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भ्रष्टाचार मामले में अजित पवार गुट के प्रफुल्ल पटेल को मिली राहत तो संजय राउत बोले, ‘ये ED ने नहीं…’
भ्रष्टाचार मामले में अजित पवार गुट के प्रफुल्ल पटेल को मिली राहत तो संजय राउत बोले, ‘ये ED ने नहीं…’ <p style=”text-align: justify;”><strong>Mumbai Court on Praful Patel:</strong> अजित पवार गुट के एनसीपी सांसद प्रफुल्ल पटेल को बड़ी राहत देते हुए मुंबई की एक अदालत ने प्रवर्तन निदेशालय के उस आदेश को रद्द कर दिया है, जिसमें उनकी 180 करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्ति जब्त करने की मांग की गई थी. इस फैसले पर अब उद्धव गुट के सांसद संजय राउत की पहली प्रतिक्रिया सामने आई है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>शिवसेना (UBT) ने के प्रवक्ता और सांसद संजय राउत ने कहा, “ईडी ने राहत नहीं दी है, बीजेपी ने राहत दी है. ईडी, सीबीआई, आयकर विभाग बीजेपी की एक्सटेंडेड ब्रांच है.”</p>
<blockquote class=”twitter-tweet” data-media-max-width=”560″>
<p dir=”ltr” lang=”en”>VIDEO | Here’s what Shiv Sena (UBT) leader Sanjay Raut (<a href=”https://twitter.com/rautsanjay61?ref_src=twsrc%5Etfw”>@rautsanjay61</a>) said on an appellate tribunal setting aside ED’s Rs 179 crore property attachment related to NCP leader Praful Patel and wife.<br /><br />”ED has not given relief, the BJP has given relief. ED, CBI, Income Tax… <a href=”https://t.co/RGgyeF0udK”>pic.twitter.com/RGgyeF0udK</a></p>
— Press Trust of India (@PTI_News) <a href=”https://twitter.com/PTI_News/status/1799303088555135375?ref_src=twsrc%5Etfw”>June 8, 2024</a></blockquote>
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</p>
<p style=”text-align: justify;”>ईडी ने 2022 में प्रफुल्ल पटेल, उनकी पत्नी और उनकी कंपनी के स्वामित्व वाले सीजे हाउस में सात फ्लैटों को कुर्क किया था. इस कुर्की की बाद में पीएमएलए के निर्णायक प्राधिकारी ने पुष्टि की थी. ईडी ने आरोप लगाया था कि ये संपत्तियां ड्रग माफिया इकबाल मिर्ची (अब जिंदा नही है) की विधवा से अवैध लेनदेन के जरिए हासिल की गई थीं.</p>
<p style=”text-align: justify;”>ट्रिब्यूनल ने यह भी माना कि जिन एफआईआर पर ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया था, उनमें पटेल या उनकी पत्नी का कभी भी मामले में आरोपी के रूप में नाम नहीं था. सूत्रों के मुताबिक एजेंसी ऑर्डर की समीक्षा कर रही है और जल्द ही आदेश के खिलाफ अपील उच्च न्यायालय में की जा सकती है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>साल 2022 में ईडी ने वर्ली में सीजे हाउस की चार मंजिलों पर स्थित सात फ्लैट्स को प्रोविजनली अटैच किया था जो की कथित तौर पर पटेल से जुड़ी थी. ED ने यह कदम दाऊद इब्राहिम के करीबी सहयोगी इकबाल मिर्ची से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच के तहत उठाया था. इस बात की चर्चा बहुत हुई क्योंकि पहली बार एजेंसी ने इकबाल मिर्ची और पूर्व डीएचएफएल प्रमोटरों कपिल और धीरज वधावन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के संदर्भ में किसी राजनेता से जुड़ी संपत्तियों को ‘अपराध की आय’ के रूप में माना था.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>ये भी पढ़ें: <a title=”‘शरद पवार के करीबी जयंत पाटिल थामेंगे अजित पवार गुट का दामन’, इस नेता के दावे से आया सियासी तूफान” href=”https://www.abplive.com/states/maharashtra/jayant-patil-will-join-ncp-ajit-pawar-faction-claims-dharamraobaba-aatram-2710147″ target=”_blank” rel=”noopener”>’शरद पवार के करीबी जयंत पाटिल थामेंगे अजित पवार गुट का दामन’, इस नेता के दावे से आया सियासी तूफान</a></strong></p>
