<p>महराजगंज ब्रेकिंग न्यूज <br />-महराजगंज के तत्कालीन डीएम अमरनाथ उपाध्याय, एडीएम, कोतवाल समेत 27 अधिकारियों पर केस दर्ज <br />-वर्ष 2019 में हाई वे बनाने के दौरान तोड़ा गया था मकान <br />-फरेंदा हाई निर्माण में महराजगंज शहर में मनोज टिबडेवाल का घर तोड़े जाने का मामला <br />-सुप्रीम कोर्ट ने पीडित को 25 लाख मुआवजा देने का आदेश दिया था, अब मामले में केस दर्ज</p> <p>महराजगंज ब्रेकिंग न्यूज <br />-महराजगंज के तत्कालीन डीएम अमरनाथ उपाध्याय, एडीएम, कोतवाल समेत 27 अधिकारियों पर केस दर्ज <br />-वर्ष 2019 में हाई वे बनाने के दौरान तोड़ा गया था मकान <br />-फरेंदा हाई निर्माण में महराजगंज शहर में मनोज टिबडेवाल का घर तोड़े जाने का मामला <br />-सुप्रीम कोर्ट ने पीडित को 25 लाख मुआवजा देने का आदेश दिया था, अब मामले में केस दर्ज</p> उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड महाकुंभ निमंत्रण पर छिड़े सियासी संग्राम पर काशी के संतों की एंट्री, कहा- ‘सपा प्रमुख के पेट में दर्द तो…’
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अबोहर में लड़की के चाचा ने रुकवाया अंतिम संस्कार:नहर में कूदकर किया था सुसाइड, प्रेमी ने अपनाने से किया इनकार, बाहर निकाला
अबोहर में लड़की के चाचा ने रुकवाया अंतिम संस्कार:नहर में कूदकर किया था सुसाइड, प्रेमी ने अपनाने से किया इनकार, बाहर निकाला पंजाब के अबोहर में मृतक विवाहिता का अंतिम संस्कार को रुकवाने का मामला सामने आया है। लड़की के चाचा एवं शिवसेना पंजाब के महासचिव पुलिस की कार्रवाई पर असंतोष जाहिर करते हुए दाह संस्कार की प्रक्रिया को रुकवाया। उन्होंने चेतावनी दी कि जब तक आरोपियों को गिरफ्तार नहीं किया जाता है, तब तक मृतका का अंतिम संस्कार नहीं होगा। जानकारी के अनुसार, 30 वर्षीय मृतका विवाहिता हरप्रीत कौर उर्फ नूर के पिता दिलबाग और शिवसेना नेता ओम प्रकाश ने बताया कि खुईखेड़ा पुलिस ने मृतका को आत्महत्या के लिए मजबूर करने वालों पर केवल पर्चा दर्ज किया है, लेकिन उन्हें काबू नहीं किया। जब तक आरोपियों को काबू नही किया जाता, वे संस्कार नहीं करेंगें। संस्कार रोके जाने की सूचना मिलने पर थाना प्रभारी हरदेव सिंह मौके पर पहुंचे और परिजनो को समझाया। थाना प्रभारी के समझाने पर माने परिजन थाना प्रभारी ने उन्हें आश्वासन देते हुए कहा कि परिजनों के बयानों पर लड़की के पति निखिल, सास शालिनी, ससुर पवन और बुर्जमुहार निवासी उसके दोस्त गुरसाहब के खिलाफ आत्महत्या का मामला दर्ज कर लिया गया है और उन्हें पकडने के लिए उनके घरों मे छापेमारी की गई है, लेकिन आरोपी अपने घरों से गायब हैं। उन्होंनें परिजनों को समझाया कि आप लोग मृतका का संस्कार करें, उसके बाद परिजन जहां जहां उनके ठिकाने बताएंगें वहां पर छापेमारी कर आरोपियों को काबू किया जाएगा। जिसके बाद मृतका के परिजनों ने संस्कार किया। इधर, शिवसेना नेता ने चेतावनी दी कि अगर पुलिस ने शीघ्र आरोपियों को काबू ना किया तो वे पूरे पंजाब के शिवसेना सदस्यों को लेकर खुईखेडा पुलिस थाने के बाहर धरना देंगे। आखिर क्या था मामला
हरप्रीत कौर की निखिल के साथ सात साल पहले शादी हुई थी और छह माह पहले गुरसाहब सिंह नामक युवक से दोस्ती हुई थी। जिसके बारे में नूर के ससुराल वालों को पता चल गया। नूर के पति और ससुराल वालों ने र से निकालते हुए तलाक की मांग रखी। वहीं, नूर के दोस्त गुरसाहब ने भी उसे अपनाने से मना कर दिया। मजबूरन नूर ने नहर में कूदकर आत्महत्या कर ली थी।
मॉडर्न लुक के लिए लहंगे को फूल स्लीव्स टॉप के साथ स्टाइल करने का परफेक्ट तरीका
