<p style=”text-align: justify;”><strong>Rahul Gandhi Bihar Tour: </strong><span style=”font-weight: 400;”>आगामी (2025) बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष और सांसद राहुल गांधी काफी एक्टिव नजर आ रहे हैं. एक बार फिर से वह बिहार दौरे पर आने वाले हैं. 27 मई को उनका बिहार दौरा प्रस्तावित है. एक-दो दिन के अंदर ही इसका औपचारिक ऐलान कर दिया जाएगा. चुनावी साल में राहुल गांधी का यह 5वां बिहार दौरा होगा. राहुल गांधी के इस बार के बिहार दौरे का प्लान कुछ अलग है जिससे जेडीयू और सीएम नीतीश कुमार की टेंशन बढ़ सकती है. </span></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>नालंदा में भरेंगे हुंकार… ईबीसी को साधने की होगी कोशिश</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”><span style=”font-weight: 400;”>इस बार के बिहार दौरे पर राहुल गांधी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गृह जिले नालंदा में हुंकार भरेंगे. अत्यंत पिछड़ा वर्ग सम्मेलन को संबोधित करेंगे. इस कार्यक्रम के जरिए कांग्रेस ईबीसी को साधने की कोशिश करेगी. यह नीतीश के परंपरागत वोटर हैं. बिहार की कुल आबादी की 36 प्रतिशत जनसंख्या ईबीसी यानी अति पिछड़ा कैटेगरी में आती है. </span></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>अपने जनाधार को पुनर्जीवित करने की कोशिश में कांग्रेस</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”><span style=”font-weight: 400;”>राहुल गांधी कांग्रेस की बिहार इकाई में जान फूंकने में लगे हुए हैं. संगठन को मजबूत करना चाहते हैं. पिछले कुछ महीनों में राहुल गांधी की लगातार उपस्थिति ने यह संकेत दिया है कि कांग्रेस बिहार में अपने जनाधार को पुनर्जीवित करने की कोशिश में लगी हुई है. सामाजिक न्याय क्षेत्रीय सशक्तिकरण जातीय समीकरण के मुद्दे को फोकस में रखते हुए कांग्रेस बिहार में अपनी राजनीतिक वापसी की जमीन तैयार करने की कोशिश में लगी हुई है. अब चुनाव में इसका कितना लाभ होगा यह समय बताएगा. </span></p>
<p style=”text-align: justify;”><span style=”font-weight: 400;”>बिहार में इसी साल अक्टूबर-नवंबर में विधानसभा का चुनाव होने वाला है. कांग्रेस महागठबंधन में रहकर लड़ेगी लेकिन बिहार में अपनी एक अलग पहचान बनाने में वह लगी है. 2020 के विधानसभा चुनाव में पार्टी का प्रदर्शन अच्छा नहीं रहा था. 70 सीटों पर लड़ने के बावजूद सिर्फ 19 सीट ही जीत पाई थी. इसके बावजूद कांग्रेस की कोशिश है कि आरजेडी पर दबाव बनाकर किसी तरह ज्यादा सीटें वह ले ले. महागठबंधन में कांग्रेस के अलावा आरजेडी, विकासशील इंसान पार्टी, भाकपा माले, सीपीआई, सीपीएम भी है.</span></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>यह भी पढ़ें- <a href=”https://www.abplive.com/states/bihar/prashant-kishor-is-going-to-start-bihar-badlav-yatra-today-from-sitabdiara-bjp-nitish-kumar-ann-2947070″>PK का मिशन 2025! आज से ‘बिहार बदलाव यात्रा’ पर प्रशांत किशोर, सिताबदियारा से होगी शुरुआत</a></strong></p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Rahul Gandhi Bihar Tour: </strong><span style=”font-weight: 400;”>आगामी (2025) बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष और सांसद राहुल गांधी काफी एक्टिव नजर आ रहे हैं. एक बार फिर से वह बिहार दौरे पर आने वाले हैं. 27 मई को उनका बिहार दौरा प्रस्तावित है. एक-दो दिन के अंदर ही इसका औपचारिक ऐलान कर दिया जाएगा. चुनावी साल में राहुल गांधी का यह 5वां बिहार दौरा होगा. राहुल गांधी के इस बार के बिहार दौरे का प्लान कुछ अलग है जिससे जेडीयू और सीएम नीतीश कुमार की टेंशन बढ़ सकती है. </span></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>नालंदा में भरेंगे हुंकार… ईबीसी को साधने की होगी कोशिश</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”><span style=”font-weight: 400;”>इस बार के बिहार दौरे पर राहुल गांधी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गृह जिले नालंदा में हुंकार भरेंगे. अत्यंत पिछड़ा वर्ग सम्मेलन को संबोधित करेंगे. इस कार्यक्रम के जरिए कांग्रेस ईबीसी को साधने की कोशिश करेगी. यह नीतीश के परंपरागत वोटर हैं. बिहार की कुल आबादी की 36 प्रतिशत जनसंख्या ईबीसी यानी अति पिछड़ा कैटेगरी में आती है. </span></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>अपने जनाधार को पुनर्जीवित करने की कोशिश में कांग्रेस</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”><span style=”font-weight: 400;”>राहुल गांधी कांग्रेस की बिहार इकाई में जान फूंकने में लगे हुए हैं. संगठन को मजबूत करना चाहते हैं. पिछले कुछ महीनों में राहुल गांधी की लगातार उपस्थिति ने यह संकेत दिया है कि कांग्रेस बिहार में अपने जनाधार को पुनर्जीवित करने की कोशिश में लगी हुई है. सामाजिक न्याय क्षेत्रीय सशक्तिकरण जातीय समीकरण के मुद्दे को फोकस में रखते हुए कांग्रेस बिहार में अपनी राजनीतिक वापसी की जमीन तैयार करने की कोशिश में लगी हुई है. अब चुनाव में इसका कितना लाभ होगा यह समय बताएगा. </span></p>
<p style=”text-align: justify;”><span style=”font-weight: 400;”>बिहार में इसी साल अक्टूबर-नवंबर में विधानसभा का चुनाव होने वाला है. कांग्रेस महागठबंधन में रहकर लड़ेगी लेकिन बिहार में अपनी एक अलग पहचान बनाने में वह लगी है. 2020 के विधानसभा चुनाव में पार्टी का प्रदर्शन अच्छा नहीं रहा था. 70 सीटों पर लड़ने के बावजूद सिर्फ 19 सीट ही जीत पाई थी. इसके बावजूद कांग्रेस की कोशिश है कि आरजेडी पर दबाव बनाकर किसी तरह ज्यादा सीटें वह ले ले. महागठबंधन में कांग्रेस के अलावा आरजेडी, विकासशील इंसान पार्टी, भाकपा माले, सीपीआई, सीपीएम भी है.</span></p>
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