हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी के ओएसडी वीरेंद्र सिंह बड़खालसा पूर्व थल सेना अध्यक्ष जनरल दलबीर सिंह सुहाग की माता इसरी देवी के निधन पर शोक जताने गांव बिसाहन पहुंचे। उन्होंने दिवंगत इसरी देवी के निधन पर शोक प्रकट करते हुए भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की। पूर्व थल सेनाध्यक्ष की माता 96 वर्षीय इसरी देवी का 30 मार्च की रात को निधन हो गया था। सीएम ने OSD के माध्यम से शोक संदेश भेजा है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी द्वारा प्रेषित शोक संदेश पत्र इसरी देवी के बेटे और पूर्व थल सेनाध्यक्ष जनरल दलबीर सिंह सुहाग को सौंपा और दिवंगत आत्मा की शांति की प्रार्थना की। ओएसडी वीरेंद्र बड़खालसा ने इसरी देवी के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित करते हुए कहा कि वे वास्तव में एक प्रेरणादायक महिला थीं। उनका विनम्र स्वभाव और सामाजिक कार्यों के प्रति समर्पण से उनकी गांव व आसपास के क्षेत्र में अलग पहचान थी। धार्मिक कार्यक्रमों में लेती थी भाग उन्होंने अपने बच्चों को ग्रामीण परिवेश में रहते हुए अच्छी शिक्षा दिलाई,जिसका प्रमुख उदाहरण उनके बेटे एवं थल सेना अध्यक्ष रह चुके जनरल दलबीर सिंह सुहाग हैं। इसरी देवी हमेशा न केवल धार्मिक कार्यक्रमों में भाग लेती थीं, बल्कि जरूरतमंदों की मदद करने में भी हमेशा तत्पर रहती थीं। इसके उपरांत ओएसडी बड़खालसा ने गांव बिसाहन के समीप घडोई धाम पहुंचकर हरिहर परमहंस महाराज भीष्म की समाधि के दर्शन किए l महाराज ध्यानंद ने महाराज भीष्म की मूर्ति भेंट करके आशीर्वाद दिया। हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी के ओएसडी वीरेंद्र सिंह बड़खालसा पूर्व थल सेना अध्यक्ष जनरल दलबीर सिंह सुहाग की माता इसरी देवी के निधन पर शोक जताने गांव बिसाहन पहुंचे। उन्होंने दिवंगत इसरी देवी के निधन पर शोक प्रकट करते हुए भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की। पूर्व थल सेनाध्यक्ष की माता 96 वर्षीय इसरी देवी का 30 मार्च की रात को निधन हो गया था। सीएम ने OSD के माध्यम से शोक संदेश भेजा है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी द्वारा प्रेषित शोक संदेश पत्र इसरी देवी के बेटे और पूर्व थल सेनाध्यक्ष जनरल दलबीर सिंह सुहाग को सौंपा और दिवंगत आत्मा की शांति की प्रार्थना की। ओएसडी वीरेंद्र बड़खालसा ने इसरी देवी के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित करते हुए कहा कि वे वास्तव में एक प्रेरणादायक महिला थीं। उनका विनम्र स्वभाव और सामाजिक कार्यों के प्रति समर्पण से उनकी गांव व आसपास के क्षेत्र में अलग पहचान थी। धार्मिक कार्यक्रमों में लेती थी भाग उन्होंने अपने बच्चों को ग्रामीण परिवेश में रहते हुए अच्छी शिक्षा दिलाई,जिसका प्रमुख उदाहरण उनके बेटे एवं थल सेना अध्यक्ष रह चुके जनरल दलबीर सिंह सुहाग हैं। इसरी देवी हमेशा न केवल धार्मिक कार्यक्रमों में भाग लेती थीं, बल्कि जरूरतमंदों की मदद करने में भी हमेशा तत्पर रहती थीं। इसके उपरांत ओएसडी बड़खालसा ने गांव बिसाहन के समीप घडोई धाम पहुंचकर हरिहर परमहंस महाराज भीष्म की समाधि के दर्शन किए l महाराज ध्यानंद ने महाराज भीष्म की मूर्ति भेंट करके आशीर्वाद दिया। हरियाणा | दैनिक भास्कर
