दिल्ली एयरपोर्ट से लौटते वक्त पंजाब के मलोट के रहने वाले एक NRI परिवार पर रास्ते में हाईवे लुटेरों ने तेजधार हथियारों से जानलेवा हमला करने की कोशिश की। इसे लेकर पंजाब के समाजसेवी शिवजीत सिंह संगा ने एक पोस्ट शेयर की है। जिसमें उन्होंने एक बड़ा नोट लिखा और साथ में एनआईआर की बुजुर्ग मां की फोटो शेयर की है। सारे घटनाक्रम के वक्त उक्त बुजुर्ग मां गाड़ी में मौजूद थी। आरोपियों ने पीड़ित परिवार की गाड़ी में तोड़फोड़ भी की। मगर किसी तरह परिवार ने अपनी वहां से जान बचाई। रात के वक्त दिल्ली एयरपोर्ट से लौटते में हुई घटना समाजसेवी शिवजीत सिंह संगा द्वारा शेयर की गई पोस्ट में उन्होंने लिखा- ये बहुत ही महत्वपूर्ण पोस्ट, जो विदेशी लोग दिल्ली एयरपोर्ट से रात के समय कारों में अकेले पंजाब की ओर आते हैं, वे सावधान हो जाएं। आगे उन्होंने कहा- कल (गुरुवार शुक्रवार गत रात्रि) बुजुर्ग मां लगभग 12 बजे हवाई अड्डे पर उतरीं। वहां से पिता-मां बाहर निकले तो गांव के कुछ युवक उन्हें लेने आए थे। जिनके साथ वह गांव के लिए निकल पड़े। मन्नत ढाबे पर खाने-पीने के लिए रुका था परिवार दिल्ली से निकलकर वह पानीपत जालंधर हाईवे पर स्थित मन्नत ढाबा पर खाने-पीने के लिए रुके थे। रात के करीब एक बजे होंगे। एक कार सवार 20 से 25 साल की उम्र के युवक उनकी गाड़ी का पीछा करने लगे। दस किलोमीटर के बाद अचानक उन्होंने अपनी कार उनकी कार के सामने लगा दी और रुकने का इशारा किया। आश्चर्य की बात यह थी कि जब उन्होंने कार रोकनी चाही तो वे तुरंत बेसबॉल और लोहे की रॉड लेकर उनके पीछे आ गए। गाड़ी भगाई तो फिर पीछा शुरू किया पीड़ित ने जब वहां से किसी तरह अपनी गाड़ी निकाली तो आरोपियों ने फिर से 10 से 15 किलोमीटर तक पीछा किया। दोनों गाड़ियां सौ से ज्यादा की स्पीड में चल रही थीं। तेज गाड़ी डिवाइडर पर चढ़कर पलट सकती थी, मगर बचाव हो गया। गाड़ी के अंदर पापा, मां, ड्राइवर और यह दूसरा भाई था, सभी मलोट के रहने वाले हैं। सभी सुरक्षित थे। पापा दूसरे लोगों की गाड़ियां रोकने की जिद कर रहे थे। वहीं पर उन्होंने हाईवे पर स्थित पुल के पास गाड़ी रोकी। क्योंकि हाईवे जाम था। जब वहां से गाड़ी मोड़ने लगे तो उक्त आरोपियों ने इस दौरान बेसबॉल से हमला कर दिया। वे केवल लूटना नहीं चाहते थे, ऐसा लगता है कि वह उन्हें नुकसान पहुंचाना चाहते थे। दिल्ली की ओर जब वह वापस मुड़े तो दस किलोमीटर दूर एक पेट्रोलपंप पर वह बाथरूम में घुसकर छिप गए। इस पोस्ट को पोस्ट करने का मेरा उद्देश्य यह है कि हम सभी रात में ट्रैफिक से बचने के लिए बाहर निकलते हैं। मगर ऐसे बुरे लोग सॉफ्ट टारगेट खोजते हैं, जोकि