पंजाब का सबसे महंगा टोल प्लाजा कल 30 जून को पूरी तरह बंद होने जा रहा है। किसान टोल एजेंसी के केबिनों पर ताला लगाएंगे। पिछले 15 दिनों से भारतीय किसान मजदूर यूनियन, भारतीय किसान दोआबा यूनियन और टैक्सी यूनियन लगातार विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। हर वाहन चालक बिना टोल टैक्स दिए वाहन निकाल रहा है। अब तक 6 लाख से ज्यादा वाहनों से बिना पर्ची के इस टोल टैक्स का भुगतान किया जा चुका है। इससे लोगों को करीब 15 करोड़ रुपये की बचत हुई है। किसानों की मांग है कि टोल टैक्स की पुरानी दर 150 रुपए प्रति चार पहिया वाहन ही रखी जाए। 30 जून को लगेगा टोल एजेंसी दफ्तर में ताला किसान नेता इंद्रबीर कादियां ने कहा कि लोगों से हो रही लूट बंद हो गई है। पिछले 14 दिनों से किसान लगातार टोल प्लाजा पर धरना दे रहे हैं। वहीं भारतीय किसान मजदूर यूनियन के प्रधान दिलबाग सिंह ने कहा कि कल बड़ी संख्या में सामाजिक संगठन और किसान जत्थेबंदियां लाडोवाल टोल प्लाजा पर पहुंच रही हैं। कल टोल कर्मचारियों के दफ्तर पर ताला जरूर जड़ दिया जाएगा। ताला जड़ने का कारण यह है कि वह कई बार टोल अधिकारियों और एनएचएआई से इस टोल की समय सीमा के कागजात दिखाने को कह चुके हैं, लेकिन अभी तक कोई भी अधिकारी कागजात नहीं दिखा पाया है। इसका मतलब यह है कि यह टोल अवैध रूप से चल रहा है। केंद्र सरकार लोगों से अवैध वसूली करवा रही है। लोगों का समर्थन किसानों के साथ है, कल टोल पर ताला जड़ दिया जाएगा और लोगों को राहत दी जाएगी। 2 जून से लागू हुए बढ़े हुए रेट… लाडोवाल टोल पर कार का पुराना टैक्स एक तरफ का 215 और राउंड ट्रिप का 325 था और मासिक पास 7175 था। नई दर में एक तरफ का किराया एक तरफ का 220 और राउंड ट्रिप का 330 है और मासिक पास 7360 होगा। इसी प्रकार हल्के वाहन का पुराना किराया एक तरफ का 350 और राउंड ट्रिप का 520 था और मासिक पास 11590 था। नई दर में एक तरफ का किराया एक तरफ का 355 और राउंड ट्रिप का 535 है और मासिक पास 11885 होगा। 2 एक्सल वाली बस या ट्रक का पुराना रेट एक तरफ का 730 और राउंड ट्रिप का 1095 था और मासिक पास 24285 था। नई दर में एक तरफ का 745, पीछे का 1120 और मासिक पास 24905 का होगा। तीन एक्सल वाले वाहनों का पुराना रेट एक तरफ का 795 और पीछे का 1190 था और मासिक पास 26490 था। नई दर में एक तरफ का 815 और पीछे का 1225 और मासिक पास 27170 का होगा। भारी निर्माण मशीनरी चार एक्सल वाहनों का पुराना रेट एक तरफ का 1140 और राउंड ट्रिप का 1715 था और मासिक पास 38,085 था। नई दर में एक तरफ का 1170 और पीछे का 1755 होगा और मासिक पास 39055 का होगा। सात और उससे अधिक एक्सल के लिए पुराना रेट एक तरफ का 1390, राउंड ट्रिप 2085 था। नई दर में एक तरफ का किराया 1425, वापस का 2140 और मासिक पास 47 हजार 545 होगा। इसके साथ ही टोल प्लाजा के 20 किलोमीटर के दायरे में रहने वालों के लिए पास का रेट भी 2 जून से 330 से बढ़ाकर 340 कर दिया गया है। पंजाब का सबसे महंगा टोल प्लाजा कल 30 जून को पूरी तरह बंद होने जा रहा है। किसान टोल एजेंसी के केबिनों पर ताला लगाएंगे। पिछले 15 दिनों से भारतीय किसान मजदूर यूनियन, भारतीय किसान दोआबा यूनियन और टैक्सी यूनियन लगातार विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। हर वाहन चालक बिना टोल टैक्स दिए वाहन निकाल रहा है। अब तक 6 लाख से ज्यादा वाहनों से बिना पर्ची के इस टोल टैक्स का भुगतान किया जा चुका है। इससे लोगों को करीब 15 करोड़ रुपये की बचत हुई है। किसानों की मांग है कि टोल टैक्स की पुरानी दर 150 रुपए प्रति चार पहिया वाहन ही रखी जाए। 