पंजाब की जालंधर वेस्ट सीट पर 10 जुलाई को उप चुनाव को लेकर वोटिंग होगी। सभी पार्टियों ने तैयारियां शुरू कर दी है। साथ ही हर पार्टी के वरिष्ठ नेता का जालंधर आना जाना लगा हुआ है। बीते दिन आम आदमी पार्टी के श्री आनंदपुर साहिब सीट से लोकसभा MP मालविंदर सिंह कंग जालंधर आए थे, जिन्होंने दल बदलू नेताओं को लेकर विपक्षी पार्टियों पर निशाना साधा था। जिस वक्त मालविंदर सिंह कंग ने ये बात कही, उस वक्त एक तरफ अकाली दल छोड़कर आम आदमी पार्टी में आए पवन कुमार टीनू और दूसरी तरफ बीजेपी छोड़कर आप में आए जालंधर वेस्ट हलके से उम्मीदवार मोहिंदर भगत बैठे हुए थे। अब उक्त वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। परगट सिंह ने साधा आप पर निशाना जालंधर कैंट से कांग्रेस के विधायक और पूर्व हॉकी खिलाड़ी परगट सिंह ने अपने एक्स अकाउंट पर शेयर किया। जिसमें परगट सिंह ने मालविंदर कंग के एक्स अकाउंट को टैग करते हुए लिखा- दूसरी पार्टियों से पलटी मारकर आए नेताओं को आपने ही अपने दाएं-बाएं बैठा रखा है। लोगों से आप बिल्कुल सटीक अपील कर रहे हैं कि किसी पल्टू राम को वोट न दें। आगे परगट सिंह ने लिखा- लोकसभा चुनाव की तरह ही जालंधर की जनता इन पलटू रामों को वोट से जवाब देगी। बिक्रम मजीठिया चारों नेता खुद ही पलटू राम हैं अकाली दल के वरिष्ठ नेता बिक्रम मजीठिया ने कहा- आप प्रवक्त और नए सांसद बने मालविंदर कंग ने अफसर शाही को उनकी हार का कारण बताया है। सीएम मान का दावा था कि 13-0 से जीत दर्ज की जाएगी, मगर सिर्फ 3 सीटों पर आप सिमट कर रह गई। आगे मजीठिया ने कहा- अफसर शाही पर दिए गए बयान से साफ हो गया है कि आप अधिकारियों की मदद चाहता था। मजीठिया ने कहा- चुनाव कमीशन पर आप पर एक्शन लेना चाहिए इस बयान पर। मजीठिया ने कहा- कंग ने पलटू राम नेताओं को वोट न देने की बात कही है। अगर ऐसा है तो स्टेज पर बैठे चारो नेता ही पलटू राम हैं। उपचुनाव को लेकर 10 जुलाई को होगी की वोटिंग बता दें कि आम आदमी पार्टी के विधायक रहे शीतल अंगुराल (अब बीजेपी में) द्वारा इस्तीफा दे दिया गया था। जिसके बाद उन्होंने बीजेपी जॉइंन कर ली थी। इस्तीफा मंजूर होने के बाद जालंधर की वेस्ट सीट पर अब उप चुनाव होना है। उप चुनाव में बीजेपी ने शीतल अंगुराल, कांग्रेस ने सुरिंदर कौर, आप ने मोहिंदर भगत और शिअद ने सुरजीत कौर को टिकट दिया है। उप चुनाव की वोटिंग अलगे माह दस तारीख होगी। जिसके चार दिन बाद उक्त चुनाव का रिजल्ट आ जाएगा। पंजाब की जालंधर वेस्ट सीट पर 10 जुलाई को उप चुनाव को लेकर वोटिंग होगी। सभी पार्टियों ने तैयारियां शुरू कर दी है। साथ ही हर पार्टी के वरिष्ठ नेता का जालंधर आना जाना लगा हुआ है। बीते दिन आम आदमी पार्टी के श्री आनंदपुर साहिब सीट से लोकसभा MP मालविंदर सिंह कंग जालंधर आए थे, जिन्होंने दल बदलू नेताओं को लेकर विपक्षी पार्टियों पर निशाना साधा था। जिस वक्त मालविंदर सिंह कंग ने ये बात कही, उस वक्त एक तरफ अकाली दल छोड़कर आम आदमी पार्टी में आए पवन कुमार टीनू और दूसरी तरफ बीजेपी छोड़कर आप में आए जालंधर वेस्ट हलके से उम्मीदवार मोहिंदर भगत बैठे हुए थे। अब उक्त वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। परगट सिंह ने साधा आप पर निशाना जालंधर कैंट से कांग्रेस के विधायक और पूर्व हॉकी खिलाड़ी परगट सिंह ने अपने एक्स अकाउंट पर शेयर किया। जिसमें परगट सिंह ने मालविंदर कंग के एक्स अकाउंट को टैग करते हुए लिखा- दूसरी पार्टियों