पंजाब के कपूरथला जिले के फगवाड़ा के रहने वाले सिद्दक सिंह ने संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) की सिविल सेवा परीक्षा 2024 में 157वीं रैंक हासिल कर राज्य का नाम रोशन किया है।सिद्दक ने बताया कि यह उनका छठा व अंतिम प्रयास था। इससे पहले वह तीन बार इंटरव्यू तक पहुंच चुके थे, लेकिन हर बार फाइनल लिस्ट से चूक जाते थे। इस बार वह काफी पॉजिटिव थे। सिद्दक सिंह ने अपनी स्कूली पढ़ाई सेंट जोसेफ कॉन्वेंट स्कूल, फगवाड़ा से की और स्नातक गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी, अमृतसर से पूरी की। शुरुआत में उन्होंने दिल्ली से कोचिंग की, लेकिन कोविड-19 के बाद की पढ़ाई घर से ही जारी रखी। उन्होंने बताया कि अब दिल्ली के लगभग सभी कोचिंग संस्थान ऑनलाइन क्लासेज उपलब्ध करवा रहे हैं, जिससे छात्रों को दिल्ली जाकर पढ़ने की आवश्यकता नहीं रह गई है। उन्होंने यह भी कहा कि पंजाब के युवाओं में सिविल सेवा को लेकर अभी भी जागरूकता की कमी है और जरूरत है कि उन्हें सही मार्गदर्शन दिया जाए। 12 घंटे की पढ़ाई और मजबूत इच्छाशक्ति बनी सफलता की कुंजी अपनी पढ़ाई की दिनचर्या साझा करते हुए सिद्दक ने बताया कि परीक्षा के अंतिम महीनों में उन्होंने प्रतिदिन 12 घंटे तक पढ़ाई की। जबकि सामान्य दिनों में 9 से 10 घंटे पढ़ाई करना आम बात थी। उन्होंने कहा कि यूपीएससी जैसी परीक्षा पास करने के लिए निरंतरता और धैर्य सबसे बड़ी कुंजी है। सिद्दक ने अपनी पसंदीदा लोकेशन के तौर पर नॉर्थ ज़ोन और उत्तर प्रदेश को प्राथमिकता दी है। सिद्दक की यह सफलता उन तमाम युवाओं के लिए प्रेरणा है जो यूपीएससी जैसी कठिन परीक्षा की तैयारी कर रहे हैं। उनका कहना है कि अगर पंजाब में कोचिंग की गुणवत्ता को बेहतर किया जाए और सही मार्गदर्शन मिले, तो युवा घर बैठे भी सफलता पा सकते हैं। पंजाब के कपूरथला जिले के फगवाड़ा के रहने वाले सिद्दक सिंह ने संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) की सिविल सेवा परीक्षा 2024 में 157वीं रैंक हासिल कर राज्य का नाम रोशन किया है।सिद्दक ने बताया कि यह उनका छठा व अंतिम प्रयास था। इससे पहले वह तीन बार इंटरव्यू तक पहुंच चुके थे, लेकिन हर बार फाइनल लिस्ट से चूक जाते थे। इस बार वह काफी पॉजिटिव थे। सिद्दक सिंह ने अपनी स्कूली पढ़ाई सेंट जोसेफ कॉन्वेंट स्कूल, फगवाड़ा से की और स्नातक गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी, अमृतसर से पूरी की। शुरुआत में उन्होंने दिल्ली से कोचिंग की, लेकिन कोविड-19 के बाद की पढ़ाई घर से ही जारी रखी। उन्होंने बताया कि अब दिल्ली के लगभग सभी कोचिंग संस्थान ऑनलाइन क्लासेज उपलब्ध करवा रहे हैं, जिससे छात्रों को दिल्ली जाकर पढ़ने की आवश्यकता नहीं रह गई है। उन्होंने यह भी कहा कि पंजाब के युवाओं में सिविल सेवा को लेकर अभी भी जागरूकता की कमी है और जरूरत है कि उन्हें सही मार्गदर्शन दिया जाए। 12 घंटे की पढ़ाई और मजबूत इच्छाशक्ति बनी सफलता की कुंजी अपनी पढ़ाई की दिनचर्या साझा करते हुए सिद्दक ने बताया कि परीक्षा के अंतिम महीनों में उन्होंने प्रतिदिन 12 घंटे तक पढ़ाई की। जबकि सामान्य दिनों में 9 से 10 घंटे पढ़ाई करना आम बात थी। उन्होंने कहा कि यूपीएससी जैसी परीक्षा पास करने के लिए निरंतरता और धैर्य सबसे बड़ी कुंजी है। सिद्दक ने अपनी पसंदीदा लोकेशन के तौर पर नॉर्थ ज़ोन और उत्तर प्रदेश को प्राथमिकता दी है। सिद्दक की यह सफलता उन तमाम युवाओं के लिए प्रेरणा है जो यूपीएससी जैसी कठिन परीक्षा की तैयारी कर रहे हैं। उनका कहना है कि अगर पंजाब में कोचिंग की गुणवत्ता को बेहतर किया जाए और सही मार्गदर्शन मिले, तो युवा घर बैठे भी सफलता पा सकते हैं। पंजाब | दैनिक भास्कर
