लुधियाना| मंगली टांडा रोड पर तेज रफ्तार कार ने बाइक सवार दो युवकों को टक्कर मार दी। हादसे में महेंद्र सिंह और उसका दोस्त रिंकू यादव गंभीर रूप से घायल हो गए। दोनों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनकी हालत स्थिर है। शिकायतकर्ता बलजिंदर सिंह निवासी जीवनपुर ने बताया कि हादसा उस समय हुआ जब दोनों युवक गांव जा रहे थे। थाना मेहरबान के जांच अधिकारी थानेदार जोगिंदर सिंह ने बताया कि पुलिस ने आरोपी कार चालक हैप्पी सिंह को गिरफ्तार कर उसके खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। लुधियाना| मंगली टांडा रोड पर तेज रफ्तार कार ने बाइक सवार दो युवकों को टक्कर मार दी। हादसे में महेंद्र सिंह और उसका दोस्त रिंकू यादव गंभीर रूप से घायल हो गए। दोनों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनकी हालत स्थिर है। शिकायतकर्ता बलजिंदर सिंह निवासी जीवनपुर ने बताया कि हादसा उस समय हुआ जब दोनों युवक गांव जा रहे थे। थाना मेहरबान के जांच अधिकारी थानेदार जोगिंदर सिंह ने बताया कि पुलिस ने आरोपी कार चालक हैप्पी सिंह को गिरफ्तार कर उसके खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। पंजाब | दैनिक भास्कर
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नशा छुड़ाने को प्रशासन ने निगम, पुलिस समेत 10 विभागों से मांगी रिपोर्ट, पूछा-क्या प्रयास करें
नशा छुड़ाने को प्रशासन ने निगम, पुलिस समेत 10 विभागों से मांगी रिपोर्ट, पूछा-क्या प्रयास करें प्रशासन की ओर से ड्रग्स को जड़ से समाप्त करने और नशे के दलदल में डूबे युवाओं से नशा छुड़ाने के लिए कवायद की गई है। प्रशासन ड्रग एडिक्टों से नशा छुड़ाने के लिए योजना तैयार कर रहा है। प्रशासन ने नगर निगम, पुलिस, शिक्षा विभाग समेत 10 डिपार्टमेंट से नशा छुड़ाने के लिए उठाए जाने वाले कदमों के बाबत रिपोर्ट मांगी है। सभी डिपार्टमेंट को पंद्रह दिन के भीतर प्रशासन को जवाब देना है। पंजाब का सबसे बड़ा दर्द नशा है। नशे की जद में आ रहे लोगों के वीडियो वायरल होते हैं और कई की मौत तक हो जाती है जिससे कई घर बर्बाद हो गए। सन 2017 और 2022 के विधानसभा चुनाव में नशा प्रमुख राजनीतिक मुद्दा बना था। 2022 में पंजाब की सत्ता आम आदमी पार्टी के हाथों में आई है। सीएम भगवंत मान ने सत्ता में आने के बाद नशे को रोकने के लिए मुहिम शुरू की है। सरकार ने लुधियाना समेत अन्य जिलों के अधिकारियों को युवाओं में बढ़ते नशे को रोकने और ड्रग एडिक्टों के उपचार के लिए हरसंभव योजना तैयार करने के निर्देश दिए हैं। इसी क्रम में प्रशासन ने लुधियाना डीसी ऑफिस में एंट्री ड्रग सेल स्थापित किया है। पुलिस प्रशासन की ओर से नशा तस्करों की प्रॉपर्टी हो रही सील नशा तस्करी रोकने के लिए पुलिस प्रशासन की ओर से सख्त रुख अख्तियार किया गया है। पुलिस की ओर से गिरोह चिह्नित किए गए हैं जो नशे की सामग्री की सप्लाई कर रहे हैं। इन लोगों के खिलाफ पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया है और नशे की सामग्री बेचकर तैयार की गई संपत्ति को भी सील किया है। अब पूरी टीम पूरे नेक्सस को समाप्त करने के लिए हर संभव कोशिश कर रही है। प्रशासन की ओर से भी हाट स्पॉट चिन्हित कर कार्रवाई को निर्देशित किया गया है। नशा मुक्ति अभियान के तहत स्टाफ की भी की जा रही भर्ती डीसी साक्षी साहनी की ओर से नशे की चपेट में आए लोगों को उपचार दिलाने, काउंसलिंग, नशा मुक्ति केंद्रों में