हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के ठियोग विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत मतियाना में NH-5 पर सोमवार शाम के वक्त बड़ा लैंडस्लाइड हो गया। इसकी चपेट में आने से एक ट्रक चकनाचूर हुआ। इससे हाईवे पर वाहनों की आवाजाही ठप हो गई। मतियाना में हुए लैंडस्लाइड का वीडियो वहां से गुजर रहे एक राहगीर ने अपने फोन के कमरे में कैद कर लिया। जो अब सोशल मीडिया में जमकर वायरल हो रहा है। घटना सोमवार देर शाम 5 बजे के आसपास की बताई जा रही है। मतियाना के समीप पहाड़ी से एक बड़ा हिस्सा भरभराकर हाईवे पर गिर गया। इस दौरान सड़क किनारे खड़ा एक ट्रक मलबे की चपेट में आ गया। इसके बाद हाईवे पर लंबा ट्रैफिक जाम लग गया। डेढ़ घंटे बन्द रही वाहनों की आवाजाही स्थानीय निवासी सुरेश राजटा ने बताया कि लैंडस्लाइड की घटना की जानकारी स्थानीय प्रशासन को दी गई। जिसके बाद लोक निर्माण विभाग की एक टीम व मशीनरी मौके पर पहुंची और हाईवे की बहाली में जुट गई। उन्होंने बताया कि NH-05 करीब डेढ़ घंटे तक वाहनों की आवाजाही के लिए बंद रहा। शाम पौने सात बजे तक हाईवे को वन-वे किया जा सका। सड़क पर आए पहाड़ को हटाने का देर रात तक काम चला रहा। हाईवे पर लगा लंबा ट्रैफिक जाम तब तक हाईवे पर दोनों और लगभग दो-दो किलोमीटर लंबा ट्रैफिक जाम लग गया था। इस दौरान हाईवे पर सेब के लदे दर्जनों ट्रक भी फंसे रहे। नारकंडा, कुमारसैन, कोटगढ़, रामपुर और किन्नौर जाने वाले लोगों को ज्यादा परेशानी झेलनी पड़ी। हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के ठियोग विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत मतियाना में NH-5 पर सोमवार शाम के वक्त बड़ा लैंडस्लाइड हो गया। इसकी चपेट में आने से एक ट्रक चकनाचूर हुआ। इससे हाईवे पर वाहनों की आवाजाही ठप हो गई। मतियाना में हुए लैंडस्लाइड का वीडियो वहां से गुजर रहे एक राहगीर ने अपने फोन के कमरे में कैद कर लिया। जो अब सोशल मीडिया में जमकर वायरल हो रहा है। घटना सोमवार देर शाम 5 बजे के आसपास की बताई जा रही है। मतियाना के समीप पहाड़ी से एक बड़ा हिस्सा भरभराकर हाईवे पर गिर गया। इस दौरान सड़क किनारे खड़ा एक ट्रक मलबे की चपेट में आ गया। इसके बाद हाईवे पर लंबा ट्रैफिक जाम लग गया। डेढ़ घंटे बन्द रही वाहनों की आवाजाही स्थानीय निवासी सुरेश राजटा ने बताया कि लैंडस्लाइड की घटना की जानकारी स्थानीय प्रशासन को दी गई। जिसके बाद लोक निर्माण विभाग की एक टीम व मशीनरी मौके पर पहुंची और हाईवे की बहाली में जुट गई। उन्होंने बताया कि NH-05 करीब डेढ़ घंटे तक वाहनों की आवाजाही के लिए बंद रहा। शाम पौने सात बजे तक हाईवे को वन-वे किया जा सका। सड़क पर आए पहाड़ को हटाने का देर रात तक काम चला रहा। हाईवे पर लगा लंबा ट्रैफिक जाम तब तक हाईवे पर दोनों और लगभग दो-दो किलोमीटर लंबा ट्रैफिक जाम लग गया था। इस दौरान हाईवे पर सेब के लदे दर्जनों ट्रक भी फंसे रहे। नारकंडा, कुमारसैन, कोटगढ़, रामपुर और किन्नौर जाने वाले लोगों को ज्यादा परेशानी झेलनी पड़ी। हिमाचल | दैनिक भास्कर
