हरियाणा के भिवानी में जमीनी विवाद को लेकर एक युवक की ट्रैक्टर से रौंद कर बड़ी निर्ममता से हत्या कर दी गई। युवक की जान बच जाए, इसको लेकर परिजनों ने उसे नागरिक अस्पताल पहुंचाया, लेकिन डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। तोशाम थाना पुलिस ने मौके पर पहुंचकर घटना की छानबीन की। पुलिस द्वारा इस मामले में मृतक के बड़े भाई के बयान पर कार्रवाई की जा रही है। भिवानी के गांव लेघा हेतवान निवासी मनोज कुमार ने पुलिस को बताया कि वे तीन भाई हैं। सबसे बड़ा वह, उससे छोटा अमित उर्फ बंटी और सबसे छोटा सुमित है। उसने बताया कि उसके भाई सुमित ने गांव में ही तूड़े की फैक्ट्री लगा रखी थी। काफी समय से उनका खेत की जमीन को लेकर गांव के ही सुनील और उसके परिवार से जमीन का विवाद चल रहा है। मनोज ने बताया कि बीती रात को उसका छोटा भाई अमित उर्फ बंटी अपने खेत में गया था। वहां जाकर उसने देखा कि सुनील और अन्य व्यक्ति ट्रैक्टर से उनकी फसल को रौंद कर नष्ट कर रहे थे। उसने उक्त लोगों को रोकने का प्रयास किया, लेकिन वह नहीं रूके और उसके साथ मारपीट शुरू कर दी। मनोज ने आरोप लगाया कि जमीन कब्जा कर रहे अन लोगों ने उसके भाई को ट्रैक्टर से कुचल कर मार डाला। सूचना मिलते ही परिवार के लोग वहां पहुंचे तो आरोपी उन्हें देखकर वहां से फरार हो गए। परिजन अमित को भिवानी के नागरिक अस्पताल लेकर आए। वहां पर डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। गांव लेघा हेतवान में युवक की हत्या की घटना की सूचना मिलने पर कैरू चौकी पुलिस टीम व तोशाम थाना पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने घटना की छानबीन की। पुलिस द्वारा इस मामले में पोस्टमॉर्टम करवाए जाने की कार्रवाई की जा रही है। हरियाणा के भिवानी में जमीनी विवाद को लेकर एक युवक की ट्रैक्टर से रौंद कर बड़ी निर्ममता से हत्या कर दी गई। युवक की जान बच जाए, इसको लेकर परिजनों ने उसे नागरिक अस्पताल पहुंचाया, लेकिन डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। तोशाम थाना पुलिस ने मौके पर पहुंचकर घटना की छानबीन की। पुलिस द्वारा इस मामले में मृतक के बड़े भाई के बयान पर कार्रवाई की जा रही है। भिवानी के गांव लेघा हेतवान निवासी मनोज कुमार ने पुलिस को बताया कि वे तीन भाई हैं। सबसे बड़ा वह, उससे छोटा अमित उर्फ बंटी और सबसे छोटा सुमित है। उसने बताया कि उसके भाई सुमित ने गांव में ही तूड़े की फैक्ट्री लगा रखी थी। काफी समय से उनका खेत की जमीन को लेकर गांव के ही सुनील और उसके परिवार से जमीन का विवाद चल रहा है। मनोज ने बताया कि बीती रात को उसका छोटा भाई अमित उर्फ बंटी अपने खेत में गया था। वहां जाकर उसने देखा कि सुनील और अन्य व्यक्ति ट्रैक्टर से उनकी फसल को रौंद कर नष्ट कर रहे थे। उसने उक्त लोगों को रोकने का प्रयास किया, लेकिन वह नहीं रूके और उसके साथ मारपीट शुरू कर दी। मनोज ने आरोप लगाया कि जमीन कब्जा कर रहे अन लोगों ने उसके भाई को ट्रैक्टर से कुचल कर मार डाला। सूचना मिलते ही परिवार के लोग वहां पहुंचे तो आरोपी उन्हें देखकर वहां से फरार हो गए। परिजन अमित को भिवानी के नागरिक अस्पताल लेकर आए। वहां पर डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। गांव लेघा हेतवान में युवक की हत्या की घटना की सूचना मिलने पर कैरू चौकी पुलिस टीम व तोशाम थाना पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने घटना की छानबीन की। पुलिस द्वारा इस मामले में पोस्टमॉर्टम करवाए जाने की कार्रवाई की जा रही है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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विनेश फोगाट के फैसले से ताऊ महावीर नाराज:बोले- राजनीति 2028 के बाद कर लेती, जल्दबाजी की; बृजभूषण बोले- उसे CM फेस घोषित करे कांग्रेस
