करनाल के मेरठ रोड पर एक कैंटर का संतुलन बिगड़ गया और वह सड़क किनारे दीवार से जा टकराया। इस हादसे में कैंटर के ड्राइवर और क्लीनर की मौत हो गई। हादसे की वजह ट्रैक्टर के पीछे बंधी दो ट्रॉलियां बताई जा रही हैं। हादसा इतना भयानक था कि ड्राइवर और क्लीनर केबिन में बुरी तरह फंस गए और उनकी मौके पर ही मौत हो गई। घटना की सूचना मिलने के बाद पुलिस मौके पर पहुंची और हादसे के करीब 2 घंटे बाद हाइड्रा की मदद से केबिन को खोला गया और दोनों को बाहर निकाला गया। पुलिस ने दोनों शवों को कब्जे में लेकर करनाल के मोर्चरी हाउस में भिजवा दिया है। मृतकों की पहचान नहीं हो पाई है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। दो घंटे तक नहीं आई हाइड्रा प्रत्यक्षदर्शियों राजबीर, सोनू व अशोक ने बताया कि केंटर के अंदर बोरियां लदी हुई थी। मेरठ रोड पर ट्रालियों की वजह से केंटर दीवार से जा टकराया। हादसे में ड्राइवर ने मौके पर दम तोड़ दिया और क्लीनर उसी में फंस गया। हादसा करीब रात साढ़े 10 बजे हुआ लेकिन साढ़े 12 बजे तक भी हाइड्रा मौके पर नहीं पहुंची। हाइड्रा मशीन अगर मौके पर पहुंच जाती तो घायल क्लीनर को बाहर निकाला जा सकता था और उसको बचाया जा सकता था। वहीं पुलिस से बात की गई तो उन्होंने बताया कि हाइड्रा जाम में फंसी हुई है, उसकी वजह से हाइड्रा लगाई हुई थी। डबल ट्राली लगाकर चला रहा था ट्रैक्टर प्रत्यक्षदर्शियों में गुस्सा देखने को मिला। उन्होंने बताया कि ट्रैक्टर डबल ट्राली लेकर चल रहा था उसकी वजह से हादसा हो गया। लोगों ने कहा कि ऐसे ट्रैक्टर च के खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए जो लापरवाही बरतते है। पुलिस नाको पर डबल ट्राली वाले ट्रैक्टर चालक आसानी से निकल जाते है जबकि अन्य वाहनों के कागजात न होने पर चालान काट दिया जाता है। शिनाख्त में जुटी पुलिस हादसे के सूचना के बाद डायल-112 के इंचार्ज ने बताया कि हादसे की जानकारी मिली थी। जिसमें दो लोगों की मौत हुई है। अभी दोनों की पहचान नहीं हुई है। शिनाख्त के लिए मोर्चरी हाउस में शव रखवा दिया है। पहचान के बाद शवों का पोस्टमॉर्टम होगा और परिजनों को सौंपा जाएगा। शिकायत के आधार पर नियमानुसार कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। करनाल के मेरठ रोड पर एक कैंटर का संतुलन बिगड़ गया और वह सड़क किनारे दीवार से जा टकराया। इस हादसे में कैंटर के ड्राइवर और क्लीनर की मौत हो गई। हादसे की वजह ट्रैक्टर के पीछे बंधी दो ट्रॉलियां बताई जा रही हैं। हादसा इतना भयानक था कि ड्राइवर और क्लीनर केबिन में बुरी तरह फंस गए और उनकी मौके पर ही मौत हो गई। घटना की सूचना मिलने के बाद पुलिस मौके पर पहुंची और हादसे के करीब 2 घंटे बाद हाइड्रा की मदद से केबिन को खोला गया और दोनों को बाहर निकाला गया। पुलिस ने दोनों शवों को कब्जे में लेकर करनाल के मोर्चरी हाउस में भिजवा दिया है। मृतकों की पहचान नहीं हो पाई