<p>नगर मुख्यालय से लगभग चार किलोमीटर दूर स्थित रौली क्षेत्र में रविवार शाम जंगल की आग ने भारी तबाही मचाई. शाम करीब छह बजे अचानक ऑफिसर कॉलोनी के समीप चीड़ के जंगल में आग भड़क उठी. देखते ही देखते आग की लपटें तेजी से फैलने लगीं और राजकीय पॉलीटेक्निक संस्थान की ऑफिसर कॉलोनी तक पहुंच गई. वहां रह रहे दो कर्मचारियों के परिवारों को अपनी जान बचाने के लिए घर छोड़कर सड़क की ओर भागना पड़ा.</p>
<p>स्थानीय लोगों के अनुसार, आग लगने का कारण अराजक तत्वों की करतूत हो सकती है, जिन्होंने जंगल में जानबूझकर आग लगाई. आग की सूचना मिलते ही क्षेत्रवासी मौके पर पहुंचे और आग बुझाने का प्रयास किया, लेकिन लपटें इतनी तीव्र थीं कि कोई भी उसके नजदीक नहीं जा सका.</p>
<p>कॉलोनी तक आग पहुंचने के बाद वहां रह रहे कर्मचारियों के परिवारों में हड़कंप मच गया. सभी सदस्य तत्काल अपने कमरों से बाहर निकलकर सुरक्षित स्थान की ओर भागे. इस दौरान किसी के घायल होने की खबर नहीं है, लेकिन लोगों की जान पर संकट गहराने लगा था.</p>
<p><a href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/uttarakhand-news-544-accident-prone-sites-marked-on-chardham-yatra-routes-ann-2920004″><strong>चारधाम यात्रा मार्गों पर 544 दुर्घटना संभावित स्थल चिह्नित, NHAI ने लोनिवि और BRO को भेजा पत्र</strong></a></p>
<p>स्थानीय निवासियों ने तुरंत फायर सर्विस को सूचना दी. करीब एक घंटे बाद फायर सर्विस की टीम जिला प्रभारी प्रदीप त्रिवेदी के नेतृत्व में फायर वाहन के साथ मौके पर पहुंची. टीम ने लगभग आधे घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया. उन्होंने बताया कि आग को पूरी तरह से बुझा दिया गया है और स्थिति अब नियंत्रण में है.</p>
<p>स्थानीय लोगों ने मांग की है कि वन विभाग और प्रशासन जंगल में आग की घटनाओं को रोकने के लिए सख्त कदम उठाए और दोषियों की पहचान कर कार्रवाई की जाए. हर साल गर्मी शुरू होते ही जंगलों में आग की घटनाएं बढ़ जाती हैं, जिससे वन्यजीवों और लोगों के जीवन पर खतरा मंडराने लगता है.</p>
<p>इस घटना ने प्रशासन को एक बार फिर जंगलों की सुरक्षा व्यवस्था पर पुनर्विचार करने को मजबूर कर दिया है.</p> <p>नगर मुख्यालय से लगभग चार किलोमीटर दूर स्थित रौली क्षेत्र में रविवार शाम जंगल की आग ने भारी तबाही मचाई. शाम करीब छह बजे अचानक ऑफिसर कॉलोनी के समीप चीड़ के जंगल में आग भड़क उठी. देखते ही देखते आग की लपटें तेजी से फैलने लगीं और राजकीय पॉलीटेक्निक संस्थान की ऑफिसर कॉलोनी तक पहुंच गई. वहां रह रहे दो कर्मचारियों के परिवारों को अपनी जान बचाने के लिए घर छोड़कर सड़क की ओर भागना पड़ा.</p>
<p>स्थानीय लोगों के अनुसार, आग लगने का कारण अराजक तत्वों की करतूत हो सकती है, जिन्होंने जंगल में जानबूझकर आग लगाई. आग की सूचना मिलते ही क्षेत्रवासी मौके पर पहुंचे और आग बुझाने का प्रयास किया, लेकिन लपटें इतनी तीव्र थीं कि कोई भी उसके नजदीक नहीं जा सका.</p>
<p>कॉलोनी तक आग पहुंचने के बाद वहां रह रहे कर्मचारियों के परिवारों में हड़कंप मच गया. सभी सदस्य तत्काल अपने कमरों से बाहर निकलकर सुरक्षित स्थान की ओर भागे. इस दौरान किसी के घायल होने की खबर नहीं है, लेकिन लोगों की जान पर संकट गहराने लगा था.</p>
<p><a href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/uttarakhand-news-544-accident-prone-sites-marked-on-chardham-yatra-routes-ann-2920004″><strong>चारधाम यात्रा मार्गों पर 544 दुर्घटना संभावित स्थल चिह्नित, NHAI ने लोनिवि और BRO को भेजा पत्र</strong></a></p>
<p>स्थानीय निवासियों ने तुरंत फायर सर्विस को सूचना दी. करीब एक घंटे बाद फायर सर्विस की टीम जिला प्रभारी प्रदीप त्रिवेदी के नेतृत्व में फायर वाहन के साथ मौके पर पहुंची. टीम ने लगभग आधे घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया. उन्होंने बताया कि आग को पूरी तरह से बुझा दिया गया है और स्थिति अब नियंत्रण में है.</p>
<p>स्थानीय लोगों ने मांग की है कि वन विभाग और प्रशासन जंगल में आग की घटनाओं को रोकने के लिए सख्त कदम उठाए और दोषियों की पहचान कर कार्रवाई की जाए. हर साल गर्मी शुरू होते ही जंगलों में आग की घटनाएं बढ़ जाती हैं, जिससे वन्यजीवों और लोगों के जीवन पर खतरा मंडराने लगता है.</p>
<p>इस घटना ने प्रशासन को एक बार फिर जंगलों की सुरक्षा व्यवस्था पर पुनर्विचार करने को मजबूर कर दिया है.</p> उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड यूपी में कल से 1 महीने तक चलेगा खास अभियान, इन अपराधों पर अंकुश लगाने की योजना
जंगल की आग ऑफिसर कॉलोनी तक पहुंची, कर्मचारियों के परिवारों ने भागकर बचाई जान
