हिमाचल प्रदेश के मंडी जिला के जोगेंद्रनगर में आज सुबह एक कार ने पहले सड़क किनारे खड़े बाइक व दो लोगों टक्कर मारी और बाद में कार भी 50 फीट गहरी खाई में जा गिरी। इससे बाइक सवार 2 युवकों सहित कार में बैठे 3 लोगों को गंभीर चौटें आई है। घायलों का अस्पताल में उपचार चल रहा है। पुलिस ने मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है। सूचना के अनुसार, जोगेंद्रनगर के ढेलू मोड़ के पास सिमट निवासी संदीप और अमित कुमार अपनी बाइक के साथ सड़क किनारे खड़े थे। इस दौरान सामने से एक गाड़ी आई। अनियंत्रित गाड़ी ने पहले बाइक समेत दोनों युवकों को टक्कर मारी और कार भी खाई में जा लुढ़की। इसके बाद मौके पर मौजूद लोगों ने घायलों को सिविल अस्पताल जोगेंद्रनगर नगर पहुंचाया। जहां प्राथमिक उपचार देने के बाद टांडा मेडिकल कालेज रेफर किया गया है। दोनों बाइक सवारों के अलावा कार में बैठे गौरव, अंशुल और अविनाश को भी गंभीर चौटें आई हैं। डीएसपी पधर दिनेश कुमार ने बताया कि पुलिस ने मामला दर्ज कर दिया है। अभी हादसे के कारणों का पता नहीं चल पाया है। हिमाचल प्रदेश के मंडी जिला के जोगेंद्रनगर में आज सुबह एक कार ने पहले सड़क किनारे खड़े बाइक व दो लोगों टक्कर मारी और बाद में कार भी 50 फीट गहरी खाई में जा गिरी। इससे बाइक सवार 2 युवकों सहित कार में बैठे 3 लोगों को गंभीर चौटें आई है। घायलों का अस्पताल में उपचार चल रहा है। पुलिस ने मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है। सूचना के अनुसार, जोगेंद्रनगर के ढेलू मोड़ के पास सिमट निवासी संदीप और अमित कुमार अपनी बाइक के साथ सड़क किनारे खड़े थे। इस दौरान सामने से एक गाड़ी आई। अनियंत्रित गाड़ी ने पहले बाइक समेत दोनों युवकों को टक्कर मारी और कार भी खाई में जा लुढ़की। इसके बाद मौके पर मौजूद लोगों ने घायलों को सिविल अस्पताल जोगेंद्रनगर नगर पहुंचाया। जहां प्राथमिक उपचार देने के बाद टांडा मेडिकल कालेज रेफर किया गया है। दोनों बाइक सवारों के अलावा कार में बैठे गौरव, अंशुल और अविनाश को भी गंभीर चौटें आई हैं। डीएसपी पधर दिनेश कुमार ने बताया कि पुलिस ने मामला दर्ज कर दिया है। अभी हादसे के कारणों का पता नहीं चल पाया है। हिमाचल | दैनिक भास्कर
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शिमला में IGMC पहुंचे मरीज, नहीं थी हड़ताल की जानकारी:दिनभर डॉक्टरों की राह ताकते रहे, अंत में बिना इलाज लौटें, ऑपरेशन भी नहीं हुए
शिमला में IGMC पहुंचे मरीज, नहीं थी हड़ताल की जानकारी:दिनभर डॉक्टरों की राह ताकते रहे, अंत में बिना इलाज लौटें, ऑपरेशन भी नहीं हुए हिमाचल के सबसे बड़े हॉस्पिटल IGMC में डॉक्टरों की हड़ताल से स्वास्थ्य सेवाएं चरमरा गई है। यहां पर रोजाना OPD में 3000 से ज्यादा मरीज इलाज को पहुंचते हैं। मगर आज डॉक्टरों की हड़ताल की वजह से किसी को भी उपचार नहीं मिल पाया। IGMC में बड़ी संख्या में ऐसे मरीज पहुंचे, जिन्हें डॉक्टरों की हड़ताल की जानकारी नहीं थी। इसके दूर दराज के चंबा, सिरमौर, रामपुर इत्यादि क्षेत्रों से उपचार को पहुंचे