Ratlam News: रतलाम में कांस्टेबल को भारी पड़ा निजी कोचिंग सेंटर का प्रचार, एसपी ने लिया ये एक्शन
Ratlam News: रतलाम में कांस्टेबल को भारी पड़ा निजी कोचिंग सेंटर का प्रचार, एसपी ने लिया ये एक्शन <p style=”text-align: justify;”><strong>MP News:</strong> मध्यप्रदेश के रतलाम में एक महिला कांस्टेबल को कोचिंग क्लास का प्रचार करना भारी पड़ गया. महिला कांस्टेबल का वीडियों भी सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. जिसपर संज्ञान लेते हुए पुलिस अधीक्षक ने महिला कांस्टेबल को सस्पेंड कर दिया. दरअसल, महिला कांस्टेबल रतलाम में पदस्थ होकर ड्यूटी के दौरान वर्दी में इंदौर की कोचिंग क्लास का प्रचार कर रही थी. जिसको लेकर महिला कांस्टेबल के खिलाफ एक्शन लिया गया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>बेरोजगार युवती को निजी कोचिंग से तैयारी करने की दे रही थी सलाह</strong><br />रतलाम जिले के नामली थाने में पदस्थ अनिष्का रावत मीणा मूल रूप से नीमच की रहने वाली है. पुलिस में भर्ती के बाद रतलाम जिले में उनकी पोस्टिंग हुई. रतलाम से उन्हें नामली थाने में पदस्थ किया गया. उनका सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा था. इसमें वे एक बेरोजगार युवती को सलाह दे रही थी कि इंदौर की एक निजी कोचिंग क्लास से तैयारी करने पर उन्हें पुलिस की नौकरी मिली है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>अब वे इस कोचिंग क्लास से मध्य प्रदेश उप निरीक्षक भर्ती की तैयारी कर रही है. इतना ही नहीं अनिष्का ने वीडियो के माध्यम से यह भी कहा कि मध्य प्रदेश में सरकारी नौकरी में कई पदों की भर्ती की तैयारी इंदौर की कोचिंग क्लास में कराई जाती है. यह कोचिंग क्लास ऑनलाइन तैयारी भी करवाता है. मामला जब रतलाम पुलिस अधीक्षक राहुल कुमार लोढा के संज्ञान में आया तो उन्होंने महिला कांस्टेबल को निलंबित कर दिया.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’पुलिस का काम अब प्रचार प्रसार करना'</strong><br />जब सोशल मीडिया पर यातायात व्यवस्था संभालने के दौरान महिला कांस्टेबल अनुष्का वीडियो के माध्यम से एक निजी कोचिंग क्लास का प्रचार प्रसार करती हुई नजर आई तो कई यूजर्स ने उन्हें ट्रोल किया. सोशल मीडिया पर यह भी लिखा गया कि पुलिस का काम कानून और यातायात व्यवस्था संभालना नहीं बल्कि प्रचार प्रसार करना रह गया है. इस प्रकार के कॉमेंट्स आने के बाद पुलिस कप्तान ने महिला कांस्टेबल को निलंबित करने का फैसला लिया.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>मामले पर क्या बोले रतलाम एसपी?</strong><br />रतलाम पुलिस अधीक्षक राहुल कुमार ने सोशल मीडिया के माध्यम से यह प्रतिक्रिया दी है कि ड्यूटी के दौरान वर्दी में इस प्रकार से निजी प्रतिष्ठानों का प्रचार प्रसार करना गलत है. यह मामला संज्ञान में आने के बाद महिला कांस्टेबल को निलंबित करते हुए विभागीय जांच के आदेश दिए गए हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>यह भी पढ़ें: <a title=”‘मन की बात’ की तर्ज पर ‘किसान की बात’, कृषि वैज्ञानिकों द्वारा दिए जाएंगे कृषि से संबंधित प्रश्नों के उत्तर” href=”https://www.abplive.com/states/madhya-pradesh/agriculture-minister-shivraj-singh-chauhan-in-budhni-kisan-ki-baat-on-the-lines-of-mann-ki-baat-ann-2763464″ target=”_blank” rel=”noopener”>’मन की बात’ की तर्ज पर ‘किसान की बात’, कृषि वैज्ञानिकों द्वारा दिए जाएंगे कृषि से संबंधित प्रश्नों के उत्तर</a></strong></p>
हमारी मांगें पूरी हों…चाहे जो मजबूरी हो:लखनऊ सहित प्रदेशभर में शिक्षकों का प्रदर्शन; डीजी से बैठक रही बेनतीजा
