पंजाब के जालंधर में बीती रात खेत में निराई करते समय ट्रैक्टर की चपेट में आने से एक युवक की मौत हो गई। मृतक की पहचान गांव बोलिना निवासी रोमनदीप सिंह देओल (26) के रूप में हुई है। मृतक के पिता की पहले ही मौत हो चुकी है। रोमनदीप का भाई व अन्य परिवार के सदस्य विदेश में रहते हैं। उनके आने के बाद उसका अंतिम संस्कार किया जाएगा। घटना के संबंध में बोलिना दोआबा गांव के सरपंच कुलविंदर बाघा ने बताया कि रोमन का परिवार बोलिना गांव का जमींदार है। बीती रात रोमन अपने खेत में अकेला काम कर रहा था। रात 2 बजे तक वह घर नहीं लौटा। उसका फोन नहीं लगा तो उसकी मां परमिंदर कौर ने रोमन के दोस्त परमवीर सिंह को फोन कर रोमन के न होने की जानकारी दी। जिसके बाद परमवीर सिंह खेत में गया तो देखा कि रोमन ट्रैक्टर के टायर के नीचे मृत पड़ा था। स्टार्ट खड़ा था ट्रैक्टर मिली जानकारी के अनुसार जब परमवीर खेत में पहुंचा तो ट्रैक्टर वहां पर स्टार्ट खड़ा था। जिस पर उसने सबसे पहले ट्रैक्टर रोका और तुरंत इसकी सूचना परिजनों, सरपंच कुलविंदर बाघा और गांव के बुजुर्गों को दी। सरपंच कुलविंदर बाघा ने बताया कि जब उन्होंने खेत में जाकर रोमन को देखा तो वह ट्रैक्टर के टायर के नीचे मृत पड़ा था। उसके शरीर पर टायर चलाने के निशान थे। उन्होंने बताया कि रोमन खेत में अकेले काम कर रहा था। इसलिए हादसा कैसे हुआ, इसके बारे में कुछ भी स्पष्ट नहीं है। मामले की जांच थाना पतारा की पुलिस कर रही है। पंजाब के जालंधर में बीती रात खेत में निराई करते समय ट्रैक्टर की चपेट में आने से एक युवक की मौत हो गई। मृतक की पहचान गांव बोलिना निवासी रोमनदीप सिंह देओल (26) के रूप में हुई है। मृतक के पिता की पहले ही मौत हो चुकी है। रोमनदीप का भाई व अन्य परिवार के सदस्य विदेश में रहते हैं। उनके आने के बाद उसका अंतिम संस्कार किया जाएगा। घटना के संबंध में बोलिना दोआबा गांव के सरपंच कुलविंदर बाघा ने बताया कि रोमन का परिवार बोलिना गांव का जमींदार है। बीती रात रोमन अपने खेत में अकेला काम कर रहा था। रात 2 बजे तक वह घर नहीं लौटा। उसका फोन नहीं लगा तो उसकी मां परमिंदर कौर ने रोमन के दोस्त परमवीर सिंह को फोन कर रोमन के न होने की जानकारी दी। जिसके बाद परमवीर सिंह खेत में गया तो देखा कि रोमन ट्रैक्टर के टायर के नीचे मृत पड़ा था। स्टार्ट खड़ा था ट्रैक्टर मिली जानकारी के अनुसार जब परमवीर खेत में पहुंचा तो ट्रैक्टर वहां पर स्टार्ट खड़ा था। जिस पर उसने सबसे पहले ट्रैक्टर रोका और तुरंत इसकी सूचना परिजनों, सरपंच कुलविंदर बाघा और गांव के बुजुर्गों को दी। सरपंच कुलविंदर बाघा ने बताया कि जब उन्होंने खेत में जाकर रोमन को देखा तो वह ट्रैक्टर के टायर के नीचे मृत पड़ा था। उसके शरीर पर टायर चलाने के निशान थे। उन्होंने बताया कि रोमन खेत में अकेले काम कर रहा था। इसलिए हादसा कैसे हुआ, इसके बारे में कुछ भी स्पष्ट नहीं है। मामले की जांच थाना पतारा की पुलिस कर रही है। पंजाब | दैनिक भास्कर
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कपूरथला में फोटोग्राफर लापता:फंक्शन कवर करने के बाद बाइक से लौट रहा था, फोन स्विच आया कपूरथला के सुलतानपुर लोधी में एक फोटोग्राफर लापता हो गया। न्यू मॉडल टाउन सुलतानपुर लोधी निवासी 30 वर्षीय तीक्षित 13 जनवरी को लोहड़ी की रात जालंधर में एक फंक्शन कवर करने के बाद रात करीब 10 बजे अपनी बाइक से घर के लिए निकला था। लापता युवक के भाई अमृत ने बताया कि रात 11 बजे के बाद से तीक्षित का फोन स्विच ऑफ आ रहा है। परिजनों ने अपने स्तर पर कई जगहों पर तलाश की, लेकिन कोई सुराग नहीं मिला। इस संबंध में सुलतानपुर लोधी पुलिस थाने में लिखित शिकायत दर्ज कराई गई है। डीएसपी सुलतानपुर लोधी गुरमीत सिंह का कहना है कि यह मामला अभी उनके संज्ञान में नहीं है। उन्होंने आश्वासन दिया कि शिकायत मिलते ही लापता युवक की तलाश के लिए पुलिस उचित कार्रवाई करेगी। फिलहाल पुलिस और परिवार दोनों तीक्षित का पता लगाने में जुटे हैं।
