इंस्टाग्राम पर एक लड़की की नकली आईडी बना कर 10वीं क्लास की छात्रा को अपशब्द बोलने और मानसिक शोषण करने का मामला सामने आया है। इस मामले में थाना डिवीजन-5 की पुलिस ने आरोपी युवक के खिलाफ पॉक्सो एक्ट के तहत पर्चा दर्ज किया है। फिलहाल आरोपी फरार है। मामले में 14 वर्षीय लड़की की मां ने पुलिस को दिए बयान में बताया कि उनकी बेटी दसवीं क्लास की छात्रा है। 2 दिन पहले बेटी ने उन्हें बताया कि इंस्टाग्राम पर कुछ समय पहले उसकी खुशी नामक लड़की से दोस्ती हुई थी। शुरुआत में तो साधारण तौर पर बातचीत होती रही। लेकिन, उसके बाद उस आईडी से गलत शब्दावली और गलत वीडियो आने लगी। जब पीड़िता ने यह सब भेजने से मना किया तो पता चला कि वह आईडी फेक थी। उसे कोई लड़का चला रहा था। फिर परेशान किशोरी ने अपनी मां से इस बारे में बताया, जिसके बाद जब बात सभी परिजनों तक पहुंची तो उस आईडी की जांच करवाई गई। जांच करने पर ये बात सामने आई की वह आईडी उन्हीं के इलाके में रहने वाला युवक साहिल (23) चला रहा था। इस बारे में जब किशोरी से बात की गई तो किशोरी ने बताया कि स्कूल से आते समय आरोपी साहिल उसका पीछा करता था। उसने कई बार ऐसा करने से मना भी किया था। एक दिन जब किशोरी ने सख्ती से आरोपी को रोका तो वह ऑनलाइन तरीके से उसे हर जगह से फॉलो करने लगा। जांच अधिकारी ओम प्रकाश ने बताया कि आरोपी की गिरफ्तारी नहीं हो पाई है और उसकी तलाश जारी है। पीड़िता के इलाके में ही रहता है आरोपी, तलाश जारी इंस्टाग्राम पर एक लड़की की नकली आईडी बना कर 10वीं क्लास की छात्रा को अपशब्द बोलने और मानसिक शोषण करने का मामला सामने आया है। इस मामले में थाना डिवीजन-5 की पुलिस ने आरोपी युवक के खिलाफ पॉक्सो एक्ट के तहत पर्चा दर्ज किया है। फिलहाल आरोपी फरार है। मामले में 14 वर्षीय लड़की की मां ने पुलिस को दिए बयान में बताया कि उनकी बेटी दसवीं क्लास की छात्रा है। 2 दिन पहले बेटी ने उन्हें बताया कि इंस्टाग्राम पर कुछ समय पहले उसकी खुशी नामक लड़की से दोस्ती हुई थी। शुरुआत में तो साधारण तौर पर बातचीत होती रही। लेकिन, उसके बाद उस आईडी से गलत शब्दावली और गलत वीडियो आने लगी। जब पीड़िता ने यह सब भेजने से मना किया तो पता चला कि वह आईडी फेक थी। उसे कोई लड़का चला रहा था। फिर परेशान किशोरी ने अपनी मां से इस बारे में बताया, जिसके बाद जब बात सभी परिजनों तक पहुंची तो उस आईडी की जांच करवाई गई। जांच करने पर ये बात सामने आई की वह आईडी उन्हीं के इलाके में रहने वाला युवक साहिल (23) चला रहा था। इस बारे में जब किशोरी से बात की गई तो किशोरी ने बताया कि स्कूल से आते समय आरोपी साहिल उसका पीछा करता था। उसने कई बार ऐसा करने से मना भी किया था। एक दिन जब किशोरी ने सख्ती से आरोपी को रोका तो वह ऑनलाइन तरीके से उसे हर जगह से फॉलो करने लगा। जांच अधिकारी ओम प्रकाश ने बताया कि आरोपी की गिरफ्तारी नहीं हो पाई है और उसकी तलाश जारी है। पीड़िता के इलाके में ही रहता है आरोपी, तलाश जारी पंजाब | दैनिक भास्कर
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लॉरेंस इंटरव्यू मामले की हाईकोर्ट में सुनवाई आज:SIT पेश करेगी रिपोर्ट, इंटरव्यू का मकसद बताएगी, 6 अधिकारियों पर हुई है कार्रवाई
लॉरेंस इंटरव्यू मामले की हाईकोर्ट में सुनवाई आज:SIT पेश करेगी रिपोर्ट, इंटरव्यू का मकसद बताएगी, 6 अधिकारियों पर हुई है कार्रवाई पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में आज (19 नवंबर) गैंगस्टर लॉरेंस के सीआईए खरड़ में टीवी इंटरव्यू के मामले की सुनवाई होगी। इस दौरान मामले की जांच कर रही स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) कोर्ट को बताएगी कि इंटरव्यू का मकसद क्या था। क्योंकि पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने स्पेशल डीजीपी प्रबोध कुमार के नेतृत्व में एसआईटी का दोबारा गठन किया था। एसआईटी में एडीजीपी नीलाभ किशोर और एडीजीपी नागेश्वर राव को शामिल