जम्मू कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद हरियाणा में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों को निकाला जाएगा। प्रदेश में करीब 600 विदेशी नागरिक रह रहे हैं, जिनमें 460 पाकिस्तानी हैं। ये सभी हिंदू हैं। 375 लोग भारत की नागरिकता के लिए पहले ही आवेदन कर चुके हैं, जबकि अन्य वीजा के जरिए यहां रह रहे हैं। सबसे ज्यादा विदेशी नागरिक फरीदाबाद में रह रहे हैं। इनमें 214 पाकिस्तान, 40 से ज्यादा अफगान, बंगलादेश व अन्य देशों के हैं। हरियाणा गृह विभाग के पास मौजूद आंकड़ों के मुताबिक पाकिस्तानी नागरिकों की संख्या सबसे ज्यादा है। हर साल इनका वीजा बढ़ाया जा रहा है। सभी परिवार भारत-पाक विभाजन के कुछ समय बाद ही हरियाणा आ गए थे, जो शरणार्थी के तौर पर वीजा के जरिए रह रहे हैं। गृह विभाग रखता है नजर
हरियाणा गृह विभाग की ओर से कई दशकों से शरणार्थी के तौर पर रहने वाले पाकिस्तानी हिंदुओं पर नजर रखी जा रही है। प्राथमिकता के आधार पर उनका वीजा बढ़ाया जाता रहा है। गृह विभाग में अलग से इसके लिए एक विंग बनी हुई है, जो केंद्रीय गृह और विदेश मंत्रालय को समय-समय पर रिपोर्ट देती रहती है। पाकिस्तानी नागरिकों को हरियाणा छोड़ने के आदेश
एक दिन पहले शुक्रवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्री नायब सैनी से फोन पर बात की थी। शाह ने सैनी से राज्य में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों को वापस भेजने को कहा। इसके बादर नायब सैनी ने चीफ सेक्रेटरी समेत बड़े अधिकारियों की हाई लेवल मीटिंग बुलाई। मीटिंग में CID चीफ को इसके लिए प्लानिंग बनाने को कहा गया। 27 अप्रैल तक पाकिस्तानी नागरिकों को भारत छोड़ने को कहा गया है। मेडिकल वीजा पर रह रहे लोगों को 29 अप्रैल तक का टाइम दिया गया है। ये आदेश लॉन्ग टर्म वीजा, डिप्लोमैट वीजा और ऑफिशियल वीजा पर लागू नहीं होंगे। नायब सैनी ने अधिकारियों को हिदायत दी है कि माहौल बिगाड़ने वाले असामाजिक तत्वों पर कड़ी नजर रखी जाए। साथ ही शांति भंग करने वालों पर तुरंत कार्रवाई की जाए। 7 जिलों को लेकर सरकार अलर्ट
हरियाणा में 6 जिले ऐसे हैं, जहां दंगे भड़कने की संभावना हमेशा बनी रहती है। इन जिलों में गुरुग्राम, फरीदाबाद, पलवल, झज्जर, यमुनानगर और जींद शामिल हैं। इन जिलों में 2023 में भी नूंह में बृजमंडल यात्रा के दौरान हुए उपद्रव के बाद हिंसक घटनाएं हो चुकी हैं। जिसमें काफी नुकसान हुआ था। यहां हुए दंगों की हिंसा की वजह से 2 पुलिसकर्मियों सहित 5 लोगों की मौत हो गई थी। नूंह को अति-संवेदनशील एरिया घोषित किया गया है। ================ ये खबर भी पढ़ें :- पहलगाम आतंकी हमला, हरियाणा में सुरक्षा अलर्ट: यूनिवर्सिटीज में कश्मीरी स्टूडेंट्स की सुरक्षा के आदेश केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के पाकिस्तानियों को हरियाणा से निकालने के आदेश के बाद CM नायब सैनी ने अधिकारियों की हाईलेवल मीटिंग बुलाई। मीटिंग में CM ने सिक्योरिटी को लेकर की गई व्यवस्थाओं की जानकारी ली। साथ ही पाकिस्तानी नागरिकों को वापस भेजने के लिए पुलिस और CID को प्लानिंग बनाने को कहा। पढ़ें पूरी खबर जम्मू कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद हरियाणा में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों को निकाला जाएगा। प्रदेश में करीब 600 विदेशी नागरिक रह रहे हैं, जिनमें 460 पाकिस्तानी हैं। ये सभी हिंदू हैं। 