विनेश फोगाट के फैसले से ताऊ महावीर नाराज:बोले- राजनीति 2028 के बाद कर लेती, जल्दबाजी की; बृजभूषण बोले- उसे CM फेस घोषित करे कांग्रेस हरियाणा की पहलवान विनेश फोगाट के ताऊ द्रोणाचार्य अवॉर्ड से सम्मानित महावीर फोगाट उनके राजनीति में उतरने के फैसले से नाराज हैं। महावीर का कहना है कि विनेश ने राजनीति में जाने का फैसला जल्दबाजी में लिया है। वह नेता तो बन जाएगी, लेकिन ओलिंपिक मेडलिस्ट नहीं कहलाएगी। वहीं, पूर्व भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने कहा है- विनेश फोगाट हरियाणा की मुख्यमंत्री बन जाए। मैं तो कहता हूं कि विनेश को मुख्यमंत्री का चेहरा बनाकर चुनाव लड़ाना चाहिए। इतनी दबंग लेडी है, जो ट्रायल नहीं होने देती, हारी हुई कुश्ती को जीत लेती है। 2028 में विनेश यकीनन विजेता बनती
विनेश फोगाट ने ओलिंपिक में कुश्ती के फाइनल से डिस्क्वालिफाई होने के बाद कुश्ती से संन्यास की घोषणा कर दी थी। इसके बाद बीते शुक्रवार को उन्होंने कांग्रेस पार्टी जॉइन कर ली। महावीर कहते हैं कि विनेश को 2028 के ओलिंपिक का इंतजार करना चाहिए था। इस बार वह यकीनन विजेता बनती। महावीर फोगाट कहते हैं, ‘राजनेता को लोग 5 साल में भूल जाते हैं। एक ओलिंपिक पदक विजेता को हमेशा याद रखा जाता है। अगर उसे राजनीति करनी भी थी तो वह 2028 का ओलिंपिक खेलने के बाद भी कर सकती थी। अभी उसकी उम्र सिर्फ 30 साल है। उसने देश वासियों के सपने को पूरा नहीं किया।’ विनेश को कांग्रेस ने जुलाना से कैंडिडेट बनाया
इससे पहले बीते रविवार को रेसलर विनेश फोगाट ने पहली बार पेरिस ओलिंपिक में 100 ग्राम बढ़े वजन से मेडल से चूकने के बारे में बात की। विनेश ने दावा किया कि मेडल को लेकर उनके पास कानूनी विकल्प था। यह उन्हें भारतीय डेलिगेशन नहीं, बल्कि एक दोस्त ने बताया था। विनेश ने यह भी कहा कि BJP वालों ने ओलिंपिक मेडल को मेरा मेडल समझा। मेरी कोई मदद नहीं की गई। विनेश 6 सितंबर को ही कांग्रेस में शामिल हुई हैं और कांग्रेस ने उन्हें जींद जिले की जुलाना विधानसभा सीट से उम्मीदवार भी बना दिया है। वहीं, उनके साथ ही कांग्रेस में शामिल हुए बजरंग पूनिया को पार्टी ने ऑल इंडिया किसान कांग्रेस का वर्किंग प्रेसिडेंट बनाया है। विनेश भारतीय कुश्ती संघ (WFI) के पूर्व अध्यक्ष भाजपा नेता बृजभूषण सिंह के खिलाफ यौन शोषण के आरोपों से जुड़े आंदोलन की अगुआई करने वालों में शामिल थीं। कांग्रेस में शामिल होने से पहले दोनों पहलवानों ने राहुल गांधी से मुलाकात की थी। विनेश बोलीं- भाजपा वाले ईगो पर बात ले गए, 4 सवालों के जवाब सवाल: पेरिस ओलिंपिक में 100 ग्राम वजन बढ़ा हुआ मिला तो आपके पास कानूनी विकल्प थे, ये किसने बताया?
विनेश: जब हम प्रोटेस्ट में थे तो एक फ्रेंड थी जो इंटरनेशनल स्पोर्ट्स में है। उन्होंने मुझे अप्रोच किया कि ऐसी चीजें हैं। सवाल: भारतीय प्रतिनिधिमंडल में जो लोग थे, उन्होंने कोई आपकी मदद नहीं की?
