पंजाब के लुधियाना में विवाहिता ने जहरीला पदार्थ निगल कर आत्महत्या कर ली। परिवारिक सदस्यों का कहना है कि विवाहिता का पति विदेश में रहता है। गांव का एक युवक उसे तंग परेशान करता था। उसी युवक से तंग होकर उसने मौत को गले लगाया है। मरने वाली महिला का नाम जसबीर कौर (36) है। महिला के दो बच्चे है। जब भी वह घर से सैर करने जाती तो उक्त युवक उसका पीछा करता। आरोपी महिला से जबरी करना चाहता था दोस्ती आरोपी जसबीर कौर से जबरी दोस्ती करने का दबाव बना रहा था। जसबीर कौर ने कई बार उसे दोस्ती करने से मना भी किया। उक्त युवक कई बार उसे फोन करके तंग परेशान करता था। हादसे वाले दिन भी जसबीर घर की छत्त पर खड़ी थी। उस दौरान उस युवक ने उसे गंदे इशारे किए। इसके बाद उसने घर के अंदर रखा जहरीला पदार्थ निगल लिया। गांव की महिला रणजीत कौर ने कहा कि जसबीर की हालत बिगड़ती देख परिवार और गांव के लोगों ने उसे अस्पताल पहुंचाया जहां डॉक्टरों ने उसका प्राथमिक उपचार किया लेकिन उसने दम तोड़ दिया। आरोपी का नाम महिन्द्र सिंह है। थाना सदर की पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर दिया है। जसबीर कौर के शव का पोस्टमॉर्टम करवा शव परिजनों के सुपुर्द कर दिया गया है। पंजाब के लुधियाना में विवाहिता ने जहरीला पदार्थ निगल कर आत्महत्या कर ली। परिवारिक सदस्यों का कहना है कि विवाहिता का पति विदेश में रहता है। गांव का एक युवक उसे तंग परेशान करता था। उसी युवक से तंग होकर उसने मौत को गले लगाया है। मरने वाली महिला का नाम जसबीर कौर (36) है। महिला के दो बच्चे है। जब भी वह घर से सैर करने जाती तो उक्त युवक उसका पीछा करता। आरोपी महिला से जबरी करना चाहता था दोस्ती आरोपी जसबीर कौर से जबरी दोस्ती करने का दबाव बना रहा था। जसबीर कौर ने कई बार उसे दोस्ती करने से मना भी किया। उक्त युवक कई बार उसे फोन करके तंग परेशान करता था। हादसे वाले दिन भी जसबीर घर की छत्त पर खड़ी थी। उस दौरान उस युवक ने उसे गंदे इशारे किए। इसके बाद उसने घर के अंदर रखा जहरीला पदार्थ निगल लिया। गांव की महिला रणजीत कौर ने कहा कि जसबीर की हालत बिगड़ती देख परिवार और गांव के लोगों ने उसे अस्पताल पहुंचाया जहां डॉक्टरों ने उसका प्राथमिक उपचार किया लेकिन उसने दम तोड़ दिया। आरोपी का नाम महिन्द्र सिंह है। थाना सदर की पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर दिया है। जसबीर कौर के शव का पोस्टमॉर्टम करवा शव परिजनों के सुपुर्द कर दिया गया है। पंजाब | दैनिक भास्कर
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लुधियाना में सांसद का कोई स्थायी पता नहीं:कार्यालय का उद्घाटन होने में लगेगा समय, समस्याओं के समाधान के लिए करना होगा इंतजार
लुधियाना में सांसद का कोई स्थायी पता नहीं:कार्यालय का उद्घाटन होने में लगेगा समय, समस्याओं के समाधान के लिए करना होगा इंतजार पंजाब कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और लुधियाना के सांसद अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग अभी तक अपने कार्यालय का उद्घाटन नहीं कर पाए हैं। न ही वड़िंग ने लोगों के साथ कोई सार्वजनिक नंबर साझा किया है, जिस पर लोगों की समस्याओं का समाधान हो सके या फिर वे सीधे सांसद से बात कर सकें। 25 दिन पहले वड़िंग ने सोशल मीडिया पर पोस्ट किया था कि वे जुलाई के पहले सप्ताह में अपना कार्यालय लोगों के लिए खोल देंगे, लेकिन अभी तक वड़िंग के कार्यालय का आधिकारिक उद्घाटन नहीं हुआ है। कार्यालय बनकर तैयार है, लेकिन लोकसभा चुनाव जीतने के 44 दिन बाद भी वड़िंग कार्यालय में बैठ नहीं पा रहे हैं। शहर के लोगों को अगर अपनी समस्याएं अपने सांसद को बतानी हैं या उनसे मिलना है तो लोगों को और इंतजार करना पड़ सकता है, क्योंकि पंजाब के प्रधान होने के नाते वड़िंग अब विधानसभा उपचुनाव की तैयारियों में जुट जाएंगे। 