कांग्रेस ने शुक्रवार रात 10 राज्यों में सेक्रेटरी व जॉइंट सेक्रेटरी नियुक्त किए हैं। मनोज चौहान और प्रफुल्ला विनोद राव को हरियाणा का सेक्रेटरी लगाया गया है। उम्मीदवार फाइनल करने के लिए आज स्क्रीनिंग कमेटी की चौथी और आखिरी मीटिंग होगी। मीटिंग में सभी 90 उम्मीदवारों का फाइनल पैनल तैयार किया जाएगा। इसके बाद 2 सितंबर को होने वाली कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति (CWC) की मीटिंग में पैनल पर चर्चा की जाएगी। इसके बाद सितंबर के पहले हफ्ते में कांग्रेस की पहली लिस्ट आ सकती है। गुरुवार को स्क्रीनिंग कमेटी की तीसरी मीटिंग के बाद कांग्रेस प्रभारी दीपक बाबरिया ने कहा था, मीटिंग में सभी सीटों पर चर्चा की गई है। आखिरी मीटिंग में उम्मीदवारों के पैनल का फाइनल ड्राफ्ट तैयार किया जाएगा।’ कांग्रेस के नए सचिव व सह सचिव की लिस्ट… सैलजा बोलीं- मेरे चुनाव लड़ने पर हाईकमान फैसला करेगा कांग्रेस सांसद कुमारी सैलजा ने कहा कि स्क्रीनिंग कमेटी की लिस्ट पर केंद्रीय चुनाव समिति में बातचीत होगी। मैं सिटिंग MP हूं। मेरा विधानसभा चुनाव लड़ने का मन है। मेरे बारे में जो फैसला हाईकमान करेगा, वह मान्य होगा। इससे पहले सैलजा ने सवाल उठाए थे कि हरियाणा में कांग्रेस की सरकार बनने की सूरत में दलित सीएम क्यों नहीं बन सकता। बाबरिया ने JJP के बागी विधायक को टिकट देने से इनकार किया वहीं जननायक जनता पार्टी (JJP) के बागी विधायक और पूर्व मंत्री देवेंद्र बबली को कांग्रेस ने टिकट देने से इनकार कर दिया। कांग्रेस प्रभारी दीपक बाबरिया ने कहा कि देवेंद्र बबली ने मुलाकात की थी। वह टिकट मांग रहे थे, लेकिन मैंने कहा है कि वह कांग्रेस पार्टी के सदस्य नहीं हैं। इस नाते उन्हें टिकट नहीं मिल सकती। अगर अध्यक्ष (चौधरी उदयभान) कोई फैसला करते हैं तो अलग बात है, लेकिन मेरी तरफ से उनको ना कर दी गई है।’ कांग्रेस के टिकट बंटवारे के 5 फॉर्मूले… 1. सांसदों को टिकट नहीं कांग्रेस के प्रदेश इंचार्ज दीपक बाबरिया ने कहा कि इस चुनाव में सांसदों को टिकट नहीं दी जाएगी। इसकी वजह से CM कुर्सी पर दावा ठोक रही सिरसा सांसद कुमारी सैलजा और राज्यसभा सांसद रणदीप सुरजेवाला को झटका लगा। बाबरिया ने ये भी कहा कि ये स्क्रीनिंग कमेटी की सिफारिश है। अंतिम फैसला हाईकमान करेगा। 2. चुनाव हारे, दागी नेताओं को टिकट नहीं चुनाव हारे नेताओं को टिकट नहीं दी जाएगी। इसमें वे नेता शामिल हैं, जो 2 या उससे ज्यादा बार से चुनाव हार चुके हैं। उनकी दावेदारी को स्क्रीनिंग कमेटी की मीटिंग में खारिज किया जाएगा। इसके अलावा जो चेहरे दागी हैं, जिन पर गंभीर मुकदमें दर्ज हैं या कोई गंभीर आरोप लगे हैं, उन्हें भी टिकट नहीं दी जाएगी। वहीं जमानत जब्त कराने वाले नेताओं पर भी कांग्रेस दांव नहीं लगाएगी। 