पंजाब में धान की लिफ्टिंग का मामला गर्माया हुआ है। इसी मामले को लेकर आज (वीरवार) को केंद्र और पंजाब सरकार के अधिकारियों की मीटिंग होने जा रही है। इस दौरान दोनों की तरफ से इस मुद्दे पर स्ट्रेटजी बनाई जाएगी। हालांकि इस मामले को लेकर पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट भी सख्त है। 29 अक्टूबर को हाईकोर्ट ने इसी मामले से जुड़ी याचिका की सुनवाई करते हुए कहा था कि इस मसले को आपसी सहमति से हल किया जाए। यह मामला पूरे पंजाब से जुड़ा हुआ है। पंजाब कृषि प्रधान राज्य है। पहले भी पंजाब और केंद्र में मीटिंग हो चुकी है धान की लिफ्टिंग के मामले को लेकर पंजाब और केंद्र सरकार के बीच इससे पहले भी कई मीटिंग हो चुकी हैं। कुछ दिन पहले ही पंजाब के सीएम भगवंत मान अपनी पूरी टीम के साथ दिल्ली गए थे। वहां पर केंद्रीय मंत्री प्रहलाद जोशी की अगुआई में मीटिंग हुई थी।मीटिंग में केंद्रीय राज्यमंत्री रवनीत सिंह बिट्टू भी उपस्थित थे। इसके अलावा केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के समक्ष भी सीएम मान इस मामले को उठा चुके हैं। आरोप है कि शैलरों में पहले से खरीदा हुआ चावल पड़ा हुआ है। जिसे केंद्र सरकार द्वारा उठाया नहीं जा रहा है। इस वजह से यह दिक्कत आ रही है। वहीं, पंजाब सरकार दावा कर रही है कि वह मार्च से अब तक 15 पत्र केंद्र को लिख चुकी हैं, लेकिन इसके बाद भी धान की लिफ्टिंग नहीं हो रही है। एक हफ्ते से AAP और भाजपा आमने सामने करीब एक हफ्ते से इस मामले को लेकर पंजाब की आम आदमी पार्टी (AAP) और भाजपा आमने सामने आ गए हैं। यह स्थिति उस समय बनी जब पंजाब के विधायक और मंत्री इसके लिए केंद्र सरकार को जिम्मेदार बता रहे थे, तो भाजपा नेता आगे आए। इसका आगाज भी थोड़ा हटकर था। दो साल से सक्रिय राजनीति से दूर चल रहे पूर्व सीएम और भाजपा नेता कैप्टन अमरिंदर सिंह ने 26 अक्टूबर को खन्ना मंडी में पहुंचकर धान खरीद का जायजा लिया और किसानों की दिक्कतें सुनीं। 27 अक्टूबर को भाजपा नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने पंजाब गवर्नर गुलाब चंद कटारिया से मुलाकात की और खरीद में तेजी लाने के लिए पंजाब सरकार को आदेश देने की मांग रखी। इसी दिन केंद्रीय मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू ने चंडीगढ़ पहुंचकर एफसीआई अधिकारियों से मीटिंग की। इसके बाद AAP ने जवाबी हमला बोला। वित्तमंत्री हरपाल चीमा की अगुआई में एक प्रतिनिधि मंडल ने सोमवार को गवर्नर से मुलाकात की और केंद्र सरकार से खरीद तेज करने की मांग रखी। इसके बाद फगवाड़ा पहुंचकर AAP सरकार के दो मंत्रियों ने किसानों से मीटिंग कर पांच हाईवे खुलवाएं और 30 अक्टूबर को चंडीगढ़ में केंद्र सरकार के खिलाफ रोष प्रदर्शन किया। पंजाब में धान की लिफ्टिंग का मामला गर्माया हुआ है। इसी मामले को लेकर आज (वीरवार) को केंद्र और पंजाब सरकार के अधिकारियों की मीटिंग होने जा रही है। इस दौरान दोनों की तरफ से इस मुद्दे पर स्ट्रेटजी बनाई जाएगी। हालांकि इस मामले को लेकर पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट भी सख्त है। 29 अक्टूबर को हाईकोर्ट ने इसी मामले से जुड़ी याचिका की सुनवाई करते हुए कहा था कि इस मसले को आपसी सहमति से हल किया जाए। यह मामला पूरे पंजाब से जुड़ा हुआ है। पंजाब कृषि प्रधान राज्य है। पहले भी पंजाब और केंद्र में मीटिंग हो चुकी है धान की लिफ्टिंग के मामले को लेकर पंजाब और केंद्र सरकार के बीच इससे पहले भी कई मीटिंग हो चुकी हैं। कुछ दिन पहले ही पंजाब के सीएम भगवंत मान अपनी पूरी टीम के साथ दिल्ली गए थे। वहां पर केंद्रीय मंत्री प्रहलाद जोशी की अगुआई में मीटिंग हुई थी।मीटिंग में केंद्रीय राज्यमंत्री रवनीत सिंह बिट्टू भी उपस्थित थे। इसके अलावा केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के समक्ष भी सीएम मान इस मामले को उठा चुके हैं। आरोप है कि शैलरों में पहले से खरीदा हुआ चावल पड़ा हुआ है। जिसे केंद्र सरकार द्वारा उठाया नहीं जा रहा है। इस वजह से यह दिक्कत आ रही है। वहीं, पंजाब सरकार दावा कर रही है कि वह मार्च से अब तक 15 पत्र केंद्र को लिख चुकी हैं, लेकिन इसके बाद भी धान की लिफ्टिंग नहीं हो रही है। एक हफ्ते से AAP और भाजपा आमने सामने करीब एक हफ्ते से इस मामले को लेकर पंजाब की आम आदमी पार्टी (AAP) और भाजपा आमने सामने आ गए हैं। यह स्थिति उस समय बनी जब पंजाब के विधायक और मंत्री इसके लिए केंद्र सरकार को जिम्मेदार बता रहे थे, तो भाजपा नेता आगे आए। इसका आगाज भी थोड़ा हटकर था। दो साल से सक्रिय राजनीति से दूर चल रहे पूर्व सीएम और भाजपा नेता कैप्टन अमरिंदर सिंह ने 26 अक्टूबर को खन्ना मंडी में पहुंचकर धान खरीद का जायजा लिया और किसानों की दिक्कतें सुनीं। 27 अक्टूबर को भाजपा नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने पंजाब गवर्नर गुलाब चंद कटारिया से मुलाकात की और खरीद में तेजी लाने के लिए पंजाब सरकार को आदेश देने की मांग रखी। इसी दिन केंद्रीय मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू ने चंडीगढ़ पहुंचकर एफसीआई अधिकारियों से मीटिंग की। इसके बाद AAP ने जवाबी हमला बोला। वित्तमंत्री हरपाल चीमा की अगुआई में एक प्रतिनिधि मंडल ने सोमवार को गवर्नर से मुलाकात की और केंद्र सरकार से खरीद तेज करने की मांग रखी। इसके बाद फगवाड़ा पहुंचकर AAP सरकार के दो मंत्रियों ने किसानों से मीटिंग कर पांच हाईवे खुलवाएं और 30 अक्टूबर को चंडीगढ़ में केंद्र सरकार के खिलाफ रोष प्रदर्शन किया। पंजाब | दैनिक भास्कर
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