30 जून को लगेगा टोल एजेंसी दफ्तर में ताला किसान नेता इंद्रबीर कादियां ने कहा कि लोगों से हो रही लूट बंद हो गई है। पिछले 14 दिनों से किसान लगातार टोल प्लाजा पर धरना दे रहे हैं। वहीं भारतीय किसान मजदूर यूनियन के प्रधान दिलबाग सिंह ने कहा कि कल बड़ी संख्या में सामाजिक संगठन और किसान जत्थेबंदियां लाडोवाल टोल प्लाजा पर पहुंच रही हैं। कल टोल कर्मचारियों के दफ्तर पर ताला जरूर जड़ दिया जाएगा। ताला जड़ने का कारण यह है कि वह कई बार टोल अधिकारियों और एनएचएआई से इस टोल की समय सीमा के कागजात दिखाने को कह चुके हैं, लेकिन अभी तक कोई भी अधिकारी कागजात नहीं दिखा पाया है। इसका मतलब यह है कि यह टोल अवैध रूप से चल रहा है। केंद्र सरकार लोगों से अवैध वसूली करवा रही है। लोगों का समर्थन किसानों के साथ है, कल टोल पर ताला जड़ दिया जाएगा और लोगों को राहत दी जाएगी। 2 जून से लागू हुए बढ़े हुए रेट… लाडोवाल टोल पर कार का पुराना टैक्स एक तरफ का 215 और राउंड ट्रिप का 325 था और मासिक पास 7175 था। नई दर में एक तरफ का किराया एक तरफ का 220 और राउंड ट्रिप का 330 है और मासिक पास 7360 होगा। इसी प्रकार हल्के वाहन का पुराना किराया एक तरफ का 350 और राउंड ट्रिप का 520 था और मासिक पास 11590 था। नई दर में एक तरफ का किराया एक तरफ का 355 और राउंड ट्रिप का 535 है और मासिक पास 11885 होगा। 2 एक्सल वाली बस या ट्रक का पुराना रेट एक तरफ का 730 और राउंड ट्रिप का 1095 था और मासिक पास 24285 था। नई दर में एक तरफ का 745, पीछे का 1120 और मासिक पास 24905 का होगा। तीन एक्सल वाले वाहनों का पुराना रेट एक तरफ का 795 और पीछे का 1190 था और मासिक पास 26490 था। नई दर में एक तरफ का 815 और पीछे का 1225 और मासिक पास 27170 का होगा। भारी निर्माण मशीनरी चार एक्सल वाहनों का पुराना रेट एक तरफ का 1140 और राउंड ट्रिप का 1715 था और मासिक पास 38,085 था। नई दर में एक तरफ का 1170 और पीछे का 1755 होगा और मासिक पास 39055 का होगा। सात और उससे अधिक एक्सल के लिए पुराना रेट एक तरफ का 1390, राउंड ट्रिप 2085 था। नई दर में एक तरफ का किराया 1425, वापस का 2140 और मासिक पास 47 हजार 545 होगा। इसके साथ ही टोल प्लाजा के 20 किलोमीटर के दायरे में रहने वालों के लिए पास का रेट भी 2 जून से 330 से बढ़ाकर 340 कर दिया गया है। पंजाब | दैनिक भास्कर
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सुखजिंदर रंधावा का अरविंद केजरीवाल को नोटिस:कहा- मेरे बारे में जो कहा, उसके लिए लिखित माफी मांगें, अन्यथा कानूनी कार्रवाई होगी पंजाब के वरिष्ठ नेता और गुरदासपुर से सांसद सुखजिंदर सिंह रंधावा ने दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी (AAP) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल को कानूनी नोटिस भेजा है। यह नोटिस 9 नवंबर 2024 को डेरा बाबा नानक में उप चुनावों को लेकर आयोजित AAP की एक राजनीतिक रैली के दौरान केजरीवाल द्वारा कथित रूप से दिए गए अपमानजनक और मानहानिपूर्ण बयानों के खिलाफ जारी किया गया है। रंधावा के वकील गुरमुख सिंह रंधावा के माध्यम से भेजे गए इस नोटिस में केजरीवाल से बिना शर्त लिखित माफी की मांग की गई है। साथ ही चेतावनी दी गई है कि यदि ऐसा नहीं किया गया, तो उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। मानहानिपूर्ण बयान से छवि को नुकसान पहुंचाने का आरोप सुखजिंदर सिंह रंधावा के वकील द्वारा जारी किए गए कानूनी नोटिस में दावा किया गया है कि केजरीवाल ने रैली में रंधावा को “भ्रष्ट” और “बेईमान” जैसे शब्दों का इस्तेमाल करते हुए उनकी छवि को धूमिल करने का प्रयास किया है। नोटिस में कहा गया है कि इन बयानों से न केवल रंधावा की प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची है, बल्कि उनके परिवार और समर्थकों के साथ-साथ उनके निर्वाचन क्षेत्र के लोगों की भावनाओं को भी ठेस पहुंची है। वकील ने नोटिस में कहा कि रंधावा का राजनीतिक करियर साफ-सुथरा रहा है और उन्होंने कभी भी व्यक्तिगत लाभ के लिए सत्ता का दुरुपयोग नहीं किया। रंधावा अपने समुदाय और राज्य के प्रति समर्पण के लिए जाने जाते हैं, और केजरीवाल के बयानों ने उनके सम्मान को ठेस पहुंचाई है। नोटिस में तीन मुख्य मांगें रखी गई हैं: देखें नोटिस— माफी मांगने के लिए 15 दिन का समय कानूनी नोटिस में यह भी स्पष्ट किया गया है कि यदि केजरीवाल 15 दिनों के भीतर इन मांगों को पूरा नहीं करते हैं, तो रंधावा उनके खिलाफ नागरिक और आपराधिक मानहानि के तहत कानूनी कार्रवाई करने का अधिकार सुरक्षित रखते हैं। इस नोटिस की एक प्रति वकील के कार्यालय में सुरक्षित रखी गई है ताकि जरूरत पड़ने पर इसे अदालत में प्रस्तुत किया जा सके।
चुनाव नतीजों ने AAP के सामने खड़ी की चुनौतियां:पार्टी को 3 चुनावों का करना है सामना, वादों को पूरा करने का दबाव रहेगा
चुनाव नतीजों ने AAP के सामने खड़ी की चुनौतियां:पार्टी को 3 चुनावों का करना है सामना, वादों को पूरा करने का दबाव रहेगा पंजाब में जिस तरह के लोकसभा चुनाव के नतीजे आए हैं, उसने सत्ताधारी आम आदमी पार्टी (AAP) के सामने कई नए चैलेंज खड़े कर दिए हैं। क्योंकि करीब ढाई साल पहले 117 विधानसभा सीटों में से 92 सीटें जीतकर AAP राज्य की सत्ता पर काबिज हुई थी। लेकिन इन चुनावों में लोगों ने उसे सिरे से खारिज कर दिया है। चुनावी दंगल में उतरे AAP के पांच मंत्रियों और तीन विधायकों में से एक चुनाव जीत पाया है। 54 विधानसभा हलकों में पार्टी को हार मिली है। ऐसे में पार्टी की आगे की राह आसान नहीं है। हालांकि फ्री बिजली और किसानों से जुड़े कुछ फैसले लेने से पार्टी अपना वोट बैंक 26 फीसदी तक बचाने में कामयाब रही है। हालांकि अब सरकार को एक के बाद चुनाव का सामना करना पड़ेगा। वहीं, अब विपक्षी दल संख्या भले ही कम हो, लेकिन आक्रमक रहेंगे। वहीं, अगर AAP ने सत्ता में आने वाले से पहले गारंटियां लोगों को दी तो थी, वह पूरी नहीं की तो साल 2027 विधानसभा चुनाव में भी पार्टी को मुश्किल उठानी पडे़गी। यह रहे AAP के मंत्रियों के हाल संगरूर में 1.72 लाख मतों से जीते आप की तरफ से संगरूर लोकसभा हलके से मंत्री गुरमीत सिंह मीत हेयर को चुनावी मैदान में उतारा गया था। उन्होंने 3.64 लाख मत हासिल किए हैं। जबकि उनके मुकाबले में खड़े सुखपाल सिंह खैहरा को 1.72 लाख मतों से हराया। 