सुखविंदर कोटली विधानसभा की स्थाई समिति के सदस्य बने:जालंधर की आदमपुर सीट से हैं MLA, बसपा छोड़ ज्वाइन की थी कांग्रेस

सुखविंदर कोटली विधानसभा की स्थाई समिति के सदस्य बने:जालंधर की आदमपुर सीट से हैं MLA, बसपा छोड़ ज्वाइन की थी कांग्रेस

जालंधर के कस्बा आदमपुर से कांग्रेस के विधायक सुखविंदर सिंह कोटली को पंजाब विधानसभा की दो स्थायी समितियों का सदस्य चुना गया है। उन्हें विधानसभा अध्यक्ष कुलतार सिंह संधवां द्वारा पंजाब पंचायती राज और पंजाब समाज कल्याण समिति (पंजाब विधानसभा) के सदस्य के रूप में चुना गया है। विधायक सुखविंदर सिंह कोटली ने कहा कि वह आभारी हैं कि स्पीकर ने उन्हें पंजाब पंचायती राज और पंजाब समाज कल्याण कल्याण समिति (पंजाब विधानसभा) का सदस्य नियुक्त किया है। वह पहले की तरह समिति के समक्ष जनहित के मुद्दे उठाएंगे। कौन है विधायक सुखविंदर सिंह कोटली विधायक सुखविंदर सिंह कोटली कांग्रेस से पहले बहुजन समाज पार्टी के साथ थे। उन्होंने कांग्रेस ज्वाइन की तो उन्हें आदमपुर विधानसभा सीट से टिकट दिया गया था और वह उक्त चुनाव भी जीते। सुखविंदर कोटली ने 1984 में राजनीति में अपना कदम रखा, हालांकि उनका संबंध एक राजनीतिक परिवार से ही है। उनके नाना दौलत राम ने जालंधर नॉर्थ से और मामा फकीरचंद ने नकोदर से चुनाव लड़ा था। सुखविंदर कोटली के पिता बसपा के संस्थापक स्वर्गीय कांशीराम के भी करीबी थे। सुखविंदर कोटली ने खुद 3 से ज्यादा दशक तक बसपा में काम किया और प्रदेश के महासचिव भी रहे। जालंधर के कस्बा आदमपुर से कांग्रेस के विधायक सुखविंदर सिंह कोटली को पंजाब विधानसभा की दो स्थायी समितियों का सदस्य चुना गया है। उन्हें विधानसभा अध्यक्ष कुलतार सिंह संधवां द्वारा पंजाब पंचायती राज और पंजाब समाज कल्याण समिति (पंजाब विधानसभा) के सदस्य के रूप में चुना गया है। विधायक सुखविंदर सिंह कोटली ने कहा कि वह आभारी हैं कि स्पीकर ने उन्हें पंजाब पंचायती राज और पंजाब समाज कल्याण कल्याण समिति (पंजाब विधानसभा) का सदस्य नियुक्त किया है। वह पहले की तरह समिति के समक्ष जनहित के मुद्दे उठाएंगे। कौन है विधायक सुखविंदर सिंह कोटली विधायक सुखविंदर सिंह कोटली कांग्रेस से पहले बहुजन समाज पार्टी के साथ थे। उन्होंने कांग्रेस ज्वाइन की तो उन्हें आदमपुर विधानसभा सीट से टिकट दिया गया था और वह उक्त चुनाव भी जीते। सुखविंदर कोटली ने 1984 में राजनीति में अपना कदम रखा, हालांकि उनका संबंध एक राजनीतिक परिवार से ही है। उनके नाना दौलत राम ने जालंधर नॉर्थ से और मामा फकीरचंद ने नकोदर से चुनाव लड़ा था। सुखविंदर कोटली के पिता बसपा के संस्थापक स्वर्गीय कांशीराम के भी करीबी थे। सुखविंदर कोटली ने खुद 3 से ज्यादा दशक तक बसपा में काम किया और प्रदेश के महासचिव भी रहे।   पंजाब | दैनिक भास्कर