हरियाणा सरकार प्रदेश में पहला इंडियन इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलॉजी (IIT) स्थापित करेगी। संस्थान निदेशालय और मानव संसाधन विकास मंत्रालय (MHRD) से निर्देश मिलने के बाद तकनीकी शिक्षा विभाग ने तैयारियां शुरू कर दी है। इसे लेकर तकनीकी एजुकेशन के डायरेक्टर ने प्रदेश के सभी DC को पत्र लिखा है और जगह की डिमांड की है। खास बात है कि इस प्रोजेक्ट में जमीन अधिग्रहण की समस्या ही आड़े आ रही है। कारण है कि इसके लिए सरकार ने 300 एकड़ भूमि अधिग्रहण करने की शर्त रखी है। वो भी केंद्र एवं राज्य सरकार तय करेगी कि चिह्नित की गई उस जगह पर प्रोजेक्ट शुरू किया जाए या नहीं। तभी प्रोजेक्ट को लेकर हरी झंडी मिलेगी। इसको लेकर हरियाणा BJP सांसदों ने लॉबिंग शुरू कर दी है। सबका प्रयास है कि IIT जैसा संस्थान उनके संसदीय क्षेत्र में बने। वहीं बता दें कि MHRD मंत्री धमेंद्र प्रधान हैं और वह हरियाणा BJP के प्रभारी भी हैं। BJP सांसदों के इलाकों में जा सकता है संस्थान
BJP सांसद जिस तरह IIT के लिए लॉबिंग कर रहे हैं, उससे यह संस्थान उन्हीं के एरिया में जाने की उम्मीद है। हरियाणा से 3 केंद्रीय मंत्री हैं। करनाल से मनोहर लाल खट्टर, गुरुग्राम से राव इंद्रजीत और फरीदाबाद से कृष्ण पाल गुर्जर, ऐसे में इन तीनों के संसदीय क्षेत्र में इस संस्थान के बनने की उम्मीद है। मगर, सरकार की 300 एकड़ भूमि अधिग्रहण की शर्त के बाद भिवानी के सांसद चौधरी धर्मबीर भी इस संस्थान को अपने इलाके में लाने का प्रयास कर रहे हैं। वहीं, हिसार से PWD मिनिस्टर रणबीर गंगवा भी इसको लेकर प्रयासरत हैं। हिसार में एयरपोर्ट के साथ लगती जमीन हरियाणा सरकार अधिग्रहण भी कर चुकी है। हिसार, सिरसा सहित 5 जगहों पर कांग्रेसी सांसद
जहां BJP सांसद IIT जैसे संस्थान को लेकर प्रयास कर रहे हैं, वहीं कांग्रेस सांसदों वाले इलाके हिसार, सिरसा, अंबाला, सोनीपत और रोहतक में प्रतिनिधित्व नहीं होने के कारण IIT जैसे संस्थान से महरूम होना पड़ सकता है। हालांकि, यहां के मंत्री अपने स्तर पर संस्थान को लेकर बातचीत कर रहे हैं। वहीं हिसार में ही IIT बनाने की पुरजोर कोशिश की जा रही है। इसको लेकर गुरु दक्ष राजकीय पालिटेक्निक के स्टाफ ने पहल की है और कैबिनेट मंत्री रणबीर सिंह गंगवा से मुलाकात की है। मंत्री गंगवा ने प्रोजेक्ट के लिए जगह तलाशने का आश्वासन दिया है। इन जिलों को इसलिए मिल सकता है मौका 1. हिसार : हिसार में सरकारी जमीन काफी अधिक है। यहां अंतरराष्ट्रीय स्तर का एयरपोर्ट बन रहा है। काफी जमीन का सरकार ने पहले से अधिग्रहण किया हुआ है। हिसार की राजस्थान, पंजाब, दिल्ली से बेहतर कनेक्टिविटी भी है। 2. करनाल : पूर्व सीएम और मौजूदा केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर करनाल से सांसद है। इसके अलावा करनाल जीटी रोड पर है, जहां से चंडीगढ़ और दिल्ली की बेहतर कनेक्टिविटी है। जीटी रोड बेल्ट BJP का स्ट्रॉन्ग एरिया भी है। 3. गुरुग्राम : राव इंद्रजीत के गुरुग्राम में IIT संस्थान के लिए संभावनाएं हैं। मगर, नजदीक दिल्ली में पहले से ही IIT संस्थान है। रेवाड़ी में सरकार पहले से ही एम्स की सौगात दे चुकी है। इसके बावजूद राव प्रयास कर सकते हैं। 4. कुरुक्षेत्र : हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सैनी का गृह जिला है। वह यहां की लाडवा सीट से विधायक हैं। इसी के साथ यहां कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी भी है। इसका फायदा कुरुक्षेत्र को मिल सकता है। सांसद नवीन जिंदल भी इसको लेकर प्रयासरत हैं। 