हिमाचल सरकार ने देर शाम 9 IAS और IFS अधिकारियों के तबादला आदेश जारी किए है। साल 2009 बैच की IAS एवं डायरेक्टर टूरिज्म एंड सिविल एविएशन मानसी सहाय लेबर कमिश्नर कम डायरेक्ट रोजगार लगाया है। साल 2010 बैच के IAS कमिश्नर स्टेट टैक्स एंड एक्साइज यूनुस को डायरेक्टर उद्योग लगाया है। वह कमिश्नर कमिश्नर स्टेट टैक्स एंड एक्साइज का अतिरिक्त कार्यभार देखते रहेंगे। IAS एवं सीएम के प्रिंसिपल प्राइवेट सेक्रेटरी कम स्पेशल सेक्रेटरी विवेक भाटिया को डायरेक्टर टूरिज्म एंड सिविल एविएशन का अतिरिक्त कार्यभार दिया गया है। विवेक भाटिया डायरेक्टर स्पोर्टस का भी अतिरिक्त कार्यभार देखते रहेंगे। गोपाल चंद स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट देखेंगे डायरेक्टर शहरी विकास विभाग गोपाल चंद को CEO कम प्रबंध निदेशक स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट शिमला लगाया गया है। डायरेक्टर उद्योग राकेश कुमार प्रजापति को डायरेक्टर ऊर्जा का जिम्मा दिया गया। हरिकेश मीणा को MD पावर कॉर्पोरेशन लगाया ऊर्जा निदेशक हरिकेश मीणा को प्रबंध निदेशक पावर कॉर्पोरेशन लगाया गया है। डायरेक्टर महिला एवं बाल विकास विभाग रूपाली ठाकुर को डायरेक्टर HP इंस्टीट्यूट ऑफ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन फेयरलॉन शिमला लगाया गया। IFS नीजर को डायरेक्ट अर्बन डेवलपमेंट लगाया लीव से लौटी निवेदिता नेगी को सेक्रेटरी पब्लिक सर्विस कमिशन लगाया है। वहीं IFS अधिकारी कंजरवेटर ऑफ फॉरेस्ट रामपुर नीरज कुमार को डायरेक्टर अर्बन डेवलपमेंट लगाया है। हिमाचल सरकार ने देर शाम 9 IAS और IFS अधिकारियों के तबादला आदेश जारी किए है। साल 2009 बैच की IAS एवं डायरेक्टर टूरिज्म एंड सिविल एविएशन मानसी सहाय लेबर कमिश्नर कम डायरेक्ट रोजगार लगाया है। साल 2010 बैच के IAS कमिश्नर स्टेट टैक्स एंड एक्साइज यूनुस को डायरेक्टर उद्योग लगाया है। वह कमिश्नर कमिश्नर स्टेट टैक्स एंड एक्साइज का अतिरिक्त कार्यभार देखते रहेंगे। IAS एवं सीएम के प्रिंसिपल प्राइवेट सेक्रेटरी कम स्पेशल सेक्रेटरी विवेक भाटिया को डायरेक्टर टूरिज्म एंड सिविल एविएशन का अतिरिक्त कार्यभार दिया गया है। विवेक भाटिया डायरेक्टर स्पोर्टस का भी अतिरिक्त कार्यभार देखते रहेंगे। गोपाल चंद स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट देखेंगे डायरेक्टर शहरी विकास विभाग गोपाल चंद को CEO कम प्रबंध निदेशक स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट शिमला लगाया गया है। डायरेक्टर उद्योग राकेश कुमार प्रजापति को डायरेक्टर ऊर्जा का जिम्मा दिया गया। हरिकेश मीणा को MD पावर कॉर्पोरेशन लगाया ऊर्जा निदेशक हरिकेश मीणा को प्रबंध निदेशक पावर कॉर्पोरेशन लगाया गया है। डायरेक्टर महिला एवं बाल विकास विभाग रूपाली ठाकुर को डायरेक्टर HP इंस्टीट्यूट ऑफ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन फेयरलॉन शिमला लगाया गया। IFS नीजर को डायरेक्ट अर्बन डेवलपमेंट लगाया लीव से लौटी निवेदिता नेगी को सेक्रेटरी पब्लिक सर्विस कमिशन लगाया है। वहीं IFS अधिकारी कंजरवेटर ऑफ फॉरेस्ट रामपुर नीरज कुमार को डायरेक्टर अर्बन डेवलपमेंट लगाया है। हिमाचल | दैनिक भास्कर
