<p style=”text-align: justify;”>दिल्ली की जल मंत्री आतिशी की अनशन के दौरान तबीयत बिगड़ने के बाद एलएनजीपी अस्पताल में भर्ती कराया गया है. आतिशी इमरजेंसी आईसीयू में भर्ती हैं. समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव बुधवार को आतिशी से मिलने अस्पतला जाएंगे.</p> <p style=”text-align: justify;”>दिल्ली की जल मंत्री आतिशी की अनशन के दौरान तबीयत बिगड़ने के बाद एलएनजीपी अस्पताल में भर्ती कराया गया है. आतिशी इमरजेंसी आईसीयू में भर्ती हैं. समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव बुधवार को आतिशी से मिलने अस्पतला जाएंगे.</p> दिल्ली NCR Jharkhand Election 2024: झारखंड विधानसभा चुनाव में कितनी सीटों पर लड़ेगी कांग्रेस? पार्टी ने तैयारी भी की शुरू
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हरियाणा चुनाव के बीच BJP मंत्री-सावित्री जिंदल समर्थकों में टकराव:आचार्य तुलसी चौक पर लाल किले का मॉडल लगाया; जैन समाज बोला-स्मृतियां मिटाने की कोशिश
हरियाणा चुनाव के बीच BJP मंत्री-सावित्री जिंदल समर्थकों में टकराव:आचार्य तुलसी चौक पर लाल किले का मॉडल लगाया; जैन समाज बोला-स्मृतियां मिटाने की कोशिश हरियाणा के हिसार में जैन धर्म गुरु आचार्य तुलसी चौक पर लाल किले का मॉडल बनाए जाने से समाज के लोगों ने नाराजगी व्यक्त की है। जैन समाज में इसको लेकर रोष है और समाज की मीटिंग भी इस बारे में हो चुकी है। समाज के लोगों का कहना है कि यह चौक 20 साल पहले आचार्य तुलसी के नाम पर बनाया गया था। जिन्होंने समाज को नई राह दिखाई। अब उनकी स्मृतियों को मिटाने का प्रयास किया गया है। वहीं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. कमल गुप्ता ने कहा कि “चौक की हालत पहले खराब थी। इसे नया आकार दिया गया है। इसका नाम नहीं बदला गया है और ना ही इस चौक पर किसी तरह की कोई प्रतिमा हटाई गई है। हमने चौक की देखरेख की है। आज भी चौक को आचार्य तुलसी के नाम से ही जाना जाता है। जब इस मॉडल को यहां रखा गया अगर तब भी मुझे बताया गया होता कि इससे जैन समाज को आपत्ति है वह इसे यहां ना लगवाते। शहर के सौंदर्यीकरण के लिए लाल किला का मॉडल रखा गया है लाल किला भी देशभक्ति का एक प्रतीक है”। हिसार में 46 लाख रुपए से बनाए गए थे 3 मॉडल
हिसार में मंत्री डॉ. कमल गुप्ता की तरफ से 46 लाख रुपए के सौंदर्यीकरण के 3 कार्यों का 26 जुलाई को उद्घाटन किया गया था। डॉ. कमल गुप्ता ने तुलसी चौक पर लगभग 20 लाख रुपए की लागत से बने लाल किले के प्रतिरूप और लक्ष्मीबाई चौक के समीप 17 लाख रुपए की लागत से बने चंद्रयान के प्रतिरूप और सेक्टर 9-11 दिल्ली रोड से एंट्री पॉइंट पर लगभग 9 लाख रुपए की लागत से बने इंडिया गेट के प्रतिरूप का उद्घाटन किया था। कौन थे आचार्य तुलसी