विनेश: नहीं, वह सब बाद में आए। केस मैंने किया। इनके वकील बाद में आए। सवाल: आपको कुछ विदेशी खिलाड़ियों ने बताया कि सही तरीके से लड़ाई लड़ी जाती तो मेडल आपका होता।
विनेश: यह सच है। दुर्भाग्य देश का है। ये इतनी ईगो पर बात ले गए कि वह मेडल मेरा था। वह मेरा नहीं, देश का मेडल था। देश चाहता तो ला सकता था। वह कौन नहीं लेकर आए, सबको पता है। सवाल: विनेश का कैसे, वह मेडल तो भारत का था?
विनेश: BJP वाले तो सोच रहे हैं कि विनेश का था। तभी इन्होंने मुझसे बदला लेने के लिए इतना कुछ किया। मुझे कोई मदद नहीं मिली। मेरे चुनाव लड़ने का फैसला कांग्रेस का- विनेश
कांग्रेस में शामिल होकर चुनाव लड़ने के बारे में विनेश फोगाट ने कहा कि बजरंग पूनिया के साथ चुनाव लड़ने को लेकर कोई बात नहीं हुई थी। हमने यह कांग्रेस पार्टी पर छोड़ा था और उन्होंने फैसला कर दिया। बजरंग को जो ऑल इंडिया किसान कांग्रेस का वर्किंग चेयरमैन बनाया गया है, वह भी हमारे दिल के करीब है। मुझे लगता है कि बजरंग के पास मुझसे ज्यादा जिम्मेदारी है। बृजभूषण को थप्पड़ मारने का भी टाइम आएगा
पूर्व कुश्ती संघ अध्यक्ष बृजभूषण के छेड़छाड़ पर थप्पड़ क्यों नहीं मारने के सवाल पर विनेश ने कहा कि वही हमारी गलती रह गई। भगवान ने पहले इतनी हिम्मत नहीं दी थी, वर्ना बहुत सारी बच्चियां बच जातीं। थप्पड़ मारने का भी टाइम आएगा। वह अभी क्यों डर रहा है। इतना क्यों बौखला रहा है। बृजभूषण के एक दिन में डबल ट्रायल के आरोपों पर विनेश ने कहा कि यह सब नियमों के तहत हुआ। अगर मैं इतनी शक्तिशाली होती तो बृजभूषण को जेल के अंदर नहीं डाल देती। 3 पार्टियों में बंटा फोगाट फैमिली का कुनबा
महावीर फोगाट का कुनबा इस समय तीन पार्टियों में बंटा हुआ हैं। उनकी बेटी बबीता फोगाट BJP नेता हैं। वह 2019 में दादरी से BJP की टिकट पर चुनाव भी लड़ी थी, लेकिन इस बार पार्टी ने उनका टिकट काट दिया। जबकि, उनकी भतीजी विनेश फोगाट और उनके दामाद बजरंग पूनिया ने हाल में कांग्रेस पार्टी जॉइन की है। उनके भाई सज्जन बलाली JJP के दादरी में जिला अध्यक्ष हैं। बेटी बबीता का दादरी से टिकट कटने पर महावीर फोगाट ने कहा- यह तो राजनीति में चलता रहता है। संगठन किसी एक को ही खुश कर सकता है। पार्टी का फैसला बबीता के लिए सबसे ऊपर है। दरअसल, फोगाट फैमिली के बीच लंबे समय से तनातनी बनी हुई हैं। महावीर फोगाट की बेटी बबीता फोगाट खुलकर BJP की तारीफ करती आई हैं, जबकि विनेश फोगाट की राजनीतिक शुरुआत ही BJP के विरोध से हुई है। 100 ग्राम वजन ज्यादा होने से डिस्क्वालीफाई हुई
बता दें कि 50 किलोग्राम वजन कैटेगरी फ्री स्टाइल कुश्ती में विनेश फोगाट इस बार पेरिस ओलिंपिक में मेडल से चूक गई थीं। उन्होंने लगातार दो मैच में नामी रेसलर को हराकर फाइनल में जगह बनाई थी। विनेश को 7 अगस्त को गोल्ड मेडल के लिए फाइनल मुकाबला खेलना था। मैच से पहले जब उनका वजन किया गया तो 100 ग्राम अधिक मिला। जिसके चलते उन्हें डिसक्वालीफाई कर दिया गया था। जिसके चलते वह मेडल से चूक गई थी। विनेश-बजरंग ने बृजभूषण के खिलाफ धरने की अगुआई की