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हिमाचल हाईकोर्ट पहुंचा संजौली मस्जिद मामला:लोकल रेजिडेंट ने दायर की याचिका; नगर-निगम कोर्ट में समयबद्ध निपटाने की अपील, सोमवार को सुनवाई
हिमाचल हाईकोर्ट पहुंचा संजौली मस्जिद मामला:लोकल रेजिडेंट ने दायर की याचिका; नगर-निगम कोर्ट में समयबद्ध निपटाने की अपील, सोमवार को सुनवाई शिमला के संजौली स्थित मस्जिद में अवैध निर्माण मामले में लोकल रेजिडेंट की ओर से शनिवार को हिमाचल हाईकोर्ट में एक याचिका दायर की गई। स्थानीय लोगों ने नगर निगम (MC) आयुक्त को इस केस के जल्द निपटारे के लिए आदेश देने का आग्रह किया गया। लोकल रेजिडेंट के एडवोकेट जगपाल ने बताया कि स्थानीय लोगों ने याचिका कोर्ट ने दायर की है। इस पर सोमवार को सुनवाई होनी है। न्यायाधीश संदीप शर्मा सोमवार को इस मामले पर प्रारंभिक सुनवाई करेंगे। MC कोर्ट में 21 दिसंबर को होनी है सुनवाई वहीं शिमला नगर निगम (MC) कमिश्नर कोर्ट में यह मामला आगामी 21 दिसंबर को सुना जाएगा। इससे पहले बीते 5 अक्टूबर को MC आयुक्त ने संजौली मस्जिद की अवैध 3 मंजिल गिराने के आदेश जारी किए। अब मस्जिद की निचली 2 मंजिल को लेकर सुनवाई होनी है। मस्जिद गिराने को धन जुटा रहे मुस्लिम कारोबारी: लतीफ MC आयुक्त कोर्ट के ऊपर की 3 मंजिल अपने खर्चें पर तोड़ने के आदेशों दे रखे है। इसके बाद संजौली मस्जिद कमेटी ने वक्फ बोर्ड को पत्र लिखकर अवैध हिस्से को गिराने की अनुमति मांगी है। क्योंकि यह प्रॉपर्टी वक्फ बोर्ड की है। संजौली मस्जिद कमेटी के अध्यक्ष मोहम्मद लतीफ ने बताया कि मालिकाना हक की वजह से वक्फ बोर्ड की इसे तोड़ने की परमिशन मांगी गई है। मस्जिद कमेटी को ही मस्जिद के अवैध बताए जा रहे हिस्से को अपने खर्च पर हटाना है। इसके लिए लोकल मुस्लिम कारोबारी से धन जुटा रहे हैं। मस्जिद कमेटी ने शांत किया मामला बता दें कि इसी मस्जिद के अवैध निर्माण की वजह से पूरे प्रदेश में बीते दिनों मामला गरमाया रहा। प्रदेशभर में मस्जिदों के अवैध निर्माण तोड़ने की मांग उठी। हालांकि शिमला में संजौली मस्जिद कमेटी और वक्फ बोर्ड ने खुद अवैध निर्माण तोड़ने की निगम आयुक्त से पेशकश करके इस मामले को शांत किया। इसके बाद मामला शांत हुआ। मगर लोकल रेजिडेंट 14 साल से निगम कोर्ट में चल रहे इस केस के जल्द निपटारे का आग्रह कर रहे हैं। शिमला नगर निगम कोर्ट में साल 2010 से यह केस चल रहा है। इस मामले में 46 बार सुनवाई हो चुकी है और नगर निगम शिमला ने 35 बार अवैध निर्माण रोकने व तोड़ने के नोटिस जारी किए है।
सुप्रीम कोर्ट ने हिमाचल हाईकोर्ट कॉलेजियम का फैसला किया रद्द:2 जिला जलों की प्रमोशन का मामला; शीर्ष अदालत ने पहली बार ऐसा फैसला दिया
सुप्रीम कोर्ट ने हिमाचल हाईकोर्ट कॉलेजियम का फैसला किया रद्द:2 जिला जलों की प्रमोशन का मामला; शीर्ष अदालत ने पहली बार ऐसा फैसला दिया सुप्रीम कोर्ट (SC) ने हिमाचल प्रदेश कॉलेजियम के उस फैसले को रद्द कर दिया, जिसमें पदोन्नति के लिए 2 वरिष्ठ जिला जजों की दावेदारी को नजरअंदाज किया था। SC ने 32 सीनियर जिला जजों की याचिका को स्वीकार करते हुए इस साल की शुरुआत में हुई कॉलेजियम की चयन प्रक्रिया को रद्द कर दिया। बता दें कि हिमाचल के बिलासपुर के डिस्ट्रिक्ट जज चिराग भानु सिंह और सोलन के जिला जज अरविंद मल्होत्रा बीते मई माह में सुप्रीम कोर्ट पहुंचे थे। उन्होंने कॉलेजियम के फैसले को चुनौती दी