है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। दो घंटे तक नहीं आई हाइड्रा प्रत्यक्षदर्शियों राजबीर, सोनू व अशोक ने बताया कि केंटर के अंदर बोरियां लदी हुई थी। मेरठ रोड पर ट्रालियों की वजह से केंटर दीवार से जा टकराया। हादसे में ड्राइवर ने मौके पर दम तोड़ दिया और क्लीनर उसी में फंस गया। हादसा करीब रात साढ़े 10 बजे हुआ लेकिन साढ़े 12 बजे तक भी हाइड्रा मौके पर नहीं पहुंची। हाइड्रा मशीन अगर मौके पर पहुंच जाती तो घायल क्लीनर को बाहर निकाला जा सकता था और उसको बचाया जा सकता था। वहीं पुलिस से बात की गई तो उन्होंने बताया कि हाइड्रा जाम में फंसी हुई है, उसकी वजह से हाइड्रा लगाई हुई थी। डबल ट्राली लगाकर चला रहा था ट्रैक्टर प्रत्यक्षदर्शियों में गुस्सा देखने को मिला। उन्होंने बताया कि ट्रैक्टर डबल ट्राली लेकर चल रहा था उसकी वजह से हादसा हो गया। लोगों ने कहा कि ऐसे ट्रैक्टर च के खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए जो लापरवाही बरतते है। पुलिस नाको पर डबल ट्राली वाले ट्रैक्टर चालक आसानी से निकल जाते है जबकि अन्य वाहनों के कागजात न होने पर चालान काट दिया जाता है। शिनाख्त में जुटी पुलिस हादसे के सूचना के बाद डायल-112 के इंचार्ज ने बताया कि हादसे की जानकारी मिली थी। जिसमें दो लोगों की मौत हुई है। अभी दोनों की पहचान नहीं हुई है। शिनाख्त के लिए मोर्चरी हाउस में शव रखवा दिया है। पहचान के बाद शवों का पोस्टमॉर्टम होगा और परिजनों को सौंपा जाएगा। शिकायत के आधार पर नियमानुसार कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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रोहतक में पंपलेट को लेकर भिड़े भाजपा व कांग्रेस कार्यकर्ता:5 घंटे चला हंगामा, एसपी आवास पर किया प्रदर्शन, पुलिस पर आरोप हरियाणा के रोहतक में पंपलेट बांटने को लेकर भाजपा और कांग्रेस कार्यकर्ता आपस में भिड़ गए। हंगामा रोहतक के रेलवे रोड से शुरू हुआ। जहां पर भाजपा कार्यकर्ता पंपलेट बांट रहे थे और उस पंपलेट के माध्यम से रोहतक के विधायक बीबी बत्रा से हिसाब मांगा जा रहा था। वहीं इसी दौरान भाजपा और कांग्रेस कार्यकर्ता आपस में भिड़ गए। जिसके कारण रेलवे रोड पर काफी समय तक हंगामा हुआ। रेलवे रोड पर शाम करीब साढ़े 5 बजे हंगामा शुरू हुआ। करीब एक-डेढ़ घंटे हंगामा होने के बाद दोनों पक्ष सिटी थाने में पहुंचे। वहीं थाने में भी करीब एक-डेढ़ घंटे तक दोनों पक्ष रहे। लेकिन भाजपाई उचित कार्रवाई ना होने का पुलिस पर आरोप लगाते हुए एसपी आवास पहुंचे। रात करीब साढ़े 8 बजे एसपी आवास पर विरोध प्रदर्शन किया। वहीं डेढ़ घंटे तक प्रदर्शन चला। इधर, पुलिस वालों ने उन्हें समझाने का प्रयास किया। करीब डेढ़ घंटे बाद डीएसपी रवि खुंडिया मौके पर पहुंचे और उन्होंने जांच के बाद उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया। जिसके बाद प्रदर्शन बंद किया और भाजपाई वहां से चले गए। BJP की महिला कार्यकर्ता के साथ बदसलूकी