बुजुर्ग हैं। जिसके बाद मौके पर पुलिस बुलाई गई और सारे घटनाक्रम के बार में जानकारी दी गई। दिल्ली एयरपोर्ट से लौटते वक्त पंजाब के मलोट के रहने वाले एक NRI परिवार पर रास्ते में हाईवे लुटेरों ने तेजधार हथियारों से जानलेवा हमला करने की कोशिश की। इसे लेकर पंजाब के समाजसेवी शिवजीत सिंह संगा ने एक पोस्ट शेयर की है। जिसमें उन्होंने एक बड़ा नोट लिखा और साथ में एनआईआर की बुजुर्ग मां की फोटो शेयर की है। सारे घटनाक्रम के वक्त उक्त बुजुर्ग मां गाड़ी में मौजूद थी। आरोपियों ने पीड़ित परिवार की गाड़ी में तोड़फोड़ भी की। मगर किसी तरह परिवार ने अपनी वहां से जान बचाई। रात के वक्त दिल्ली एयरपोर्ट से लौटते में हुई घटना समाजसेवी शिवजीत सिंह संगा द्वारा शेयर की गई पोस्ट में उन्होंने लिखा- ये बहुत ही महत्वपूर्ण पोस्ट, जो विदेशी लोग दिल्ली एयरपोर्ट से रात के समय कारों में अकेले पंजाब की ओर आते हैं, वे सावधान हो जाएं। आगे उन्होंने कहा- कल (गुरुवार शुक्रवार गत रात्रि) बुजुर्ग मां लगभग 12 बजे हवाई अड्डे पर उतरीं। वहां से पिता-मां बाहर निकले तो गांव के कुछ युवक उन्हें लेने आए थे। जिनके साथ वह गांव के लिए निकल पड़े। मन्नत ढाबे पर खाने-पीने के लिए रुका था परिवार दिल्ली से निकलकर वह पानीपत जालंधर हाईवे पर स्थित मन्नत ढाबा पर खाने-पीने के लिए रुके थे। रात के करीब एक बजे होंगे। एक कार सवार 20 से 25 साल की उम्र के युवक उनकी गाड़ी का पीछा करने लगे। दस किलोमीटर के बाद अचानक उन्होंने अपनी कार उनकी कार के सामने लगा दी और रुकने का इशारा किया। आश्चर्य की बात यह थी कि जब उन्होंने कार रोकनी चाही तो वे तुरंत बेसबॉल और लोहे की रॉड लेकर उनके पीछे आ गए। गाड़ी भगाई तो फिर पीछा शुरू किया पीड़ित ने जब वहां से किसी तरह अपनी गाड़ी निकाली तो आरोपियों ने फिर से 10 से 15 किलोमीटर तक पीछा किया। दोनों गाड़ियां सौ से ज्यादा की स्पीड में चल रही थीं। तेज गाड़ी डिवाइडर पर चढ़कर पलट सकती थी, मगर बचाव हो गया। गाड़ी के अंदर पापा, मां, ड्राइवर और यह दूसरा भाई था, सभी मलोट के रहने वाले हैं। सभी सुरक्षित थे। पापा दूसरे लोगों की गाड़ियां रोकने की जिद कर रहे थे। वहीं पर उन्होंने हाईवे पर स्थित पुल के पास गाड़ी रोकी। क्योंकि हाईवे जाम था। जब वहां से गाड़ी मोड़ने लगे तो उक्त आरोपियों ने इस दौरान बेसबॉल से हमला कर दिया। वे केवल लूटना नहीं चाहते थे, ऐसा लगता है कि वह उन्हें नुकसान पहुंचाना चाहते थे। दिल्ली की ओर जब वह वापस मुड़े तो दस किलोमीटर दूर एक पेट्रोलपंप पर वह बाथरूम में घुसकर छिप गए। इस पोस्ट को पोस्ट करने का मेरा उद्देश्य यह है कि हम सभी रात में ट्रैफिक से बचने के लिए बाहर निकलते हैं। मगर ऐसे बुरे लोग सॉफ्ट टारगेट खोजते हैं, जोकि बुजुर्ग हैं। जिसके बाद मौके पर पुलिस बुलाई गई और सारे घटनाक्रम के बार में जानकारी दी गई। पंजाब | दैनिक भास्कर