मरीजों को मायूस होकर वापस लौटना पड़ा। डॉक्टरों की हड़ताल की नहीं थी जानकारी: मूरत रामपुर से IGMC पहुंचे मूरत सिंह ने कहा कि पेट दर्द व चलने में दिक्कत के चलते वह इलाज को आए थे। लेकिन उन्हें यहां आकर पता चला की डॉक्टर हड़ताल पर है। उन्होंने कहा कि दर्द ज्यादा होने की वजह से वह घर भी नहीं जा सकते। ऐसे में वह अस्पताल में ही बिस्तर लगाएंगे और डॉक्टरों का इंतजार करेंगे। मूरत सिंह अपने बेटा-बहू के साथ उपचार को पहुंचे थे। सिरमौर से मां के इलाज को आए, पर डॉक्टर नहीं बैठे: शुभमन सिरमौर के राजगढ़ के बखोग निवासी शुभमन ने कहा, वह अपनी मां को इलाज के लिए IGMC लाए थे। मां की टांगों फ्रैक्चर है और चलने -फिरने में दिक्कत है। शिमला में किराए का कमरा लेकर रह रहे हैं। डॉक्टरों के अचानक हड़ताल पर जाने से बड़ी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। अगर दाखिल नहीं हुए तो झेलनी पड़ेगी परेशानी: चमन लाल चंबा से आए चमन लाल ने कहा कि पिता काफी समय से बीमार है। उनका IGMC से उपचार चल रहा था। आज डॉक्टर ने उनके पिता को ऑपरेशन के लिए दाखिल करना था, उन्हें मालूम नहीं था कि डॉक्टर हड़ताल पर है। यदि आज पिता एडमिट नहीं हुए तो उन्हें परेशानी झेलनी पड़ेगी। ठीक ऐसी ही परेशानियां आईजीएमसी पहुंच रहे अनेकों मरीजों को झेलनी पड़ी। शिमला के ही कमला नेहरू अस्पताल में भी डॉक्टर ओपीडी में नहीं बैठे। इससे गर्भवती महिलाओं और गायनी रोग से जुड़ी महिलाओं को यहां भी परेशानियां झेलनी पड़ी। आपको बता दें कि देशभर के डॉक्टर कोलकाता में ट्रेनी डॉक्टर से रेप-मर्डर मामले में भड़के हुए है। इसके विरोध में देशभर में डॉक्टर हड़ताल पर है।
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खट्टर ने ऊर्जा मंत्री का कार्यभार संभाला:कहा- विकसित भारत के लिए लगातार काम करेंगे, नड्डा, गुर्जर और बिट्टू भी मंत्रालय पहुंचे मोदी कैबिनेट में विभागों के बंटवारे के बाद मंगलवार को मंत्रियों ने पदभार संभाला। हरियाणा के करनाल से सांसद व पूर्व CM मनोहर लाल खट्टर ने ऊर्जा मंत्री के रूप में अपना कार्यभार संभाला। इस दौरान उन्होंने कुर्सी पर बैठकर कागज पर साइन भी किए। पदभार संभालने की वीडियो उन्होंने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर शेयर की। वीडियो शेयर करने के साथ उन्होंने लिखा कि आज केंद्रीय ऊर्जा मंत्री के रूप में अपना कार्यभार ग्रहण किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के यशस्वी नेतृत्व में उर्जा मंत्रालय ‘विकसित भारत’ के लिए लगातार काम करेगा। भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने स्वास्थ्य मंत्रालय में पदभार ग्रहण किया। इससे पहले वे पार्टी ऑफिस गए और नेताओं से मुलाकात की। नड्डा 2014 से 2019 तक मोदी के पहले मंत्रिमंडल में भी स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री थे। कृष्ण पाल गुर्जर ने भी सहकारिता मंत्रालय में राज्य मंत्री के रूप में कार्यभार संभाला। वह पहले भी मोदी सरकार के दोनों टर्म में राज्यमंत्री रह चुके हैं। वहीं पंजाब से पूर्व सांसद रवनीत सिंह बिट्टू ने भी दिल्ली में रेल राज्य मंत्री का पदभार संभाला। इस दौरान उनके साथ उनका परिवार भी मौजूद रहा। बिट्टू ने कहा कि रेल को आगे बढ़ाने के लिए वह हर संभव प्रयास करेंगे। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से कंधे के साथ कंधा मिलाकर रेल सेवाओं को बेहतर बनाने का काम किया जाएगा। खट्टर के बिजली मंत्री बनने से प्रोजेक्टों में आएगी तेजी
