करनाल में 57 साल पुराने कार्यकर्ता हुए बागी:अशोक सुखीजा ने खट्टर और सैनी पर लगाए आरोप, कहा- अब झोला उठाकर चल दिए दोनों सीएम

करनाल में 57 साल पुराने कार्यकर्ता हुए बागी:अशोक सुखीजा ने खट्टर और सैनी पर लगाए आरोप, कहा- अब झोला उठाकर चल दिए दोनों सीएम

लगातार 10 साल से CM सिटी रही करनाल में इस बार भाजपा की मुश्किले बढ़ती हुई नजर आ रही है। जब से भाजपा हाईकमान ने टिकट की पहली लिस्ट जारी की है, तब से करनाल में टिकट कटने से नाराज नेताओं के स्वर पार्टी के लिए मुश्किलें खड़ी कर रहे हैं। करनाल विधानसभा में पूर्व मेयर रेणु बाला गुप्ता के बाद अब भाजपा के 57 साल के कार्यकर्ता एवं पूर्व जिला अध्यक्ष अशोक सुखीजा ने खुले तौर पर पार्टी नेतृत्व और पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल पर सवाल खड़े करते हुए गंभीर आरोप लगाए है। जिसके चलते उन्होंने आज अपने समर्थकों के साथ बैठक की बुलाई है। इस बैठक में वह आजाद चुनाव लड़ने की घोषणा भी कर सकते है। बता दें कि अशोक सुखीजा भाजपा के वरिष्ठ नेता और एक बड़ा पंजाबी चेहरा है। अगर वह चुनाव लड़ने की घोषणा करते है तो भाजपा के लिए मुश्किलें बढ़ सकती है। मनोहर लाल और नायब सैनी पर तीखा हमला सुखीजा ने पूर्व सीएम मनोहर लाल खट्टर पर तीखा हमला बोलते हुए कहा कि मनोहर लाल को करनाल ने विधायक बनाया और फिर मुख्यमंत्री। लेकिन उन्होंने करनाल के लिए कुछ खास नहीं किया। उन्होंने आरोप लगाया कि पार्टी अब वैसी नहीं रही जैसी पहले थी। उन्होंने सीएम नायब सैनी पर नैतिकता की हदें पार करने का आरोप लगाते हुए कहा कि सीएम ने सार्वजनिक तौर पर विरोध करने वालों के घर तो दौरा किया। लेकिन पार्टी से जुड़े कर्मठ कार्यकर्ताओं से मिलने की जहमत तक नहीं उठाई। दोनों CM झोला उठाकर आए थे और अब झोला उठाकर चल दिए है। उन्होंने करनाल की जनता के साथ विश्वासघात किया है। भाजपा में परिवारवाद और वंशवाद का आरोप अशोक सुखीजा ने भाजपा पर परिवारवाद और वंशवाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि भाजपा पहले परिवारवाद और भ्रष्टाचार के खिलाफ थी। लेकिन अब उसके नेता विपक्ष की तरह इन चीजों का अनुसरण कर रहे हैं। भाजपा ने अन्य पार्टियों की संस्कृति को अपना लिया है। अब कांग्रेस और भाजपा में कोई फर्क नहीं रहा है। कर्मठ कार्यकर्ताओं की अनदेखी का आरोप सुखीजा ने पार्टी पर कर्मठ और निष्ठावान कार्यकर्ताओं की अनदेखी करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि पार्टी अब बाहरी नेताओं को तवज्जो दे रही है। जबकि कर्मठ कार्यकर्ताओं को नजर अंदाज किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पार्टी में इस बार टिकट बंटवारे का विरोध अभूतपूर्व स्तर पर है और यह सिर्फ नेताओं तक सीमित नहीं है, बल्कि आम जनता भी इससे नाराज है। अशोक सुखीजा का टिकट पर पहला हक सुखीजा ने कहा कि मुख्यमंत्री के ओएसडी अमरेंद्र सिंह ने खुद कहा था कि वरिष्ठता के हिसाब से उनका टिकट बनता था। पूर्व मेयर रेणु बाला गुप्ता ने भी इसी बात पर जोर दिया कि अशोक सुखीजा या अन्य वरिष्ठ नेता ही टिकट के असली दावेदार