लुधियाना टाइगर सफारी से गिदड़ की वीडियो:पर्यटक ने की वायरल;बोला-कोई सिस्टम नहीं,जानवरों की हड्डियां बाहर निकल चुकी

लुधियाना टाइगर सफारी से गिदड़ की वीडियो:पर्यटक ने की वायरल;बोला-कोई सिस्टम नहीं,जानवरों की हड्डियां बाहर निकल चुकी

पंजाब के लुधियाना में बने टाइगर सफाई के हालात बद से बदतर बन रहे है। टाइगर सफारी घुमने गए एक पर्यटक ने सोशल मीडिया पर वीडियो शेयर कर गिदड़ की वीडियो पोस्ट की है। जिसमें उसने कहा कि टाइगर सफारी के जानवरों के हालात बहुत बुरे है। उन्हें समयानुसार भोजन नहीं मिल पा रहा। उसने एक गिदड़ की वीडियो शेयर की जिसमें वह काफी कमजोर और सुस्त दिखाई दे रहा है। पर्यटक प्रभ का दावा-गिदड़ को नहीं मिल रहा सही भोजन जानकारी मुताबिक प्रभ सिंह नाम से पर्यटक ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट से वीडियो साझा किया है। उसने दावा किया है कि गिदड़ को भोजन सही ना मिलने के कारण उसकी हड्डियां तक बाहर निकल आई है। उसने कहा कि चिड़िया घर (टाइगर सफारी) में कोई सिस्टम नहीं है। प्रभ ने कहा कि गिदड़ के लिए ना तो पीने के लिए पानी रखा गया है और ना कुछ खाने के लिए। प्रभ ने सरकार से अपील की है कि लुधियाना चिडिया घर की तरफ ध्यान दिया जाए ताकि जानवरों की सुविधाओं पर ध्यान दिया जा सके। लापरवाही बरतने वालों पर सरकार सख्त सिस्टम बनाए ताकि इन जानवरों को राहत मिल सके। डाक्टरों की सलाह और आयु मुताबिक देते भोजन-इंचार्ज नरिंदर सिंह इस मामले संबंधी चिड़िया घर (टाइगर सफारी) के इंचार्ज नरिंदर सिंह ने कहा कि गिदड़ फीमेल उनके चीड़िया घर में है। वह अभी करीब अढ़ाई साल की है। उसका नाम जिम्मी है। जानवर की आयु मुताबिक उसे खाने के लिए दिया जाता है। जिम्मी को मिलता रोजाना 2 किलो मीट नरिंदर सिंह ने कहा कि जिम्मी को होशियारपुर से रेस्क्यू करके लाया गया था। उसे रोजाना 2 किलो मीट दिया जाता है। सप्ताह में एक दिन सभी जानवरों की डाइट का आफ होता है। डॉक्टर उनकी सेहत चैक करके डाइट चार्ट बनाते है जिस पर कर्मचारी काम करते है। जैसे-जैसे जानवर की आयु बढ़ती है उस मुताबिक उसकी डाइट कम या ज्यादा होती है। उदारण के तौर पर अब टाइगर को रोजाना 8 किलो मीट दिया जाता है। उसकी आयु बढ़ेगी तो उसे कम या ज्यादा उसकी सेहत मुताबिक दिया जाएगा। नरिंदर सिंह ने कहा कि जिम्मी को उन्होंने अपने हाथों से पाला है। इस कारण वह या उनका स्टाफ कभी उसे अनदेखा नहीं कर सकते। पंजाब के लुधियाना में बने टाइगर सफाई के हालात बद से बदतर बन रहे है। टाइगर सफारी घुमने गए एक पर्यटक ने सोशल मीडिया पर वीडियो शेयर कर गिदड़ की वीडियो पोस्ट की है। जिसमें उसने कहा कि टाइगर सफारी के जानवरों के हालात बहुत बुरे है। उन्हें समयानुसार भोजन नहीं मिल पा रहा। उसने एक गिदड़ की वीडियो शेयर की जिसमें वह काफी कमजोर और सुस्त दिखाई दे रहा है। पर्यटक प्रभ का दावा-गिदड़ को नहीं मिल रहा सही भोजन जानकारी मुताबिक प्रभ सिंह नाम से पर्यटक ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट से वीडियो साझा किया है। उसने दावा किया है कि गिदड़ को भोजन सही ना मिलने के कारण उसकी हड्डियां तक बाहर निकल आई है। उसने कहा कि चिड़िया घर (टाइगर सफारी) में कोई सिस्टम नहीं है। प्रभ ने कहा कि गिदड़ के लिए ना तो पीने के लिए पानी रखा गया है और ना कुछ खाने के लिए। प्रभ ने सरकार से अपील की है कि लुधियाना चिडिया घर की तरफ ध्यान दिया जाए ताकि जानवरों की सुविधाओं पर ध्यान दिया जा सके। लापरवाही बरतने वालों पर सरकार सख्त सिस्टम बनाए ताकि इन जानवरों को राहत मिल सके। डाक्टरों की सलाह और आयु मुताबिक देते भोजन-इंचार्ज नरिंदर सिंह इस मामले संबंधी चिड़िया घर (टाइगर सफारी) के इंचार्ज नरिंदर सिंह ने कहा कि गिदड़ फीमेल उनके चीड़िया घर में है। वह अभी करीब अढ़ाई साल की है। उसका नाम जिम्मी है। जानवर की आयु मुताबिक उसे खाने के लिए दिया जाता है। जिम्मी को मिलता रोजाना 2 किलो मीट नरिंदर सिंह ने कहा कि जिम्मी को होशियारपुर से रेस्क्यू करके लाया गया था। उसे रोजाना 2 किलो मीट दिया जाता है। सप्ताह में एक दिन सभी जानवरों की डाइट का आफ होता है। डॉक्टर उनकी सेहत चैक करके डाइट चार्ट बनाते है जिस पर कर्मचारी काम करते है। जैसे-जैसे जानवर की आयु बढ़ती है उस मुताबिक उसकी डाइट कम या ज्यादा होती है। उदारण के तौर पर अब टाइगर को रोजाना 8 किलो मीट दिया जाता है। उसकी आयु बढ़ेगी तो उसे कम या ज्यादा उसकी सेहत मुताबिक दिया जाएगा। नरिंदर सिंह ने कहा कि जिम्मी को उन्होंने अपने हाथों से पाला है। इस कारण वह या उनका स्टाफ कभी उसे अनदेखा नहीं कर सकते।   पंजाब | दैनिक भास्कर