हमारी मांगें पूरी हों…चाहे जो मजबूरी हो:लखनऊ सहित प्रदेशभर में शिक्षकों का प्रदर्शन; डीजी से बैठक रही बेनतीजा लखनऊ कलेक्ट्रेट कार्यालय में दोपहर तीन बजे सैकड़ों की संख्या में पहुंचे शिक्षकों ने नारेबाजी की। शिक्षकों ने नारा लगाया- चाहे जो मजबूरी हो, हमारी मांगे पूरी हो…। डीजी तेरी तानाशाही नहीं चलेगी, नहीं चलेगी। प्रदेश के सभी शिक्षक संगठन एकजुट होकर डिजिटल अटेंडेंस का विरोध कर रहे हैं। इसी क्रम में लखनऊ सहित प्रदेश के सभी जिलाधिकारी कार्यालयों पर शिक्षकों ने विरोध-प्रदर्शन किया और ज्ञापन सौंपे। शिक्षकों ने कहा कि हमे सुविधाएं न के बराबर मिल रही हैं। काम कई विभागों का लिया जा रहा है। अफसरों की मनमानी अब और नहीं चलेगी। जब तक मांगे नहीं मानी जाएंगी, डिजिटल अटेंडेंस का विरोध जारी रहेगा। प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षित स्नातक एसोसिएशन उत्तर प्रदेश के प्रांतीय अध्यक्ष विनय कुमार सिंह ने बताया कि तमाम शिक्षक संगठनों ने संयुक्त मोर्चा बनाकर 75 जिलों के मुख्यालयों पर ऑनलाइन अटेंडेंस के विरोध सहित कई मांगों को लेकर प्रदर्शन किया। जब तक मांगे नहीं मानी जाएगी, विरोध जारी रहेगा। मोर्चा के प्रांतीय संयोजकों में संतोष तिवारी, सुलोचना मौर्या, योगेश त्यागी, अनिल यादव, सुशील पांडे, विजय बंधु, दिलीप चौहान शामिल हैं। महिला शिक्षक संघ की अध्यक्ष सुलोचना मौर्या ने बताया कि मांगों को लेकर आज जिले में डीएम कार्यालय के समक्ष धरना-प्रदर्शन करके ज्ञापन सौंपा गया है। टॉप ट्रेंड में रहा बायकॉट डिजिटल अटेंडेंस परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों ने रविवार को X पर फिर बायकॉट डिजिटल अटेंडेंस अभियान चलाया। उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ के इस अभियान में 10 लाख से ज्यादा लोग जुड़े। यह लगातार तीन घंटे से ज्यादा टॉप ट्रेंड में रहा। इससे पहले 7 जुलाई को भी सोशल मीडिया पर ये कैंपेन चलाया गया था। डीजी से मुलाकात में नही बनी बात
ऑनलाइन अटेंडेंस को लेकर प्रदेशभर में शिक्षकों के जोरदार प्रदर्शन के बीच गतिरोध को समाप्त करने के प्रयास भी शुरू हुए। सोमवार को महानिदेशक स्कूल शिक्षा कंचन वर्मा की ओर से विभिन्न शिक्षक संगठनों को वार्ता के लिए बुलाया गया। इसमें कुछ संगठनों के पदाधिकारी उनसे मिले तो कुछ ने इसका बहिष्कार किया। हालांकि जो संगठन उनसे मिले, उसमें भी कोई निष्कर्ष नहीं निकला और डिजिटल अटेंडेंस का बहिष्कार जारी रखने पर शिक्षक अड़े रहे। महिला शिक्षक संघ की प्रदेश अध्यक्ष सुलोचना मौर्य के नेतृत्व में भी प्रतिनिधिमंडल ने महानिदेशक से वार्ता की। पर डिजिटल अटेंडेंस को लेकर सहमति बनती नही दिखी। वही प्रदेश अध्यक्ष अजीत सिंह के नेतृत्व में गए दूसरे प्रतिनिधिमंडल ने डिजिटाइजेशन में आने वाली व्यवहारिक समस्याओं से अवगत कराया। डिजिटाइजेशन से पूर्व शिक्षकों की विभिन्न समस्याओं के निराकरण की मांग की गई। साथ ही समस्याओं का निराकरण होने तक डिजिटाइजेशन के बहिष्कार जारी रखने की बात कही गई। प्रतिनिधिमंडल में महेंद्र कुमार, प्रदेश महामंत्री भगवती सिंह, प्रदेश संगठन मंत्री शिवशंकर सिंह, प्रदेशीय संयुक्त मंत्री प्रदीप तिवारी और रविंद्र पवार, महेश मिश्र शामिल रहे। वहीं उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिनेश चंद्र शर्मा के साथ हुई वार्ता में उन्होंने मांग उठाई कि विभाग शिक्षकों की मांगों पर क्या कर रहा है। उन्होंने कहा कि नवंबर में भी विभागीय अधिकारियों से वार्ता हुई थी, उसका अब तक कोई निष्कर्ष नहीं निकला है। ये हैं शिक्षकों की प्रमुख मांग यह भी पढ़ें यूपी में डिजिटल अटेंडेंस पर सरकार-शिक्षकों में टकराव क्यों?:विरोध का कितना होगा असर, क्या सरकार को बढ़ाना पड़ेगा छूट का दायरा यूपी के प्राइमरी स्कूलों में 8 जुलाई से शिक्षकों की बायोमेट्रिक हाजिरी का आदेश जारी हुआ। शिक्षक इसके विरोध में उतर आए। धरना-प्रदर्शन शुरू कर दिया। इसके बाद सरकार ने आधे घंटे का अतिरिक्त समय दिया। तकनीकी दिक्कत आने पर कभी भी हाजिरी लगाने की छूट दी। इसके बावजूद अब तक एक फीसदी भी डिजिटल हाजिरी नहीं लगी है। प्राइमरी टीचरों के विरोध के बीच राजकीय माध्यमिक स्कूलों में भी डिजिटल हाजिरी अनिवार्य कर दी गई। पढ़ें पूरी खबर…