SC कॉलेजियम की सिफारिश, जस्टिस अरुण पाली होंगे जम्मू-कश्मीर HC के अगले चीफ जस्टिस, जानें- उनके बारे में सबकुछ 

SC कॉलेजियम की सिफारिश, जस्टिस अरुण पाली होंगे जम्मू-कश्मीर HC के अगले चीफ जस्टिस, जानें- उनके बारे में सबकुछ 

<p style=”text-align: justify;”><strong>Jammu Kashmir News:</strong> पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट के जस्टिस अरुण पल्ली जम्मू-कश्मीर और लद्दाख हाईकोर्ट के अगले मुख्य न्यायाधीश होंगे. सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने केंद्र सरकार से अरुण पल्ली को जम्मू एवं कश्मीर और लद्दाख हाईकोर्ट का चीफ जस्टिस नियुक्त करने की सिफारिश की है. उनके नाम पर शीर्ष अदालत की कॉलेजियम ने अपनी सहमति मुख्य न्यायाधीश ताशी रबस्तान की सेवानिवृत्ति से कुछ दिन पहले की है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>जम्मू-कश्मीर हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति ताशी रबस्तान 9 अप्रैल 2025 को सेवानिवृत्त होंगे. जस्टिस अरुण पाली उन्हीं की जगह पर मुख्य न्यायाधीश पद की शपथ लेंगे.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>कौन है जस्टिस अरुण पाली?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>दरअसल, जस्टिस अरुण पाली वाणिज्य में स्नातक की उपाधि प्राप्त की. उसके बाद 1988 में पंजाब विश्वविद्यालय चंडीगढ़ से लॉ ग्रै​जुएट की डिग्री हासिल की.&nbsp;जस्टिस अरुण पाली को 26 अप्रैल 2007 को हरियाणा एंड पंजाब हाईकोर्ट में वरिष्ठ अधिवक्ता के रूप में नियुक्त किया गया था. उन्होंने हाईकोर्ट के कई विवादास्पद मामलों में न्यायमित्र के रूप में भी काम किया. न्यायमूर्ति पल्ली को 28 दिसंबर 2013 को पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय की खंडपीठ में पदोन्नत किया गया था.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>वह 31 मई, 2023 से हरियाणा राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यकारी अध्यक्ष के रूप में भी कार्यरत हैं. जस्टिस वसली को 31 अक्टूबर 2023 को 2 वर्ष के कार्यकाल के लिए राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण (एनएएलएसए) के शासी निकाय के सदस्य के रूप में नामित किया गया था.</p>
<p style=”text-align: justify;”>&nbsp;जस्टिस अरुण पाली ने हाईकोर्ट के समक्ष विभिन्न विवादास्पद मामलों में एमिकस क्यूरी के रूप में कार्य किया. उन्होंने डिवीजन और फुल बेंच के समक्ष महत्वपूर्ण कानूनी प्रस्तावों वाले विविध विषयों और मामलों को निपटाया. वे सर्वोच्च न्यायालय, दिल्ली उच्च न्यायालय के समक्ष भी पेश हुए और हिमाचल प्रदेश के उच्च न्यायालय में भी कई महत्वपूर्ण मामलों पर बहस की.</p>
<p style=”text-align: justify;”>जस्टिस अरुण पाली का जन्म 18 सितंबर 1964 को सरला और प्रेम किशन पाली के घर हुआ था. उनके परदादा स्वर्गीय लक्ष्ममन दास पल्ली और दादा स्वर्गीय लाजपत राय पल्ली, जिला बार पटियाला के प्रतिष्ठित वकील थे. उनके पिता एक वरिष्ठ अधिवक्ता और हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय की खंडपीठ में कार्यरत थे, जो 1998 में सेवानिवृत्त हुए.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><iframe title=”YouTube video player” src=”https://www.youtube.com/embed/tOmMAnj0hlY?si=zaPhPvjdTgSV1ucB” width=”560″ height=”315″ frameborder=”0″ allowfullscreen=”allowfullscreen”></iframe></p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Jammu Kashmir News:</strong> पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट के जस्टिस अरुण पल्ली जम्मू-कश्मीर और लद्दाख हाईकोर्ट के अगले मुख्य न्यायाधीश होंगे. सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने केंद्र सरकार से अरुण पल्ली को जम्मू एवं कश्मीर और लद्दाख हाईकोर्ट का चीफ जस्टिस नियुक्त करने की सिफारिश की है. उनके नाम पर शीर्ष अदालत की कॉलेजियम ने अपनी सहमति मुख्य न्यायाधीश ताशी रबस्तान की सेवानिवृत्ति से कुछ दिन पहले की है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>जम्मू-कश्मीर हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति ताशी रबस्तान 9 अप्रैल 2025 को सेवानिवृत्त होंगे. जस्टिस अरुण पाली उन्हीं की जगह पर मुख्य न्यायाधीश पद की शपथ लेंगे.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>कौन है जस्टिस अरुण पाली?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>दरअसल, जस्टिस अरुण पाली वाणिज्य में स्नातक की उपाधि प्राप्त की. उसके बाद 1988 में पंजाब विश्वविद्यालय चंडीगढ़ से लॉ ग्रै​जुएट की डिग्री हासिल की.&nbsp;जस्टिस अरुण पाली को 26 अप्रैल 2007 को हरियाणा एंड पंजाब हाईकोर्ट में वरिष्ठ अधिवक्ता के रूप में नियुक्त किया गया था. उन्होंने हाईकोर्ट के कई विवादास्पद मामलों में न्यायमित्र के रूप में भी काम किया. न्यायमूर्ति पल्ली को 28 दिसंबर 2013 को पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय की खंडपीठ में पदोन्नत किया गया था.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>वह 31 मई, 2023 से हरियाणा राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यकारी अध्यक्ष के रूप में भी कार्यरत हैं. जस्टिस वसली को 31 अक्टूबर 2023 को 2 वर्ष के कार्यकाल के लिए राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण (एनएएलएसए) के शासी निकाय के सदस्य के रूप में नामित किया गया था.</p>
<p style=”text-align: justify;”>&nbsp;जस्टिस अरुण पाली ने हाईकोर्ट के समक्ष विभिन्न विवादास्पद मामलों में एमिकस क्यूरी के रूप में कार्य किया. उन्होंने डिवीजन और फुल बेंच के समक्ष महत्वपूर्ण कानूनी प्रस्तावों वाले विविध विषयों और मामलों को निपटाया. वे सर्वोच्च न्यायालय, दिल्ली उच्च न्यायालय के समक्ष भी पेश हुए और हिमाचल प्रदेश के उच्च न्यायालय में भी कई महत्वपूर्ण मामलों पर बहस की.</p>
<p style=”text-align: justify;”>जस्टिस अरुण पाली का जन्म 18 सितंबर 1964 को सरला और प्रेम किशन पाली के घर हुआ था. उनके परदादा स्वर्गीय लक्ष्ममन दास पल्ली और दादा स्वर्गीय लाजपत राय पल्ली, जिला बार पटियाला के प्रतिष्ठित वकील थे. उनके पिता एक वरिष्ठ अधिवक्ता और हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय की खंडपीठ में कार्यरत थे, जो 1998 में सेवानिवृत्त हुए.&nbsp;</p>
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