<p style=”text-align: justify;”><strong>UP</strong> <strong>News</strong><strong>:</strong> प्रदेश के नामी कॉलेज में शुमार होने वाला खैर इंटर कॉलेज आज अपने वजूद के लिए संघर्ष कर रहा है. कॉलेज की सुनहरी यादें लोगों के दिलोदिमाग पर आज भी ताजा हैं. एक समय था, जब खैर में प्रवेश के लिए कतार लगती थी. खैर कॉलेज से पॉसआउट होना गर्व की बात समझी जाती थी.</p>
<p style=”text-align: justify;”>खैर कॉलेज के पढ़े छात्र देश-विदेश में भी कॉलेज का नाम रोशन कर रहे हैं. यहां से पढ़ाई कर इंजीनियर व डॉक्टर बने लोगों की संख्या अनगिनत है. प्रशासनिक सेवाओं में भी खैर कॉलेज का प्रतिनिधित्व होता है. आज सब कुछ खो-सा गया है. इस कॉलेज की स्थापना 1946 में खैर साहब ने की थी.</p>
<p style=”text-align: justify;”>49 शिक्षकों में से महज आज 8 शिक्षक ही काम कर रहे, शिक्षकों की भारी कमी है और इन सबके बीच एक अध्यापक की नियुक्ति को लेकर फिर से बखेड़ा खड़ा हो गया है. पिछले एक साल से प्रबंधकीय विवाद ने कॉलेज की छवि को काफी खराब किया और अब लेक्चरर की नियुक्ति ने एक नए विवाद को जन्म दे दिया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>शिक्षक नियुक्ति पर उठ रहे सवाल </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>यहां की दम तोड़ रही शिक्षा व्यवस्था को एक बार फिर से पटरी पर लाने के प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन सारे जतन अभी तक बेकार साबित हुए हैं. आज हालत यह है कि कॉलेज में न तो शिक्षक रह गए हैं और न ही छात्रों का वह हुजूम दिखाई देता है. वही कॉलेज के प्रबंधक हमीदुल्लाह खां उर्फ बब्बू खान ने कमिश्नर से मिलकर एक शिकायत कर दी है, जिससे हड़कंप मचा हुआ है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>प्रबंधक ने शिकायत में अपने ही कॉलेज के एक लेक्चरर की नियुक्ति को लेकर सवालिया निशान खड़ा किया है. प्रबंधक हमीदुल्लाह ने आरोप लगाया है कि खैर इंटर कॉलेज ने बतौर गणित के शिक्षक जावेद इकबाल कई वर्षों से शिक्षण कार्य कर रहे है. मगर उनकी नियुक्ति सही नहीं है. इस बात की जानकारी जैसे ही उन्हें हुई तो वे कॉलेज के प्रिंसिपल के माध्यम से शिक्षक जावेद से नियुक्ति पत्र मांगा, जिसे वे अभी वे अभी तक दे नहीं सके है. इस आधार पर वे कमिश्नर से मिलकर पूरे प्रकरण की जांच करने का आग्रह किया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>मीडिया से बात करते हुए प्रबंधक ने आरोप लगाया कि शिक्षक जावेद हाइकोर्ट के स्टेटस को के आधार पर तत्कालीन जेडी से आदेश करवाकर नौकरी हासिल की है. प्रबंधक ने कहा कि उन्होंने जावेद ने क्योंकि के किसी आदेश पर सिग्नेचर ही नहीं किया है, तो फिर उनकी नौकरी कैसे हो गई. ये जांच का विषय है. लेकिन इससे कॉलेज की शिक्षा व्यवस्था काफी प्रभावित हो रही है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>प्रबंधक पर मनमानी के आरोप </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>उधर गणित विषय के प्रवक्ता जावेद इकबाल ने भी अपना पक्ष रखते हुए सारे आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है. जावेद ने प्रबंधक पर ही आरोप लगाते हुए कहा कि वे कॉलेज को बर्बाद कर देना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि उनकी नियुक्ति प्रबंधक के ही आदेश से हुई है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>प्रिंसिपल ने भी प्रबन्धन पर उठाए सवाल </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>इस पूरे विवाद को लेकर खैर इंटर कॉलेज के प्रिंसिपल फैज आलम से जब बात की गई तो उन्होंने बताया कि जावेद इकबाल उनके कॉलेज में अध्यापक है और उनकी नियुक्ति वर्तमान प्रबंधक हमीदुल्लाह ने ही की थी और अब वे ही नियुक्ति को फर्जी बता रहे है तो यह बात गले के नीचे नहीं उतर रही.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>कमिशनर ने दिए जांच के आदेश </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>इस मामले में बस्ती मंडल के कमिश्नर अखिलेश सिंह से जब बात की गई तो उन्होंने बताया कि शिकायत मिली है. विषय गंभीर है जिसकी जांच करवाई जा रही है, खैर इंटर कॉलेज जिले का सबसे पुराना और प्रतिष्ठित कॉलेज है. फर्जी शिक्षक की शिकायत प्रबंधक द्वारा किया गयी है. इसकी जांच के लिए टीम बना दी है जो भी तथ्य सामने आएंगे कार्यवाही की जाएगी.</p> <p style=”text-align: justify;”><strong>UP</strong> <strong>News</strong><strong>:</strong> प्रदेश के नामी कॉलेज में शुमार होने वाला खैर इंटर कॉलेज आज अपने वजूद के लिए संघर्ष कर रहा है. कॉलेज की सुनहरी यादें लोगों के दिलोदिमाग पर आज भी ताजा हैं. एक समय था, जब खैर में प्रवेश के लिए कतार लगती थी. खैर कॉलेज से पॉसआउट होना गर्व की बात समझी जाती थी.</p>