से पलटी मारकर आए नेताओं को आपने ही अपने दाएं-बाएं बैठा रखा है। लोगों से आप बिल्कुल सटीक अपील कर रहे हैं कि किसी पल्टू राम को वोट न दें। आगे परगट सिंह ने लिखा- लोकसभा चुनाव की तरह ही जालंधर की जनता इन पलटू रामों को वोट से जवाब देगी। बिक्रम मजीठिया चारों नेता खुद ही पलटू राम हैं अकाली दल के वरिष्ठ नेता बिक्रम मजीठिया ने कहा- आप प्रवक्त और नए सांसद बने मालविंदर कंग ने अफसर शाही को उनकी हार का कारण बताया है। सीएम मान का दावा था कि 13-0 से जीत दर्ज की जाएगी, मगर सिर्फ 3 सीटों पर आप सिमट कर रह गई। आगे मजीठिया ने कहा- अफसर शाही पर दिए गए बयान से साफ हो गया है कि आप अधिकारियों की मदद चाहता था। मजीठिया ने कहा- चुनाव कमीशन पर आप पर एक्शन लेना चाहिए इस बयान पर। मजीठिया ने कहा- कंग ने पलटू राम नेताओं को वोट न देने की बात कही है। अगर ऐसा है तो स्टेज पर बैठे चारो नेता ही पलटू राम हैं। उपचुनाव को लेकर 10 जुलाई को होगी की वोटिंग बता दें कि आम आदमी पार्टी के विधायक रहे शीतल अंगुराल (अब बीजेपी में) द्वारा इस्तीफा दे दिया गया था। जिसके बाद उन्होंने बीजेपी जॉइंन कर ली थी। इस्तीफा मंजूर होने के बाद जालंधर की वेस्ट सीट पर अब उप चुनाव होना है। उप चुनाव में बीजेपी ने शीतल अंगुराल, कांग्रेस ने सुरिंदर कौर, आप ने मोहिंदर भगत और शिअद ने सुरजीत कौर को टिकट दिया है। उप चुनाव की वोटिंग अलगे माह दस तारीख होगी। जिसके चार दिन बाद उक्त चुनाव का रिजल्ट आ जाएगा। पंजाब | दैनिक भास्कर
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पंजाब कांग्रेस नेता बाजवा ने केंद्र सरकार को घेरा:ओलंपिक में यूपी गुजरात के कम खिलाड़ी होने के बावजूद ज्यादा फंड किए जारी केंद्र सरकार द्वारा जारी किए गए खेल फंड के विवरण मामले में राजनीति शुरू हो गई है। पंजाब कांग्रेस के सीनियर नेता व विधानसभा में सीएलपी लीडर प्रताप सिंह बाजवा ने इस मामले में केंद्र सरकार को घेरा है। उन्होंने फंड वितरण मामले में केंद्र सरकार पर पक्षपात का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि पंजाब और हरियाणा ने पेरिस ओलिंपिक में 43 एथलीट भेजे हैं। जबकि दोनों राज्यों को क्रमश: 78 और 43 करोड़ जारी किए गए हैं। वहीं यूपी और गुजरात को 438 और 426 करोड़ रुपए जारी किए गए हैं। दोनों राज्य 9 एथलीट मुकाबलों में भेजे हैं। उन्होंने कहा कि ऐसा कर केंद्र सरकार ने सौतेला व्यवहार किया है, जो कि बिल्कुल उचित नहीं है। उनका कहना है कि पंजाब के बीजेपी नेताओं को भी इस बात को प्रमुखता से उठाना चाहिए। सोशल मीडिया पर डाली यह पोस्ट प्रताप सिंह बाजवा ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर एक पोस्ट डाली है। इसमें उन्होंने लिखा है कि खेलो इंडिया योजना के तहत मोदी सरकार द्वारा धन का गलत वितरण करना अन्याय का एक ज्वलंत उदाहरण है। उन्होंने पोस्ट में लिखा है भारतीय खेलों के गढ़ पंजाब और हरियाणा को पेरिस ओलिंपिक में 43 एथलीट भेजने के बावजूद क्रमशः मात्र 78 करोड़ और 66 करोड़ दिए गए। वहीं, यूपी और गुजरात को केवल 9 एथलीट भेजने के बावजूद 438 करोड़ और 426 करोड़ मिले। यह सौतेला व्यवहार हमारी खेल क्षमता और क्षेत्रीय प्रतिभा को कमजोर करता है। हरियाणा की एथलीट ने जीता पहला मैडल पेरिस ओलिंपिक में देश के लिए पहला पदक मनु भाकर ने जीता है। वह हरियाणा की रहने वाली हैं। वहीं, अगर हॉकी टीम की बात करे तो उसमें शामिल अधिकतर खिलाड़ी पंजाब के हैं। इसके अलावा कई अन्य गेमों में पंजाब और हरियाणा के खिलाड़ी देश की अगुवाई कर रहे हैं।