मॉडर्न लुक के लिए लहंगे को फूल स्लीव्स टॉप के साथ स्टाइल करने का परफेक्ट तरीका फुल स्लीव्स टॉप और लहंगे की जोड़ी एक पारंपरिक परिधान को मॉडर्न ट्विस्ट देने का बेहतरीन तरीका है। अगर आप किसी शादी, फेस्टिवल या पार्टी में अपनी अलग पहचान बनाना चाहती हैं, तो इस स्टाइल को अपनाकर आप अपने लुक को बढ़ा सकती हैं। फुल स्लीव्स टॉप लहंगे के साथ सर्दी के मौसम में स्टाइलिश और आरामदायक विकल्प है। इसे सही तरीके से पहनने के लिए कुछ बातों का ध्यान रखना जरूरी है। दिल्ली की फैशन स्टाइलिस्ट तनुश्री सिंह के अनुसार सबसे पहले, फैब्रिक का चुनाव करें। सर्दियों में वेल्वेट, सिल्क या ब्रॉकेड का इस्तेमाल करें, जो न केवल गर्मी देगा, बल्कि शाही लुक भी प्रदान करेगा। टॉप में एंब्रॉयडरी या सीक्विन वर्क इसे और आकर्षक बना सकता है। डिजाइन की बात करें तो आप पफ स्लीव्स, बैल स्लीव्स या लेस स्लीव्स के साथ एक्सपेरिमेंट कर सकती हैं। अगर आप सिंपल लुक चाहती हैं, तो प्लेन स्लीव्स के साथ हाई नेक या कॉलर डिजाइन चुनें। वहीं, बोल्ड लुक के लिए डीप नेकलाइन का विकल्प लें। लहंगे की लंबाई और घेर के हिसाब से टॉप का डिजाइन तय करें। फ्लोई लहंगे के साथ फिटेड टॉप बेहतरीन लगता है, जबकि स्ट्रेट कट लहंगे के साथ थोड़ा ढीला टॉप अच्छा दिखता है। रंगों का मेल भी बेहद अहम है। मोनोक्रोम लुक के लिए टॉप और लहंगे का रंग एक जैसा रखें। अगर आपको कंट्रास्ट पसंद है, तो गहरे और हल्के शेड्स का कॉम्बिनेशन आजमाएं। उदाहरण के लिए, पेस्टल लहंगे के साथ गहरे रंग का टॉप या ब्राइट लहंगे के साथ सफेद या बेज टॉप एक क्लासी लुक देता है। एक्सेसरीज के साथ इसे कंप्लीट करना न भूलें। चोकर या लॉन्ग नेकलेस, स्टेटमेंट ईयररिंग्स और बेल्ट के साथ यह लुक और भी निखर जाएगा। फुटवियर में मोजड़ी या हील्स चुनें। सही हेयरस्टाइल और मेकअप के साथ यह परिधान आपको भीड़ में अलग खड़ा करेगा। फुल स्लीव्स टॉप और लहंगे का यह कॉम्बिनेशन पारंपरिक और आधुनिकता का शानदार मेल है।
वाराणसी में हड़ताल से 40 हजार मरीज परेशान हुए:11 दिनों की स्ट्राइक में 1000 की नहीं हुई सर्जरी, 440 मरीज ही भर्ती किए गए
वाराणसी में हड़ताल से 40 हजार मरीज परेशान हुए:11 दिनों की स्ट्राइक में 1000 की नहीं हुई सर्जरी, 440 मरीज ही भर्ती किए गए वाराणसी के बीएचयू अस्पताल ( सर सुन्दर लाल चिकित्सालय) में 11 दिन से चल रही हड़ताल रेजिडेंट डॉक्टरों ने शुक्रवार की शाम खत्म कर दी। 11 दिन चली इस हड़ताल से पूर्वांचल और बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़, एमपी के करीब 40 हजार मरीज हलकान हुए। इसमें अकेले गंभीर सर्जरी के 1000 से अधिक मरीज थे। 9 दिन चली ओपीडी, वापस लौटे 35 हजार से अधिक मरीज
आईएमएस बीएचयू के रेजिडेंट डॉक्टरों ने पश्चिम बंगाल में रेजिडेंट डॉक्टर के साथ हुए दुष्कर्म के मामले को उठाते हुए 13 अगस्त से हड़ताल कर दी। इस हड़ताल का व्यापक प्रभाव देखने को मिला। सर सुन्दर लाल चिकित्सालय में ओपीडी, वार्ड, जांच केंद्र सहित अन्य जगहों पर कामकाज ठप कर विरोध शुरू किया। जिसके बाद सीनियर डॉक्टर्स ने ओपीडी शुरू की जिसमें 9 दिन में लगभग 36 हजार मरीजों को लौटना पड़ा। 1000 से अधिक की नहीं हो सकी सर्जरी
बीएचयू में सर्जरी को लेकर एक-एक महीने की वेटिंग होती है। ऐसे में रेजिडेंट के हड़ताल पर होने से मरीजों को दर-दर भटकना पड़ा और पहले से तय लगभग 1000 से अधिक सर्जरी नहीं हो सकी। इससे मरीजों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। मरीज डिपार्टमेंट में भटकते दिखे की कोई उनकी सहायता कर दे पर सीनियर डॉक्टर ने भी हाथ खड़े कर दिए। 440 मरीज हुए एडमिट 672 हुए डिस्चार्ज
इन 11 दिनों की हड़ताल में महज 440 मरीजों को ही एडमिट किया गया। वहीं 672 को डिस्चार्ज भी मिला। हड़ताल की वजह से ओपीडी में दिक्कतें थी। रेजिडेंट ने इमरजेंसी में मदद की बात कही थी पर कुछ दिन में वहां से भी नदारद रहे। इस दौरान ओपीडी में पहले दिन 4019 मरीज देखे गए पर अगले ही दिन यह संख्या घटकर 1500 के आस-पास पहुंच गई। 17 अगस्त को महज 151 मरीज ही ओपीडी में देखे गए। रोजाना आते हैं 6000 मरीज
आईएमएस बीएचयू के निदेशक प्रोफेसर एसएन संखवार ने बताया- बीएचयू में एक दिन में 6000 मरीज ओपीडी में आते हैं। इनमे 4 हजार नए और 2 हजार पुराने मरीज होते हैं। रेजिडेंट ने अपनी हड़ताल वापस ले ली है और वो आज से काम पर लौटेंगे।