भाजपा की महिला कार्यकर्ता रानी ने बताया कि वह शनिवार को रेलवे रोड पर भाजपा की उपलब्धियां के पंपलेट बांट रही थीं। साथ ही उसे पंपलेट के माध्यम से रोहतक के विधायक भारत भूषण बात्रा से सवाल भी पूछ रहे थे। रानी ने आरोप लगाया कि इसी दौरान कांग्रेस कार्यकर्ता और कांग्रेस विधायक के पुत्र वहां पर आ गए। जिन्होंने उसके साथ बदसलूकी की और जाति सूचक शब्द भी कहे। भाजपा कार्यकर्ता बोली- पुलिस ने नहीं की उचित कार्रवाई इसके बाद मामला काफी बढ़ गया और काफी समय तक हंगामा चलता रहा। वहीं दोनों पक्ष रोहतक के सिटी थाना में पहुंचे। रानी ने आरोप लगाया कि पुलिस द्वारा कोई भी उचित कार्रवाई नहीं की जा रही है। इसलिए वे भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ एसपी आवास पर पहुंची। जहां पर एसपी आवास के बाहर धरना प्रदर्शन कर पुलिस के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। साथ ही भाजपा नेता एवं पूर्व पार्षद सुरेश किराड़ ने कहा कि पुलिस ने उन्हें थाने में काफी देर बैठाए रखा और कोई कार्रवाई नहीं की। डीएसपी के आश्वासन पर शांत हुए
डीएसपी रवि खुंडिया ने कहा कि शिकायत मिली थी कि चुनाव को लेकर प्रचार कर रहे थे। जिसके दौरान इनके साथ बदतमीजी हुई है। इन मामले में पुलिस जांच कर रही है। जांच में जो भी सामने आएगा, उसके आधार पर आगामी कार्रवाई की जाएगी। वहीं दोनों पक्षों को बुलाया भी गया है। मामले की गंभीरता से जांच की जा रही है।
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करनाल में CM के बाद किसे मिलेगा मौका:भाजपा किस पर खेलेगी दांव, 4 लोगों के नाम पर चल रही चर्चाएं हरियाणा में करनाल विधानसभा सीट पिछले 10 साल से भाजपा के लिए एक सुरक्षित गढ़ रही है। पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने इस सीट पर साढ़े 9 साल तक काबिज रहकर भाजपा को मजबूती दी थी। उनके इस्तीफे के बाद नायब सिंह सैनी ने उप चुनाव में जीत हासिल की। लेकिन अब सैनी के करनाल से चुनाव न लड़ने की अटकलों के बीच अब शहर में चर्चाएं शुरू हो गई है, कि इस बार पार्टी इस विधानसभा सीट पर किसको मैदान में उतारेगी। इसे लेकर राजनीतिक विशेषज्ञों के बीच चर्चाएं तेज हो गई हैं। इस दौड़ में कुछ प्रमुख नाम उभर कर सामने आ रहे हैं, जिनमें मेयर रेणु बाला गुप्ता, पूर्व जिला अध्यक्ष अशोक सुखीजा, युवा नेता मुकेश अरोड़ा, और जगमोहन आनंद का नाम शामिल है। रेणु बाला गुप्ता: बनिया समाज का मजबूत चेहरा राजनीतिक विशेषज्ञ DAV कॉलेज के प्राचार्य RP सैनी के अनुसार, रेणु बाला गुप्ता भाजपा के संभावित उम्मीदवारों में सबसे आगे हैं। रेणु बाला गुप्ता, जो बनिया समाज से आती हैं। करनाल में इस समाज के 22,000 से अधिक वोटर हैं, इसके साथ ही रेणु बाला गुप्ता सभी सामाज के वोटरों पर अच्छी पकड़ रखती है। जो उन्हें एक मजबूत उम्मीदवार बनाते हैं। इसके अलावा, उन्होंने लगातार 2 बार मेयर