प्रवीन कुमार ने पीआरटीसी बठिंडा डिपो के नये जनरल मैनेजर का चार्ज संभाल लिया है। प्रवीन कुमार इससे पहले कपूरथला, चंडीगढ़, बरनाला तथा बुढलाडा में बतौर जीएम सेवाएं निभा चुके हैं। अपना चार्ज संभालने के बाद प्रवीन कुमार ने विभाग के सभी कर्मचारियों तथा अधिकारियों से मीटिंग कर डिपो अधीन दी जा रही सेवाओं तथा गतिविधियों की जानकारी ली तथा कर्मचारियों को जरुरी दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा यात्रियों को बेहतर सेवाएं देना तथा डिपो की आर्थिक स्थिति को और मजबूत करना उनकी प्राथमिकता रहेगी। वहीं सभी स्टाफ तथा कर्मचारियों को साथ लेकर काम किया जाएगा। प्रवीन कुमार ने पीआरटीसी बठिंडा डिपो के नये जनरल मैनेजर का चार्ज संभाल लिया है। प्रवीन कुमार इससे पहले कपूरथला, चंडीगढ़, बरनाला तथा बुढलाडा में बतौर जीएम सेवाएं निभा चुके हैं। अपना चार्ज संभालने के बाद प्रवीन कुमार ने विभाग के सभी कर्मचारियों तथा अधिकारियों से मीटिंग कर डिपो अधीन दी जा रही सेवाओं तथा गतिविधियों की जानकारी ली तथा कर्मचारियों को जरुरी दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा यात्रियों को बेहतर सेवाएं देना तथा डिपो की आर्थिक स्थिति को और मजबूत करना उनकी प्राथमिकता रहेगी। वहीं सभी स्टाफ तथा कर्मचारियों को साथ लेकर काम किया जाएगा। पंजाब | दैनिक भास्कर
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चंडीगढ़ में आज डॉक्टर हड़ताल पर:पीजीआई ओपीडी में नहीं देखे जाएंगे नए मरीज, सीनियर डॉक्टर और कंसलटेंट को दी जिम्मेदारी
चंडीगढ़ में आज डॉक्टर हड़ताल पर:पीजीआई ओपीडी में नहीं देखे जाएंगे नए मरीज, सीनियर डॉक्टर और कंसलटेंट को दी जिम्मेदारी चंडीगढ़ के स्वास्थ्य सेवाओं के लिए तीन प्रमुख संस्थान पीजीआई, गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल 32 (GMCH), गवर्नमेंट मल्टी स्पेशलिटी हॉस्पिटल 16 (GMSH) में आज रेजिडेंट डॉक्टर हड़ताल पर है। जिसके कारण चंडीगढ़ पीजीआई में आज ओपीडी के लिए नए कार्ड नहीं बनाए जाएंगे। अगर कोई पुराना मरीज फॉलोअप में दिखाने के लिए आता है, तो उसे सीनियर डॉक्टर और कंसल्टेंट की तरफ से देखा जाएगा। वहीं गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल 32 के डॉक्टर दोपहर बाद 1:00 बजे से हड़ताल पर जाएंगे। तब तक ओपीडी का समय समाप्त हो चुका होगा। कोलकाता की घटना का विरोध हड़ताल करने वाले रेजिडेंट डॉक्टर कोलकाता की घटना का विरोध कर रहे हैं। जहां मेडिकल कॉलेज में एक महिला डॉक्टर के साथ रेप कर उसकी हत्या कर दी गई है। डॉक्टरों की मांग है कि उसके परिवार को न्याय मिलना चाहिए और इस मामले में सीबीआई जांच होनी चाहिए। देश में रेजिडेंट डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए सख्त कानून की व्यवस्था की जानी चाहिए। डॉक्टरों की तरफ से देशभर में सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए देश में CPA या इसी तरह के कानून के तत्काल कार्यान्वयन की मांग की जा रही है। कोलकाता मामले की उचित और पारदर्शी जांच होनी चाहिए। अभी तक की जांच संदेश पैदा कर रही है। वहीं मेडिकल कॉलेज के जिम्मेदार अधिकारियों का इस्तीफा भी होना चाहिए। मरीजों को न आने की अपील चंडीगढ़ पीजीआई के चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर विपिन कौशल ने बताया कि हड़ताल के मद्देनजर यह सुनिश्चित करने के लिए सभी उपलब्ध संसाधनों को जुटाया है कि मरीजों की सेवाओं पर कोई प्रभाव न पड़े। इमरजेंसी ऑपरेशन थिएटर सेवाओं, आईसीयू सेवाओं सहित दूसरी इमरजेंसी सेवाएं हमेशा की तरह चलती रहेंगी। गंभीर मामलों को संभालने के लिए रेजिडेंट डॉक्टर भी मौजूद रहेंगे। लेकिन ओपीडी में रेजिडेंट डॉक्टर न होने के कारण आज ज्यादा मरीज नहीं देखे जाएंगे। इसलिए जिनको जरूरत न हो, वह आज न आए। आज सिर्फ पुराने मरीजों का फॉलोअप ही किया जाएगा।