भर्ती करने और पूरी तरह से नशा छुड़ाने के लिए मुहिम शुरू की है। इसी क्रम में प्रशासन की ओर से नगर निगम, एसएसपी खन्ना, सिविल सर्जन, डीडीपीओ, खेतीबाड़ी विभाग, शिक्षा विभाग, जीएम इंडस्ट्री समेत अन्य डिपार्टमेंट प्रमुखों को पत्र जारी किया गया है। पत्र में कहा गया है कि लोगों से नशा छुड़ाने के लिए क्या प्रयास किया जाए और क्या गतिविधियां की जाएं, इस बारे में विस्तृत रिपोर्ट उपलब्ध कराएं। बाकायदा कैलेंडर बनाकर उपलब्ध कराने को निर्देशित किया गया है। एडीसी जनरल मेजर अमित सरीन ने बताया कि नशा मुक्ति अभियान के तहत पीड़ितों को सेंटरों में उपचार दिलाया जाएगा। उनकी डाइट में भी बदलाव किया जा रहा है और स्टाफ की भर्ती की जा रही है। हाईकोर्ट ने भी नशे के मुद्दे पर सरकार से मांगा था जवाब पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट ने पंजाब में नशे के मुद्दे पर सरकार से जवाब मांगा था। पूछा था कि पंजाब में कितने लोग नशे के आदी हैं और रोकथाम के लिए क्या प्रयास किए गए हैं। हाईकोर्ट ने पंजाब में हजारों करोड़ रुपये की नशा सामग्री पकड़े जाने के बावजूद नशे के बढ़ते प्रभाव पर नाराजगी जताई थी। इससे पंजाब सरकार सवालों के घेरे में आ गई थी। साथ ही हाईकोर्ट द्वारा नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो से पूछा था कि हरियाणा और पंजाब में नशे के आदी लोगों की संख्या कितनी है। बता दें कि वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव के दौरान कैप्टन अमरिंदर सिंह ने गुटका साहिब हाथ में लेकर एक चुनावी रैली में नशा का मुद्दा उठाया था और उन्होंने कहा था कि पंजाब में कांग्रेस की सरकार बनने पर चार सप्ताह में नशे की कमर तोड़ दी जाएगी। इसके बाद कांग्रेस ने 77 सीटें जीती थीं लेकिन पूरे कार्यकाल में नशे को लेकर सख्त एक्शन नहीं हुआ था। 2022 में आप सरकार ने सत्ता हासिल की थी। नहीं मिला लाभ…एंटी ड्रग सेल बने दो हफ्ते बीते, एक भी पंजीकरण नहीं प्रशासन ने दो सप्ताह पहले डीसी परिसर में एंटी ड्रग सेल स्थापित किया है। बकाया एडीसी जनरल ने सभी विभागों की मीटिंग लेकर नशा मुक्त अभियान के लिए योजना पर काम करने के निर्देश दिए थे। उम्मीद थी कि नशे की जद में आए लोग प्रशासन के पास पहुंचकर अपनी समस्या से अवगत कराएंगे और उपचार के लिए पंजीकरण कराएंगे लेकिन ऐसा नहीं हो सका है। सूत्रों के अनुसार इस सेल के बारे में प्रचार प्रसार अधिक नहीं हो सका है जिसके चलते इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है। एक ये भी कारण है कि जहां यह सेल स्थापित किया गया है वहां एमए ब्रांच का दफ्तर है। एमए ब्रांच के कर्मचारी और एंटी ड्रग सेल के कर्मचारी एक साथ बैठ रहे हैं जिस कारण इस सेल के बारे में अधिक जानकारी नहीं मिल पा रही है।

अमित शाह की खालिस्तान समर्थकों को चेतावनी:बोले-पंजाब में कुछ लोग भिंडरांवाले बनने का प्रयास कर रहे; अब वह असम की जेल में हैं
अमित शाह की खालिस्तान समर्थकों को चेतावनी:बोले-पंजाब में कुछ लोग भिंडरांवाले बनने का प्रयास कर रहे; अब वह असम की जेल में हैं केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने संसद में देश में आतंकवाद के खिलाफ उठाए गए कदमों पर चर्चा करते हुए पंजाब में अलगाववादी तत्वों पर उठाए गए कड़ा रुख अपनाने का संकेत दिया। इस दौरान उन्होंने जरनैल सिंह भिंड़रांवाले का नाम लिया। वहीं सांसद अमृतपाल सिंह का नाम लिए बिना उस पर की गई कार्रवाई का जिक्र