मथुरा में पानी से भरी टंकी ढही-CCTV:5 सेकेंड में बादल फटने जैसा नजारा; टैंक की क्षमता 25 लाख लीटर

मथुरा में पानी से भरी टंकी ढही-CCTV:5 सेकेंड में बादल फटने जैसा नजारा; टैंक की क्षमता 25 लाख लीटर

मथुरा वृंदावन नगर निगम के वार्ड संख्या 47 में बनी पानी की टंकी रविवार शाम को धराशायी हो गई। टैंक की क्षमता 25 लाख लीटर थी। पानी से भरी टंकी गिरने का CCTV सामने आया है। जिसमें दिख रहा कि सिर्फ 5 सेकेंड में बादल फटने जैसा मंजर छा गया। तेज धमाके के साथ टैंक फटा और बाउंड्रीवॉल तोड़ते हुए कॉलोनी और घरों में एक फीट पानी भर गया। कुछ देर आंधी जैसा मंजर भी दिखा। हादसे के बाद मौके पर हाहाकार मच गया। थोड़ी देर लोग समझ न सके कि ये पानी का सैलाब आखिर कहां से आया। देखा तो सामने पानी की टंकी धराशायी थी। हादसे में 2 महिलाओं की मौत हो गई, तो 10 से ज्यादा लोग घायल हुए। 6 करोड़ की लागत से बनी पानी की टंकी 3 साल में ही जमींदोज हो गई। सबसे पहले बात हादसे की रविवार को बारिश हुई। शाम करीब 5.30 बजे का समय था। लोग घरों में थे, तभी शहर के आबादी वाले इलाके कृष्णा बिहार में अचानक तेज आवाज हुई। आवाज इतनी तेज थी कि एक किलोमीटर तक लोगों को लगा जैसे भूकंप आया हो। कृष्णा बिहार के लोग आवाज को सुनकर बाहर दौड़े तो पानी का तेज सैलाब आया और उनके घरों में घुस गया। यहां 3 साल पहले बनी पानी का ओवर हेड टैंक जमींदोज हो गया। टंकी के आसपास रहने वाले लोगों को लगा जैसे बादल फट गया हो या कोई जल प्रपात आया हो। भरभरा के गिरी पानी की टंकी 2500 KL यानी 25 लाख लीटर क्षमता की थी। गिरते ही टंकी के मलबे सहित पानी लोगों के घरों तक जा पहुंचा। सड़कों पर मलबा बिखरा दिखाई दिया। हादसे की तीन तस्वीरें मौके पर मची चीख पुकार पानी की टंकी के गिरते ही मौके पर चीख पुकार मच गई। आबादी क्षेत्र में हुए इस हादसे के लोग अपनों की तलाश करने लगे। सूचना पुलिस, प्रशासन और नगर निगम के अधिकारियों को दी गई। डीएम शैलेंद्र कुमार सिंह, एसएसपी शैलेश पांडे, मेयर विनोद अग्रवाल सहित तमाम प्रशासनिक और पुलिस अधिकारी मौके पर पहुंच गए। हादसे की जगह सीमित संसाधनों से रेस्क्यू शुरू किया। लेकिन पानी की टंकी बड़ी थी और मलबा काफी फैला हुआ था, जिसमें किसी के दबे होने की आशंका थी लिहाजा मौके पर सेना को बुला लिया गया। हादसे में 2 की हुई मौत 10 से ज्यादा हुए घायल इस हादसे में गोविंद की पत्नी सुंदरी (65) और दिनेश चंद की पत्नी सरिता (27) की मौत हो गई। दोनों की मौत के बाद परिवार में कोहराम मचा हुआ है। वहीं 10 से ज्यादा लोग घायल हो गए। यह आंकड़ा प्रशासन ने बताया है। हालांकि मौके पर मौजूद लोग घायलों की संख्या 30 से ज्यादा बता रहे हैं। डीएम शैलेंद्र कुमार सिंह ने कहा- हादसे में सुंदरी और सरिता, दो महिलाओं की मौत हुई है। सरस्वती, गौरी शंकर, प्रिंस, महावीर, बेबी, विपेंद्र, नवाब, कमलेश, रमेश चंद, निकुंज और मिली घायल हैं। सेना ने संभाला मोर्चा हादसे की गंभीरता को देखते हुए डीएम शैलेंद्र सिंह ने सेना के अधिकारियों से उनकी एक रेस्क्यू टीम मौके पर भेजने की गुज़ारिश की। इसके बाद सेना की एक टुकड़ी