अबोहर के गांव ढीगांवाली से एक व्यक्ति एक महिला और उसकी बेटियों को बहला फुसलाकर ले गया है। महिला की सास ने उच्चाधिकारियों से अपनी बहू और पौतियों की बरामदगी की गुहार लगाई है। गांव ढीगांवली निवासी एक बुजुर्ग महिला आज ग्रामीणों के साथ डीएसपी आफिस पहुंची। महिला की ओर से दिए गए शिकायती पत्र में उसने कहा कि 9 जून की रात उसकी बहू और पौतियों को आशीष पुत्र माना राम बहला फुसला कर ले गया है। उसकी बहू ने आशीष के झांसे में आकर अपने पति विनोद कुमार को नशीली दवा पिला दी और उसके बाद घर से छह तोला सोना ,चांदी के जेवरात, 11 हजार नकदी और अन्य सामान लेकर फरार हो गई। वह अपने दो बच्चों को भी साथ ले गई है। महिला व उसके पति विनोद कुमार ने बताया कि उनकी ओर से इस संबंध में पट्टीसदीक चौकी में शिकायत दर्ज करवाई है, लेकिन पुलिस द्वारा अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। उनका आरोप है कि उनको भगाने में गांव के ही कुछ लोगों ने उनकी मदद की, लेकिन पुलिस राजनीतिक दबाव के कारण आरोपी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर रही। परिजनों ने मांग है कि महिला और उसकी बेटियों को भगाने के अंदर एक पूरी साजिश हुई है जिसके अंदर कोई आधा दर्शन लोग शामिल है। अबोहर के गांव ढीगांवाली से एक व्यक्ति एक महिला और उसकी बेटियों को बहला फुसलाकर ले गया है। महिला की सास ने उच्चाधिकारियों से अपनी बहू और पौतियों की बरामदगी की गुहार लगाई है। गांव ढीगांवली निवासी एक बुजुर्ग महिला आज ग्रामीणों के साथ डीएसपी आफिस पहुंची। महिला की ओर से दिए गए शिकायती पत्र में उसने कहा कि 9 जून की रात उसकी बहू और पौतियों को आशीष पुत्र माना राम बहला फुसला कर ले गया है। उसकी बहू ने आशीष के झांसे में आकर अपने पति विनोद कुमार को नशीली दवा पिला दी और उसके बाद घर से छह तोला सोना ,चांदी के जेवरात, 11 हजार नकदी और अन्य सामान लेकर फरार हो गई। वह अपने दो बच्चों को भी साथ ले गई है। महिला व उसके पति विनोद कुमार ने बताया कि उनकी ओर से इस संबंध में पट्टीसदीक चौकी में शिकायत दर्ज करवाई है, लेकिन पुलिस द्वारा अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। उनका आरोप है कि उनको भगाने में गांव के ही कुछ लोगों ने उनकी मदद की, लेकिन पुलिस राजनीतिक दबाव के कारण आरोपी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर रही। परिजनों ने मांग है कि महिला और उसकी बेटियों को भगाने के अंदर एक पूरी साजिश हुई है जिसके अंदर कोई आधा दर्शन लोग शामिल है। पंजाब | दैनिक भास्कर
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गुरदासपुर में दिखाई दिए तीन संदिग्ध:शरीर पर केवल अंडरवियर, कंधे पर बैग- नहीं पहने चप्पल-जूते, पुलिस कर रही जांच गुरदासपुर के कस्बा दीनानगर के तारागढ़ रोड पर स्थित शंकर कालोनी में शुक्रवार की रात तीन अज्ञात संदिग्ध लोगों की मूवमेंट सामने आई है। गली में लगे सीसीटीवी कैमरों में उनकी मूवमेंट की फुटेज रिकार्ड हुई है। खास बात ये है कि तीनों ने कोई पेंट या निक्कर नहीं पहनी थी और अंडरवियर में नजर आए। उनके पैरों में कोई चप्पल भी नहीं थी। जानकारी के अनुसार, शंकर कालोनी में दिखाई दिए तीनों संदिग्धों ने अपने मुंह कपड़े से ढके थे। अपनी पीठ और कंधों पर बैग लटकाए हुए थे। तीनों रात करीब डेढ बजे गली में एक तरफ जाते हुए दिखाई दे रहे हैं और 20 मिनट बाद वापस लौटते दिखे हैं। इनका कद छह फीट के आसपास दिखाई दे रहा है और बड़े इत्मीनान से गली में घूमते दिख रहे हैं। हालांकि रात के समय कालोनी में किसी प्रकार की चोरी की वारदात को करने की कोई कोशिश नहीं की गई है। जिस कारण इन संदिग्धों की मूवमेंट को लेकर कई प्रकार के सवाल पैदा हो रहे हैं। शंकर कालोनी में रहने वाले राहुल ठाकुर ने बताया कि सुबह उसे अपने घर के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरों को चेक करने का फोन पर नोटिफिकेशन आया। जिसके बाद जब रात की रिकार्डिग को चेक किया तो उसमें तीन संदिग्धों की मूवमेंट नोटिस की गई। इसके बाद पड़ोस में रहने वाले विशाल के घर के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरों की रिकार्डिंग चेक करने पर उसमें भी इनकी मूवमेंट दिखाई दी। उन्होंने बताया कि उनके घर के आगे से निकलने के 20 मिंट बाद तीनों संदिग्ध वापस लौटते दिखाई दे रहे हैं। डीएसपी सुखविंदर पाल सिंह ने बताया कि आरंभिक रूप में सीसीटीवी फुटेज देखने पर तीनों संदिग्ध चोर प्रतीत हो रहे हैं। इसके बावजूद पुलिस मामले की सभी एंगल से पूरी तहकीकात करवाएगी।