4 सीटों पर होने हैं उपचुनाव कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष होने के नाते वडिंग पहले जालंधर उपचुनाव में व्यस्त थे। उपचुनाव हारने के बाद वडिंग अब गिद्दड़बाहा, बरनाला, होशियारपुर और गुरदासपुर विधानसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव में व्यस्त हैं। लुधियाना में नहीं गिद्दड़बाहा में वडिंग की दिलचस्पी अभी दो दिन पहले ही वडिंग ने गिद्दड़बाहा में लोगों से मुलाकात की थी और मुलाकात की तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट किए थे। अब लुधियाना में चर्चा है कि वडिंग लुधियाना से चुनाव जीत गए हैं, लेकिन उनका मन अभी भी गिद्दड़बाहा में ही है। लुधियाना के आम लोग अगर अपने सांसद से मिलना चाहते हैं तो उन्हें न तो उनके दफ्तर का पता पता है और न ही उनके घर का। लोगों को अब समझ में नहीं आ रहा है कि वे अपना काम करवाने के लिए कहां जाएं। कार्यालय प्रभारी को भी नहीं पता उद्घाटन कब होगा दैनिक भास्कर ने राजा वडिंग के कार्यालय का दौरा किया तो वहां जगसीर नामक युवक मिला। उसने बताया कि वह कार्यालय का प्रभारी है। जब उससे पूछा गया कि सांसद का कार्यालय कब शुरू होगा तो उसने कहा कि वह आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कह सकता। लेकिन जल्द ही जब सांसद शहर आएंगे तो वह बता पाएंगे कि कार्यालय का उद्घाटन कब होगा। चुनाव के दौरान फोन उठाने और काम करने का किया था वादा बता दें कि वड़िंग ने लोकसभा चुनाव में शहर के लोगों से वादा किया था कि जीतने के बाद वह लोगों के फोन उठाएंगे और उनके काम भी करेंगे। इस संबंध में उन्होंने शहर में विज्ञापन बोर्ड भी लगाए थे। इसका कारण यह था कि विरोधी तत्कालीन भाजपा प्रत्याशी रवनीत सिंह बिट्टू पर तंज कस रहे थे कि 10 साल तक सांसद रहने के बावजूद बिट्टू ने किसी कार्यकर्ता या आम आदमी का फोन नहीं उठाया। वडिंग के चुनाव जीतने के बाद एक बार फिर शहर के लोगों की स्थिति वही हो गई है कि लोग अपने सांसद को देखने के लिए तरस रहे हैं। लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान बिट्टू कई बार वडिंग को बाहरी प्रत्याशी बताकर उन पर तंज कस चुके हैं। पढ़ें कौन हैं अमरिंदर सिंह राजा वडिंग वडिंग गिद्दड़बाहा से विधायक रह चुके हैं। 2022 के विधानसभा चुनाव में वडिंग ने शिअद उम्मीदवार हरदीप सिंह डिंपी को 1349 वोटों से हराया था। लुधियाना में उनका मुकाबला कांग्रेस के मौजूदा सांसद रवनीत बिट्टू से था। लोकसभा चुनाव में वडिंग को 3,22,224 वोट मिले थे, उनकी जीत का अंतर 20,942 वोट रहा था। सूत्रों के मुताबिक पता चला है कि वडिंग अपनी पत्नी अमृता को गिद्दड़बाहा विधानसभा सीट से चुनाव मैदान में उतार सकते हैं। वड़िंग का राजनीतिक करियर अमरिंदर सिंह राजा वाड़िंग ने साल 2000 में पहली बार राजनीति में कदम रखा। उन्हें युवा कांग्रेस का श्री मुक्तसर साहिब ब्लॉक अध्यक्ष बनाया गया। इसके बाद उन्होंने पार्टी के लिए कड़ी मेहनत की और 2005 में उन्हें युवा कांग्रेस का राष्ट्रीय प्रवक्ता नियुक्त किया गया। वर्ष 2008 में उन्हें पंजाब युवा कांग्रेस का उपाध्यक्ष चुना गया और 2009 में उन्हें युवा कांग्रेस का महासचिव बनाया गया। राजा वाड़िंग ने साल 2012 में पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ा था। उन्होंने मनप्रीत बादल को हराया और विधानसभा पहुंचे। वर्ष 2014 में उन्हें युवा कांग्रेस का राष्ट्रीय अध्यक्ष चुना गया। वहीं फिलहाल राजा वड़िंग प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष हैं, और लुधियाना लोकसभा सीट से सांसद हैं।
रोहतक जेल में लौटा राम रहीम:2 अक्टूबर को मिली थी पैरोल, 20 दिन बरनावा डेरे में रहा