साल 2023 में महिला पहलवानों ने भारतीय कुश्ती संघ के (WFI) के तत्कालीन अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर यौन शोषण के आरोप लगाए थे। उनकी गिरफ्तारी की मांग पर बजरंग पूनिया, विनेश फोगाट और साक्षी मलिक की अगुआई में पहलवानों ने दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना दिया। यह धरना करीब 140 दिन तक चला। विनेश फोगाट ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम एक खुला खत लिखा था, जिसमें उन्होंने कहा था कि वे मेडल लौटा देंगी। इससे पहले पहलवान साक्षी मलिक ने खेल से संन्यास लेने की घोषणा की थी। पहलवान बजरंग पूनिया ने भी अपना पद्मश्री पुरस्कार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आवास के बाहर रख दिया था। ये खबर भी पढ़ें… बृजभूषण का तंज-विनेश को CM का कैंडिडेट बना देना चाहिए:इतनी दबंग लेडी हैं कि ट्रायल नहीं होने देती, हारी हुई कुश्ती को जीत लेती हैं पूर्व भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने कांग्रेस नेता व पहलवान विनेश फोगाट पर पलटवार किया। कहा- विनेश फोगाट हरियाणा की मुख्यमंत्री बन जाए। मैं तो कहता हूं कि विनेश को मुख्यमंत्री का चेहरा बनाकर चुनाव लड़ाना चाहिए। इतनी दबंग लेडी है, जो ट्रायल नहीं होने देती, हारी हुई कुश्ती को जीत लेती है। पूरी खबर पढ़ें…
करनाल में कार और बाइक की भिड़ंत:मां की मौत बेटा गंभीर, बेटे के साथ मायके जा रही थी महिला
करनाल में कार और बाइक की भिड़ंत:मां की मौत बेटा गंभीर, बेटे के साथ मायके जा रही थी महिला हरियाणा में करनाल के निसिंग बस अड्डे के नजदीक एक कार की टक्कर से बाइक सवार महिला की मौत हो गई, जबकि बाइक चालक गंभीर रूप से घायल हो गया। महिला अपने बेटे के साथ अपने मायके जा रही थी। आनन फानन में घायल को करनाल के कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज में भर्ती करवाया। जहां से युवक को चंडीगढ़ PGI में रेफर कर दिया, लेकिन परिजन उसे करनाल के एक प्राइवेट अस्पताल में ले गए। घटना की सूचना के बाद पुलिस मौके पर पहुंच गई और शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए मोर्चरी भेज दिया। पुलिस ने आरोपी कार चालक के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है और पोस्टमार्टम के बाद शव परिजनों को सौंप दिया है। पीछे से मारी टक्कर गांव जलमाना निवासी महिंद्रो देवी अपने बेटे मोहन के साथ अपने मायके जा रही थी। जैसे ही वह निसिंग में बस अड्डे पर पहुंचे तो पीछे से तेज रफ्तार कार ने उनकी बाइक को टक्कर मार दी। टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि वह सड़क पर गिरी और उसका सिर सड़क पर लगा। बाइक चला रहा मोहन भी बाइक सहित सड़क पर गिरा और गंभीर रूप से घायल हो गया। हादसा होता देख आसपास के लोग मौके पर पहुंच गए, जबकि कार चालक मौके से फरार हो गया। बेटे का चल रहा चंडीगढ़ PGI में इलाज परिजनों ने दोनों घायलों को करनाल के सरकारी अस्पताल में भर्ती करवाया। जहां पर महिंद्रा को डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया, वहीं मोहन को चंडीगढ़ रेफर दिया, परिजन उसे प्राइवेट अस्पताल में ले गए। मृतका के बेटे सोहन लाल ने बताया कि कार चालक की लापरवाही के कारण हादसा हुआ है। गाडी वाले ने शायद ड्रिंक कर रखी थी। घटना की सूचना पुलिस को दे दी गई थी। जिसके बाद डायल-112 मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने आरोपी की गाड़ी क्षतिग्रस्त बाइक को कब्जे में ले लिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