मौके पर पहुंची और हादसे की जगह रेस्क्यू शुरू कर दिया। मथुरा के स्ट्राइक वन कोर मुख्यालय से आई यह टुकड़ी देर रात तक मौके पर रेस्क्यू करती रही। जल निगम पर आरोप ओवर हेड टैंक गिरने के बाद अब जल निगम पर भ्रष्टाचार का आरोप लग रहा है। गंगा जल परियोजना के तहत यह पानी की टंकी नियमों को ताक पर रखकर अधिकारियों की तानाशाही की वजह से उस जगह बनाई गई जहां घनी आबादी है। इसके अलावा 3 वर्ष पहले 6 करोड़ रुपए की लागत से बनी इस टंकी से पानी के रिसाव की शिकायत कई बार स्थानीय पार्षद से लेकर निवासी तक अधिकारियों से कर चुके थे। लेकिन किसी भी जिम्मेदार के कान पर जूं तक नहीं रेंगी। टंकी बनने के एक साल बाद ही तत्कालीन पार्षद राजेश सिंह पिंटू ने कहा था कि इसमें से पानी का रिसाव हो रहा है कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है। मांट क्षेत्र से भाजपा के विधायक राजेश चौधरी के आवास से मात्र डेढ़ सौ मीटर की दूरी पर गिरी इस पानी की टंकी की शिकायत अधिकारियों से की थी लेकिन तानाशाह बन चुके अधिकारियों ने किसी की नहीं सुनी। कांग्रेस और सपा ने लगाया भाजपा सरकार पर आरोप हादसे के बाद अब भाजपा सरकार विपक्ष के निशाने पर आ गई है। कांग्रेस के जिला अध्यक्ष भगवान सिंह वर्मा ने कहा- भाजपा सरकार भ्रष्टाचार में डूबी है। मुख्यमंत्री को उनके अधिकारियों की कारगुजारी दिखाई नहीं देती। सपा नेता प्रदीप चौधरी ने कहा- इस हादसे की जद में 30 से ज्यादा घर आए हैं। समाजवादी पार्टी ने मृतक परिवारों को एक एक करोड़ रूपए मुआवजा, घरों में हुए नुकसान के लिए 25-25 लाख रुपए, घायलों को समुचित इलाज देने की मांग की। मथुरा वृंदावन नगर निगम के वार्ड संख्या 47 में बनी पानी की टंकी रविवार शाम को धराशायी हो गई। टैंक की क्षमता 25 लाख लीटर थी। पानी से भरी टंकी गिरने का CCTV सामने आया है। जिसमें दिख रहा कि सिर्फ 5 सेकेंड में बादल फटने जैसा मंजर छा गया। तेज धमाके के साथ टैंक फटा और बाउंड्रीवॉल तोड़ते हुए कॉलोनी और घरों में एक फीट पानी भर गया। कुछ देर आंधी जैसा मंजर भी दिखा। हादसे के बाद मौके पर हाहाकार मच गया। थोड़ी देर लोग समझ न सके कि ये पानी का सैलाब आखिर कहां से आया। देखा तो सामने पानी की टंकी धराशायी थी। हादसे में 2 महिलाओं की मौत हो गई, तो 10 से ज्यादा लोग घायल हुए। 6 करोड़ की लागत से बनी पानी की टंकी 3 साल में ही जमींदोज हो गई। सबसे पहले बात हादसे की रविवार को बारिश हुई। शाम करीब 5.30 बजे का समय था। लोग घरों में थे, तभी शहर के आबादी वाले इलाके कृष्णा बिहार में अचानक तेज आवाज हुई। आवाज इतनी तेज थी कि एक किलोमीटर तक लोगों को लगा जैसे भूकंप आया हो। कृष्णा बिहार के लोग आवाज को सुनकर बाहर दौड़े तो पानी का तेज सैलाब आया और उनके घरों में घुस गया। यहां 3 साल पहले बनी पानी का ओवर हेड टैंक जमींदोज हो गया। टंकी के आसपास रहने वाले लोगों को लगा जैसे बादल फट गया हो या कोई जल प्रपात आया हो। भरभरा के गिरी पानी की टंकी 2500 KL यानी 25 लाख लीटर क्षमता की थी। गिरते ही टंकी के मलबे सहित पानी लोगों के घरों तक जा पहुंचा। सड़कों पर मलबा बिखरा दिखाई दिया। हादसे