2014 से यहां आप पहली बार जीती थी, 2019 में भी पार्टी ने सीट जीती थी। लेकिन जब भगवंत मान ने मुख्यमंत्री बने तो उन्होंने यह सीट छोड़ी दी थी। उसके बाद यहां पर हुए उप चुनाव में पार्टी को हार मिली थी। लोगों से दूरी पड़ गई भारी पटियाला से डॉ. बलबीर सिंह को AAP ने उम्मीदवार बनाया था। लेकिन उन्हें भी हार का मुंह देखना पड़ा। वह दूसरे नंबर पर रहे हैं। जानकारों की माने तो इस इलाके में उनके हारने के कई कारण थे। एक तो इस लोकसभा के अधीन आने वाले हलकों के विधायकों से लोग खुश नहीं है। महिलाओं को हजार रुपए न देने वाली गारंटी का असर भी दिखा है। इसके अलावा मंत्री बनने के बाद उनका लोगों से सीधा संपर्क टूट गया था। अपने हलके तक ही रह गए सीमित आप की तरफ से तेज तर्रार मंत्री कुलदीप सिंह धालीवाल को अमृतसर से मैदान में उतारा गया था। लेकिन यहां भी पार्टी को हार का मुंह देखना 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लोकसभा हलके में आप के परिवहन मंत्री लालजीत सिंह भुल्लर चुनावी मैदान में थे। यहां पर पर पार्टी तीसरे नंबर पर रही। हलके में पार्टी की हार की वजह है कि पार्टी के उम्मीदवारों को विधायकों का साथ नहीं मिला। वहीं, पंथक मुद्दे भी भारी रहे हैं। ढाई साल में पार्टी इन मुद्दों पर कुछ नहीं कर पाई। जबकि लोगों ने बड़े विश्वास से इस पार्टी को मौका दिया था। इस वजह से भी पार्टी को नुकसान हुआ है। जहां दूसरी पार्टियों से आए नेता मैदान में उतारे गए फतेहगढ़ साहिब में जीपी पिछड़े भले ही आप प्रचंड बहुमत से पंजाब की सत्ता पर काबिज हुई थी। लेकिन पार्टी के पास चेहरों की की कमी थी। दूसरी लाइन का कोई नेता तैयार नहीं हुआ है। ऐसे में चुनाव घोषित होने पर दूसरी पार्टियों से चेहरे लाकर उम्मीदवार बनाए गए है। फतेहगढ़ साहिब में कांग्रेस के बस्सी पठाना से पूर्व विधायक रहे गुरप्रीत सिंह जीपी को उतारा था। लेकिन उन्हें हार का मुंह देखना पड़। उन्हें 297439 वोट मिले, जबकि वहां से 331326 वोट लेकर कांग्रेस के अमर सिंह विजयी रहे। यहां पार्टी के अंदर मनमुटाव व कांग्रेस की एकजुटता की कमी रही है। कांग्रेस को प्रियंका गांधी की रैली का फायदा मिला। जालंधर में पार्टी तीसरे नंबर पर पहुंची इसी तरह जालंधर से आप के उम्मीदवार व पूर्व सांसद भाजपा में शामिल हो गए तो उन्होंने शिरोमणि अकाली दल के नेता पवन कुमार टीनू को जालंधर से उम्मीदवार बनाया। लेकिन उन्हें भी हार का मुंह देखना पड़ा। वह वहां पर तीसरे नंबर पर रहे है। उनके लिए सीएम भगवंत मान और आप सुप्रीमों ने प्रोग्राम किए थे। होशियारपुर में मिली जीत होशियारपुर में आप की तरफ से कांग्रेस के विधायक राज कुमार चब्बेवाल को चुनावी मैदान में उतारा गया। वह चुनाव जीतने में कामयाब रहे है। वह इलाके में बड़े दलित नेताओं में गिने जाते है। उन्होंने 