हरियाणा के सांसद ने राज्यसभा छोड़ी:उपराष्ट्रपति को इस्तीफा सौंपा; अब राज्य सरकार में मंत्रीपद की कोशिश में जुटे
हरियाणा के सांसद ने राज्यसभा छोड़ी:उपराष्ट्रपति को इस्तीफा सौंपा; अब राज्य सरकार में मंत्रीपद की कोशिश में जुटे हरियाणा में विधायक बनने के बाद राज्य सभा सांसद कृष्ण लाल पंवार ने राज्यसभा से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने राज्यसभा सदस्य रहते हुए भाजपा की टिकट पर इसराना हलके से चुनाव लड़ा था। विधायक चुने जाने के बाद उन्होंने राज्यसभा से त्यागपत्र दिया है। वे 2014 में भाजपा सरकार में परिवहन मंत्री रह चुके हैं। अब एक बार फिर से मंत्रीपद की दौड़ में हैं। जानकारी अनुसार कृष्णलाल पंवार ने उप राष्ट्रपति और राज्यसभा के अध्यक्ष जगदीप धनखड़ को अपना इस्तीफा सौंपा है। स्पीकर ने तुरंत प्रभाव से उनका इस्तीफा मंजूर भी कर लिया है। कृष्ण लाल पंवार इसराना विधानसभा सीट से विधायक बने हैं। इसके बाद ही उन्होंने राज्यसभा छोड़नी पड़ी है। बॉयलर ऑपरेटर थे कृष्ण लाल पंवार
कृष्ण लाल पंवार का जन्म पानीपत जिले के मतलौडा में 1 जनवरी 1958 को हुआ। उनके पास 10वीं और 5 वर्षीय बॉयलर कैप्टेन्सी का डिप्लोमा है। वो थर्मल बॉयलर ऑपरेटर से सेवानिवृत्त होकर राजनीतिक में आए थे। उन्होंने इंडियन नेशनल लोकदल में राजनीतिक करियर की शुरुआत की और उसके बाद भारतीय जनता पार्टी को जॉइन किया। पंवार ने थर्मल पावर प्लांट में 12 साल की नौकरी कर साल 1991 में इस्तीफा दिया था। ओम प्रकाश चौटाला के नेतृत्व में उन्होंने असंध विधानसभा सीट से 1991 का चुनाव और पहली बार में ही जीत कर विधायक बनें। इसके बाद वो इनेलो की ही टिकट पर 1996 और 2000 में असंध से विधायक बने। 2000 में उनको हाउसिंग बोर्ड का चेयरमैन बनाया। 2005 में वो चुनाव हार गए। 2009 में इसराना विधानसभा से उन्होंने एक बार फिर इनेलो के टिकट पर जीत दर्ज की। बलवीर सिंह वाल्मिकी को हराया
इसराना विधानसभा सीट पर कृष्ण लाल पंवार ने कांग्रेस के बलवीर सिंह वाल्मिकी को हराया। कृष्ण लाल पंवार को 67538 वोट मिले। बलवीर सिंह वाल्मिकी को 53643 वोट मिले. निर्दलीय राकेश सरोहा 4283 वोटों के साथ तीसरे स्थान पर रहे। कुलदीप बिश्नोई दावेदारी जता रहे
हरियाणा में खाली हो रही राज्यसभा सीट के लिए उन्होंने लॉबिंग शुरू कर दी है। बिश्नोई परिवार फिर से अपनी राजनीतिक जमीन बनाने में जुट गया है। 11 अक्टूबर को दिल्ली में कुलदीप बिश्नोई ने उप राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ से मुलाकात की। उनके साथ कुलदीप बिश्नोई का पूरा परिवार भी मौजूद था। इस दौरान हरियाणा विधानसभा चुनाव और आगामी राजनीति को लेकर चर्चा हुई। किरण चौधरी हाल ही में चुनी गई हैं राज्यसभा सांसद
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक कुलदीप बिश्नोई राज्यसभा की खाली हुई सीट पर चुनाव लड़कर राज्यसभा जाना चाहते हैं। राज्यसभा सीट के लिए भाजपा के पास पूर्ण बहुमत भी है। इससे पहले दीपेंद्र हुड्डा के लोकसभा सांसद बनने पर खाली हुई राज्यसभा सीट पर किरण चौधरी ने चुनाव लड़ा और वह राज्यसभा सांसद चुनी गईं। किरण चौधरी के सामने विपक्ष चुनाव लड़ने की हिम्मत नहीं जुटा पाया। भूपेंद्र हुड्डा अकसर यह कहते नजर आए कि हमारे पास बहुमत नहीं है।