भास्कर न्यूज | पानीपत सेक्टर-29 पार्ट-2 में चौथी बार सीवर लाइन धंस गई है। इससे शहर में सीवर के पानी की निकासी का संकट खड़ा हो गया है, क्योंकि इस लाइन पर आधे शहर की सीवर लाइन के गंदे पानी की निकासी निर्भर है। इस बार सीवर लाइन धंसने से इसके आसपास करीब 50 फीट चौड़ा और 25 फीट गहरा गड्ढा बनने से इसमें पेड़ तक धंस गए हैं। नगर िनगम अधिकारियों को जैसे सीवर लाइन के धंसने का पता चला तो वे मौके पर पहुंच गए। यह सीवर लाइन 2 दिन पहले धंसी थी। शनिवार को गड्ढे के पास की मिट्टी की खुदाई करके लाइन की मरम्मत करने की तैयारी शुरू की गई। खुदाई के बाद ही 30 फीट नीचे गुजरने वाली मुख्य सीवर लाइन का पता चलेगा कि इसमें कितने सुराग बने हैं। यह सीवर लाइन पहले 3 बार धंस चुकी है। हर बार नगर निगम और स्वास्थ्य विभाग की सीवर शाखा के अधिकारियों व कर्मचारियों ने कड़ी मशक्कत कर मरम्मत की थी। अब नगर निगम अधिकारियों ने फैसला लिया है कि 300 मीटर में सीआईपीपी मैटीरियल तकनीक से नई पाइपलाइन ही बिछाएंगे। एक्सपर्ट बुलाए जा रहे हैं। करीब 4.50 करोड़ रुपए खर्च होने का अनुमान है। धंसे हिस्से की जल्दी ही मरम्मत करा देंगे सेक्टर 29 पार्ट-2 में मुख्य सीवर लाइन का कुछ हिस्सा धंसा है। इसका चलते ही टीम को साथ लेकर मौके का निरीक्षण किया है। मरम्मत की तैयारियां शुरू कर दी गई है। जल्द ही लाइन की मरम्मत पूरी कर दी जाएगी। – राजेश कौशिक , एक्सईएन, नगर निगम। संजय चौक से बबैल नाका और यहां से चौटाला रोड स्थित सीटीपी तक करीब 30 वर्ष पहले मुख्य सीवर लाइन डाली गई थी। इससे शहर की अन्य लाइनें जुड़ी हैं। अब उसकी गुणवत्ता शक्ति भी पूरी हो चुकी है। विशेष रूप से बबैल नाका से सिवाह सीटीपी तक लाइन ज्यादा जर्जर हो चुकी है। इसलिए इसे सबसे पहले प्राथमिकता के साथ बदलने की जरूरत है। अभी भी इसे जल्दी नहीं बदला गया तो यह लाइन पूरी तरह से जाम हो जाएगी। अगर लाइन जाम हुई तो शहर की सड़कें देखते ही देखते जलमग्न हो जाएंगी। भास्कर न्यूज | पानीपत सेक्टर-29 पार्ट-2 में चौथी बार सीवर लाइन धंस गई है। इससे शहर में सीवर के पानी की निकासी का संकट खड़ा हो गया है, क्योंकि इस लाइन पर आधे शहर की सीवर लाइन के गंदे पानी की निकासी निर्भर है। इस बार सीवर लाइन धंसने से इसके आसपास करीब 50 फीट चौड़ा और 25 फीट गहरा गड्ढा बनने से इसमें पेड़ तक धंस गए हैं। नगर िनगम अधिकारियों को जैसे सीवर लाइन के धंसने का पता चला तो वे मौके पर पहुंच गए। यह सीवर लाइन 2 दिन पहले धंसी थी। शनिवार को गड्ढे के पास की मिट्टी की खुदाई करके लाइन की मरम्मत करने की तैयारी शुरू की गई। खुदाई के बाद ही 30 फीट नीचे गुजरने वाली मुख्य सीवर लाइन का पता चलेगा कि इसमें कितने सुराग बने हैं। यह सीवर लाइन पहले 3 बार धंस चुकी है। हर बार नगर निगम और स्वास्थ्य विभाग की सीवर शाखा के अधिकारियों व कर्मचारियों ने कड़ी मशक्कत कर मरम्मत की थी। अब नगर