लखनऊ में सैन्य महोत्सव के दूसरे दिन फाइटर प्लेन ने विक्ट्री फॉर्मेशन बनाया। पैराशूट से कमांडो कूदे। जवानों ने गांवों में छिपे आतंकियों को खोजकर मार गिराने का रिहर्सल किया। हेलिकॉप्टर से पलभर में जवान रस्सी के सहारे उतरे। पोजिशन ली और टारगेट पर निशाना लगाया। फाइटर प्लेन जगुआर ने आसमान में गोते खाए। ऊपर से गुजरे तो दर्शक हैरान रह गए। लोग खड़े होकर सैल्यूट करने लगे। डॉग स्क्वायड और घुड़सवारों ने भी कमाल दिखाया। नौसेना के बैंड ने मार्शल ट्यून बजाया, जिसने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। सैन्य महोत्सव की तस्वीरें देखिए…
पल-पल के अपडेट्स जानने के लिए लाइव ब्लॉग से गुजर जाइए… लखनऊ में सैन्य महोत्सव के दूसरे दिन फाइटर प्लेन ने विक्ट्री फॉर्मेशन बनाया। पैराशूट से कमांडो कूदे। जवानों ने गांवों में छिपे आतंकियों को खोजकर मार गिराने का रिहर्सल किया। हेलिकॉप्टर से पलभर में जवान रस्सी के सहारे उतरे। पोजिशन ली और टारगेट पर निशाना लगाया। फाइटर प्लेन जगुआर ने आसमान में गोते खाए। ऊपर से गुजरे तो दर्शक हैरान रह गए। लोग खड़े होकर सैल्यूट करने लगे। डॉग स्क्वायड और घुड़सवारों ने भी कमाल दिखाया। नौसेना के बैंड ने मार्शल ट्यून बजाया, जिसने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। सैन्य महोत्सव की तस्वीरें देखिए…
पल-पल के अपडेट्स जानने के लिए लाइव ब्लॉग से गुजर जाइए… उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
Related Posts
हरियाणा में अंदरूनी कलह के कारण BJP उम्मीदवार हारे:सोनीपत, हिसार और सिरसा में रिपोर्ट तैयार, पूर्व विधायकों से लेकर जिलाध्यक्षों तक के नाम
हरियाणा में अंदरूनी कलह के कारण BJP उम्मीदवार हारे:सोनीपत, हिसार और सिरसा में रिपोर्ट तैयार, पूर्व विधायकों से लेकर जिलाध्यक्षों तक के नाम हरियाणा के लोकसभा चुनाव में इस बार भाजपा की 3 लोकसभा सीटों पर भीतरघात की शिकायतें मिली थी। यहां पर BJP प्रत्याशियों का चुनाव में पार्टी के ही नेताओं ने विरोध किया था। जिसका खामियाजा यह हुआ कि भाजपा यहां हार गई। सबसे टफ फाइट सोनीपत सीट पर देखने को मिली। यहां अगर भीतरघात न हुआ होता भाजपा यह सीट जीत सकती थी। अब चुनाव के बाद भाजपा कार्यकर्ताओं के फीडबैक और सीआईडी के जरिये रिपोर्ट तैयार कर रही है कि कौन सा प्रत्याशी किन कारणों से हारा। सोनीपत, हिसार और सिरसा में रिपोर्ट तैयार की जा चुकी है। इस रिपोर्ट में विधायक, पूर्व विधायक से लेकर जिलाध्यक्षों तक के नाम है। हालांकि पार्टी इस रिपोर्ट को उजागर नहीं करेगी मगर जिनके नाम भी रिपोर्ट में हैं उनकी जल्द संगठन से छुट्टी हो सकती है। इसके अलावा विधायक से लेकर पूर्व विधायकों के विधानसभा टिकट काटे जा सकते हैं। इसके जरिए हरियाणा भाजपा आगामी विधानसभा चुनाव के लिए सख्त संदेश भीतरघातियों को देना चाह रही। चुनाव के तुरंत बाद प्रत्याशियों ने जता दी थी आशंका चुनाव के बाद ही हरियाणा में