रोहतक जेल में लौटा राम रहीम:2 अक्टूबर को मिली थी पैरोल, 20 दिन बरनावा डेरे में रहा डेरा सच्चा सौदा के मुखी एवं साध्वी यौन शौषण मामले में सजा काट रहा राम रहीम बुधवार को वापस रोहतक की सुनारिया जेल वापस लौट गया है। राम रहीम को 2 अक्टूबर को पैरोल मिली थी और वह जेल से बाहर आया था। 20 दिन जेल से बाहर रहने के बाद राम रहीम वापस जेल लाया गया है। 20 दिनों तक राम रहीम उत्तर प्रदेश के बरनावा डेरे में रहा। विधानसभा चुनाव से पहले राम रहीम को पैरोल मिली थी। 5 अक्टूबर को हरियाणा में विधानसभा चुनाव की वोटिंग थी और 2 अक्टूबर को राम रहीम जेल से बाहर आया था। जिस पर आरोप-प्रत्यारोप भी लगे। हालांकि राम रहीम की 20 दिन की पैरोल मंजूर हो गई। आज वापस जेल में लौटेगा। पिछली बार 21 दिन की फरलो मिली थी साध्वियों के यौन शोषण और मर्डर केस में डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम 20 साल की कैद काट रहा है। उसने हाल ही में सरकार से इमरजेंसी पैरोल मांगी थी। जेल विभाग को आवेदन कर 20 दिन की पैरोल देने के लिए कहा। इस दौरान उसने उत्तर प्रदेश के बरनावा आश्रम में रहने की बात कही। इससे पहले राम रहीम अगस्त में 21 दिन की फरलो पर बाहर आया था। 2 केस में कैद, एक में बरी हो चुका राम रहीम राम रहीम को 25 अगस्त 2017 को 2 साध्वियों के यौन शोषण केस में दोषी ठहराया गया था। इसी साल 27 अगस्त को उसे गिरफ्तार किया गया। इस केस में 28 अगस्त 2017 को उसे 20 साल के सश्रम कारावास की सजा सुनाई गई। जिसके बाद से वह रोहतक की सुनारिया जेल में बंद है। उसे 11 जनवरी 2019 को पत्रकार रामचंद्र छत्रपति की हत्या के मामले में दोषी ठहराया गया और 17 जनवरी 2019 को उम्र कैद की सजा सुनाई गई। उसे 2021 में रणजीत सिंह हत्याकांड में भी दोषी ठहराते हुए उम्र कैद दी गई थी। हालांकि इसी साल 28 मई को पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने इस मामले में उसे बरी कर दिया।
तरनतारन में सर्वसम्मति से चुने सरपंच की हत्या:पहले जीत की दी बधाई, फिर मारी गोलियां, 2 घायल, 3 हमलावरों ने की वारदात
तरनतारन में सर्वसम्मति से चुने सरपंच की हत्या:पहले जीत की दी बधाई, फिर मारी गोलियां, 2 घायल, 3 हमलावरों ने की वारदात पंजाब के तरनतारन में सर्वसम्मति के साथ चुने गए सरपंच की गोलियां मार कर हत्या कर दी गई। मृतक राजविंदर सिंह उर्फ राज तलवंडी ब्लॉक पट्टी में जीत के बाद साथियों के साथ कार में सवार होकर अपने गांव जा रहे थे। गांव ठक्करपुरा के पास एक बाइक पर सवार 3 हमलावरों ने उन्हें गोलियां मार दी। गाड़ी में सवार उनके दो दोस्तों भी घायल हो गए। जिन्हें अस्पताल पहुंचाया गया है। जानकारी के अनुसार राजविंदर सिंह अपने साथियों के साथ गांव की तरफ जा रहे थे। तभी बाइक पर सवार युवकों ने ठक्करपुरा में चर्च के पास उनकी कार रोकी और सरपंची की बधाई दी। इसके बाद उन्होंने फायरिंग शुरू कर दी। राजविंदर सिंह की मौके पर ही मौत हो गई और दो अन्य लोग घायल हो गए। आम आदमी पार्टी का हासिल था समर्थन
राजविंदर सिंह को आम आदमी पार्टी का समर्थन हासिल था। राजविंदर को गांव तलवंडी मोहर सिंह (एससी) का निर्विरोध सरपंच घोषित किया गया। घटना के बाद घायलों को अस्पताल में दाखिल करवाया गया है। पुलिस हमलावरों की पहचान करने में जुट गई है। उसका कत्ल क्यों किया गया, इस बारे में जानकारियां हासिल की जा रही हैं। लालजीत भुल्लर ने जताया दुख
पंजाब सरकार के कैबिनेट मंत्री लालजीत सिंह भुल्लर ने गांव तलवंड़ी मोहर सिंह के नए बने सरपंच राजविंदर सिंह की हत्या किए जाने पर दुख जाहिर किया है। उन्होंने आरोपियों को जल्द पकड़ने के आदेश भी जाहिर किए हैं। 2024 के सरपंच चुनावों में हत्या का ये पहला मामला सामने आया है।