मनोहर लाल के बिजली मंत्री बनने से हरियाणा में धीमे चल रहे बिजली प्रोजेक्ट तेज गति से पूरे हो सकेंगे। हरियाणा, दिल्ली और हिमाचल के साथ लगता राज्य है। हरियाणा में बिजली को लेकर काफी संभावनाएं हैं। यमुनानगर में दीनबंधु छोटू राम थर्मल पावर प्लांट में अब 800 मेगावाट की एक ओर इकाई स्थापित की जा रही है। 300 मेगावाट की 2 इकाइयां पहले से स्थापित हैं। इसके अलावा 600 मेगावाट की 2 इकाइयां हिसार व 250 की 2 और 210 मेगावाट की एक इकाई पानीपत में है। वहीं फतेहाबाद के गोरखपुर में भी परमाणु संयंत्र स्थापित है। बिट्टू के मंत्री बनने से ये काम हो सकते हैं पूरे
बिट्टू के राज्यमंत्री बनने पर अमृतसर से दिल्ली के बीच हाई स्पीड रेल परियोजना मुकम्मल हो सकती है। यह ट्रैक करीब 465 किलोमीटर लंबा है। इसमें पंजाब ही नहीं बल्कि हरियाणा भी जुड़ेगा। अभी इस परियोजना की शुरुआत हुई है। इसके पूरे होने से अमृतसर से दिल्ली तक सफर करने में समय की बचत होगी। चंडीगढ़-राजपुरा रेलवे मार्ग पूरे होने की उम्मीद
इसके अलावा चंडीगढ़ राजपुरा रेलवे मार्ग है, जो कि 2016 में मंजूर हुआ था, लेकिन अभी तक पूरा नहीं हुआ है। इस प्रोजेक्ट के पूरा होने से रोजगार के अवसर पैदा होंगे। इसके अलावा पंजाब में रेलवे पर आधारित इंडस्ट्री काफी है। लुधियाना, मोहाली व जालंधर में रेल से जुड़े कई पुर्जे तैयार होते हैं। ये खबर भी पढ़ें… हरियाणा-पंजाब,हिमाचल के मंत्रियों के विभागों का एनालिसिस: खट्टर से शहरी वोट साधे, बिट्टू से 70% किसानों पर पकड़; नड्डा से BJP की गुटबाजी खत्म प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 3.0 सरकार में मंत्रियों के विभागों का बंटवारा हो गया है। हरियाणा से 3 मंत्रियों मनोहर लाल खट्टर, राव इंद्रजीत सिंह और कृष्णपाल गुर्जर को कुल 6 विभाग मिले हैं। मनोहर लाल खट्टर हरियाणा में बड़ा गैर जाट चेहरा हैं। आवास एवं शहरी विकास मंत्रालय के जरिए भाजपा ने जहां अपने कोर शहरी वोट बैंक को साधा है। वहीं हरियाणा में शहरी क्षेत्र की जीटी रोड बेल्ट को साधने की कोशिश की है। (पूरी खबर पढ़ें)
शिमला के संजौली कॉलेज में हंगामा:SFI कार्यकर्ताओं और पुलिस बल में धक्का मुक्की, 6 छात्र नेताओं के निष्कासन का मामला