आचार्य तुलसी जैन धर्म के श्वेतांबर तेरापंथ के 9वें आचार्य थे। वो अणुव्रत और जैन विश्व भारती विश्वविद्यालय के प्रवर्तक हैं। वे 100 से भी अधिक पुस्तकों के लेखक हैं। सर्वपल्ली राधाकृष्णन ने अपनी पुस्तक “लिविंग विद पर्पज” में उन्हें विश्व के 15 महान लोगों में शामिल किया था। उन्हें भारत के पूर्व राष्ट्रपति वीवी गिरि ने 1971 में एक कार्यक्रम में “युग-प्रधान” की उपाधि से विभूषित किया। उन्होंने आचार्य महाप्रज्ञ एवं साध्वी कनकप्रभा का विकास करने में महत्वपूर्ण कार्य किया था। पार्षद टीनू जैन बोले- जैन समाज में रोष
इस बारे में भाजपा पार्षद टीनू जैन ने कहा कि इस फैसले से जैन समाज में रोष है। जब यह चौक पहले बना हुआ था और आचार्य तुलसी की स्मृतियों में बनाया गया था तो इससे छेड़छाड़ ही नहीं की जानी चाहिए थी। इस चौक पर लाल किला के मॉडल लगा दिया। कम से कम प्रशासन को चाहिए यहां एक ग्रिल लगाकर बोर्ड लगा दें। हमने 25 दिन पहले नगर निगम कमिश्नर को भी शिकायत की थी। उन्होंने कहा था कि बोर्ड लग जाएगा मगर आज तक नहीं लगा। प्रवीण जैन बोले- समाज लड़ाई लड़ेगा
सेक्टर 9-11 आरडब्ल्यूए प्रधान प्रवीण जैन ने कहा कि आचार्य तुलसी चौक पर लाल किले की डमी बनाकर रख दी। इससे समाज में क्या संदेश जाएगा। जैन धर्मगुरु के चौक से छेड़छाड़ नहीं की जानी चाहिए थी। समाज के लोगों ने इसको लेकर बैठक की थी। इसको लेकर समाज में रोष है। समाज अपनी लड़ाई लड़ेगा। यहां आचार्य तुलसी की प्रतिमा लगाई जानी चाहिए। 20 साल से यहां चौक बना हुआ है।
Maharashtra: ‘महाराष्ट्र को 12 दिनों तक बंधक बनाए रखा’, अंबादास दानवे का BJP पर बड़ा आरोप
Maharashtra: ‘महाराष्ट्र को 12 दिनों तक बंधक बनाए रखा’, अंबादास दानवे का BJP पर बड़ा आरोप <p style=”text-align: justify;”><strong>Maharashtra Politics: </strong>शिवसेना (यूबीटी) के नेता अंबादास दानवे ने बृहस्पतिवार को कहा कि विधानसभा में बहुमत के करीब होने के बावजूद बीजेपी ने मुख्यमंत्री की घोषणा नहीं करके महाराष्ट्र को 12 दिनों तक बंधक बनाए रखा. विधान परिषद में विपक्ष के नेता दानवे ने आरोप लगाया कि बीजेपी राज्य को नेतृत्व प्रदान करने में विफल रही. दानवे ने कहा कि बीजेपी के पास स्पष्ट जनादेश होने के बावजूद पार्टी ने राज्य को 12 दिन तक बंधक बनाए रखा. राज्य के समक्ष कई लंबित मुद्दे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><a title=”महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव” href=”https://www.abplive.com/topic/maharashtra-assembly-election-2024″ data-type=”interlinkingkeywords”>महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव</a> के 23 नवंबर को घोषित परिणामों में, बीजेपी ने 132 सीट जीती थीं. इसके बाद शिवसेना ने 57 और एनसीपी ने 41 सीट पर जीत हासिल की. विपक्षी शिवसेना यूबीटी ने 20, कांग्रेस ने 16 और एनसीपी (एसपी) ने 10 सीट पर जीत दर्ज की. दानवे ने कहा कि इस बात को लेकर असमंजस की स्थिति थी कि <a title=”एकनाथ शिंदे” href=”https://www.abplive.com/topic/eknath-shinde” data-type=”interlinkingkeywords”>एकनाथ शिंदे</a> मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं या वह बीजेपी को ब्लैकमेल कर रहे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”>शिंदे ने बृहस्पतिवार को प्रदेश के उपमुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली. दानवे ने शिंदे पर कटाक्ष करते हुए कहा कि शपथग्रहण समारोह के लिए सरकार की ओर से भेजे गए निमंत्रण में उनका नाम नहीं था. पिछली सरकार का नेतृत्व करने वाले शिंदे नयी सरकार में उपमुख्यमंत्री के तौर पर काम करने के इच्छुक नहीं थे. हालांकि, देवेंद्र फडणवीस और शिवसेना विधायकों द्वारा शिंदे से सरकार में शामिल होने का आग्रह किए जाने के बाद वह सहमत हो गए.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>देवेंद्र फडणवीस ने ली तीसरी बार सीएम पद की शपथ</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>बता दें कि सत्ता में दमदार वापसी करते हुए देवेंद्र फडणवीस ने बृहस्पतिवार की शाम दक्षिण मुंबई के आजाद मैदान में एक भव्य समारोह में तीसरी बार महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली. बीजेपी नीत ‘महायुति’ गठबंधन के नेताओं एकनाथ शिंदे और अजित पवार को उपमुख्यमंत्री पद की शपथ दिलायी गई. समारोह के तुरंत बाद, फडणवीस, शिंदे और पवार एक साथ दक्षिण मुंबई में स्थित राज्य सचिवालय मंत्रालय पहुंचे, जहां मुख्यमंत्री ने नयी सरकार की पहली मंत्रिमंडल बैठक की अध्यक्षता की और संवाददाता सम्मेलन को भी संबोधित किया.</p>
9 सीटों पर वोटिंग के बीच अयोध्या पहुंचे योगी:कहा- केंद्र, राज्य में BJP सरकार आई, तो 500 साल में जो नहीं हुआ…वो 2 साल में हो गया
9 सीटों पर वोटिंग के बीच अयोध्या पहुंचे योगी:कहा- केंद्र, राज्य में BJP सरकार आई, तो 500 साल में जो नहीं हुआ…वो 2 साल में हो गया यूपी में विधानसभा की 9 सीटों पर उप चुनाव के बीच CM योगी अयोध्या पहुंचे। कहा- चंद मुट्ठी भर लोग, उनके पास बुद्धि, धन और भौतिक बल नहीं था। तब भी वह हम पर हमला करने में सफल हुए। हमारी मां-बहनों की इज्जत से खेलने में सफल हुए। हमें गुलाम बनाने में सफल हुए। अपमान को झेलने को हम मजबूर हो गए। धर्म हमें सदमार्ग पर चलने के लिए कहता है। मगर समाज को सही दिशा में लेकर जाने की हमारी जिम्मेदारी है। इसीलिए मैं कहता हूं कि इतिहास की गलती रोकने के लिए हमको ही प्रयास करना है। पूरा समाज एक भाव और एक साथ लड़ाई लड़ता है, तब सफलता मिलती है। देखिए… एक भाव की सरकार केंद्र और राज्य में आई तो जो 500 साल में नहीं हुआ, वह 2 साल में हो गया। अगर 500 साल पहले भी अगर ऐसी ही एकता का परिचय दिया होता तो उसी वक्त स्थितियां बदल गई होतीं। इससे पहले सीएम योगी आदित्यनाथ ने हनुमानगढ़ी और राम मंदिर में दर्शन-पूजन किया। सुग्रीव किला के राजगोपुरम गेट का उद्घाटन किया। योगी ने कहा- राम काज के लिए सबने खुद को समर्पित किया
