शिमला के लवी मेले में हुआ 156 घोड़ों का पंजीकरण:पहले दिन 70 हजार में बिका चामूर्थी घोड़ा, अंतिम दिन होगी गुब्बारा फोड़ प्रतियोगिता

शिमला के लवी मेले में हुआ 156 घोड़ों का पंजीकरण:पहले दिन 70 हजार में बिका चामूर्थी घोड़ा, अंतिम दिन होगी गुब्बारा फोड़ प्रतियोगिता

शिमला के पाटबंगला मैदान रामपुर में सोमवार को अश्व प्रदर्शनी का विधिवत शुभारंभ किया गया। अगले तीन दिनों में अब यहां पर घोड़ों की जमकर खरीद-फरोख्त होगी। पशुपालन विभाग की ओर से वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी डॉo अनिल शर्मा ने शुभारंभ मौके पर प्रदर्शनी में पहुंचे अश्व पालकों को स्वागत किया। उन्होंने बताया कि इस अश्व प्रदर्शनी का आयोजन वर्ष 1984 से लगातार किया जा रहा है। प्रदर्शनी के दौरान अच्छी नस्ल के घोड़ों की जमकर खरीद फरोख्त होती है। जिसमें भाग लेने के लिए किन्नौर, लाहौल स्पिती, पिन वैली व अन्य ऊपरी ईलाकों से अश्व पालक मेला मैदान में पहुंच गए है। चामूर्थी घोड़े को 70 हजार में खरीदा
प्रदर्शनी के पहले दिन 156 घोड़ों का पंजीकरण किया गया। उन्होंने बताया कि पंजीकरण प्रक्रिया मंगलवार को भी जारी रहेगी। अनिल शर्मा ने कहा कि इस प्रदर्शनी में वेटनरी ऐड की सुविधा आर्मी की 22 मोबाइल एफडी वेट यूनिट द्वारा दी जा रही है। जिसकी जिम्मेवारी कर्नल योगेश डोगरा, शशांक शुक्ला, नायक इंद्रजीत कुमार औश्र अनुज द्वारा पूरी की जा रही है। डॉo शर्मा ने बताया कि इस अश्व प्रदर्शनी के पहले दिन लाहौल स्पिती के चामूर्थी घोड़े को 70 हजार में खरीदा गया। घुड़सवारों के बीच होगी दौड़ प्रतियोगिता
जबकि प्रदर्शनी में आए करीब 80 घोड़ों की बिक्री होने की सूचना है। अधिकतर खरीदार उत्तराखंड से संबंधित हैं। प्रदर्शनी के दूसरे दिन मंगलवार को विभिन्न वर्गों में उत्तम अश्वों का चयन और अश्व पालकों के लिए संगोष्ठी का आयोजन होगा। जबकि प्रदर्शनी के अंतिम दिन छह नवंबर को घुड़सवारों के बीच गुब्बारा फोड़ प्रतियोगिता, चार सौ और आठ सौ मीटर की घुड़दौड़ का आयोजन होगा। जिसमें अव्वल रहने वाले प्रतिभागियों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया जाएगा। शिमला के पाटबंगला मैदान रामपुर में सोमवार को अश्व प्रदर्शनी का विधिवत शुभारंभ किया गया। अगले तीन दिनों में अब यहां पर घोड़ों की जमकर खरीद-फरोख्त होगी। पशुपालन विभाग की ओर से वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी डॉo अनिल शर्मा ने शुभारंभ मौके पर प्रदर्शनी में पहुंचे अश्व पालकों को स्वागत किया। उन्होंने बताया कि इस अश्व प्रदर्शनी का आयोजन वर्ष 1984 से लगातार किया जा रहा है। प्रदर्शनी के दौरान अच्छी नस्ल के घोड़ों की जमकर खरीद फरोख्त होती है। जिसमें भाग लेने के लिए किन्नौर, लाहौल स्पिती, पिन वैली व अन्य ऊपरी ईलाकों से अश्व पालक मेला मैदान में पहुंच गए है। चामूर्थी घोड़े को 70 हजार में खरीदा
प्रदर्शनी के पहले दिन 156 घोड़ों का पंजीकरण किया गया। उन्होंने बताया कि पंजीकरण प्रक्रिया मंगलवार को भी जारी रहेगी। अनिल शर्मा ने कहा कि इस प्रदर्शनी में वेटनरी ऐड की सुविधा आर्मी की 22 मोबाइल एफडी वेट यूनिट द्वारा दी जा रही है। जिसकी जिम्मेवारी कर्नल योगेश डोगरा, शशांक शुक्ला, नायक इंद्रजीत कुमार औश्र अनुज द्वारा पूरी की जा रही है। डॉo शर्मा ने बताया कि इस अश्व प्रदर्शनी के पहले दिन लाहौल स्पिती के चामूर्थी घोड़े को 70 हजार में खरीदा गया। घुड़सवारों के बीच होगी दौड़ प्रतियोगिता
जबकि प्रदर्शनी में आए करीब 80 घोड़ों की बिक्री होने की सूचना है। अधिकतर खरीदार उत्तराखंड से संबंधित हैं। प्रदर्शनी के दूसरे दिन मंगलवार को विभिन्न वर्गों में उत्तम अश्वों का चयन और अश्व पालकों के लिए संगोष्ठी का आयोजन होगा। जबकि प्रदर्शनी के अंतिम दिन छह नवंबर को घुड़सवारों के बीच गुब्बारा फोड़ प्रतियोगिता, चार सौ और आठ सौ मीटर की घुड़दौड़ का आयोजन होगा। जिसमें अव्वल रहने वाले प्रतिभागियों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया जाएगा।   हिमाचल | दैनिक भास्कर