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हिमाचल में पंजाब के श्रद्धालुओं की गाड़ी दुर्घटनाग्रस्त:1 युवक की मौत, 3 घायल, मणिमहेश यात्रियों पर जा रहे 2 भाई और उनके 2 दोस्त हिमाचल प्रदेश के चंबा में पंजाब के श्रद्धालुओं की कार अनियंत्रित होकर गहरी खाई में जा गिरी। इसमें एक युवक की मौत हो गई, जबकि तीन गंभीर रूप से घायल हो गए। घायलों का डलहोजी अस्पताल में प्राथमिक उपचार के बाद मेडिकल कालेज चंबा रेफर किया गया। सूचना के अनुसार, पंजाब में जालंधर के सिलोर निवासी 2 भाई और उनके 2 दोस्त मणिमहेश यात्रा के लिए जा रहे थे। आज सुबह लगभग साढ़े 5 बजे इनकी गाड़ी पठानकोट-भरमौर हाईवे पर हादसे का शिकार हो गई। स्थानीय लोगों की मदद से मृतक और घायलों को खाई से निकाला गया और अस्पताल पहुंचाया गया। इसमें एक दोस्त की मौत हो गई। मृतक की पहचान संदीप कुमार के तौर पर हुई है। वहीं करण, राहुल और संजय कुमार चंबा अस्पताल में उपचाराधीन है। चारों युवक PB-37-J-1938 नंबर गाड़ी से भरमौर जा रहे थे। हादसे के कारणों का अभी पता नहीं चल पाया है। मणिमहेश यात्रा पर निकले थे चारों बता दें कि मणिमहेश यात्रा के लिए देशभर से श्रद्धालु यहां पहुंचते हैं। 26 अगस्त को छोटे शाही स्नान का शुभ मुहूर्त था। चारों युवक भी छोटे शाही स्नान के लिए मणिमहेश जा रहे थे। मगर मणिमहेश पहुंचने से पहले ही इनकी गाड़ी हादसे का शिकार हो गई।
हिमाचल के बिस्मिल्लाह खां सूरजमणि नहीं रहे:AIIMS बिलासपुर में आखिरी सांस ली; क्रोनिक पैंक्रियाटाइटिस बीमारी से जूझ रहे थे मशहूर शहनाई वादक
हिमाचल के बिस्मिल्लाह खां सूरजमणि नहीं रहे:AIIMS बिलासपुर में आखिरी सांस ली; क्रोनिक पैंक्रियाटाइटिस बीमारी से जूझ रहे थे मशहूर शहनाई वादक देश में छोटे विस्मिल्ला खां के नाम से मशहूर शहनाई वादक सूरजमणी का देर रात बिलासपुर के AIIMS अस्पताल में निधन हो गया। 63 साल सूरजमणी ने AIIMS अस्पताल में अंतिम सांस ली। वह क्रोनिक पैंक्रियाटाइटिस बीमारी से जूझ रहे थे। सूरजमणी मंडी जिले के नाचन क्षेत्र के चच्योट गांव से संबंध रखते थे। सूरजमणि कुछ दिन पहले चंडीगढ़ किसी रिकॉर्डिंग के लिए गए थे, वहां से लौटने के बाद वह बीमारी पड़ गए। इसके बाद उन्हें मंडी के एक अस्पताल में भर्ती किया गया। एक दिन पहले ही उन्हें मंडी से AIIMS बिलासपुर रेफर किया गया। देर रात उनकी माैत हो गई। सूचना के अनुसार, आज ही उनका अंतिम संस्कार चच्योट में पैतृक गांव में किया जाएगा। सूरजमणि के देहांत की खबर से हिमाचल में शोक की लहर दौड़ गई है। सूरजमणी ने बचपन से ही शहनाई वादन शुरू किया। अपनी लगन और मेहनत से आज उन्होंने पूरे देश मे अपनी पहचान बना ली थी। सूरजमणि की धुन से होती थी राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय पर्व की शुरुआत प्रदेश में कई राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर के मेलों की शुरुआत सूरजमणि की धुन होती थी। मंडी के अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि पर्व, कुल्लू के दशहरा, चंबा के मिंजर और रामपुर के अंतरराष्ट्रीय लवी मेला समेत प्रदेश के ज्यादातर पारंपरिक मेलों में रात्रि सांस्कृतिक संध्याओं के कार्यक्रम