की तीन तस्वीरें मौके पर मची चीख पुकार पानी की टंकी के गिरते ही मौके पर चीख पुकार मच गई। आबादी क्षेत्र में हुए इस हादसे के लोग अपनों की तलाश करने लगे। सूचना पुलिस, प्रशासन और नगर निगम के अधिकारियों को दी गई। डीएम शैलेंद्र कुमार सिंह, एसएसपी शैलेश पांडे, मेयर विनोद अग्रवाल सहित तमाम प्रशासनिक और पुलिस अधिकारी मौके पर पहुंच गए। हादसे की जगह सीमित संसाधनों से रेस्क्यू शुरू किया। लेकिन पानी की टंकी बड़ी थी और मलबा काफी फैला हुआ था, जिसमें किसी के दबे होने की आशंका थी लिहाजा मौके पर सेना को बुला लिया गया। हादसे में 2 की हुई मौत 10 से ज्यादा हुए घायल इस हादसे में गोविंद की पत्नी सुंदरी (65) और दिनेश चंद की पत्नी सरिता (27) की मौत हो गई। दोनों की मौत के बाद परिवार में कोहराम मचा हुआ है। वहीं 10 से ज्यादा लोग घायल हो गए। यह आंकड़ा प्रशासन ने बताया है। हालांकि मौके पर मौजूद लोग घायलों की संख्या 30 से ज्यादा बता रहे हैं। डीएम शैलेंद्र कुमार सिंह ने कहा- हादसे में सुंदरी और सरिता, दो महिलाओं की मौत हुई है। सरस्वती, गौरी शंकर, प्रिंस, महावीर, बेबी, विपेंद्र, नवाब, कमलेश, रमेश चंद, निकुंज और मिली घायल हैं। सेना ने संभाला मोर्चा हादसे की गंभीरता को देखते हुए डीएम शैलेंद्र सिंह ने सेना के अधिकारियों से उनकी एक रेस्क्यू टीम मौके पर भेजने की गुज़ारिश की। इसके बाद सेना की एक टुकड़ी मौके पर पहुंची और हादसे की जगह रेस्क्यू शुरू कर दिया। मथुरा के स्ट्राइक वन कोर मुख्यालय से आई यह टुकड़ी देर रात तक मौके पर रेस्क्यू करती रही। जल निगम पर आरोप ओवर हेड टैंक गिरने के बाद अब जल निगम पर भ्रष्टाचार का आरोप लग रहा है। गंगा जल परियोजना के तहत यह पानी की टंकी नियमों को ताक पर रखकर अधिकारियों की तानाशाही की वजह से उस जगह बनाई गई जहां घनी आबादी है। इसके अलावा 3 वर्ष पहले 6 करोड़ रुपए की लागत से बनी इस टंकी से पानी के रिसाव की शिकायत कई बार स्थानीय पार्षद से लेकर निवासी तक अधिकारियों से कर चुके थे। लेकिन किसी भी जिम्मेदार के कान पर जूं तक नहीं रेंगी। टंकी बनने के एक साल बाद ही तत्कालीन पार्षद राजेश सिंह पिंटू ने कहा था कि इसमें से पानी का रिसाव हो रहा है कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है। मांट क्षेत्र से भाजपा के विधायक राजेश चौधरी के आवास से मात्र डेढ़ सौ मीटर की दूरी पर गिरी इस पानी की टंकी की शिकायत अधिकारियों से की थी लेकिन तानाशाह बन चुके अधिकारियों ने किसी की नहीं सुनी। कांग्रेस और सपा ने लगाया भाजपा सरकार पर आरोप हादसे के बाद अब भाजपा सरकार विपक्ष के निशाने पर आ गई है। कांग्रेस के जिला अध्यक्ष भगवान सिंह वर्मा ने कहा- भाजपा सरकार भ्रष्टाचार में डूबी है। मुख्यमंत्री को उनके अधिकारियों की कारगुजारी दिखाई नहीं देती। सपा नेता प्रदीप चौधरी ने कहा- इस हादसे की जद में 30 से ज्यादा घर आए हैं। समाजवादी पार्टी ने मृतक परिवारों को एक एक करोड़ रूपए मुआवजा, घरों में हुए नुकसान के लिए 25-25 लाख रुपए, घायलों को समुचित इलाज देने की मांग की।   उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर