पंजाब में घायलों को अस्पताल पहुंचाने पर नहीं रोकेगी पुलिस:सरकार के आदेश, मददगार को फरिश्ते स्कीम के तहत किया जाएगा सम्मानित

पंजाब में घायलों को अस्पताल पहुंचाने पर नहीं रोकेगी पुलिस:सरकार के आदेश, मददगार को फरिश्ते स्कीम के तहत किया जाएगा सम्मानित

पंजाब में सड़क हादसों में घायल होने वाले लोगों को अस्पताल पहुंचाने वाले मददगारों को अब किसी भी पुलिस कर्मचारी की तरफ से कार्रवाई के लिए नहीं रोका जाएगा। न ही उन्हें किसी तरह से परेशान किया जाएगा। यह आदेश पंजाब पुलिस की तरफ से सभी जिलों के एसएसपी और कमिश्नर को जारी किए हैं। ऐसे लोगों को फरिश्ते स्कीम के तहत हजार रुपए और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जाएगा। मददगार को आगे लाने के लिए उठाया कदम राज्य में सड़क हादसों में घायल होने वाले लोगों को तुरंत मदद मिल सके, इसके लिए सरकार काफी गंभीर है। एक तरफ जहां सड़क सुरक्षा फोर्स बनाई गई है। वहीं, घायलों का अस्पतालों में शुरूआती इलाज तक फ्री किया गया है। लेकिन अफसरों के ध्यान में आया था कि हादसों के घायल लोगों की लोग मदद करना चाहते है। लेकिन पुलिस कार्रवाई या पूछताछ आदि की वजह से लोग इस काम से पीछे हट जाते है। इस वजह से यह कदम उठाया है। पहले दिन में 13 लोगों की जाती थी जान पंजाब में पहले हर दिन सड़क हादसों में 13 लोगों को जान जाती थी। लेकिन इसके बाद पंजाब सरकार ने इस दिशा को सुधारने के लिए काम शुरू किया। पूरे पंजाब की सड़कों का सर्वे करवाकर एक्सीडेंट प्रोन एरिया की पड़ताल की गई। इसके बाद उन खामियों को सुधारा गया। फिर सड़क सुरक्षा फोर्स बनाई गई। वहीं, अस्पतालों में सुविधाओं को बढ़ाया गया है। इसके बाद अब हालत में सुधार होने लगा है। पंजाब में सड़क हादसों में घायल होने वाले लोगों को अस्पताल पहुंचाने वाले मददगारों को अब किसी भी पुलिस कर्मचारी की तरफ से कार्रवाई के लिए नहीं रोका जाएगा। न ही उन्हें किसी तरह से परेशान किया जाएगा। यह आदेश पंजाब पुलिस की तरफ से सभी जिलों के एसएसपी और कमिश्नर को जारी किए हैं। ऐसे लोगों को फरिश्ते स्कीम के तहत हजार रुपए और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जाएगा। मददगार को आगे लाने के लिए उठाया कदम राज्य में सड़क हादसों में घायल होने वाले लोगों को तुरंत मदद मिल सके, इसके लिए सरकार काफी गंभीर है। एक तरफ जहां सड़क सुरक्षा फोर्स बनाई गई है। वहीं, घायलों का अस्पतालों में शुरूआती इलाज तक फ्री किया गया है। लेकिन अफसरों के ध्यान में आया था कि हादसों के घायल लोगों की लोग मदद करना चाहते है। लेकिन पुलिस कार्रवाई या पूछताछ आदि की वजह से लोग इस काम से पीछे हट जाते है। इस वजह से यह कदम उठाया है। पहले दिन में 13 लोगों की जाती थी जान पंजाब में पहले हर दिन सड़क हादसों में 13 लोगों को जान जाती थी। लेकिन इसके बाद पंजाब सरकार ने इस दिशा को सुधारने के लिए काम शुरू किया। पूरे पंजाब की सड़कों का सर्वे करवाकर एक्सीडेंट प्रोन एरिया की पड़ताल की गई। इसके बाद उन खामियों को सुधारा गया। फिर सड़क सुरक्षा फोर्स बनाई गई। वहीं, अस्पतालों में सुविधाओं को बढ़ाया गया है। इसके बाद अब हालत में सुधार होने लगा है।   पंजाब | दैनिक भास्कर