5. भिवानी : सांसद धर्मबीर लगातार IIT को लेकर गंभीर दिख रहे हैं। वह जमीन को लेकर बातचीत कर रहे हैं। इतना ही नहीं राज्यसभा सांसद किरण चौधरी भी यहीं से आते हैं। ऐसे में दोनों मजबूत नेताओं की लॉबिंग काम आ सकती है। हरियाणा सरकार प्रदेश में पहला इंडियन इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलॉजी (IIT) स्थापित करेगी। संस्थान निदेशालय और मानव संसाधन विकास मंत्रालय (MHRD) से निर्देश मिलने के बाद तकनीकी शिक्षा विभाग ने तैयारियां शुरू कर दी है। इसे लेकर तकनीकी एजुकेशन के डायरेक्टर ने प्रदेश के सभी DC को पत्र लिखा है और जगह की डिमांड की है। खास बात है कि इस प्रोजेक्ट में जमीन अधिग्रहण की समस्या ही आड़े आ रही है। कारण है कि इसके लिए सरकार ने 300 एकड़ भूमि अधिग्रहण करने की शर्त रखी है। वो भी केंद्र एवं राज्य सरकार तय करेगी कि चिह्नित की गई उस जगह पर प्रोजेक्ट शुरू किया जाए या नहीं। तभी प्रोजेक्ट को लेकर हरी झंडी मिलेगी। इसको लेकर हरियाणा BJP सांसदों ने लॉबिंग शुरू कर दी है। सबका प्रयास है कि IIT जैसा संस्थान उनके संसदीय क्षेत्र में बने। वहीं बता दें कि MHRD मंत्री धमेंद्र प्रधान हैं और वह हरियाणा BJP के प्रभारी भी हैं। BJP सांसदों के इलाकों में जा सकता है संस्थान
BJP सांसद जिस तरह IIT के लिए लॉबिंग कर रहे हैं, उससे यह संस्थान उन्हीं के एरिया में जाने की उम्मीद है। हरियाणा से 3 केंद्रीय मंत्री हैं। करनाल से मनोहर लाल खट्टर, गुरुग्राम से राव इंद्रजीत और फरीदाबाद से कृष्ण पाल गुर्जर, ऐसे में इन तीनों के संसदीय क्षेत्र में इस संस्थान के बनने की उम्मीद है। मगर, सरकार की 300 एकड़ भूमि अधिग्रहण की शर्त के बाद भिवानी के सांसद चौधरी धर्मबीर भी इस संस्थान को अपने इलाके में लाने का प्रयास कर रहे हैं। वहीं, हिसार से PWD मिनिस्टर रणबीर गंगवा भी इसको लेकर प्रयासरत हैं। हिसार में एयरपोर्ट के साथ लगती जमीन हरियाणा सरकार अधिग्रहण भी कर चुकी है। हिसार, सिरसा सहित 5 जगहों पर कांग्रेसी सांसद
जहां BJP सांसद IIT जैसे संस्थान को लेकर प्रयास कर रहे हैं, वहीं कांग्रेस सांसदों वाले इलाके हिसार, सिरसा, अंबाला, सोनीपत और रोहतक में प्रतिनिधित्व नहीं होने के कारण IIT जैसे संस्थान से महरूम होना पड़ सकता है। हालांकि, यहां के मंत्री अपने स्तर पर संस्थान को लेकर बातचीत कर रहे हैं। वहीं हिसार में ही IIT बनाने की पुरजोर कोशिश की जा रही है। इसको लेकर गुरु दक्ष राजकीय पालिटेक्निक के स्टाफ ने पहल की है और कैबिनेट मंत्री रणबीर सिंह गंगवा से मुलाकात की है। मंत्री गंगवा ने प्रोजेक्ट के लिए जगह तलाशने का आश्वासन दिया है। इन जिलों को इसलिए मिल सकता है मौका 1. हिसार : हिसार में सरकारी जमीन काफी अधिक है। यहां अंतरराष्ट्रीय स्तर का एयरपोर्ट बन रहा है। काफी जमीन का सरकार ने पहले से अधिग्रहण किया हुआ है। हिसार की राजस्थान, पंजाब, दिल्ली से बेहतर कनेक्टिविटी भी है। 2. करनाल : पूर्व सीएम और मौजूदा केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर करनाल से सांसद है। इसके अलावा करनाल जीटी रोड पर है, जहां से चंडीगढ़ और दिल्ली की बेहतर कनेक्टिविटी है। जीटी रोड बेल्ट BJP का स्ट्रॉन्ग एरिया भी है। 3. गुरुग्राम : राव इंद्रजीत के गुरुग्राम में IIT संस्थान के लिए संभावनाएं हैं। मगर, नजदीक दिल्ली में पहले से ही IIT संस्थान है। रेवाड़ी में सरकार पहले से ही एम्स की सौगात दे चुकी है। इसके बावजूद राव प्रयास कर सकते हैं। 4. कुरुक्षेत्र : हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सैनी का गृह जिला है। वह यहां की लाडवा सीट से विधायक हैं। इसी के साथ यहां कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी भी है। इसका फायदा कुरुक्षेत्र को मिल सकता है। सांसद नवीन जिंदल भी इसको लेकर प्रयासरत हैं। 5. भिवानी : सांसद धर्मबीर लगातार IIT को लेकर गंभीर दिख रहे हैं। वह जमीन को लेकर बातचीत कर रहे हैं। इतना ही नहीं राज्यसभा सांसद किरण चौधरी भी यहीं से आते हैं। ऐसे में दोनों मजबूत नेताओं की लॉबिंग काम आ सकती है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