<p style=”text-align: justify;”>खैर कॉलेज के पढ़े छात्र देश-विदेश में भी कॉलेज का नाम रोशन कर रहे हैं. यहां से पढ़ाई कर इंजीनियर व डॉक्टर बने लोगों की संख्या अनगिनत है. प्रशासनिक सेवाओं में भी खैर कॉलेज का प्रतिनिधित्व होता है. आज सब कुछ खो-सा गया है. इस कॉलेज की स्थापना 1946 में खैर साहब ने की थी.</p>
<p style=”text-align: justify;”>49 शिक्षकों में से महज आज 8 शिक्षक ही काम कर रहे, शिक्षकों की भारी कमी है और इन सबके बीच एक अध्यापक की नियुक्ति को लेकर फिर से बखेड़ा खड़ा हो गया है. पिछले एक साल से प्रबंधकीय विवाद ने कॉलेज की छवि को काफी खराब किया और अब लेक्चरर की नियुक्ति ने एक नए विवाद को जन्म दे दिया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>शिक्षक नियुक्ति पर उठ रहे सवाल </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>यहां की दम तोड़ रही शिक्षा व्यवस्था को एक बार फिर से पटरी पर लाने के प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन सारे जतन अभी तक बेकार साबित हुए हैं. आज हालत यह है कि कॉलेज में न तो शिक्षक रह गए हैं और न ही छात्रों का वह हुजूम दिखाई देता है. वही कॉलेज के प्रबंधक हमीदुल्लाह खां उर्फ बब्बू खान ने कमिश्नर से मिलकर एक शिकायत कर दी है, जिससे हड़कंप मचा हुआ है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>प्रबंधक ने शिकायत में अपने ही कॉलेज के एक लेक्चरर की नियुक्ति को लेकर सवालिया निशान खड़ा किया है. प्रबंधक हमीदुल्लाह ने आरोप लगाया है कि खैर इंटर कॉलेज ने बतौर गणित के शिक्षक जावेद इकबाल कई वर्षों से शिक्षण कार्य कर रहे है. मगर उनकी नियुक्ति सही नहीं है. इस बात की जानकारी जैसे ही उन्हें हुई तो वे कॉलेज के प्रिंसिपल के माध्यम से शिक्षक जावेद से नियुक्ति पत्र मांगा, जिसे वे अभी वे अभी तक दे नहीं सके है. इस आधार पर वे कमिश्नर से मिलकर पूरे प्रकरण की जांच करने का आग्रह किया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>मीडिया से बात करते हुए प्रबंधक ने आरोप लगाया कि शिक्षक जावेद हाइकोर्ट के स्टेटस को के आधार पर तत्कालीन जेडी से आदेश करवाकर नौकरी हासिल की है. प्रबंधक ने कहा कि उन्होंने जावेद ने क्योंकि के किसी आदेश पर सिग्नेचर ही नहीं किया है, तो फिर उनकी नौकरी कैसे हो गई. ये जांच का विषय है. लेकिन इससे कॉलेज की शिक्षा व्यवस्था काफी प्रभावित हो रही है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>प्रबंधक पर मनमानी के आरोप </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>उधर गणित विषय के प्रवक्ता जावेद इकबाल ने भी अपना पक्ष रखते हुए सारे आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है. जावेद ने प्रबंधक पर ही आरोप लगाते हुए कहा कि वे कॉलेज को बर्बाद कर देना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि उनकी नियुक्ति प्रबंधक के ही आदेश से हुई है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>प्रिंसिपल ने भी प्रबन्धन पर उठाए सवाल </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>इस पूरे विवाद को लेकर खैर इंटर कॉलेज के प्रिंसिपल फैज आलम से जब बात की गई तो उन्होंने बताया कि जावेद इकबाल उनके कॉलेज में अध्यापक है और उनकी नियुक्ति वर्तमान प्रबंधक हमीदुल्लाह ने ही की थी और अब वे ही नियुक्ति को फर्जी बता रहे है तो यह बात गले के नीचे नहीं उतर रही.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>कमिशनर ने दिए जांच के आदेश </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>इस मामले में बस्ती मंडल के कमिश्नर अखिलेश सिंह से जब बात की गई तो उन्होंने बताया कि शिकायत मिली है. विषय गंभीर है जिसकी जांच करवाई जा रही है, खैर इंटर कॉलेज जिले का सबसे पुराना और प्रतिष्ठित कॉलेज है. फर्जी शिक्षक की शिकायत प्रबंधक द्वारा किया गयी है. इसकी जांच के लिए टीम बना दी है जो भी तथ्य सामने आएंगे कार्यवाही की जाएगी.</p> उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड कौन हैं प्रिया सरोज जिनकी क्रिकेटर रिंकू सिंह से होगी शादी, बीते साल ही अपने नाम किया था खास रिकॉर्ड
बस्ती: ऐतिहासिक खैर इंटर कॉलेज में गर्माया अवैध शिक्षक नियुक्ति का मामला, कमिश्नर ने दिए जांच के आदेश