किया। गृहमंत्री अमित शाह ने कहा – कुछ लोग पंजाब में भिंडरांवाले बनने का प्रयास कर रहे थे। प्रयास भी किया, आगे भी बढ़े। सरकार हमारी नहीं थी, फिर भी इसी गृह मंत्रालय ने दृढ़ निश्चय कर अब वह असम की जेल में गुरु ग्रंथ साहिब पढ़ रहा है। इस मोदी सरकार के रहते राजनीतिक आइडियोलॉजी के कारण हम पनपने नहीं देंगे। उन्हें पहले ही समाप्त कर देंगे। अमृतपाल सिंह और खालिस्तान समर्थक गतिविधियां पिछले कुछ सालों से पंजाब में खालिस्तान समर्थक गतिविधियों में वृद्धि देखी गई। जिसमें अमृतपाल सिंह का नाम प्रमुखता से सामने आया। अमृतपाल सिंह ने खुलेआम खालिस्तान की मांग की है और गृह मंत्री अमित शाह को इंदिरा गांधी जैसा हश्र भुगतने की धमकी भी दी थी। सरकार ने इन गतिविधियों को गंभीरता से लेते हुए सख्त कदम उठाए हैं, ताकि राज्य में शांति और स्थिरता बनी रहे। अमृतपाल के 7 साथियों से एनएसए हटा पंजाब के खडूर साहिब से सांसद अमृतपाल सिंह, साथी पप्पलप्रीत सिंह और वरिंदर विक्की को अभी भी डिब्रूगढ़ जेल में बंद हैं। जबकि अभी तक सिर्फ 7 साथियों का एनएसए हटाने का फैसला लिया जा चुका है और उन्हें अमृतसर शिफ्ट कर फरवरी 2023 में पुलिस थाना अजनाला पर हुए हमले की कार्रवाई को शुरू किया गया है।

चंडीगढ़ में मेयर का कार्यकाल 5 साल करने की मांग:सांसद मनीष बोले- विकास गति को मिलेगी मजबूती, 1 साल पर्याप्त नहीं
चंडीगढ़ में मेयर का कार्यकाल 5 साल करने की मांग:सांसद मनीष बोले- विकास गति को मिलेगी मजबूती, 1 साल पर्याप्त नहीं चंडीगढ़ के सांसद और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनीष तिवारी ने शहर के विकास को नई दिशा देने के लिए चंडीगढ़ नगर निगम में मेयर का कार्यकाल पाँच वर्ष करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि एक वर्ष का कार्यकाल मेयर को शहर की गंभीर समस्याओं का समाधान करने के लिए पर्याप्त नहीं है। यदि मेयर को पाँच वर्षों का समय दिया जाए, तो वे दीर्घकालिक योजनाओं पर काम कर सकेंगे, जिससे शहर की विकास गति को मजबूती मिलेगी। केंद्र सरकार से हर साल मिलते हैं 1 हजार करोड़
ऑल इंडिया राजीव मेमोरियल सोसाइटी द्वारा आयोजित एक सम्मान समारोह में बोलते हुए मनीष तिवारी ने चंडीगढ़ की वित्तीय स्थिति पर भी गहरी चिंता व्यक्त की। उन्होंने बताया कि चंडीगढ़ को केंद्र सरकार से हर साल लगभग 1000 करोड़ रुपए मिलते हैं, जो कि मोहाली और पंचकूला के फंड्स से लगभग पाँच गुना अधिक है। इसके बावजूद शहर में फंड्स की तंगी बनी रहती है, जिसका प्रमुख कारण अफसरशाही द्वारा फंड्स का उचित उपयोग न होना है। चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष व अन्य पदाधिकारी रहे मौजूद
उन्होंने अफसरशाही पर आरोप लगाते हुए कहा कि फंड का सही इस्तेमाल न होने से शहर की अनेक समस्याएं बरकरार हैं। तिवारी ने चंडीगढ़ के विकास के लिए हरसंभव प्रयास करने का आश्वासन भी दिया। समारोह में चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष एचएस लक्की और ऑल इंडिया राजीव मेमोरियल सोसायटी के अध्यक्ष राज नागपाल ने भी शहर के विकास पर जोर दिया। इस अवसर पर संस्था के वरिष्ठ पदाधिकारी अशोक वालिया, बलजीत सिंह, विल्सन, रंजीव मल्होत्रा, तेजिंदर बसन, दलविंदर पॉल, आमिर, रचित नागपाल, प्रकाश सैनी, राहुल मल्होत्रा, और सतीश सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति भी उपस्थित रहे, जिन्होंने मनीष तिवारी के प्रयासों की सराहना की।