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पंजाब में आज से ओपीडी पूरी तरह से बंद:मेडिकल एग्जामिनेशन भी नहीं होंगे; सिर्फ आपातकालीन सेवाएं जारी रहेंगी पंजाब में आज (गुरुवार) से डॉक्टर हड़ताल का दूसरा पड़ाव शुरू हो गया है। आज से पूरे पंजाब में ओपीडी सेवाएं पूरी तरह से बंद कर दी गई हैं। इतना ही नहीं, डॉक्टर किसी भी तरह का मेडिकल सर्टिफिकेट, चाहे वे ड्राइविंग के लिए हो या गन लाइसेंस व नौकरी के लिए, नहीं दिया जाएगा। सिर्फ आपातकालीन सेवाएं ही जारी रहेंगी। पंजाब सिविल मेडिकल सर्विसेज एसोसिएशन ने स्पष्ट कर दिया है कि जब तक 11 सितंबर को सरकार से सकारात्मक बातचीत का नोटिफिकेशन जारी नहीं होता, स्ट्राइक तय नियमानुसार ही चलेगी। 11 सितंबर को डॉक्टर और सरकार के बीच बैठक में कुछ बातों पर सहमीत बनी है। एसोसिएशन अस्पताल में डॉक्टर और मेडिकल स्टाफ की सुरक्षा और नियमित रूप से वेतन बढ़ोतरी के आदेश जारी करने को लेकर यह आंदोलन कर रहे हैं। 15 सितंबर तक चलेगा दूसरा चरण सरकार की तरफ से आश्वासनों के बाद डॉक्टरों ने हड़ताल को 3 चरण में बदल था। जिसका पहला चरण पूरा हो चुका है। पहला चरण 9 से 11 सितंबर तक था, जिसमें सुबह 8 बजे से 11 बजे तक ओपीडी सेवाएं निलंबित रखीं गई थी। दूसरा चरण 12 से 15 सितंबर तक चलने वाला है। जिसमें ओपीडी सेवाओं को पूरी तरह से बंद कर दिया गया है। 16 सितंबर के बाद तीसरा चरण होगा। इसमें डॉक्टर ओपीडी के साथ-साथ मेडिकल लीगल करने से भी साफ मना कर देंगे। जानें क्या है दूसरा चरण डॉक्टरों की हड़ताल का दूसरा चरण 15 सितंबर तक जारी रहेगा। आज से ओपीडी पूरी तरह से बंद रहने वाली है। क्या सुविधाएं मिलेंगी और कौन सी नहीं – कोई वैकल्पिक ऑपरेशन नहीं होगा। – केवल सिजेरियन सेक्शन (वैकल्पिक और आपातकालीन दोनों) और जीवन रक्षक सर्जरी निर्बाध रूप से जारी रहेंगी। – केवल आपातकालीन इमजेंसी व एक्सीडेंट केस देखे जाएंगे। – किसी तरह का मेडिकल एग्जामिनेशन नहीं होगा। जिसमें आर्म लाइसेंस, सामान्य मेडिकल एग्जामिनेशन, भर्ती संबंधी मेडिकल एग्जामिनेशन नहीं होगा। – कोई वीआईपी/वीवीआईपी ड्यूटी नहीं होगी। – कोई डोप टेस्ट नहीं होगा। – कोई टेस्ट रिपोर्टिंग नहीं होगी, केवल डेंगू से संबंधित रिपोर्टिंग ही की जाएगी। – कोई विभागीय बैठक नहीं की जाएगी। – कायाकल्प मूल्यांकन भी नहीं किया जाएगा।
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