जींद जिले के एक स्कूल में ड्रेस पहनकर नहीं पहुंचने पर शिक्षक ने 5वीं की छात्रा की पिटाई कर दी। मामला सफीदों क्षेत्र के मुआना गांव के राजकीय प्राइमरी स्कूल का है। परिजनों ने इस मामले में ब्लाक शिक्षा अधिकारी से शिकायत की है। छात्रा की मां केलो देवी ने बताया कि स्कूल में कुछ समय पहले ही ड्रेस चेंज की गई थी। करीब 2 महीने पहले उसके पति की मौत हो गई थी। पति की मौत के बाद परिवार में कोई कमाने वाला नहीं रहा। वह भी काफी समय से बीमार है और ठीक से चलने फिरने की स्थिति में नहीं है। इस कारण वह अपनी बेटी की हाल ही में नई ड्रेस को सिलवा ना सकी। नई ड्रेस नहीं पहनने पर पीटा केलो ने कहा कि उसकी बेटी पहले वाली ही ड्रेस पहनकर स्कूल में जा रही थी। इसको लेकर उसकी बेटी को स्कूल में लगातार परेशान किया जा रहा था। पिछले चार दिन से उसकी बेटी को क्लास में पीटा जा रहा था। पांचवें दिन बेटी ने घर आकर रोते-रोते सारी बातें बताई। उसकी छोटी सी बेटी को हाथों पर मारा गया था और उसके हाथ लाल हुए पड़े थे। स्कूल में नहीं हैं कई सुविधाएं छात्रा के चचेरे भाई पवन ने बताया कि बच्ची के सिर से पिता का साया उठ चुका है और मां बीमार है। परिवार की माली हालत बेहद खस्ता है। ऐसे में एक बच्ची को तंग करना कहां तक न्यायोचित है। पवन ने कहा कि वह स्कूल में जाकर टीचर से मिला था, लेकिन वहां उससे भी अभद्रता की गई। पवन का आरोप ये भी है कि स्कूल में बच्चों के लिए पीने का पानी, शौचालय, स्वच्छता की कोई उचित व्यवस्था नहीं है। प्रिंसिपल ने की परिजनों से बात परिवार का कहना था कि उन्होंने बीईओ सफीदों को इस संबंध में शिकायत दी थी, लेकिन वहां से कोई भी कार्रवाई नहीं हुई। इस मामले में बीईओ सुरेश मलिक का कहना है शिकायत मिलने पर प्रिंसिपल से बात की थी। जिसके बाद प्रिंसिपल ने परिजनों को बुलाकर मामले का समाधान करके उन्हें संतुष्ट किया है। जींद जिले के एक स्कूल में ड्रेस पहनकर नहीं पहुंचने पर शिक्षक ने 5वीं की छात्रा की पिटाई कर दी। मामला सफीदों क्षेत्र के मुआना गांव के राजकीय प्राइमरी स्कूल का है। परिजनों ने इस मामले में ब्लाक शिक्षा अधिकारी से शिकायत की है। छात्रा की मां केलो देवी ने बताया कि स्कूल में कुछ समय पहले ही ड्रेस चेंज की गई थी। करीब 2 महीने पहले उसके पति की मौत हो गई थी। पति की मौत के बाद परिवार में कोई कमाने वाला नहीं रहा। वह भी काफी समय से बीमार है और ठीक से चलने फिरने की स्थिति में नहीं है। इस कारण वह अपनी बेटी की हाल ही में नई ड्रेस को सिलवा ना सकी। नई ड्रेस नहीं पहनने पर पीटा केलो ने कहा कि उसकी बेटी पहले वाली ही ड्रेस पहनकर स्कूल में जा रही थी। इसको लेकर उसकी बेटी को स्कूल में लगातार परेशान किया जा रहा था। पिछले चार दिन से उसकी बेटी को क्लास में पीटा जा रहा था। पांचवें दिन बेटी ने घर आकर रोते-रोते सारी बातें बताई। उसकी छोटी सी बेटी को हाथों पर मारा गया था और उसके हाथ लाल हुए पड़े थे। स्कूल में नहीं हैं कई सुविधाएं छात्रा के चचेरे भाई पवन ने बताया कि बच्ची के सिर से पिता का साया उठ चुका है और मां बीमार है। परिवार की माली हालत बेहद खस्ता है। ऐसे में एक बच्ची को तंग करना कहां तक न्यायोचित है। पवन ने कहा कि वह स्कूल में जाकर टीचर से मिला था, लेकिन वहां उससे भी अभद्रता की गई। पवन का आरोप ये भी है कि स्कूल में बच्चों के लिए पीने का पानी, शौचालय, स्वच्छता की कोई उचित व्यवस्था नहीं है। प्रिंसिपल ने की परिजनों से बात परिवार का कहना था कि उन्होंने बीईओ सफीदों को इस संबंध में शिकायत दी थी, लेकिन वहां से कोई भी कार्रवाई नहीं हुई। इस मामले में बीईओ सुरेश मलिक का कहना है शिकायत मिलने पर प्रिंसिपल से बात की थी। जिसके बाद प्रिंसिपल ने परिजनों को बुलाकर मामले का समाधान करके उन्हें संतुष्ट किया है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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शव ठिकाने लगाने के लिए अंधेरे की फिराक में थे मां-बेटा मनोज मिश्रा | यमुनानगर पिता की हत्या कर सलाखों के पीछे पहुंचे सुमित व पत्नी यशोदा ने पूछताछ में जो भी कुछ बताया, वह खौफनाक था। शराब पीकर रोजाना मां-बेटे को पीटने वाले ललन को मारने वाले इकलौते बेटे सुमित ने कत्ल करने का मन गुरुवार