गैंगस्टर लॉरेंस केस में पंजाब के मुख्य सचिव को फटकार:हाईकोर्ट ने जेलों में सुरक्षा पर किया सवाल; फंड की कमी पर कोर्ट नाराज
गैंगस्टर लॉरेंस केस में पंजाब के मुख्य सचिव को फटकार:हाईकोर्ट ने जेलों में सुरक्षा पर किया सवाल; फंड की कमी पर कोर्ट नाराज जेल से गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के इंटरव्यू मामले की आज शुक्रवार को पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। कोर्ट में पंजाब के मुख्य सचिव वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट पेश हुए। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने जेलों में जैमर लगाने के मामले में सरकार को फटकार लगाई। साथ ही इस मामले की अगली सुनवाई 12 सितंबर तय की। पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट में एक सवाल के जवाब में सरकारी वकील ने जैमर लगाने के प्रोजेक्ट में देरी कारण फंड की कमी को बताया। इस पर कोर्ट ने कहा कि इस गंभीर विषय पर इतनी लापरवाही कैसे बरती जा सकती है। जेलों का सुरक्षा मुद्दा अहम है। ऐसे में अगली सुनवाई पर इसके संबंध में स्टेटस रिपोर्ट पेश की जाए। मामले की अगली सुनवाई 12 सितंबर काे होगी लॉरेंस इंटरव्यू मामले की जांच कर रहे SIT के अधिकारी ने बताया था कि उनकी जांच चल रही है। अगले महीने के पहले हफ्ते तक जांच पूरी कर ली जाएगी। जैमर मुद्दे पर सुनवाई में फंसा पेच सुनवाई में जेलों में जैमर से जुड़े मुद्दे पर कोर्ट ने सवाल किया तो सरकारी वकील ने बताया कि जैमर लगाने की एक प्रक्रिया है। जैमर लगाने के लिए बाकायदा टेंडर और अन्य औपचारिकताएं होती है। इसके बाद कोर्ट ने मुख्य सचिव को तलब किया। हालांकि अदालत के बाहर वकील ने बताया कि इस दौरान कहा था की वीआईपी की गाड़ियों में लगे जैमर क्यों जेलों में लगा दिए जाए। पहले इंटरव्यू में मूसेवाला के कत्ल की जिम्मेदारी ली लॉरेंस का पहला इंटरव्यू 14 मार्च को ब्रॉडकास्ट हुआ था। जिसमें लॉरेंस ने सिद्धू मूसेवाला का कत्ल करवाने की बात कबूल की थी। लॉरेंस का कहना था कि मूसेवाला सिंगिंग के बजाय गैंगवार में घुस रहा था। उसके कॉलेज फ्रेंड अकाली नेता विक्की मिड्डूखेड़ा के कत्ल में भी मूसेवाला का हाथ था। इसलिए उसे मरवाया। एसआईटी रिपोर्ट के मुताबिक ये वही इंटरव्यू है, जो उसने सीआईए की कस्टडी से दिया। दूसरे इंटरव्यू में बैरक से कॉल करने का दिया सबूत लॉरेंस ने अपने दूसरे इंटरव्यू में जेल के अंदर से इंटरव्यू करने का सबूत भी दिया था। उसने अपनी बैरक भी दिखाई और बताया कि उसे बाहर नहीं जाने दिया जाता, लेकिन मोबाइल भी उसके पास आ जाता है और सिग्नल भी। लॉरेंस ने अपने इंटरव्यू में कहा कि रात के समय जेल के गार्ड बहुत कम आते-जाते हैं, इसीलिए वह रात को कॉल कर रहा है। लॉरेंस ने मोबाइल के अंदर आने के बारे में भी जानकारी दी थी। लॉरेंस के अनुसार मोबाइल बाहर से जेल के अंदर फेंके जाते हैं। कई बार जेल स्टाफ उन्हें पकड़ भी लेता है, लेकिन अधिकतर बार मोबाइल उस तक पहुंच जाता है। वकील बोले- पंजाब पुलिस में काली भेड़ें इस बारे में इंटरव्यू के खिलाफ पिटीशन दायर करने वाले वकील गौरव ने कहा- आज सुनवाई में साफ हो गया गया कि पंजाब पुलिस में काली भेड़े हैं। जिन्होंने यह इंटरव्यू करवाया था। यह किसी आम आदमी का यह काम नहीं है। हालांकि इसे शुरू से ही दबाने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने बताया कि अदालत ने तय किया है कि जो भी इस मामले शामिल होंगे, उन पर सीधे कार्रवाई होगी। वहीं, इस मामले में जो भी सुपरवाइजर होंगे, उन पर भी कार्रवाई होगी। इस मामले में डीजीपी एफिडेविट फाइल करेंगे। इस मामले की अगली सुनवाई पांच नौ को तय की गई। अब गुजरात जेल में बंद है लॉरेंस गैंगस्टर लॉरेंस इस समय गुजरात की जेल में नशा तस्करी से जुडे़ केस में बंद है। उसे अहमदाबाद के साबरमती में हाई सिक्योरिटी जेल में रखा गया है। हाल ही में उसके पाकिस्तानी डॉन से ईद की बधाई को लेकर वीडियो कॉल की रिकॉर्डिंग भी वायरल हुई थी।