का चुनाव जीतकर अपनी पकड़ को साबित किया है। इसके अलावा जब पहली बार पूर्व सीएम मनोहर लाल खट्टर करनाल में चुनाव लड़ने के लिए आए थे। उस दौरान उनके कैंपेन में अहम भूमिका इन्होंने निभाई है। इसके अलावा एक मुख्य कारण यह भी है कि रेणु बाला गुप्ता पूर्व सीएम मनोहर लाल के सबसे करीबी नेताओं में आती है। मेयर के कार्यकाल के दौरान किए गए विकास कार्य और उनकी साफ छवि उन्हें भाजपा की पहली पसंद बना सकती है। साथ ही, पंजाबी वोट बैंक पर उनकी मजबूत पकड़ भी एक अहम कारण है, जिससे भाजपा उनके पक्ष में फैसला कर सकती है। अशोक सुखीजा: पार्टी के पुराने और वरिष्ठ नेता सीनियर एडवोकेट संजीव मंगलोरा का मानना है कि अशोक सुखीजा इस बार भाजपा के लिए एक महत्वपूर्ण उम्मीदवार हो सकते हैं। अशोक सुखीजा, जो पूर्व में भाजपा के जिला अध्यक्ष रह चुके हैं। अशोक पार्टी के सबसे पुराने और वरिष्ठ नेताओं में से एक हैं। उन्होंने तब से पार्टी के लिए काम किया है, जब भाजपा हरियाणा में संघर्षरत थी। उनकी साफ छवि, संगठन को मजबूत बनाने में योगदान, और पंजाबी समुदाय में उनकी गहरी पैठ उन्हें इस दौड़ में एक मजबूत दावेदार बनाती है। भाजपा उनके अनुभव और पार्टी के प्रति उनकी निष्ठा को ध्यान में रखते हुए उन पर दांव खेल सकती है। मुकेश अरोड़ा युवा पंजाबी चेहरा राजनीतिक विशेषज्ञ अनुज सैनी का मानना है कि अगर नायब सिंह सैनी करनाल विधानसभा से चुनाव नहीं लड़ते, तो भाजपा युवा पंजाबी चेहरे मुकेश अरोड़ा पर दांव खेल सकती है। मुकेश अरोड़ा की युवा शक्ति और पंजाबी समाज में उनकी पकड़ उन्हें इस दौड़ में एक मजबूत दावेदार बनाती है। भाजपा अगर युवा मतदाताओं और पंजाबी वोटरों को ध्यान में रखते हुए टिकट देने का विचार करती है, तो मुकेश अरोड़ा इस सीट के लिए एक उपयुक्त उम्मीदवार साबित हो सकते हैं। जगमोहन आनंद अनुभवी नेता राजनीतिक विशेषज्ञों के अनुसार, भाजपा की इस सूची में चौथा नाम जगमोहन आनंद का है। जगमोहन आनंद पार्टी से लंबे समय से जुड़े हुए हैं और उन्हें जिला अध्यक्ष, सीएम के मीडिया कोऑर्डिनेटर, और कुरूक्षेत्र के प्रभारी जैसी महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां सौंपी गई हैं। पार्टी संगठन में उनकी भूमिका भी उन्हें इस दौड़ में एक मजबूत उम्मीदवार बनाती है। भाजपा के लिए कौन होगा अगला चेहरा? करनाल विधानसभा सीट पर भाजपा के लिए यह चुनावी दौड़ आसान नहीं होगी। अगर नायब सिंह सैनी किसी अन्य सीट से चुनाव लड़ते हैं, तो भाजपा को करनाल में एक ऐसा उम्मीदवार चुनना होगा, जो सामाजिक समीकरणों और पार्टी की नीतियों के साथ तालमेल बैठा सके। मेयर रेणु बाला गुप्ता, अशोक सुखीजा, मुकेश अरोड़ा, और जगमोहन आनंद, ये सभी नाम अपने-अपने क्षेत्रों में मजबूत दावेदार हैं, और भाजपा के लिए सही निर्णय लेना एक चुनौती होगी। यह देखना दिलचस्प होगा कि भाजपा किस पर दांव लगाती है और करनाल की इस महत्वपूर्ण सीट पर कौन उम्मीदवार बनकर उभरता है।