निगम अधिकारियों ने फैसला लिया है कि 300 मीटर में सीआईपीपी मैटीरियल तकनीक से नई पाइपलाइन ही बिछाएंगे। एक्सपर्ट बुलाए जा रहे हैं। करीब 4.50 करोड़ रुपए खर्च होने का अनुमान है। धंसे हिस्से की जल्दी ही मरम्मत करा देंगे सेक्टर 29 पार्ट-2 में मुख्य सीवर लाइन का कुछ हिस्सा धंसा है। इसका चलते ही टीम को साथ लेकर मौके का निरीक्षण किया है। मरम्मत की तैयारियां शुरू कर दी गई है। जल्द ही लाइन की मरम्मत पूरी कर दी जाएगी। – राजेश कौशिक , एक्सईएन, नगर निगम। संजय चौक से बबैल नाका और यहां से चौटाला रोड स्थित सीटीपी तक करीब 30 वर्ष पहले मुख्य सीवर लाइन डाली गई थी। इससे शहर की अन्य लाइनें जुड़ी हैं। अब उसकी गुणवत्ता शक्ति भी पूरी हो चुकी है। विशेष रूप से बबैल नाका से सिवाह सीटीपी तक लाइन ज्यादा जर्जर हो चुकी है। इसलिए इसे सबसे पहले प्राथमिकता के साथ बदलने की जरूरत है। अभी भी इसे जल्दी नहीं बदला गया तो यह लाइन पूरी तरह से जाम हो जाएगी। अगर लाइन जाम हुई तो शहर की सड़कें देखते ही देखते जलमग्न हो जाएंगी। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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कुरूक्षेत्र में करंट लगने से मासूम की मौत:हाई टेंशन लाइन में फंसी पतंग पकड़ने की कोशिश, परिवार का इकलौता बेटा हरियाणा के कुरूक्षेत्र जिले के इस्माईलाबाद में एक दर्दनाक हादसे ने पूरे शहर को स्तब्ध कर दिया। हाईवे स्थित पानी की टंकी के पास शुक्रवार को एक 12 वर्षीय बच्चे की करंट लगने से मौत हो गई। मृतक की पहचान सैनी मोहल्ला के संजीव कुमार के इकलौते बेटे कुणाल सैनी के रूप में हुई है। रेहड़ी से खा रहा था कुलचा, पतंग देख भागा घटना उस समय हुई जब कुणाल पानी की टंकी के पास स्थित एक रेहड़ी से कुलचा खा रहा था। इसी दौरान एक पतंग हाई टेंशन लाइन में जा फंसी। जिसमें तांबे की तार भी लगी हुई थी। कुणाल ने जैसे ही पतंग को पकड़ने का प्रयास किया, वह तेज करंट की चपेट में आ गया। उसके शरीर से चिंगारियां निकलने लगी। आसपास के लोगों ने किसी तरह उसे बिजली के तारों से अलग किया, लेकिन तब तक वह गंभीर रूप से झुलस चुका था। डॉक्टरों ने अंबाला किया रेफर परिजन तुरंत उसे एक निजी अस्पताल ले गए, जहां से उसे अंबाला रेफर कर दिया गया। अंबाला के अस्पताल में डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। गुरुनानक वाटिका स्कूल में पांचवीं कक्षा का छात्र कुणाल अपने माता-पिता का इकलौता बेटा था। दोपहर बाद गमगीन माहौल में अंतिम संस्कार दोपहर बाद गमगीन माहौल में उसका अंतिम संस्कार किया गया। दर्दनाक हादसे से पूरे शहर में शोक की लहर है। परिवार का रो-रोकर बुरा हाल है और उन्हें सांत्वना देने के लिए लोगों का तांता लगा हुआ है। घर का इकलौता चिराग बुझ जाने से परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है।
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