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गिद्दड़बाहा में फिर एक्टिव हुए राजा वड़िंग:पत्नी अमृता ने भी शुरू की बैठकें; अकाली दल से सुखबीर बादल नहीं होंगे उम्मीदवार जालंधर वेस्ट विधानसभा उप चुनाव के बाद अब पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रधान अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग ने अपनी पूर्व सीट गिद्दड़बाहा का रुख कर लिया है। अनुमान है कि आने वाले 5 महीनों के भीतर पंजाब विधानसभा की 4 सीटों पर उप-चुनाव होंगे। लुधियाना से सांसद चुने जाने के बाद राजा वड़िंग की गृह सीट अब खाली हो चुकी है। जालंधर में कांग्रेस की हार के बाद अब राजा वड़िंग अपनी इस सीट पर रिस्क नहीं लेना चाहते हैं। सिर्फ अमरिंदर सिंह ही नहीं, उनकी पत्नी अमृता वड़िंग ने भी उनके साथ गिद्दड़बाहा विधानसभा सीट का रुख किया है। वे भी पूरी तरह से गिद्दड़बाहा में सक्रिय हो गई हैं। अभी तक अनुमान यही लगाया जा रहा है कि अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग हाईकमान से इस सीट के लिए अपनी पत्नी अमृता वड़िंग के लिए टिकट मांगेंगे। पिछले कुछ दिनों में इस विधानसभा क्षेत्र में अमृता वड़िंग को अपने पति के राजनीतिक उत्तराधिकारी के रूप में देखी जा रहा है। अमृता ने दो बार यहां के कुछ गांवों का दौरा किया है। इसी तरह, राजा वड़िंग वर्करों के साथ बैठकें कर रहे हैं। अमृत वड़िंग जानती हैं गिद्दड़बाहा क्षेत्र को अमृता वड़िंग इस क्षेत्र में पहले भी सक्रिय रही हैं। पति के विधायक होते समय अमृता वड़िंग उनकी अनुपस्थिति में इस हलके के कामकाज देखती थी। इसके अलावा उनकी तरफ से चलाई जा रही संस्था आसरा फाउंडेशन के जरिए वे लोगों के बीच एक्टिव रही हैं। लुधियाना चुनाव जीतने के बाद कई इंटरव्यू में राजा वड़िंग स्पष्ट कर चुके हैं कि गिद्दरबाहा के लोगों ने उन्हें बहुत प्यार है और वे उन्हें छोड़ नहीं सकते। गिद्दड़बाहा का वे दौरा करते रहेंगे और लोगों से प्रतिक्रिया प्राप्त करते रहेंगे। गिद्दड़बाहा में कांग्रेस तीसरे नंबर पर पहुंची लोकसभा चुनावों की बात करें तो गिद्दड़बाहा विधानसभा फरीदकोट जिले में आती है। लोकसभा में पड़ी वोटों के अनुसार कांग्रेस गिद्दड़बाहा में तीसरे नंबर पर लुढ़क गई। चुनाव जीतकर सांसद बने सर्बजीत सिंह खालसा को गिद्दड़बाहा से 32,423 वोट, आप उम्मीदवार कर्मजीत अनमोल को 20,310 और कांग्रेस की अमरजीत कौर साहोके को 20,273 वोट ही मिले थे। गिद्दड़बाहा से सुखबीर बादल नहीं लड़ना चाहते चुनाव गिद्दड़बाहा हलके को राजा वड़िंग के साथ-साथ अकाली दल अध्यक्ष सुखबीर बादल का गढ़ भी माना जाता है, लेकिन इस बार सुखबीर बादल यहां से चुनाव लड़ने के इच्छुक नहीं हैं। अकाली दल के गिद्दड़बाहा हलका प्रभारी हरदीप सिंह डिंपी ढिल्लों भी हलके का दौरा कर रहे हैं। एक इंटरव्यू में हरदीप डिंपी ने पहले ही साफ कर दिया था कि अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल यह उप चुनाव नहीं लड़ेंगे। प्रधानमंत्री बाजेके भी चुनाव लड़ने के इच्छुक लोकसभा चुनावों में सर्बजीत सिंह खालसा के जीतने के बाद खालिस्तान समर्थक भगवंत सिंह उर्फ प्रधानमंत्री बाजेके भी इस चुनाव को लड़ने के इच्छुक हैं। अमृतपाल की जेल में रहकर जीत के बाद भगवंत सिंह प्रधानमंत्री बाजेके भी डिब्रूगढ़ जेल से ये चुनाव लड़ने की घोषणा कर चुके हैं।