पंजाब में ओरेंज अलर्ट:कई जिलों में सुबह से बरस रहे बादल; सुस्त मानसून ने बढ़ाई चिंता, 5 जिलों में 60-75% कम बारिश
पंजाब में ओरेंज अलर्ट:कई जिलों में सुबह से बरस रहे बादल; सुस्त मानसून ने बढ़ाई चिंता, 5 जिलों में 60-75% कम बारिश पंजाब में बारिश को लेकर आज गुरुवार भी अलर्ट जारी किया गया है। कई जिलों में आज अच्छी बारिश होने की संभावनाए हैं। हिमाचल प्रदेश के साथ सटे जिलों बारिश हो रही है। बीते दिनों मानसून के सुस्त रहने के कारण राज्य का तापमान एक बार फिर 40 डिग्री के पार हो गया है। राज्य का अधिकतम तापमान सामान्य से 4.1 डिग्री अधिक दर्ज किया गया। बुधवार राज्यभर में ओरेंज व येलो अलर्ट के बावजूद अधिकांश जिलों में बारिश नहीं हुई। जिससे ऊमस बढ़ी और तापमान में बढ़ौतरी हुई। आज भी पंजाब के 8 जिलों में बारिश को लेकर ओरेंज अलर्ट जारी किया गया है। ये ओरेंज अलर्ट पठानकोट, गुरदासपुर, अमृतसर, होशियारपुर, नवांशहर, बरनाला, संगरूर और मानसा के लिए हैं। जबकि अन्य पूरे राज्य में बारिश को लेकर येलो अलर्ट जारी है। शुक्रवार ये अलर्ट हिमाचल से सटे जिलों तक सीमित रहने वाला है। पंजाब में मौसम को लेकर तस्वीरें, पूर्वानुमान व अलर्ट- बंगाल की खड़ी के दबाव ने सुखाया उत्तर भारत मौसम विभाग के अनुसार बंगाल की खड़ी में दबाव के चलते नमी वाली हवाएं पंजाब, हरियाणा तक नहीं पहुंच पा रही हैं। इसके अलावा पश्चिमी विक्षोभी भी पूरी तरह से एक्टिव नहीं हो पा रहा। जिसके चलते पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़, हिमाचल प्रदेश और जम्मू कश्मीर में सूखे की स्थिति बनती जा रही है। पंजाब में 1 जून से 30 जुलाई तक 44% कम बारिश दर्ज की गई है। जबकि हरियाणा में 42, चंडीगढ़ में 57% और हिमाचल प्रदेश व जम्मू-कश्मीर में 34% कम बारिश हुई है। जिससे इन राज्यों को रेड जोन में रखा गया है। 15 जिलों में सूखे के हालात पंजाब के 1 जून से 30 जुलाई तक 23 में से मात्र पठानकोट ही एक मात्र जिला है, जहां सामान्य बारिश हो रही है। यहां सामान्य से मात्र 7% अधिक बारिश हुई है। जबकि तरनतारन में 17 व मानसा में 16 फीसदी कम बारिश हुई है और इन्हें सामान्य श्रेणी में रखा गया है। जबकि बठिंडा व फतेहगढ़ साहिब में 75 फीसदी, फिरोजपुर में 71, एसएएस नगर में 72 और मोगा में 60 फीसदी कम बारिश हुई है। कम बारिश ने किसानों की चिंताओं को बढ़ रखा है। बीते साल जहां पूरा पंजाब बाढ़ की चपेट में रहा, इस साल सूखे की स्थिति बनी हुई है। बारिश ना होने के कारण किसान पूरी तरह ग्राउंड वाटर पर निर्भर हो गए हैं, जो चिंता का विषय बना हुआ है।

ब्रिटिश सदन में उठा डॉ. जयशंकर पर हमले का मुद्दा:सांसद ब्लैकमैन बोले- भारतीय विदेश-मंत्री पर खालिस्तानी का हमला, जिनेवा कन्वेंशन के खिलाफ