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पंजाब यूनिवर्सिटी में 38 लाख का गबन, महिला कर्मचारी टर्मिनेट:हॉस्टल रेंट-स्टूडेंट्स की फीस अपने खाते में डाली; रजिस्ट्रार बोले- और बढ़ेगी राशि पंजाब यूनिवर्सिटी के डॉ. सुशील नैय्यर वर्किंग वूमेन हॉस्टल की डेलीवेजर महिला कर्मचारी को 38 लाख के गबन के मामले में नौकरी से हटा दिया गया है। महिला ने नवंबर 2020 में हॉस्टल ज्वाइन किया था और स्टूडेंट्स की फीस और हॉस्टल रेंट की राशि अपने खाते में जमा करवाई थी। मामले का खुलासा तब हुआ जब हॉस्टल वार्डन ने 29 मई को डीन स्टूडेंट वेलफेयर को शिकायत दी। शिकायत में बताया गया कि 35 लाख रुपए का गबन हुआ है। इसमें 5.33 लाख रुपए मैस के और करीब 30 लाख रुपए हॉस्टल रेंट के शामिल थे। इसके बाद रजिस्ट्रार द्वारा जांच कमेटी बनाई गई, जिसने मामले की जांच की। शुरुआती कार्रवाई में नवरीत कौर नामक महिला क्लर्क को दोषी पाया गया और उसे टर्मिनेट कर दिया गया। महिला का वेतन और अन्य लाभ भी रोक दिए गए हैं। अब तक सिर्फ 97 हजार की रिकवरी गबन की राशि की रिकवरी में अब तक केवल 97 हजार रुपए ही वसूल किए जा सके हैं। कमेटी ने पिछले तीन सालों के ऑडिट रिकॉर्ड चेक करने के निर्देश दिए हैं। शुरुआती जांच में यह आशंका जताई जा रही है कि गबन की राशि 50 लाख रुपए से भी अधिक हो सकती है। जांच कमेटी करेगी आगे की कार्रवाई मामले की गंभीरता को देखते हुए विभागीय जांच जारी है। इंटरनल जांच के आधार पर 15 से 20 लाख रुपए के अतिरिक्त गबन की संभावना भी जताई गई है। जांच कमेटी ने यह भी स्पष्ट किया है कि इतनी बड़ी धांधली केवल एक व्यक्ति द्वारा नहीं की जा सकती। अन्य अधिकारियों की भूमिका की भी जांच की जा रही है। पहले भी सामने आ चुके हैं गबन के मामले कुछ वर्ष पहले अकाउंट ब्रांच में पूजा बग्गा नामक महिला कर्मचारी द्वारा 2 करोड़ रुपए के गबन का मामला सामने आया था। हालांकि, उस समय भी अन्य अधिकारियों की भूमिका पर सवाल उठे थे, लेकिन कार्रवाई केवल महिला कर्मचारी पर ही हुई थी। जांच अधिकारी की नियुक्ति
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आतंकी अर्श डल्ला के खिलाफ NIA की कार्रवाई:पंजाब-हरियाणा और यूपी में 9 ठिकानों पर छापेमारी, कनाडा में गिरफ्तारी के बाद एक्शन राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में खालिस्तानी आतंकी अर्श डल्ला के ठिकानों पर छापेमारी की है। तीनों राज्यों के 9 जिलों में ये छापेमारी की गई। कनाडा में अर्श डल्ला की गिरफ्तारी के बाद यह पहला मौका है जब उसके के खिलाफ राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने इतने बड़े पैमाने पर कार्रवाई की है। अर्श डल्ला के करीबी सहयोगी एनआईए की रडार पर हैं, ताकि डल्ला के पूरे नेटवर्क को तोड़ा जा सके। एनआईए की जांच के मुताबिक डल्ला के तीन सहयोगी हैं। ये तीनों सहयोगी भारत में बड़ा आतंकी-गैंगस्टर सिंडिकेट चला रहे थे। अर्शदीप खालिस्तान टाइगर फोर्स (केटीएफ) का आतंकी है। भारत सरकार ने उसे 2022 में आतंकी घोषित किया था। वह कनाडा में रहता है और खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निझर का करीबी था। निझर की हाल ही में कनाडा में हत्या कर दी गई थी। एनआईए से जुड़े सूत्रों के मुताबिक जिन लोगों के ठिकानों पर छापेमारी की गई है। सभी लोग डल्ला से बात करते थे। लंबी जांच के बाद यह छापेमारी शुरू की गई। हैरी मोड़ और हैरी राजपुरा की पूछताछ में हुआ था खुलासा एनआईए का दावा है कि अर्शदीप के साथी हैरी मोड और हैरी राजपुरा स्लीपर सेल के रूप में काम करते थे और उन्हें राजीव कुमार नाम के व्यक्ति ने शरण दी थी। तीनों ने डल्ला के निर्देश पर और उससे मिले पैसों से कई आतंकी हमले करने की योजना बनाई थी। हैरी मोड और हैरी राजपुरा गिरोह के शूटर थे और उन्हें लक्षित हत्याएं करने का आदेश था। अर्श डल्ला ने राजीव कुमार उर्फ शीला को हैरी मोड और हैरी राजपुरा को पनाह देने के लिए पैसे दिए थे। एनआईए की जांच में यह भी पता चला कि राजीव कुमार, अर्श दल्ला के निर्देश पर दो अन्य लोगों के लिए रसद सहायता और हथियारों की व्यवस्था भी कर रहे थे। एनआईए ने 23 नवंबर 2023 को हैरी मौर और हैरी राजपुरा को और 12 जनवरी 2024 को राजीव कुमार को गिरफ्तार किया था।