मुख्यमंत्री नायब सैनी ने पंचकुला में सभी प्रत्याशियों की मीटिंग बुलाई थी। इस बैठक में पूर्व CM मनोहर लाल भी मौजूद थे। इस मीटिंग में प्रत्याशियों ने भीतरघात से होने वाले नुकसान के बारे में बताया था। मीटिंग में जो नाम सामने आए उसके आधार पर पार्टी ने कार्यकर्ताओं से फीडबैक लेना शुरू कर दिया था। अब चूंकि नतीजों में साफ हो गया है कि भाजपा उन इलाकों में हार गई जहां सबसे ज्यादा शिकायतें थी। वहीं नतीजों से पहले CM नायब सैनी ने भीतरघातियों को स्पष्ट संदेश किया कि किसी को बक्शा नहीं जाएगा और दिल्ली दरबार में इसकी शिकायत की जाएगी। विधायकों और टिकट दावेदारों के यहां से भी हार गए भाजपा को सबसे बड़ी हैरानी यह है कि 4 महीने बाद ही हरियाणा में विधानसभा चुनाव है। ऐसे विधायक और पूर्व विधायक जो विधानसभा में भी मजबूत दावेदार हैं वह अपने बूथों से लेकर गांव और विधानसभा में हार गए। इन सबकी रिपोर्ट तैयार हो चुकी है। भाजपा की अलग-अलग टीमें इस पर काम कर रही हैं और यह भी देखा जा रहा है कि अगर इनके टिकट काटे जा सकते हैं तो इनकी जगह किसे टिकट दिया जा सकता है और उसका क्या प्रभाव होगा। यहां पढ़िये इन 3 लोकसभा सीटों पर भीतरघात की पूरी कहानी 1. हिसार लोकसभा : यहां भाजपा ने रणजीत चौटाला को उम्मीदवार बनाया था। रणजीत चौटाला का पूरा बैकग्राउंड कांग्रेसी है। रणजीत चौटाला ने अपनी राजनीति का अधिकतर समय कांग्रेस में बिताया है। कांग्रेस से विधानसभा में टिकट नहीं मिलने पर रणजीत चौटाला ने सिरसा की रानियां विधानसभा से निर्दलीय चुनाव लड़ा और जीते। इसके बाद भाजपा सरकार को समर्थन कर कैबिनेट मंत्री बन गए थे। भाजपा ने चुनाव से ऐन वक्त पहले रणजीत को भाजपा में शामिल करवाकर हिसार लोकसभा से टिकट दिया। यहां टिकट के दावेदार कुलदीप बिश्नोई, कैप्टन अभिमन्यु इस बात से नाराज हो गए थे। बाद में भाजपा के मनाने पर मान गए। मगर इनके अलावा भाजपा हिसार संगठन में कुछ लोग ऐसे रहे जिन्होंने भीतरघात किया। 2. सिरसा लोकसभा : इस सीट पर भाजपा ने कांग्रेस के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष रहे डॉ. अशोक तंवर को उम्मीदवार बनाया था। रणजीत चौटाला की तरह ही अशोक तंवर को पार्टी ज्वॉइन करते ही लोकसभा का टिकट मिल गया था। पैराशूट उम्मीदवार से भाजपा के स्थानीय नेता असहज हो गए थे मगर वह खुलकर कहीं विरोध नहीं कर पाए मगर अंदर ही अंदर तंवर के साथ चुनाव में भीतर घात हुआ। इस सीट पर मौजूदा सांसद रही सुनीता दुग्गल अधिकतर समय इलेक्शन कैपेंन से बाहर रही। वहीं कई नेताओं ने दिखावटी प्रचार किया। प्रत्याशी के साथ कोर्डिनेशन नहीं बनाया यहां तक की पार्टी को बोगस बिलों के जरिए चुना लगाने का काम किया। 