार होली अलग अंदाज में खेली। आल इंडिया मेडिकल एंड रिसर्च एसोसिएशन और रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन से जुड़े लोगों ने होली के रंग की बजाय पहले एक दूजे को मिट्टी का लेप लगाया और इसके बाद रंग लगाए। एसोसिएशन के सदस्यों ने कहा कि मिट्टी से होली खेलने के कई फायदे होंगे। उन्होंने कहा की इसका पहला फायदा होली के अवसर पर यदि कोई गुलाल लगा देगा, तो भी उसका असर उनकी स्किन पर नहीं पड़ेगा। क्योंकि शरीर पर मिट्टी का लेप लगा होगा। इसका दूसरा फायदा यह होगा कि मिट्टी का लेप लगे होने की वजह से स्किन और बालों से गुलाल या होली के पानी वाले रंगों को आसानी से धोया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इसका यह फायदा भी होगा कि मिट्टी का सेहत को फायदा पहुंचता है, जिसको आयुर्वेद भी मान्यता देता है। इन लोगों ने बच्चों को भी मिट्टी से होली खेलने के लिए प्रेरित किया। इन्होंने लोगों ने आम लोगों को भी सेहत के प्रति सचेत रहने की अपील की है। पंचकूला में लोगों ने इस बार होली अलग अंदाज में खेली। आल इंडिया मेडिकल एंड रिसर्च एसोसिएशन और रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन से जुड़े लोगों ने होली के रंग की बजाय पहले एक दूजे को मिट्टी का लेप लगाया और इसके बाद रंग लगाए। एसोसिएशन के सदस्यों ने कहा कि मिट्टी से होली खेलने के कई फायदे होंगे। उन्होंने कहा की इसका पहला फायदा होली के अवसर पर यदि कोई गुलाल लगा देगा, तो भी उसका असर उनकी स्किन पर नहीं पड़ेगा। क्योंकि शरीर पर मिट्टी का लेप लगा होगा। इसका दूसरा फायदा यह होगा कि मिट्टी का लेप लगे होने की वजह से स्किन और बालों से गुलाल या होली के पानी वाले रंगों को आसानी से धोया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि इसके अलावा इसका यह फायदा भी होगा कि मिट्टी का सेहत को फायदा पहुंचता है, जिसको आयुर्वेद भी मान्यता देता है। इन लोगों ने बच्चों को भी मिट्टी से होली खेलने के लिए प्रेरित किया। इन्होंने लोगों ने आम लोगों को भी सेहत के प्रति सचेत रहने की अपील की है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
