हरियाणा का अपना पहला एयरपोर्ट उत्तर प्रदेश के जेवर एयरपोर्ट से पहले शुरू हो सकता है। दोनों ही राज्य अपने-अपने एयरपोर्ट को लेकर सक्रिय हैं। हरियाणा सरकार चाहती है कि यूपी के जेवर एयरपोर्ट से पहले हरियाणा का एयरपोर्ट शुरू हो सके। यूपी के जेवर एयरपोर्ट से 17 अप्रैल से फ्लाइट शुरू करने की योजना है। अब इसी को लेकर हरियाणा सरकार के एविएशन मंत्रालय ने मॉनिटरिंग तेज कर दी है। सूत्रों के मुताबिक, डायरेक्टोरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन (DGCA) ने हरियाणा के इकलौते हिसार एयरपोर्ट की एक्शन टेकन रिपोर्ट (ATR) एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (AAI) में जमा करवा दी है। 27 फरवरी को इस रिपोर्ट को जमा करवाया गया है। इसके साथ ही लाइसेंस प्रक्रिया के लिए हरियाणा सरकार लगातार AAI के संपर्क में बनी हुई है। सब कुछ ठीक रहा तो इसी सप्ताह हिसार एयरपोर्ट को लाईसेंस मिल सकता है। इसके बाद हरियाणा सरकार अप्रैल के पहले या दूसरे सप्ताह में ही फ्लाइट शुरू कर सकती है। जेवर से 7, हिसार से 5 जगहों के लिए शुरू होगी उड़ान
एयरपोर्ट सूत्रों के मुताबिक, जेवर एयरपोर्ट से पहले हिसार एयरपोर्ट को लाइसेंस मिल सकता है। जेवर एयरपोर्ट से 7 जगहों के लिए उड़ान शुरू होंगी। वहीं, हिसार एयरपोर्ट से 5 जगहों के लिए उड़ान शुरू करने की योजना है। जेवर से लखनऊ, अहमदाबाद, वाराणसी, चेन्नई, जयपुर, हैदराबाद और मुंबई जैसे शहरों के लिए हवाई सेवा शुरू होगी। वहीं, हिसार एयरपोर्ट से अयोध्या, जम्मू, जयपुर, दिल्ली और अहमदाबाद के लिए उड़ानें जाएंगी। जेवर एयरपोर्ट पर जहां DGCA की टीम दौरा करेगी, वहीं हिसार में टीम दौरा कर रिपोर्ट सब्मिट कर चुकी है। हिसार एयरपोर्ट का समर शेड्यूल बन रहा
DGCA की ओर से लाइसेंस मिलने के बीच हिसार एयरपोर्ट के हवाई संचालन के लिए समर शेड्यूल तैयार किया जा रहा है। यह शेड्यूल 31 मार्च तक बनकर तैयार हो जाएगा। एक अप्रैल से 30 सितंबर तक शेड्यूल लागू होगा। हिसार से शुरुआत में सप्ताह में एक बार फ्लाइट शुरू की जाएगी। इसके बाद ट्रैफिक को देखते हुए आगामी फैसला लिया जाएगा। हरियाणा सरकार का फ्लाइट उड़ाने के लिए भारत सरकार की एविएशन एयरलायंस के साथ समझौता हो चुका है। लाइसेंस मिलने के बाद समझौते के कारण एविएशन एयरलायंस यहां से ऑपरेशन शुरू करेगी। हिसार एयरपोर्ट के लिए 2 एमओयू साइन होंगे
हिसार एयरपोर्ट पर DGCA की ओर से 42 आपत्तियां लगाई गई थीं, जिसे दूर कर लिया गया है। अभी 8 ऐसे पॉइंट्स हैं, जिन्हें दूर करना बाकी है। इसमें 2 मेजर आपत्तियां एमओयू को लेकर हैं। पहला एमओयू फायर सेफ्टी को लेकर होगा। इसमें इमरजेंसी होने पर स्थानीय फायर बिग्रेड स्टेशन से गाड़ियां पहुंचेगी। अभी एयरपोर्ट के पास 2 फायर सेफ्टी व्हीकल हैं, मगर यह नाकाफी है। हिसार एयरपोर्ट से कुछ ही दूरी पर हिसार में फायर स्टेशन मौजूद है। दूसरा सीएमओ के साथ एमओयू। हिसार में सीएमओ के साथ एयरपोर्ट अथॉरिटी एमओयू साइन करेगी। इससे इमरजेंसी में हिसार से इमरजेंसी सेवाएं मुहैया करवाई जाएंगी। एयरपोर्ट को केंद्र सरकार ही संभालेगी
हिसार में बन रहे हरियाणा के पहले एयरपोर्ट को केंद्र सरकार ही संभालेगी। इसे एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (AAI) चलाएगी। इसके लिए एयरपोर्ट को AAI को हैंडओवर कर दिया गया है। इसका सबसे बड़ा असर ये पड़ेगा कि एयरपोर्ट के इन्फ्रास्ट्रक्चर, ऑपरेशन और मेंटिनेंस से लेकर नौकरी पर नियुक्ति भी केंद्र ही करेगा। हरियाणा सरकार के पास सिर्फ इस जमीन का मालिकाना हक रहेगा। इससे पहले एयरपोर्ट में डेवलपमेंट का सारा काम हरियाणा सरकार से ही कराया गया। इसकी सुरक्षा का जिम्मा भी केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (CISF) के पास रहेगा। अभी हरियाणा पुलिस की थर्ड बटालियन के 300 जवान इसकी सुरक्षा में तैनात हैं। जिन्हें बाद में गेट के बाहर तैनात किया जा सकता है। हरियाणा का अपना पहला एयरपोर्ट