थे। उन्होंने कहा कि भाजपा ने कांग्रेस से आए नेताओं को तवज्जो दी, जबकि सच्चे भाजपा कार्यकर्ताओं की अनदेखी की गई। लगातार 10 साल से CM सिटी रही करनाल में इस बार भाजपा की मुश्किले बढ़ती हुई नजर आ रही है। जब से भाजपा हाईकमान ने टिकट की पहली लिस्ट जारी की है, तब से करनाल में टिकट कटने से नाराज नेताओं के स्वर पार्टी के लिए मुश्किलें खड़ी कर रहे हैं। करनाल विधानसभा में पूर्व मेयर रेणु बाला गुप्ता के बाद अब भाजपा के 57 साल के कार्यकर्ता एवं पूर्व जिला अध्यक्ष अशोक सुखीजा ने खुले तौर पर पार्टी नेतृत्व और पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल पर सवाल खड़े करते हुए गंभीर आरोप लगाए है। जिसके चलते उन्होंने आज अपने समर्थकों के साथ बैठक की बुलाई है। इस बैठक में वह आजाद चुनाव लड़ने की घोषणा भी कर सकते है। बता दें कि अशोक सुखीजा भाजपा के वरिष्ठ नेता और एक बड़ा पंजाबी चेहरा है। अगर वह चुनाव लड़ने की घोषणा करते है तो भाजपा के लिए मुश्किलें बढ़ सकती है। मनोहर लाल और नायब सैनी पर तीखा हमला सुखीजा ने पूर्व सीएम मनोहर लाल खट्टर पर तीखा हमला बोलते हुए कहा कि मनोहर लाल को करनाल ने विधायक बनाया और फिर मुख्यमंत्री। लेकिन उन्होंने करनाल के लिए कुछ खास नहीं किया। उन्होंने आरोप लगाया कि पार्टी अब वैसी नहीं रही जैसी पहले थी। उन्होंने सीएम नायब सैनी पर नैतिकता की हदें पार करने का आरोप लगाते हुए कहा कि सीएम ने सार्वजनिक तौर पर विरोध करने वालों के घर तो दौरा किया। लेकिन पार्टी से जुड़े कर्मठ कार्यकर्ताओं से मिलने की जहमत तक नहीं उठाई। दोनों CM झोला उठाकर आए थे और अब झोला उठाकर चल दिए है। उन्होंने करनाल की जनता के साथ विश्वासघात किया है। भाजपा में परिवारवाद और वंशवाद का आरोप अशोक सुखीजा ने भाजपा पर परिवारवाद और वंशवाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि भाजपा पहले परिवारवाद और भ्रष्टाचार के खिलाफ थी। लेकिन अब उसके नेता विपक्ष की तरह इन चीजों का अनुसरण कर रहे हैं। भाजपा ने अन्य पार्टियों की संस्कृति को अपना लिया है। अब कांग्रेस और भाजपा में कोई फर्क नहीं रहा है। कर्मठ कार्यकर्ताओं की अनदेखी का आरोप सुखीजा ने पार्टी पर कर्मठ और निष्ठावान कार्यकर्ताओं की अनदेखी करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि पार्टी अब बाहरी नेताओं को तवज्जो दे रही है। जबकि कर्मठ कार्यकर्ताओं को नजर अंदाज किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पार्टी में इस बार टिकट बंटवारे का विरोध अभूतपूर्व स्तर पर है और यह सिर्फ नेताओं तक सीमित नहीं है, बल्कि आम जनता भी इससे नाराज है। अशोक सुखीजा का टिकट पर पहला हक सुखीजा ने कहा कि मुख्यमंत्री के ओएसडी अमरेंद्र सिंह ने खुद कहा था कि वरिष्ठता के हिसाब से उनका टिकट बनता था। पूर्व मेयर रेणु बाला गुप्ता ने भी इसी बात पर जोर दिया कि अशोक सुखीजा या अन्य वरिष्ठ नेता ही टिकट के असली दावेदार थे। उन्होंने कहा कि भाजपा ने कांग्रेस से आए नेताओं को तवज्जो दी, जबकि सच्चे भाजपा कार्यकर्ताओं की अनदेखी की गई।   हरियाणा | दैनिक भास्कर