3. सोनीपत लोकसभा : इस सीट पर भाजपा ने प्रदेश के ही महामंत्री एवं राई से विधायक मोहन लाल बड़ौली को लोकसभा का उम्मीदवार बनाया था। यहां सांसद रमेश कौशिक का टिकट काटकर भाजपा ने संगठन महामंत्री पर विश्वास जताया था। इससे नाराज रमेश कौशिक बड़ौली के प्रचार से दूर रहे। इसके अलाव बड़ौली को चुनाव में स्थानीय नेताओं ने साथ नहीं दिया। प्रचार में साथ दिखे मगर दूसरे दलों से भी संपर्क में रहे। इसकी शिकायत बड़ौली ने नायब सैनी और मनोहर लाल से की थी। साथ ही सुबूत भी दोनों नेताओं के सामने रखे थे। हाल ही में गन्नौर की विधायक निर्मल चौधरी के पति का ऑडियो भी वायरल हुआ है। इस ऑडियो में खुद को सुरेंद्र चौधरी बताते हुए एक व्यक्ति दूसरी तरफ बात करने वाले व्यक्ति को भाजपा को छोड़ कांग्रेस के उम्मीदवार सतपाल ब्रह्मचारी के पक्ष में खुल कर वोट डालने को बोल रहा है।
14-year-old boy from Kerala tests positive for Nipah, government sets up control room
14-year-old boy from Kerala tests positive for Nipah, government sets up control room The boy is currently undergoing treatment at a hospital in Kozhikode. The minister has added that the local administration is gathering details of all individuals who have had contact with the boy. Meanwhile, a control room has also been opened in the district.
हापुड़ SP, ASP के बाद इंस्पेक्टर को भी हटाया:CO पर एक्शन तय; 50 पुलिसवाले मेडिकल कॉलेज पहुंचे थे, CCTV देख भड़के सीएम
हापुड़ SP, ASP के बाद इंस्पेक्टर को भी हटाया:CO पर एक्शन तय; 50 पुलिसवाले मेडिकल कॉलेज पहुंचे थे, CCTV देख भड़के सीएम हापुड़ के एक प्राइवेट हॉस्पिटल में पुलिस और डायरेक्टर के बीच का विवाद सुर्खियों में है। SP और ASP का ट्रांसफर पहले हो चुका है। अब इंस्पेक्टर को भी हटाया गया है। CO पर भी एक्शन होना लगभग तय है। चर्चा है कि रामा मेडिकल कॉलेज के डायरेक्टर के कहने पर SP अभिषेक वर्मा का तबादला किया गया। मेडिकल कॉलेज में भर्ती एक महिला ने पुलिस से इलाज ठीक से नहीं होने की शिकायत की। मरीज की कॉल पर पुलिस पहुंची तो स्टाफ ने बदसलूकी की। इस पर SP ने मेडिकल कॉलेज डायरेक्टर को हिरासत में लेने के लिए अस्पताल में 50 पुलिसकर्मी भेज दिए। डायरेक्टर आर्मी में मेजर रह चुके हैं। उन्होंने मालिक को इसके बारे में बता दिया। इसके बाद मालिक ने सीधे मुख्यमंत्री को फोन कर दिया। सबूत के तौर पर मुख्यमंत्री कार्यालय को CCTV भेज दी। सूत्रों के मुताबिक, CCTV देख सीएम भड़क गए। इसके बाद लखनऊ तक हड़कंप मच गया। 10 मिनट के अंदर पुलिस फोर्स को हॉस्पिटल से निकलना पड़ा। 1 घंटे के भीतर SP और ASP राजकुमार अग्रवाल को हटा दिया गया। इधर, डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा कि मामले की जांच होगी। दोषियों के खिलाफ कार्रवाई होगी। ट्यूमर ऑपरेशन के लिए भर्ती हुई थी महिला
बिजनौर के चांदपुर निवासी जुबैदा की कमर के निचले हिस्से ने कुछ दिनों पहले काम करना बंद कर दिया। 25 जून को बेटे जावेद ने उन्हें मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया। जांच में डॉक्टरों ने रीढ़ की हड्डी के पास ट्यूमर बताया। 13 दिन पहले ऑपरेशन करके ट्यूमर को निकाल दिया गया। डायरेक्टर ने दरोगा को धक्के देकर निकलवाया