योगी ने कहा- जब सुग्रीव किला में जब पहले हम आए थे। तब संकरा रास्ता था। अब अच्छा रास्ता है, मैं उसी की बधाई दे रहा हूं। यहां आने में कोई बाधा नहीं होगी। सनातन का संकल्प था, 500 वर्षों में ढांचा समाप्त हो, रामलला का मंदिर बन सके। पूज्य संतों का जो भाव था, एक काज के लिए सबने खुद को समर्पित किया। उन्होंने कहा- यह अहो भाग्य है, जिस कार्य के लिए पीढ़ियां समर्पित हुई, उसे हम अपने सामने होता हुआ देख रहे हैं। आज की अयोध्या में सिर्फ अध्यात्म का वातावरण है। यह दुनिया सबसे सुंदर नगरी बनने की राह पर है। यह जो भव्य स्वरूप दिख रहा है। अयोध्या वासियों का दायित्व है कि वह अयोध्या का ऐसा ही स्वरूप बनाए रखें। जब-जब सनातन को अपमान झेलना पड़ा, कमी जरूर रही
उन्होंने कहा – आज अयोध्या में कई आश्रम हैं, वहां सनातनी वातावरण है। दुनिया में कहीं भी अगर सनातन को अपमान झेलना पड़ा, तो वहां कोई न कोई कमी जरूर रही। कोई भी सभ्य व्यवस्था, अपनी गलतियों का परिमार्जन जितनी जल्दी कर ले, वह उतना अच्छा है। समाज में कोई कमी है, फूट पड़ रही है, मतभेद हो रहे हैं, तो समय रहते उसका इलाज जरूरी है। दक्षिण भारतीय शैली में प्रवेश द्वार
सुग्रीव किला के पीठाधीश्वर जगद्गुरु रामानुजाचार्य स्वामी विश्वेश प्रपन्नाचार्य ने बताया- श्रीराम जन्मभूमि पथ कॉरिडोर के निर्माण के समय इस मंदिर परिसर का एक भाग शामिल हो गया। इस वजह से प्रवेश द्वार को तोड़ना पड़ा। अब कॉरिडोर बन जाने के बाद सुग्रीव किला के प्रवेश द्वार को नए सिरे से दक्षिण भारतीय शैली में बनाया गया है। उन्होंने बताया- इसके साथ मंदिर परिसर में गरुड़ स्तंभ भी बनाया गया है। गरुड़ स्तंभ के साथ प्रवेश द्वार की प्रतिष्ठा का अनुष्ठान दक्षिण भारतीय विद्वानों द्वारा किया गया। पीठाधीश्वर ने कहा – ये दिव्य देश का दिव्य द्वार है
सुग्रीव किला के पीठाधीश्वर जगद्गुरु रामानुजाचार्य स्वामी विश्वेश प्रपन्नाचार्य ने कहा- धर्म और राजधर्म साथ में हैं, तो फिर कहना ही क्या। ये दिव्य देश कहलाता है, जो भगवान की विश्राम स्थली मानी जाती है। इसका जो प्रवेश द्वार है, वो दिव्य द्वार कहलाता है। यह दिव्य देश में ही संभव है। इसको ढाई साल में बनाया गया। कितने कारीगर और कितना धन लगा, ये हम लोगों ने नहीं देखा। दक्षिण शैली पर बनाया गया है। योगी सम्राट देख रहे हैं, ये फकीरों की भूमि है, हम मांगते नहीं किसी से कुछ भी। भगवान से मांगते हैं, जो प्रसाद मिलता है, उसी को सिर से लगाते हैं। —————————– रामलला से जुड़ी यह खबर भी पढ़िए… रामलला को तिलकोत्सव में मिला सोने का हार, हाथ घड़ी:अयोध्या में जनकपुर के 500 मेहमानों ने गिफ्ट दिए; चंपत राय को सुनाईं मधुर गालियां भगवान श्रीराम का तिलकोत्सव हुआ। तिलक चढ़ाने के लिए मां सीता के मायके जनकपुर से 500 से ज्यादा मेहमान अयोध्या पहुंचे थे। साथ में 501 प्रकार का नेग भी लाए। सीता जी की सखियां, जिन्हें ‘तिलकहरू’ कहा जाता है, रामलला के लिए विशेष तरह की सामग्री लाई गई है। पढ़िए पूरी खबर…