उत्तर प्रदेश के जेवर एयरपोर्ट से पहले शुरू हो सकता है। दोनों ही राज्य अपने-अपने एयरपोर्ट को लेकर सक्रिय हैं। हरियाणा सरकार चाहती है कि यूपी के जेवर एयरपोर्ट से पहले हरियाणा का एयरपोर्ट शुरू हो सके। यूपी के जेवर एयरपोर्ट से 17 अप्रैल से फ्लाइट शुरू करने की योजना है। अब इसी को लेकर हरियाणा सरकार के एविएशन मंत्रालय ने मॉनिटरिंग तेज कर दी है। सूत्रों के मुताबिक, डायरेक्टोरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन (DGCA) ने हरियाणा के इकलौते हिसार एयरपोर्ट की एक्शन टेकन रिपोर्ट (ATR) एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (AAI) में जमा करवा दी है। 27 फरवरी को इस रिपोर्ट को जमा करवाया गया है। इसके साथ ही लाइसेंस प्रक्रिया के लिए हरियाणा सरकार लगातार AAI के संपर्क में बनी हुई है। सब कुछ ठीक रहा तो इसी सप्ताह हिसार एयरपोर्ट को लाईसेंस मिल सकता है। इसके बाद हरियाणा सरकार अप्रैल के पहले या दूसरे सप्ताह में ही फ्लाइट शुरू कर सकती है। जेवर से 7, हिसार से 5 जगहों के लिए शुरू होगी उड़ान
एयरपोर्ट सूत्रों के मुताबिक, जेवर एयरपोर्ट से पहले हिसार एयरपोर्ट को लाइसेंस मिल सकता है। जेवर एयरपोर्ट से 7 जगहों के लिए उड़ान शुरू होंगी। वहीं, हिसार एयरपोर्ट से 5 जगहों के लिए उड़ान शुरू करने की योजना है। जेवर से लखनऊ, अहमदाबाद, वाराणसी, चेन्नई, जयपुर, हैदराबाद और मुंबई जैसे शहरों के लिए हवाई सेवा शुरू होगी। वहीं, हिसार एयरपोर्ट से अयोध्या, जम्मू, जयपुर, दिल्ली और अहमदाबाद के लिए उड़ानें जाएंगी। जेवर एयरपोर्ट पर जहां DGCA की टीम दौरा करेगी, वहीं हिसार में टीम दौरा कर रिपोर्ट सब्मिट कर चुकी है। हिसार एयरपोर्ट का समर शेड्यूल बन रहा
DGCA की ओर से लाइसेंस मिलने के बीच हिसार एयरपोर्ट के हवाई संचालन के लिए समर शेड्यूल तैयार किया जा रहा है। यह शेड्यूल 31 मार्च तक बनकर तैयार हो जाएगा। एक अप्रैल से 30 सितंबर तक शेड्यूल लागू होगा। हिसार से शुरुआत में सप्ताह में एक बार फ्लाइट शुरू की जाएगी। इसके बाद ट्रैफिक को देखते हुए आगामी फैसला लिया जाएगा। हरियाणा सरकार का फ्लाइट उड़ाने के लिए भारत सरकार की एविएशन एयरलायंस के साथ समझौता हो चुका है। लाइसेंस मिलने के बाद समझौते के कारण एविएशन एयरलायंस यहां से ऑपरेशन शुरू करेगी। हिसार एयरपोर्ट के लिए 2 एमओयू साइन होंगे
हिसार एयरपोर्ट पर DGCA की ओर से 42 आपत्तियां लगाई गई थीं, जिसे दूर कर लिया गया है। अभी 8 ऐसे पॉइंट्स हैं, जिन्हें दूर करना बाकी है। इसमें 2 मेजर आपत्तियां एमओयू को लेकर हैं। पहला एमओयू फायर सेफ्टी को लेकर होगा। इसमें इमरजेंसी होने पर स्थानीय फायर बिग्रेड स्टेशन से गाड़ियां पहुंचेगी। अभी एयरपोर्ट के पास 2 फायर सेफ्टी व्हीकल हैं, मगर यह नाकाफी है। हिसार एयरपोर्ट से कुछ ही दूरी पर हिसार में फायर स्टेशन मौजूद है। दूसरा सीएमओ के साथ एमओयू। हिसार में सीएमओ के साथ एयरपोर्ट अथॉरिटी एमओयू साइन करेगी। इससे इमरजेंसी में हिसार से इमरजेंसी सेवाएं मुहैया करवाई जाएंगी। एयरपोर्ट को केंद्र सरकार ही संभालेगी
हिसार में बन रहे हरियाणा के पहले एयरपोर्ट को केंद्र सरकार ही संभालेगी। इसे एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (AAI) चलाएगी। इसके लिए एयरपोर्ट को AAI को हैंडओवर कर दिया गया है। इसका सबसे बड़ा असर ये पड़ेगा कि एयरपोर्ट के इन्फ्रास्ट्रक्चर, ऑपरेशन और मेंटिनेंस से लेकर नौकरी पर नियुक्ति भी केंद्र ही करेगा। हरियाणा सरकार के पास सिर्फ इस जमीन का मालिकाना हक रहेगा। इससे पहले एयरपोर्ट में डेवलपमेंट का सारा काम हरियाणा सरकार से ही कराया गया। इसकी सुरक्षा का जिम्मा भी केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (CISF) के पास रहेगा। अभी हरियाणा पुलिस की थर्ड बटालियन के 300 जवान इसकी सुरक्षा में तैनात हैं। जिन्हें बाद में गेट के बाहर तैनात किया जा सकता है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