थी। इनकी याचिका की सुनवाई करते हुए जस्टिस ऋषिकेष रॉय और प्रशांत कुमार मिश्रा की बैंच ने कहा, परामर्श के अभाव में कॉलेजियम का निर्णय इसलिए प्रभावित हुआ, क्योंकि हिमाचल हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस ने निजी तौर पर 2 जिला जजों के नामों पर पुनर्विचार नहीं करने का निर्णय लिया था। कोर्ट ने कहा, ऐसा लग रहा है यह अकेले मुख्य न्यायाधीश का निर्णय है। कॉलेजियम को सामूहिक रूप से विचार विमर्श करना होगा। बताया जा रहा है कि कॉलेजियम के फैसले में SC के हस्तक्षेप का पहला उदाहरण है। इस तरह के मामलों को आमतौर पर अदालत द्वारा प्रशासनिक रूप से निपटाया जाता है। जिला जजों के नाम पर पुनर्विचार करने को कहा कॉलेजियम के फैसलों के खिलाफ याचिकाओं पर विचार करते समय व्यावहारिक दृष्टिकोण अपनाया जाता है। डबल बैंच ने फैसला सुनाते हुए कहा कि हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस को कॉलेजियममें अन्य जजों से सलाह लेनी चाहिए थी। कोर्ट ने निर्देश दिया कि हाईकोर्ट कॉलेजियम को अब निर्धारित मानदंडों के अनुसार 2 जिला जजों के नामों पर पुनर्विचार करना चाहिए। यह प्रक्रिया मेमोरेंडम ऑफ प्रोसीजर के तहत होनी चाहिए, जो संवैधानिक अदालतों में जजों की नियुक्ति का मार्गदर्शन करती है। इसलिए सुप्रीम कोर्ट पहुंचे 2 जिला जज बता दें कि हिमाचल के बिलासपुर के डिस्ट्रिक्ट जज चिराग भानु सिंह और सोलन के जिला जज अरविंद मल्होत्रा बीते मई माह में सुप्रीम कोर्ट पहुंचे थे। उन्होंने कॉलेजियमके फैसले को चुनौती देते हुए कहा था, कि हिमाचल हाईकोर्ट कॉलेजियम ने उनकी मेरिट और सीनियारिटी दोनों को नजरअंदाज किया। हाईकोर्ट के जजों की नियुक्ति को लेकर सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की स्पेसिफिक रेकमेंडेशन को भी मानने से इनकार कर दिया। क्या बोले जिला जजों के एडवोकेट जिला जजों की तरफ से सीनियर एडवोकेट अरविंद दातार ने तर्क दिया कि जूनियर न्यायिक अधिकारियों की सिफारिश इन-सर्विस कोटा के तहत हाईकोर्ट के जज के पद के लिए की गई। इस क्रम में याचिकाकर्ताओं की अनदेखी की गई, जो अधिक सीनियर थे। हिमाचल प्रदेश हाई कोर्ट कॉलेजियम ने सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की सलाह और बाद में केंद्रीय कानून मंत्री द्वारा सिंह और मल्होत्रा के नामों पर पुनर्विचार करने के अनुरोध पर भी ध्यान नहीं दिया।
हिमाचल में अवैध मस्जिद का काटा बिजली-पानी:30 दिन में गिरानी होगी मस्जिद, धर्मशाला में आज व्यापारियों का प्रदर्शन
हिमाचल में अवैध मस्जिद का काटा बिजली-पानी:30 दिन में गिरानी होगी मस्जिद, धर्मशाला में आज व्यापारियों का प्रदर्शन हिमाचल प्रदेश की छोटी काशी मंडी में अवैध मस्जिद का बिजली-पानी काटने के आदेश दे दिए गए है। नगर निगम (MC) मंडी के कहने पर बिजली बोर्ड और जल शक्ति विभाग ने अवैध ढंग से बनी मस्जिद में बिजली और पानी के कनेक्शन काट दिए हैं। वहीं प्रदेश में मस्जिद विवाद में आज धर्मशाला का कोतवाली बाजार व्यापारियों ने सुबह 9 से 12 बजे तक बंद रखने का निर्णय लिया। कोतवाली बाजार में व्यापारी और हिंदू संगठन मस्जिद के विरोध में प्रदर्शन करेंगे। MC आयुक्त एचएस राणा ने बताया कि अवैध घोषित संपत्ति से बिजली और पानी काटने का प्रावधान पहले से ही एक्ट में है। अब इसे काटने के लिए संबंधित विभागों को बोल दिया गया है। 