सुबह ही बना लिया था, क्योंकि बुधवार रात भी ललन ने उनके साथ मारपीट की थी। पिता की हत्या कर 24 घंटे तक वह अपनी मां के साथ शव के पास इसलिए बैठा रहा था, क्योंकि वह शुक्रवार रात को पिता के ऑटो रिक्शा में उनके शव को रख कर ठिकाने लगाने का योजना बना चुका था। पुलिस पूछताछ में सुमित ने बताया कि वह अपने पिता से बहुत प्यार करता था, लेकिन जैसे-जैसे वह बड़ा हुआ और पिता ने शराब के नशे में परिवार की सुख-शांति खत्म कर दी तो उसे नफरत होने लगी। पिता से घृणा तब हुई जब पिछले कुछ माह से पिता ने उसकी मां को पीटना शुरू कर दिया। घर से निकाल देने की धमकी देने लगे। वह बीच-बचाव करता तो पिता उस पर भी हाथ उठा देते थे। ज्यादा गुस्सा तो इसी सप्ताह उस रात आया जब नशे में धुत होकर उसके पिता पहले तो उसकी मां को पीटा और रोती हुई पांच साल की बहन को भी धक्का दे दिया था। मां पर हाथ उठाया तो बेटे का गुस्सा फूटा 24 अक्टूबर बुधवार रात को भी ललन ने नशे में मारपीट की थी, लेकिन उस समय सुमित घर पर नहीं था। पिता के सोने के बाद जब वह घर पहुंचा तो रोते हुए यशोदा ने उसे पूरा किस्सा बताया। गुरुवार सुबह ही उसने सोच लिया था कि अगर अब पापा ने इस तरह की हरकत की तो वह उन्हें मार देगा। गुरुवार रात को जब ललन ने नशे में झगड़ा करते हुए यशोदा पर हाथ उठाया तो उसने फायर सिलेंडर से पहला वार ही इतनी ताकत से किया कि ललन अधमरा हो कर गिर पड़ा, जिससे वह चीख भी न सका और इसके बाद उसने ताबडतोड़ वार करता रहा…। इसके बाद धारदार हथियार से कई वार किए। ललन की मौत के बाद यशोदा ने खाना बनाया और वहीं बैठ कर खाना खाया। 24 घंटे तक शव के पास सुमित इसलिए बैठा रहा, क्योंकि शुक्रवार रात अंधेरे में वह पिता की ऑटो रिक्शा में ही शव को रख कर ठिकाने लगाता, लेकिन अचानक किसी ने खून देख कर मकान मालकिन को कॉल कर दी और भेद खुल गया।
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हरियाणा सरकार को मंत्रिमंडल पर नोटिस:14 मंत्री बनाए जाने पर जवाब मांगा; याचिका में आरोप- तय सीमा से ज्यादा मिनिस्टर
हरियाणा सरकार को मंत्रिमंडल पर नोटिस:14 मंत्री बनाए जाने पर जवाब मांगा; याचिका में आरोप- तय सीमा से ज्यादा मिनिस्टर हरियाणा में 14 मंत्री बनाए जाने के विरोध में दाखिल याचिका पर मंगलवार (5 नवंबर) को पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। हाईकोर्ट ने हरियाणा और केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। 17 अक्टूबर को नायब सैनी के अलावा 13 मंत्रियों ने शपथ ली थी। इसके बाद 18 अक्टूबर को एडवोकेट जगमोहन भट्टी ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की। याचिका में आरोप लगाया गया कि मंत्रिमंडल में अधिकतम मंत्री 13.5 हो सकते हैं, लेकिन हरियाणा में इस समय 14 मंत्री हैं। संविधान के 91वें संशोधन के तहत राज्य में कैबिनेट मंत्रियों की संख्या विधानसभा के कुल विधायकों की संख्या के 15 प्रतिशत से अधिक नहीं हो सकती। मंत्रियों को बनाया गया है प्रतिवादी
याचिका में भट्टी ने हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी, अनिल विज, कृष्णलाल पंवार, राव नरबीर, महिपाल ढांडा, विपुल गोयल, डॉ. अरविंद शर्मा, श्याम सिंह राणा, रणबीर गंगवा, कृष्ण कुमार बेदी, श्रुति चौधरी, आरती राव, राजेश नागर और गौरव गौतम के अलावा केंद्र सरकार व हरियाणा विधानसभा को प्रतिवादी बनाया है। आरोप- विधायकों को खुश करने के लिए बढ़ाई संख्या
याचिका में आरोप लगाया गया है कि हरियाणा सरकार द्वारा जो मंत्री पद और कैबिनेट रैंक बांटी गई है, उसका सीधा असर जनता पर पड़ रहा है। विधायकों को खुश करने के लिए मंत्रियों की संख्या बढ़ाई जा रही है और उनको भुगतान जनता की कमाई से किया जाता है। याचिकाकर्ता ने हाईकोर्ट से अपील करते हुए कहा कि तय संख्या से अधिक मंत्री होने के चलते अतिरिक्त मंत्रियों को हटाया जाए। याचिका पेंडिंग रहने तक उन्हें मिलने वाले लाभ पर भी रोक लगाई जाए। भट्टी पहले भी लगा चुके याचिका
इससे पहले भी एडवोकेट जगमोहन सिंह भट्टी ने तेरहवीं व चौदहवीं विधानसभा के दौरान 15 फीसदी से ज्यादा मंत्री बनाए जाने के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी, जिसे हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया था।