शिमला के संजौली कॉलेज में हंगामा:SFI कार्यकर्ताओं और पुलिस बल में धक्का मुक्की, 6 छात्र नेताओं के निष्कासन का मामला शिमला के सेंटर ऑफ एक्सीलेंस कॉलेज संजौली के छात्र संगठन SFI और कॉलेज प्रशासन के बीच तनाव बढ़ गया है। संजौली कॉलेज में छात्र नेताओं निष्कासन पर SFI भड़क गई है। मंगलवार को शिमला शहर के सभी कॉलेज जिसमें RKMV, कोटशेरा, इवनिंग से SFI कार्यकर्ता संजौली गेट के बाहर धरना दे रहे है। बीते 3 घंटों से कॉलेज में प्रदर्शन जारी है। सुबह 10 बजे शुरू हुआ प्रदर्शन SFI कार्यकर्ताओं ने आज सुबह 10 बजे से ही संजौली कॉलेज के बाहर नारेबाजी शुरू कर दी है। प्रदर्शन बीते तीन घंटों से जारी है। SFI 6 छात्र नेताओं के निष्कासन को वापस लेने की मांग कर रही है। सुबह से प्रदर्शन कर रहे छात्र संगठन कार्यकर्ताओं के बीच करीब 11 बजे हल्की नोकझोंक हुई। इस दौरान छात्रों ने कॉलेज के अंदर घुसने का प्रयास किया। जिसके लिए पुलिस को आक्रोशित छात्रों को रोकने के लिए हल्का बल प्रयोग करना पड़ा। SFI ने दिया कॉलेज प्रशासन को अल्टीमेटम SFI राज्य सचिव दिनित ने कहा कि उन्होंने कॉलेज प्रशासन को अल्टीमेटम दे दिया है कि छात्र संगठन प्रशासन से निष्कासन को लेकर वार्ता करना चाहता है। लेकिन प्रशासन यदि छात्र संगठन को वार्ता के लिए नहीं बुलाता तो छात्र जबरदस्ती गेट और बैरिकेड को पार कर अंदर घुसेंगे। उन्होंने कहा कि कॉलेज प्रशासन यदि अपना अड़ियल रवैया नहीं बदलता तो यह आंदोलन पूरे प्रदेश भर में किया जाएगा और सचिवालय तक का घेराव करेंगे। उन्होंने कहा कि उन्हें सूचना मिली है कि शिमला के SDM कॉलेज आ रहे है। दिनित ने कहा कि छात्र वार्ता के लिए तैयार है। लेकिन कॉलेज प्रशासन यदि वार्ता नहीं करता तो प्रशासन के खिलाफ पूरे प्रदेश में आंदोलन खड़ा करेगी। प्रिंसिपल बोले- निष्कासन नहीं होगा वापस कॉलेज प्रिंसिपल भारती भांगड़ा ने कहा कि कॉलेज प्रशासन ने छात्रों को कई बार शो कॉज नोटिस जारी किए है। लेकिन छात्र बाज नहीं आए, शिक्षकों के साथ गलत व्यवहार और धमकियां दें रहे है। जिसके बाद प्रशासन ने पूरे स्टाप और वूमेन सेल की सिफारिश पर 6 छात्रों को निष्कासित किया है। उन्होंने कहा कि छात्रों को कई बार नोटिस दिए गए, लेकिन यह छात्र नही गुंडे है, इनका निष्कासन वापस नहीं होगा। कॉलेज परिसर पुलिस छावनी में तब्दील कॉलेज में कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए कॉलेज में भारी पुलिस बल तैनात कर दिया है। गेट से लेकर पूरे परिसर में पुलिस व क्यू आरटी के जवान तैनात किए गए है। कॉलेज परिसर में चप्पे पर पुलिस जवान है। पुलिस जवान बच्चों को आई कार्ड चेक करने के बाद ही कॉलेज में एंट्री दे रहे है। कहां से शुरू हुआ विवाद..? बता दें कि वीरवार को कॉलेज की एक छात्रा ने कॉलेज के ही एक छात्र के खिलाफ़ छेड़छाड़ की शिकायत दी थी। जिसको लेकर एसएफआई कॉलेज प्रशासन से वूमेन सेल कमेटी गठित करके मामले की जांच की मांग की थी। दूसरे दिन शुक्रवार को एसएफआई कॉलेज प्रशासन से फिर मिलती है, और मामले में प्रशासन ने क्या कार्रवाई की उसके बारे में जानकारी लेती है। कॉलेज प्रशासन की कार्रवाई से ही असन्तुष्ट होकर छात्र संगठन परिसर में धरने का आवाहन कर देती है। जिसको कॉलेज प्रशासन रोकने का प्रयास किया, जिसके बाद प्रोफेसरों व छात्र कार्यकर्ताओं के बीच बहस हो गई और बात निष्कासन तक पहुंच गई। बाद में कॉलेज प्रशासन 6 एसएफआई कार्यकर्ताओं को निष्कासित कर दिया और गतिरोध बढ़ गया।