375 लोग भारत की नागरिकता के लिए पहले ही आवेदन कर चुके हैं, जबकि अन्य वीजा के जरिए यहां रह रहे हैं। सबसे ज्यादा विदेशी नागरिक फरीदाबाद में रह रहे हैं। इनमें 214 पाकिस्तान, 40 से ज्यादा अफगान, बंगलादेश व अन्य देशों के हैं। हरियाणा गृह विभाग के पास मौजूद आंकड़ों के मुताबिक पाकिस्तानी नागरिकों की संख्या सबसे ज्यादा है। हर साल इनका वीजा बढ़ाया जा रहा है। सभी परिवार भारत-पाक विभाजन के कुछ समय बाद ही हरियाणा आ गए थे, जो शरणार्थी के तौर पर वीजा के जरिए रह रहे हैं। गृह विभाग रखता है नजर
हरियाणा गृह विभाग की ओर से कई दशकों से शरणार्थी के तौर पर रहने वाले पाकिस्तानी हिंदुओं पर नजर रखी जा रही है। प्राथमिकता के आधार पर उनका वीजा बढ़ाया जाता रहा है। गृह विभाग में अलग से इसके लिए एक विंग बनी हुई है, जो केंद्रीय गृह और विदेश मंत्रालय को समय-समय पर रिपोर्ट देती रहती है। पाकिस्तानी नागरिकों को हरियाणा छोड़ने के आदेश
एक दिन पहले शुक्रवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्री नायब सैनी से फोन पर बात की थी। शाह ने सैनी से राज्य में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों को वापस भेजने को कहा। इसके बादर नायब सैनी ने चीफ सेक्रेटरी समेत बड़े अधिकारियों की हाई लेवल मीटिंग बुलाई। मीटिंग में CID चीफ को इसके लिए प्लानिंग बनाने को कहा गया। 27 अप्रैल तक पाकिस्तानी नागरिकों को भारत छोड़ने को कहा गया है। मेडिकल वीजा पर रह रहे लोगों को 29 अप्रैल तक का टाइम दिया गया है। ये आदेश लॉन्ग टर्म वीजा, डिप्लोमैट वीजा और ऑफिशियल वीजा पर लागू नहीं होंगे। नायब सैनी ने अधिकारियों को हिदायत दी है कि माहौल बिगाड़ने वाले असामाजिक तत्वों पर कड़ी नजर रखी जाए। साथ ही शांति भंग करने वालों पर तुरंत कार्रवाई की जाए। 7 जिलों को लेकर सरकार अलर्ट
हरियाणा में 6 जिले ऐसे हैं, जहां दंगे भड़कने की संभावना हमेशा बनी रहती है। इन जिलों में गुरुग्राम, फरीदाबाद, पलवल, झज्जर, यमुनानगर और जींद शामिल हैं। इन जिलों में 2023 में भी नूंह में बृजमंडल यात्रा के दौरान हुए उपद्रव के बाद हिंसक घटनाएं हो चुकी हैं। जिसमें काफी नुकसान हुआ था। यहां हुए दंगों की हिंसा की वजह से 2 पुलिसकर्मियों सहित 5 लोगों की मौत हो गई थी। नूंह को अति-संवेदनशील एरिया घोषित किया गया है। ================ ये खबर भी पढ़ें :- पहलगाम आतंकी हमला, हरियाणा में सुरक्षा अलर्ट: यूनिवर्सिटीज में कश्मीरी स्टूडेंट्स की सुरक्षा के आदेश केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के पाकिस्तानियों को हरियाणा से निकालने के आदेश के बाद CM नायब सैनी ने अधिकारियों की हाईलेवल मीटिंग बुलाई। मीटिंग में CM ने सिक्योरिटी को लेकर की गई व्यवस्थाओं की जानकारी ली। साथ ही पाकिस्तानी नागरिकों को वापस भेजने के लिए पुलिस और CID को प्लानिंग बनाने को कहा। पढ़ें पूरी खबर हरियाणा | दैनिक भास्कर