302402 वोट हासिल किए हैं। चुनौतियां सत्ताधारी आम आदमी पार्टी के लिए अब पांच बड़ी चुनौतियां है। जिनका उन्हें सामना करना पडे़गा। हालांकि पार्टी का थिंक टैंक भी इससे निपटने की रणनीति बनाने में जुट गया है। आइए जानते है इन चुनौतियों को पंचायत चुनाव पंजाब में जनवरी में 13 हजार पंचायतों का कार्यकाल पूरा हाे चुका है। इस समय अफसरों को ही पंचायतों का प्रबंधकीय अफसर लगाया गया है। ऐसे में यह चुनाव सबसे बड़ी चुनौती है। क्योंकि पार्टी को केवल 34 हलकों में लीड मिली है। पांच नगर निगमों के चुनाव पांच नगर निगमों के चुनाव भी अब सरकार को करवाने होंगे। यह मामला पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट में पहुंचा है। जनवरी 2023 से पांच नगर निगमों का कार्यकाल संपन्न है। वहीं, इस लोकसभा चुनाव नतीजों ने पार्टी के सामने नई स्थिति पैदा कर दी है। क्योंकि सभी शहरी एरिया में भाजपा में आगे रही है। जिन नगर निगमों के चुनाव होने है। उनमें लुधियाना, जालंधर, फगबाड़ा, अमृतसर और पटियाला शामिल है। पांच विधानसभा सीटों पर उप चुनाव पंजाब की पांच विधानसभा सीटों पर उप चुनाव होने है। इनमें बरनाला से गुरमीत सिंह मीत हेयर की सीट है। क्योंकि वह संगरूर से लोकसभा के लिए चुने गए हैं। इसी तरह राज कुमार चब्बेवाल होशियारपुर से सांसद चुने गए हैं। उनकी चब्बेवाल सीट पर उप चुनाव होगा। गिदड्बाहा से विधायक व कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग अब लुधियाना के सांसद बन गए हैं। ऐसे में उनकी सीट पर भी चुनाव होगा। इसी तरह डेरा बाबा नानक सीट से कांग्रेस के दिग्गज नेता सुखजिंदर सिंह रंधावा गुरदासपुर लोसकभा हलके से सांसद बने हैं। उनकी सीट पर उप चुनाव होंगे। जबकि जालंधर वेस्ट के विधायक शीतल अंगुराल ने इस्तीफा दे दिया था। ऐसे में उनकी सीट पर भी उप चुनाव होगा। गारंटियां पूरी करना चुनौती सरकार ने महिलाओं को हजार रुपये की गारंटी दी है। यह गांरटी बहुत बड़ी है। इस चुनाव में सभी दलों ने आप को इसी चीज पर घेरा था। इसे शर्त को उन्हें हर हाल में पूरा करना होगा। वरना यह मुसीबत बनेगी। इसके अलावा अभी कानून व्यवस्था व नशे का मुद्दा भी प्रमुख रहेगा। RDF की राशि लाना चुनौती सरकार के सामने अब सबसे बड़ी चुनौती रूरल डेवलपमेंट फंड (आरडीएफ) को लाने की है। क्योंकि केंद्र अब दोबारा भाजपा की सरकार आ गई है। जबकि इस मामले में केंद्र पहले साफ कर चुका है कि वह नियमों के मुताबिक ही अदायगी करेगा। यदि पैसे नहीं आते है तो गांवों में विकास प्रभावित होगा। इसके अलावा अभी तक प्लॉटों की एनओसी, राशन कार्ड समेत कई मामले चुनौती बने हुए है। क्या कहते हैं माहिर गारंटी पूरी न होने से मोह हुआ भंग राजनीतिक माहिर व सीनियर पत्रकार करमजीत सिंह चिल्ला का मानना हैं कि लोगों का सरकार से मोह भंग होने की मुख्य वजह है जो गारंटियां चुनाव से पहले दी गई थी, सरकार ने वह पूरी नहीं की है। सबसे बड़ी बात महिलाओं का हजार रुपए देने वाली बात थी। इसका पूरा असर चुनाव में पड़ा है। इसके अलावा नशा, कानूनी व्यवस्था व सेहत सुविधाओं आदि भी इसके लिए जिम्मेदार है। जहां तक आने वाला समय अब सरकार के लिए चुनौतियां भरा रहेगा। अब हर दल