3. पार्टी छोड़कर फिर शामिल हुए नाम खारिज होंगे जो लोग पहले कांग्रेस छोड़कर चले गए और अब चुनाव से पहले वापस लौट आए, उनकी दावेदारी पर विचार नहीं होगा। कांग्रेस में कई नेता ऐसे भी हैं जो 10 से लेकर 30 साल तक पार्टी में रहे लेकिन बीच में छोड़कर चले गए और एक साल के भीतर लौटे हैं, उनकी दावेदारी को झटका लग सकता है। इससे कांग्रेस में एक साल के भीतर आए करीब 20 से ज्यादा पूर्व विधायकों को झटका लग सकता है। 4. बिना चुनाव लड़े भी CM फेस हो सकता है इंचार्ज दीपक बाबरिया ने सबको चौंकाते हुए एक और बयान दिया कि जरूरी नहीं कि कांग्रेस सरकार बनने की सूरत में चुनाव लड़ने वाला ही सीएम फेस हो। वह नेता भी सीएम चेहरा हो सकता है, जिसने विधानसभा चुनाव नहीं लड़ा। हालांकि इस बयान को कुमारी सैलजा और रणदीप सुरजेवाला की नाराजगी को शांत करने से जोड़कर देखा जा रहा है। 5. विधायकों के टिकट कटने जरूरी नहीं स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक के बाद पार्टी प्रभारी दीपक बाबरिया कह चुके हैं कि यह जरूरी नहीं है कि मौजूदा विधायकों के टिकट काटे ही जाएंगे। उन्होंने कहा कि यदि किसी के विरुद्ध ग्राउंड पर एंटी इनकम्बेंसी है और आपराधिक रिकॉर्ड बना है तो उसे टिकटों में नजरअंदाज किया जाएगा अन्यथा पार्टी की कोशिश रहेगी कि हर जीतने वाले विधायक को पार्टी विधानसभा के चुनावी रण में उतारे। कांग्रेस ने शुक्रवार रात 10 राज्यों में सेक्रेटरी व जॉइंट सेक्रेटरी नियुक्त किए हैं। मनोज चौहान और प्रफुल्ला विनोद राव को हरियाणा का सेक्रेटरी लगाया गया है। उम्मीदवार फाइनल करने के लिए आज स्क्रीनिंग कमेटी की चौथी और आखिरी मीटिंग होगी। मीटिंग में सभी 90 उम्मीदवारों का फाइनल पैनल तैयार किया जाएगा। इसके बाद 2 सितंबर को होने वाली कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति (CWC) की मीटिंग में पैनल पर चर्चा की जाएगी। इसके बाद सितंबर के पहले हफ्ते में कांग्रेस की पहली लिस्ट आ सकती है। गुरुवार को स्क्रीनिंग कमेटी की तीसरी मीटिंग के बाद कांग्रेस प्रभारी दीपक बाबरिया ने कहा था, मीटिंग में सभी सीटों पर चर्चा की गई है। आखिरी मीटिंग में उम्मीदवारों के पैनल का फाइनल ड्राफ्ट तैयार किया जाएगा।’ कांग्रेस के नए सचिव व सह सचिव की लिस्ट… सैलजा बोलीं- मेरे चुनाव लड़ने पर हाईकमान फैसला करेगा कांग्रेस सांसद कुमारी सैलजा ने कहा कि स्क्रीनिंग कमेटी की लिस्ट पर केंद्रीय चुनाव समिति में बातचीत होगी। मैं सिटिंग MP हूं। मेरा विधानसभा चुनाव लड़ने का मन है। मेरे बारे में जो फैसला हाईकमान करेगा, वह मान्य होगा। इससे पहले सैलजा ने सवाल उठाए थे कि हरियाणा में कांग्रेस की सरकार बनने की सूरत में दलित सीएम क्यों नहीं बन