महिला के बेटे जावेद ने बताया- ऑपरेशन के बावजूद मां के शरीर से खून बहना बंद नहीं हुआ। अब तक उन्हें करीब 15 यूनिट खून चढ़ चुका था। अब हमने डॉक्टरों से मां की सभी जांच रिपोर्ट देने को कहा। इसे देने में हॉस्पिटल ने आनाकानी की और अभद्रता की। इसकी सूचना मैंने 16 जुलाई को दोपहर 2 बजे डायल-112 पर पुलिस को दी। पुलिस हॉस्पिटल में आई। पुलिस हमें लेकर थर्ड फ्लोर पर पहुंची, जहां हॉस्पिटल डायरेक्टर बैठते हैं। डायरेक्टर ने दरोगा से कहा- तुम कौन होते हो? क्या कर लोगे तुम? इस पर दरोगा ने उनसे कहा कि हम कुछ करने नहीं आए, सिर्फ इन्क्वायरी करने आए हैं। इतने पर डायरेक्टर और भड़क गए। दरोगा से बोले- तुम कौन होते हो इन्क्वायरी करने वाले? उन्होंने मेरे साथ भी बदतमीजी की। इसके बाद उन्होंने सिक्योरिटी गार्ड बुलवाकर दरोगा और मुझे धक्का देकर बाहर निकलवा दिया। एसपी ने कहा- डायरेक्टर को उठा लाओ
इसके बाद डायल-112 के सब इंस्पेक्टर ने पिलखुवा थाने के इंस्पेक्टर प्रभाकर कैंथुरा को डायरेक्टर के बदसलूकी करने की जानकारी दी। इंस्पेक्टर ने डायरेक्टर को फोन मिला दिया। दोनों के बीच भी कहासुनी हो गई। फिर इंस्पेक्टर ने SP अभिषेक वर्मा को फोन कर पूरी जानकारी दी। SP ने मेडिकल कॉलेज डायरेक्टर को बदसलूकी के आरोप में हिरासत में लेने का आदेश दे दिया। इस प्रकरण से जुड़ी एक CCTV सामने आया है, इसमें करीब 50 पुलिस वाले मेडिकल कॉलेज के अंदर घुसते हुए दिखाई दे रहे हैं। CCTV उसी वक्त का है, जब पुलिस डायरेक्टर को हिरासत में लेने के लिए पहुंची थी। रामा मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर के डायरेक्टर डॉक्टर CS अहलूवालिया हैं। उन्होंने पुलिस के बदसलूकी करने की शिकायत संस्थान के मालिक डॉक्टर सूरज कुशवाहा से की, जो कानपुर के रहने वाले हैं। पूरी रात चार्ज लेने-छोड़ने में लगे रहे अफसर रामा ग्रुप के कई शहरों में हैं कॉलेज-अस्पताल कानपुर में 500 वर्ग गज में डेंटल कॉलेज से इस ग्रुप की शुरुआत हुई। स्थापना डॉक्टर बीएस कुशवाह ने की, जो एक डेंटिस्ट थे। उनके निधन के बाद डॉक्टर सूरज कुशवाहा ने इस ग्रुप की जिम्मेदारी संभाली। इसको आगे बढ़ाया। 2014 में जब केंद्र में BJP सरकार आई, तो इस डेंटल कॉलेज का विस्तार करते हुए मेडिकल कॉलेज बनाया गया। इसी दौरान हापुड़ के पिलखुवा क्षेत्र में नेशनल हाईवे पर रामा मेडिकल कॉलेज की स्थापना हुई। कानपुर-गाजियाबाद सहित कई शहरों में इस ग्रुप के कई एजुकेशन संस्थान और मेडिकल कॉलेज हैं। उत्तर प्रदेश में सरकार कोई रही हो, कुशवाहा फैमिली का रसूख बरकरार रहा है। हालांकि, इस फैमिली का पॉलिटिकल बैकग्राउंड कोई नहीं है। अगस्त-2018 में यूपी के तत्कालीन कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने संजय कुशवाहा को लाइफ टाइम हेल्थ अवॉर्ड देकर सम्मानित किया था।