ब्रिटिश सदन में उठा डॉ. जयशंकर पर हमले का मुद्दा:सांसद ब्लैकमैन बोले- भारतीय विदेश-मंत्री पर खालिस्तानी का हमला, जिनेवा कन्वेंशन के खिलाफ विदेश मंत्री एस जयशंकर की गाड़ी को लंदन में खालिस्तानी समर्थकों की तरफ से घेरे जाने की घटना का मुद्दा ब्रिटिश संसद में भी उठा। ब्रिटेन के कंज़र्वेटिव पार्टी के राजनेता बॉब ब्लैकमैन, जो 2010 से हैरो ईस्ट निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं, ने इस मामले को संसद में उठाया। उन्होंने खालिस्तान समर्थकों की तरफ से विदेश मंत्री जयशंकर पर हुए हमले की निंदा भी की। उन्होंने ब्रिटिश सदन में अपने भाषण में कहा- बीते दिन भारत के विदेश मंत्री सुब्रमण्यम जयशंकर पर हमला हुआ, जब वह पब्लिक वेन्यू से जा रहे थे, जहां वह इस देश में भारतीय श्रोताओं को संबोधित कर रहे थे। उन पर एक खालिस्तानी द्वारा हमला किया गया। ये जिनेवा कन्वेंशन के खिलाफ है और ये ऐसा प्रतीत होता है, जैसे सुरक्षा फोर्सेस उन्हें सुरक्षित महसूस करवाने में असफल रहीं। ये डेमोक्रेसी का अपमान है। ये भारत में हमारे मित्रों और सहयोगियों का अपमान है। ये हमें पक्का करना चाहिए कि आगे ये फिर ना हो। तो क्या नेता यह सुनिश्चित करेंगे। गृह सचिव या उपयुक्त मंत्री इस सदन में एक बयान दें कि जब हमारे देश में बाहरी विजिटर आते हैं तो हम उनकी सुरक्षा के लिए क्या सुरक्षा सुनिश्चित करने जा रहे हैं। घटना को बताया दुखद सदन की अध्यक्ष ने जवाब दिया कि भारतीय संसद से इस देश के विजिटर पर गंभीर हमले के बारे में सुनकर बहुत दुख हुआ। यह अस्वीकार्य है और हम नहीं चाहते कि विजिटर्स के साथ ऐसा व्यवहार किया जाए। पूरी तरह से सुनिश्चित करेंगे कि इसके बारे में गृह सचिव से पूर्ण प्रतिक्रिया मिले। चैथम हाउस में भारतीयों को किया था संबोधित जयशंकर 9 मार्च तक ब्रिटेन दौरे पर हैं। वह बीते दिन चैथम हाउस में पहुंचे थे, जहां उन्होंने भारतीयों को संबंधित किया था। उनके वहां पहुंचने से पहले ही खालिस्तानी समर्थक वहां मौजूद थे। सड़क के दूसरी तरफ खालिस्तानी झंडे लेकर प्रदर्शन कर रहे थे। इसके बावजूद जयशंकर के बाहर आते समय सुरक्षा घेरा नहीं बढ़ाया गया। अंत में घटना ये हुई कि, भीड़ से अलग व सुरक्षा बैरिकेड के आगे खड़े एक खालिस्तानी ने डॉ. जयशंकर की कार का रास्ता रोका और भारतीय तिरंगे को फाड़ने जैसी शर्मनाक हरकत की। भारत बोला- लोकतांत्रिक स्वतंत्रता का दुरुपयोग हुआ भारत ने जयशंकर की सुरक्षा में चूक की निंदा की है। विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा- हमने विदेश मंत्री की यूके यात्रा के दौरान सुरक्षा उल्लंघन की फुटेज देखी है। हम अलगाववादियों और चरमपंथियों के इस छोटे समूह की भड़काऊ गतिविधियों की निंदा करते हैं। भारत ने इन अलगाववादियों के लोकतांत्रिक स्वतंत्रता के दुरुपयोग की भी निंदा की। विदेश मंत्रालय ने कहा कि हम अपेक्षा करते हैं कि यूके सरकार ऐसे मामलों में अपने कूटनीतिक दायित्वों का पालन करेगी। UK ने भी घटना की निंदा की वहीं, इस घटना पर UK ने भी बयान जारी किया है। ब्रिटिश प्रवक्ता ने कहा- हम चाथम हाउस के बाहर कल हुई घटना की कड़ी निंदा करते हैं, जो यूके दौरे पर आए विदेश मामलों के मंत्री की यात्रा के दौरान हुई। यूके शांतिपूर्ण विरोध के अधिकार का समर्थन करता है, लेकिन किसी भी प्रकार की धमकी देना, डराने का प्रयास करना या सार्वजनिक कार्यक्रमों को बाधित करना पूरी तरह से अस्वीकार्य है। प्रवक्ता ने कहा कि मेट्रोपॉलिटन पुलिस ने स्थिति को संभालने के लिए तेजी से कार्रवाई की। उन्होंने बयान में कहा कि UK अपने सभी राजनयिक आगंतुकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अपनी अंतरराष्ट्रीय प्रतिबद्धताओं के अनुसार पूरी तरह से प्रतिबद्ध है।