पंजाब के एक पुलिस कर्मी द्वारा गैंगस्टर से रिश्वत लेने के मामले के बाद पंजाब विधानसभा के स्पीकर कुलतार सिंह संधवां एक्शन मोड में आ गए हैं। उन्होंने पंजाब के होम सेक्रेटरी से सभी विभागों से इस संबंध में डिटेल रिपोर्ट तलब की है। उन्होंने पत्र में लिखा है कि उन्हें विभिन्न विभागों में उन मुलाजिमों की जानकारी दी जाए, जिनकी पहचान काली भेड़ों (गैर कानूनी कार्यों में लगे) के रूप में हुई। वहीं, उन पर क्या कार्रवाई की गई है। इस बारे में भी बताया जाए। इसमें पुलिस, माइनिंग, एक्साइज समेत सभी विभाग शामिल है। इस संबंधी आज होम सेक्रेटरी को पत्र जारी कर दिया गया है। यह रिपोर्ट तीन दिन में मांगी गई है। हालांकि आज डीजीपी की तरफ से रिपोर्ट नहीं दी गई। स्पीकर ने कहा कि उन्होंने डीजीपी को इस संबंधी इनकार कर दिया था। अब डिटेल रिपोर्ट में उसका जिक्र भी आएगा। स्पीकर ने खुद उठाया था मुद्दा दरअसल, पंजाब विधानसभा में शून्य काल के दौरान सोमवार को स्पीकर कुलतार सिंह संधवां ने खुद पुलिस में मौजूद काली भेड़ों काम मु्द्दा उठाया था। उन्होंने कहा था कि रिश्वत के पैसे बैंक खाते में डलवाने वाले पुलिस अधिकारी को बचाया जा रहा है। स्पीकर ने कहा कि ऐसे कौन से नेता, अधिकारी है, जो भ्रष्ट अफसर को बचा रहे हैं। ASI बोहड़ सिंह ने एक मामले में पहले एक लाख रुपए कैश और फिर 50 हजार का चेक रिश्वत के रूप में लिया है। ASI पर 20 अगस्त को कोटकपूरा थाने में केस दर्ज हुआ था। लेकिन मीडिया को जाने वाले बुलेटिन में 180 नंबर एफआईआर का जिक्र तक नहीं था अधिकारियों के ट्रांसफर का दिया था सुझाव इस मामले में अमृतसर के विधायक व पूर्व पुलिस अधिकारी कुंवर विजय प्रताप सिंह ने स्पीकर के पूछने पर कहा था कि हर सरकार के समय में माफिया बड़े स्तर पर काम करता है। यह भी उसकी का बड़ा हिस्सा है। कुंवर ने कहा कि यह नेक्सस तोड़ना होगा। लगातार अंतराल के बाद ट्रांसफर होनी चाहिए। वह भी एक जिले से दूसरे जिले में। उन्होंने ट्रांसफर का एक उदाहरण भी दिया है। पंजाब के एक पुलिस कर्मी द्वारा गैंगस्टर से रिश्वत लेने के मामले के बाद पंजाब विधानसभा के स्पीकर कुलतार सिंह संधवां एक्शन मोड में आ गए हैं। उन्होंने पंजाब के होम सेक्रेटरी से सभी विभागों से इस संबंध में डिटेल रिपोर्ट तलब की है। उन्होंने पत्र में लिखा है कि उन्हें विभिन्न विभागों में उन मुलाजिमों की जानकारी दी जाए, जिनकी पहचान काली भेड़ों (गैर कानूनी कार्यों में लगे) के रूप में हुई। वहीं, उन पर क्या कार्रवाई की गई है। इस बारे में भी बताया जाए। इसमें पुलिस, माइनिंग, एक्साइज समेत सभी विभाग शामिल है। इस संबंधी आज होम सेक्रेटरी को पत्र जारी कर दिया गया है। यह रिपोर्ट तीन दिन में मांगी गई है। हालांकि आज डीजीपी की तरफ से रिपोर्ट नहीं दी गई। स्पीकर ने कहा कि उन्होंने डीजीपी को इस संबंधी इनकार कर दिया था। अब डिटेल रिपोर्ट में उसका जिक्र भी आएगा। स्पीकर ने खुद उठाया था मुद्दा दरअसल, पंजाब विधानसभा में शून्य काल के दौरान सोमवार को स्पीकर कुलतार सिंह संधवां ने खुद पुलिस में मौजूद काली भेड़ों काम मु्द्दा उठाया था। उन्होंने कहा था कि रिश्वत के पैसे बैंक खाते में डलवाने वाले पुलिस अधिकारी को बचाया जा रहा है। स्पीकर ने कहा कि ऐसे कौन से नेता, अधिकारी है, जो भ्रष्ट अफसर को बचा रहे हैं। ASI बोहड़ सिंह ने एक मामले में पहले एक लाख रुपए कैश और फिर 50 हजार का चेक रिश्वत के रूप में लिया है। ASI पर 20 अगस्त को कोटकपूरा थाने में केस दर्ज हुआ था। लेकिन मीडिया को जाने वाले बुलेटिन में 180 नंबर एफआईआर का जिक्र तक नहीं था अधिकारियों के ट्रांसफर का दिया था सुझाव इस मामले में अमृतसर के विधायक व पूर्व पुलिस अधिकारी कुंवर विजय प्रताप सिंह ने स्पीकर के पूछने पर कहा था कि हर सरकार के समय में माफिया बड़े स्तर पर काम करता है। यह भी उसकी का बड़ा हिस्सा है। कुंवर ने कहा कि यह नेक्सस तोड़ना होगा। लगातार अंतराल के बाद ट्रांसफर होनी चाहिए। वह भी एक जिले से दूसरे जिले में। उन्होंने ट्रांसफर का एक उदाहरण भी दिया है। पंजाब | दैनिक भास्कर
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