उन्हें घेरने की कोशिश करेगा। विधायकों के पास नहीं थी कोई पावर राजनीतिक माहिर व सीनियर पत्रकार कुलदीप सिंह मानते हैं कि इस चुनाव में आप के हारने की कई वजह थी। सारी कमान सीएम के हाथ में थी। किसी को कुछ समझा नहीं गया। विधायकों व मंत्रियों के पास कोई पावर नहीं है। उनके काम तक नहीं हुए। वह हलकों में अपने स्तर पर कुछ नहीं करवा सकते हैं। पार्टी के वालंटियरों से तालमेल नहीं रखा गया। इस वजह से भी पार्टी को नुकसान हुआ है। इसके अलावा कुछ नेता बिल्कुल भी सक्रिय नहीं है। वहीं, चुनावी गारंटियां पूरी न करने से भी पार्टी काे नुकसान हुआ है। उनका मानना है कि स्थिति यही रही तो आगे भी नुकसान उठाना पडे़गा।
लुधियाना के सिविल अस्पताल में हंगामा,VIDEO:बेटी के रिश्ते को लेकर दो पक्षो में खूनी झड़प,1 पुलिस कर्मी सहारे सुरक्षा व्यवस्था
लुधियाना के सिविल अस्पताल में हंगामा,VIDEO:बेटी के रिश्ते को लेकर दो पक्षो में खूनी झड़प,1 पुलिस कर्मी सहारे सुरक्षा व्यवस्था पंजाब के लुधियाना का सिविल अस्पताल अक्सर किसी ना किसी मामले में सुर्खियों में रहता है। सोमवार रात करीब 10 बजे अस्पताल की इमरजेंसी में दो पक्ष एक दूसरे के सामने हो गए। इमरजेंसी में मरीजों की सुरक्षा के लिए जिला पुलिस की तरफ से सिर्फ एक पुलिस कर्मचारी तैनात किया गया है। पुलिस कर्मचारी ने कड़ी मशक्कत के बाद किसी तरह हंगामा कर रहे लोगों को इमरजेंसी से बाहर खदेड़ा। हंगामा सुन कर मरीज भी सहम गए। बेटी के रिश्ते को लेकर हुई खूनी झड़प जानकारी मुताबिक अमरपुरा सेंसी मोहल्ला में बेटी के रिश्ते को लेकर दो पक्ष आपस मे भिड़ गए । जिसमे एक पक्ष ने दूसरे पक्ष पर तेजथार हथियार से हमला कर दिया। बेटी पक्ष के ओमप्रकाश ने बताया कि उसकी बेटी सपना को 22 वर्षीय पवन के घरवालों ने तीन साल पहले पवन के लिए मांगा था। पवन भी उसी मोहल्ले में दो गली छोड़ कर रहता है। रिश्ते से इनकार होने के बाद दोनों परिवारों में बढ़ी रंजिश ओमप्रकाश का कहना है करीब एक साल पहले पवन और उसके घरवालों ने रिश्ता करने से इनकार कर दिया। इसी बात को लेकर दोनों परिवारों में रंजिश रहने लगा । सोमवार देर शाम ओमप्रकाश अपने परिवार के साथ बैठा था। वहां जिससे रिश्ता होना था उसने आकर गालीगलौज शुरू कर दी। उसने कुछ युवकों को बुलाकर तेजधार हथियारों से घर पर धावा बोल दिया। हमले में ओमप्रकाश और उसका बेटा संदीप घायल हो गए। दूसरे पक्ष के पवन का भाई 24 वर्षीय अमन ने बताया कि रिश्ते को ही लेकर रंजिश है सोमवार देर रात लड़की के घरवालों ने घर पर आकर हमला किया है। जिसमें वह खुद अमन, माता पठानी बहन नीतू घायल है। जब दोनों पक्ष सिविल अस्पताल में मेडिकल करवाने आए तब सिविल में दोनों पक्ष में जमकर मारपीट हुआ जिसे काबू करने के लिए थाना डिवीजन नंबर 2 की पुलिस को काफी मशक्कत करनी पड़ी। जिन्होंने पौने घंटे बाद मामले को काबू पाया। घटना स्थल पर पहुंचे सिविल अस्पताल पुलिस चौकी के इंचार्ज रेशम और सब इंस्पेक्टर सुखदेव सिंह ने कहा कि दोनों पक्ष पहले अपने मोहल्ले में लड़े है। फिर अस्पताल में भी हंगामा किया है। सीनियर अधिकारियों के भी ध्यान में मामला लाया जाएगा ताकि अस्पताल में पुलिस फोर्स बढ़ाई जा सके।