सकता। बाबरिया ने JJP के बागी विधायक को टिकट देने से इनकार किया वहीं जननायक जनता पार्टी (JJP) के बागी विधायक और पूर्व मंत्री देवेंद्र बबली को कांग्रेस ने टिकट देने से इनकार कर दिया। कांग्रेस प्रभारी दीपक बाबरिया ने कहा कि देवेंद्र बबली ने मुलाकात की थी। वह टिकट मांग रहे थे, लेकिन मैंने कहा है कि वह कांग्रेस पार्टी के सदस्य नहीं हैं। इस नाते उन्हें टिकट नहीं मिल सकती। अगर अध्यक्ष (चौधरी उदयभान) कोई फैसला करते हैं तो अलग बात है, लेकिन मेरी तरफ से उनको ना कर दी गई है।’ कांग्रेस के टिकट बंटवारे के 5 फॉर्मूले… 1. सांसदों को टिकट नहीं कांग्रेस के प्रदेश इंचार्ज दीपक बाबरिया ने कहा कि इस चुनाव में सांसदों को टिकट नहीं दी जाएगी। इसकी वजह से CM कुर्सी पर दावा ठोक रही सिरसा सांसद कुमारी सैलजा और राज्यसभा सांसद रणदीप सुरजेवाला को झटका लगा। बाबरिया ने ये भी कहा कि ये स्क्रीनिंग कमेटी की सिफारिश है। अंतिम फैसला हाईकमान करेगा। 2. चुनाव हारे, दागी नेताओं को टिकट नहीं चुनाव हारे नेताओं को टिकट नहीं दी जाएगी। इसमें वे नेता शामिल हैं, जो 2 या उससे ज्यादा बार से चुनाव हार चुके हैं। उनकी दावेदारी को स्क्रीनिंग कमेटी की मीटिंग में खारिज किया जाएगा। इसके अलावा जो चेहरे दागी हैं, जिन पर गंभीर मुकदमें दर्ज हैं या कोई गंभीर आरोप लगे हैं, उन्हें भी टिकट नहीं दी जाएगी। वहीं जमानत जब्त कराने वाले नेताओं पर भी कांग्रेस दांव नहीं लगाएगी। 3. पार्टी छोड़कर फिर शामिल हुए नाम खारिज होंगे जो लोग पहले कांग्रेस छोड़कर चले गए और अब चुनाव से पहले वापस लौट आए, उनकी दावेदारी पर विचार नहीं होगा। कांग्रेस में कई नेता ऐसे भी हैं जो 10 से लेकर 30 साल तक पार्टी में रहे लेकिन बीच में छोड़कर चले गए और एक साल के भीतर लौटे हैं, उनकी दावेदारी को झटका लग सकता है। इससे कांग्रेस में एक साल के भीतर आए करीब 20 से ज्यादा पूर्व विधायकों को झटका लग सकता है। 4. बिना चुनाव लड़े भी CM फेस हो सकता है इंचार्ज दीपक बाबरिया ने सबको चौंकाते हुए एक और बयान दिया कि जरूरी नहीं कि कांग्रेस सरकार बनने की सूरत में चुनाव लड़ने वाला ही सीएम फेस हो। वह नेता भी सीएम चेहरा हो सकता है, जिसने विधानसभा चुनाव नहीं लड़ा। हालांकि इस बयान को कुमारी सैलजा और रणदीप सुरजेवाला की नाराजगी को शांत करने से जोड़कर देखा जा रहा है। 5. विधायकों के टिकट कटने जरूरी नहीं स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक के बाद पार्टी प्रभारी दीपक बाबरिया कह चुके हैं कि यह जरूरी नहीं है कि मौजूदा विधायकों के टिकट काटे ही जाएंगे। उन्होंने कहा कि यदि किसी के विरुद्ध ग्राउंड पर एंटी इनकम्बेंसी है और आपराधिक रिकॉर्ड बना है तो उसे टिकटों में नजरअंदाज किया जाएगा अन्यथा पार्टी की कोशिश रहेगी कि हर जीतने वाले विधायक को पार्टी विधानसभा के चुनावी रण में उतारे। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव में जिला परिषद चेयरमैन सोनू सिहाग के गांव डाटा से BJP प्रत्याशी कैप्टन अभिमन्यु की बुरी तरह हार हुई। डाटा नारनौंद के बड़े गांवों में से एक हैं। यहां करीब 7 बूथ बनाए गए थे। इन बूथों में से 6 पर कांग्रेस और 1 बूथ पर ही भाजपा जीत पाई। कांग्रेस उम्मीदवार जस्सी पेटवाड़ को गांव में 3,274 वोट मिले, जबकि कैप्टन अभिमन्यु को गांव से महज 2,156 वोट मिले थे। 2. कमीशनखोरी का आरोप
कुछ महीने पहले कई जिला पार्षदों ने मिलकर मुख्यमंत्री से चेयरमैन की शिकायत की थी। वहीं विकास कार्यों में किए जा रहे पक्षपातपूर्ण निर्णयों को लेकर परिषद कार्यालय में धरना भी लगाया था। मुख्यमंत्री के समक्ष पार्षदों ने चेयरमैन पर कमीशनखोरी के आरोप भी लगाए। यह भी कहा कि कमीशन के चक्कर में ही जिला परिषद की पहली ग्रांट भी नहीं लग पाई है। जब तक कमीशन नहीं दिया जाता तब तक काम भी शुरू नहीं होने देते। पिछले 2 साल से विकास कार्य पेंडिंग पड़े हैं। जिससे सरकार की छवि खराब हो रही है। 3. कांग्रेस नेताओं के साथ की गुप्त बैठकें
पार्षदों ने आरोप लगाया कि हाल ही में हुए विधानसभा चुनावों के दौरान चेयरमैन की कांग्रेस सांसद जेपी और पूर्व सीएम भूपेंद्र हुड्डा के साथ गुप्त मीटिंग हुई थी। चेयरमैन को लगा कि कांग्रेस सरकार आएगी। ऐसे में वह पहले से ही कांग्रेस नेताओं के संपर्क में आ गए थे। भाजपा के वरिष्ठ नेताओं को इसकी भनक लग गई थी। रही सही कसर चेयरमैन के गांव में भाजपा प्रत्याशी की हार से पूरी हो गई। पार्षदों ने आरोप लगाया कि विधानसभा चुनाव में चेयरमैन ने गुपचुप तरीके से कांग्रेस के नेताओं का समर्थन किया। 4. पार्षदों को ब्लैकमेल करने का आरोप
जिला पार्षदों ने आरोप लगाया कि चेयरमैन ने अपने होटल में अपने पार्षद साथियों की कुछ आपत्तिजनक वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया था। इसके बाद पार्षदों ने बीजेपी के शीर्ष नेतृत्व से मिलकर चेयरमैन की इस हरकत से अवगत भी करवाया। जिससे पार्टी के स्थानीय नेता, विधायक, मंत्री व संगठन के लोग चेयरमैन से दूरी बना चुके हैं। हरियाणा BJP चेयरपर्सन से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें… हरियाणा BJP- चेयरपर्सन के खिलाफ वोटिंग टली, हुड्डा समर्थक बोले-कांग्रेस पार्षद ने हमला किया हरियाणा के रोहतक में जिला परिषद की BJP चेयरपर्सन मंजू हुड्डा के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पर आज (23 अक्टूबर) बुधवार को वोटिंग टल गई। मीटिंग से पहले DC अजय कुमार बीमार हो गए। जिस वजह से यह फैसला लिया गया। यह मीटिंग अब शनिवार को होगी। (पूरी खबर पढ़ें)