किया गया था। उन्हें आपराधिक साजिश और भ्रष्टाचार के एंगल से भी जांच करने के आदेश दिए गए थे। इन अधिकारियों पर पुलिस ने कार्रवाई की पंजाब पुलिस की तरफ से पहले इंटरव्यू के लिए जिम्मेदार अधिकारियों पर कार्रवाई की गई हैं। इसमें DSP से लेकर हेड कॉन्स्टेबल रैंक तक के अधिकारी-कर्मचारी शामिल हैं। इसमें DSP गुरशेर सिंह (अमृतसर स्थित 9 बटालियन), DSP समर वनीत, सब इंस्पेक्टर रीना (CIA खरड़ में तैनात), सब इंस्पेक्टर जगतपाल जंगू (AGTF में तैनात), सब इंस्पेक्टर शगनजीत सिंह (AGTF), ASI मुखत्यार सिंह और हेड कॉन्स्टेबल ओम प्रकाश शामिल हैं। जबकि दूसरे इंटरव्यू की जांच राजस्थान पुलिस कर रही हैं। गैंगस्टर के 2 इंटरव्यू वायरल हुए थे। SIT की रिपोर्ट के मुताबिक पहला इंटरव्यू 3 और 4 सितंबर 2023 को हुआ है। लॉरेंस उस समय पंजाब में CIA खरड़ में रखा गया था। दूसरा इंटरव्यू राजस्थान की जयपुर स्थित सेंट्रल जेल में हुआ है। पहले इंटरव्यू में मूसेवाला के कत्ल की जिम्मेदारी ली लॉरेंस का पहला इंटरव्यू 14 मार्च 2023 को ब्रॉडकास्ट हुआ था। इसमें लॉरेंस ने सिद्धू मूसेवाला का कत्ल करवाने की बात कबूल की थी। लॉरेंस का कहना था कि मूसेवाला सिंगिंग के बजाय गैंगवार में घुस रहा था। उसके कॉलेज फ्रैंड अकाली नेता विक्की मिड्डूखेड़ा के कत्ल में भी मूसेवाला का हाथ था, इसलिए उसे मरवाया। SIT रिपोर्ट के मुताबिक ये वही इंटरव्यू है, जो उसने CIA की कस्टडी से दिया। दूसरे इंटरव्यू में बैरक से कॉल करने का दिया सबूत लॉरेंस ने अपने दूसरे इंटरव्यू में जेल के अंदर से इंटरव्यू देने का सबूत भी दिया था। उसने अपनी बैरक भी दिखाई और बताया कि उसे बाहर नहीं जाने दिया जाता, लेकिन मोबाइल भी उसके पास आ जाता है और सिग्नल भी। लॉरेंस ने अपने इंटरव्यू में कहा कि रात के समय जेल के गार्ड बहुत कम आते-जाते हैं, इसीलिए वह रात को कॉल कर लेता है। लॉरेंस ने मोबाइल के अंदर आने के बारे में भी जानकारी दी थी। लॉरेंस के अनुसार मोबाइल बाहर से जेल के अंदर फेंके जाते हैं। कई बार जेल स्टाफ उन्हें पकड़ भी लेता है, लेकिन अधिकतर बार मोबाइल उस तक पहुंच जाता है। पंजाब के DGP ने खारिज किया था दावा गैंगस्टर लॉरेंस के इंटरव्यू जारी होने के बाद पंजाब पुलिस पर सवाल उठे थे। इसके बाद पंजाब के DGP गौरव यादव ने प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई। जिसमें उन्होंने दावा किया था कि इंटरव्यू बठिंडा या पंजाब की किसी भी जेल से नहीं हुआ है। DGP ने लॉरेंस की 2 तस्वीरें दिखाते हुए कहा था- जब लॉरेंस को बठिंडा जेल लाया गया तो उसके बाल कटे थे और दाढ़ी-मूछ नहीं थी।
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एसजीपीसी ने थाना मुखी की सिख विरोधी टिप्पणी पर जताई नाराजगी
एसजीपीसी ने थाना मुखी की सिख विरोधी टिप्पणी पर जताई नाराजगी अमृतसर | उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले के अधीन आते पुलिस थाना पलिया कलां के कोतवाल (एसएचओ) विवेक कुमार उपाध्याय की तरफ से सिखों के प्रति की गई टिप्पणी पर एसजीपीसी ने नाराजगी जताई है। कमेटी के प्रधान एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने सीएम योगी आदित्य नाथ से मांग की है कि उपाध्याय के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। गौर हो कि दो दिन पहले उपाध्याय ने किसी बात को लेक आक्रोशित होकर सिख समुदाय को आतंकवादी कह दिया था। इसके बाद स्थानी सिखों व अन्य लोगों ने इसका विरोध किया था। इसके बाद लोगों की मांग पर उपाध्याय को लाइन जाहिर कर दिया गया था। इसी मामले को लेकर कमेटी के प्रधान धामी ने कहा कि सिखों के बलिदान के कारण ही भारत की संस्कृति सुरक्षित है। धामी ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री से मांग की कि सिख विरोधी टिप्पणी करने वाले पुलिस अधिकारी के खिलाफ तत्काल कार्रवाई की जाए। उन्होंने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की।