की शुरुआत सूरजमणी की शहनाई के वादन के बाद ही होती थी। ओमान, दुबई व सऊदी अरब समेत कई देशों में किए कार्यक्रम दूरदर्शन और आकाशवाणी पर भी सूरजमणी अपनी शहनाई के स्वरों से लोगों को मंत्रमुग्ध करते रहे हैं। हिमाचली गाने उनकी शहनाई के बगैर अधूरे से लगते हैं। उन्होंने अधिकतर पहाड़ी गानों में अपनी शहनाई के स्वरों को बिखेरा है। अमेरिका, ओमान, दुबई व सऊदी अरब समेत खाड़ी के अनेक देशों में सूरजमणी अपना कार्यक्रम प्रस्तुत कर चुके हैं। शहनाई वादन में हिमाचल के बिस्मिल्लाह खां के नाम से जाने जाते थे शहनाई वादन में सूरजमणी हिमाचल के बिस्मिल्लाह खां के नाम से जाने जाते थे। हिमाचल की लोक संस्कृति को संजोने में उनका बहुत बड़ा योगदान रहा। नेता प्रतिपक्ष ने जताया शोक सूरजमणि अपने पीछे पत्नी और दो बेटे छोड़ गए हैं। हिमाचल के सैकड़ों कलाकारों, संगीतकारों और कला संगीत से जुड़े लोगों ने उनके निधन पर गहरा दुख जताया है। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने भी सूरजमणि के निधन पर शोक व्यक्त किया और कहा कि प्रदेश ने एक बहुत बड़े कलाकार को खोया है जिनकी भरपाई असंभव है। सूरजमणि के निधन की खबर पिछले कल भी सोशल मीडिया में खूब वायरल हुई थी। मगर कल उनका निधन नहीं हुआ। उन्होंने देर AIIMS में अंतिम सांस ली। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने भी बीते कल निधन का पोस्ट सोशल मीडिया में शेयर किया था। बाद में जिसे डिलिट किया गया।
मंडी में भूतपूर्व सैनिकों ने मनाया विजय दिवस:1965 में हुए भारत-पाक युद्ध का 59वां साल, शहीद जवानों को दी गई श्रद्धांजलि
मंडी में भूतपूर्व सैनिकों ने मनाया विजय दिवस:1965 में हुए भारत-पाक युद्ध का 59वां साल, शहीद जवानों को दी गई श्रद्धांजलि हिमाचल प्रदेश के मंडी में 1965 में भारत पाकिस्तान के बीच हुए युद्ध का 59वां विजय दिवस मनाया गया। मंडी के शहीद स्मारक में भूतपूर्व सैनिक लीग मंडी ने काफी हर्षोल्लास के साथ विजय दिवस का सेलिब्रेशन किया। इस दौरान युद्ध में शहीद हुए सैनिकों को शहिद स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि एडीसी मंडी रोहित राठौर व एडीएम मंडी डॉक्टर मदन कुमार भी उपस्थित रहे। युद्ध में पाकिस्तान के 475 टैंक हुए थे तबाह भूतपूर्व सैनिक लीग मंडी के जिला महासचिव कैप्टन हेतराम शर्मा ने कहा कि भारत-पाकिस्तान के बीच 6 सितंबर से 22 सितंबर 1965 तक युद्ध हुआ था। जिसमें भारतीय सैनिकों ने पाकिस्तान का 1840 वर्ग मीटर का इलाका अपने कब्जे में ले लिया था। उन्होंने कहा कि इस युद्ध में पाकिस्तान के 475 टैंक व भारत के मात्र 80 टैंक तबाह हुए थे और यूएनओ के दबाव में 23 सितंबर 1965 को युद्ध विराम हुआ। पाकिस्तान के 5988 सैनिक मारे गए इस युद्ध में पाकिस्तान के 5988 सैनिक मारे गए थे। उन्होंने कहा कि इस युद्ध में जिला मंडी के 28 वीरों ने अपने प्राणों की आहुति दी थी, जिन्हें आज श्रद्धांजलि अर्पित कर याद किया गया। हेतराम ने कहा कि मंडी में बने शहीद स्मारक के दूसरे चरण का कार्य भी अब जल्द ही शुरू हो जाएगा और इस स्मारक में पूर्व युद्ध में शहीदों के नाम भी अंकित किए जाएंगे।