30 दिन में मस्जिद तोड़ने के आदेश मंडी मस्जिद की बात करें, तो MC आयुक्त ने बीते शनिवार को ही मस्जिद के अवैध निर्माण को 30 दिन के भीतर गिराने के आदेश दिए थे। इसे तोड़ने का काम उसी दिन शुरू कर दिया है। MC आयुक्त एचएस राणा ने 3 मंजिला मस्जिद में सरकारी जमीन पर अतिक्रमण करके बनाई गई 2 मंजिल को गिराने को कहा है। 186 वर्ग मीटर पर कब्जा करके बनाई मस्जिद मुस्लिम समुदाय ने मंडी के जेल रोड पर बिना परमिशन के 3 मंजिला मस्जिद बनाई है। आजादी से पहले यहां पुरानी मस्जिद एक मंजिल की थी, जो कि लगभग 45 वर्ग मीटर पर बनी थी। मगर बीते कुछ सालों के दौरान मुस्लिम समुदाय ने यहां 186 वर्ग मीटर सरकारी भूमि पर अतिक्रमण किया और 231 वर्ग मीटर जमीन पर मस्जिद बना दी। हिंदू संगठनों ने किया उग्र प्रदर्शन मंडी मस्जिद को गिराने की मांग को लेकर मंडी शहर में बीते शनिवार को हिंदू संगठन और स्थानीय लोगों ने उग्र प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को वाटर कैनन का इस्तेमाल करना पड़ा था। इस दौरान पुलिस और प्रदर्शनकारियों में धक्का मुक्की भी हुई। हिमाचल में मस्जिद विवाद कैसे उपजा, सिलसिलेवार पढ़िए.. हिमाचल की राजधानी शिमला के मैहली में बीते 31 अगस्त को दो गुटों के बीच लड़ाई हुई। इसके आरोपी संजौली मस्जिद में छिप गए। पुलिस ने 6 आरोपियों को गिरफ्तार किया। 1 सितंबर को हिंदू संगठनों और स्थानीय लोगों में संजौली मस्जिद के बाहर प्रदर्शन किया। 5 सितंबर को संजौली और चौड़ा मैदान में फिर प्रदर्शन कर अवैध मस्जिद गिराने की मांग उठी। इसी दिन कसुम्पटी में भी अवैध मस्जिद को तोड़ने की मांग को लेकर स्थानीय लोगों ने प्रदर्शन किया। 11 सितंबर को संजौली-ढली में उग्र प्रदर्शन हुआ। पुलिस को हल्का बल प्रयोग और वाटर कैनन का इस्तेमाल करना पड़ा। इसके बाद प्रदेशभर में व्यापारियों ने दुकानें बंद रखकर और हिंदू संगठनों ने अलग अलग शहरों में रोष रैली निकाल कर अवैध मस्जिद को तोड़ने और बाहर से आने वाले लोगों की वैरिफिकेशन की मांग की। मुस्लिम समुदाय ने नारे पर जताई आपत्ति उधर, सिरमौर के पांवटा साहिब में मुस्लिम समुदाय ने कुछ दिन पहले हिंदू जागरण मंच द्वारा मस्जिद के बाहर की गई नारेबाजी पर आपत्ति जताते हुए SDM को ज्ञापन सौंपा और इस मामले में संज्ञान लेने की मांग की। कांग्रेस हाईकमान से मिलने दिल्ली पहुंचा प्रतिनिधिमंडल हिमाचल का मस्जिद विवाद की गूंज कांग्रेस हाईकमान के दफ्तर तक पहुंच चुकी है। गुरुवार को मुस्लिम समुदाय का एक प्रतिनिधिमंडल कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल और कांग्रेस अल्पसंख्यक मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष इमरान प्रतापगढ़ी से दिल्ली में मिला और हिमाचल में मस्जिद विवाद से अवगत कराया। सांप्रदायिकता के खिलाफ 27 को रैली निकालेगी माकपा वहीं माकपा और इसके फ्रंटल संगठनों ने 27 सितंबर को शिमला शहर में विशाल रैली करने का निर्णय लिया। कहा जा रहा है कि यह रैली अमन चैन और आपसी भाईचारा स्थापित करने को निकाली जाएगी। माकपा का आरोप है कि सुनियोजित तरीके से सांप्रदायिक घटनाओं, एक समुदाय विशेष के खिलाफ सांप्रदायिक हिंसा का वातावरण तैयार किया जा रहा है। इसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।