पंजाब सरकार के वन एवं वन्य जीव संरक्षण विभाग ने गर्मी के मौसम में जंगलों में आग लगने की बढ़ती घटनाओं को देखते हुए पूरे राज्य में विशेष अलर्ट जारी किया है। विभाग ने आम लोगों से अपील की है कि वे जंगल में आग लगने की घटना होने पर तुरंत सूचना दें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर नजर रखें। इसके लिए 24 घंटे कंट्रोल नंबर जारी किया गया है। राज्य भर के अलग-अलग जिलों में नोडल अधिकारी नियुक्त किए गए हैं, जिनके मोबाइल और लैंडलाइन नंबर जारी किए गए हैं। हर जिले के लिए एक अलग अधिकारी को जिम्मेदारी सौंपी गई है, जो आग लगने की सूचना मिलने पर तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित करेगा। चंडीगढ़ में बनाया गया कंट्रोल रूम विभाग ने स्पष्ट किया है कि जंगलों में जानबूझकर आग लगाना एक गंभीर अपराध है, जिसके लिए दोषी को जुर्माना और सजा दोनों हो सकती हैं। आग से वन संपत्ति, वन्यजीव, पर्यावरण और मानव जीवन को भारी नुकसान पहुंचता है। चंडीगढ़ स्थित विभागीय मुख्यालय में भी 24 घंटे सक्रिय कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है, जहां टोल फ्री नंबर 1800-180-2323 पर कभी भी सूचना दी जा सकती है। साथ ही forestfirecontrol@gmail.com पर ईमेल द्वारा भी जानकारी भेजी जा सकती है। राज्य में 13 वाइल्ड लाइफ सेंचुरी पंजाब का कुल भौगोलिक क्षेत्रफल लगभग 50,362 वर्ग किलोमीटर है, जिसमें से लगभग 3.65% क्षेत्र (लगभग 1,842 वर्ग किलोमीटर) वन क्षेत्र के अंतर्गत आता है। जबकि 13 वाइल्डलाइफ सैंक्चुअरी (वन्यजीव अभयारण्य) और 2 ज़ूलॉजिकल पार्क मौजूद हैं। प्रमुख सैंक्चुअरी में हरिके, अंजानिया, और तलवंडी साबो शामिल हैं, जो पक्षियों और अन्य जीव-जंतुओं की जैव विविधता के लिए प्रसिद्ध हैं। राज्य के जंगलों में 300 से अधिक प्रजातियों के पक्षी पाए जाते हैं, जिनमें प्रवासी पक्षी भी शामिल हैं जो सर्दियों में हरिके झील जैसे क्षेत्रों में आते हैं। इसके अलावा, राज्य में 50 से अधिक स्तनधारी प्रजातियां, 20 से अधिक सरीसृप, और 40 से अधिक प्रकार के उभयचर और मछलियां भी पाई जाती है। पंजाब सरकार के वन एवं वन्य जीव संरक्षण विभाग ने गर्मी के मौसम में जंगलों में आग लगने की बढ़ती घटनाओं को देखते हुए पूरे राज्य में विशेष अलर्ट जारी किया है। विभाग ने आम लोगों से अपील की है कि वे जंगल में आग लगने की घटना होने पर तुरंत सूचना दें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर नजर रखें। इसके लिए 24 घंटे कंट्रोल नंबर जारी किया गया है। राज्य भर के अलग-अलग जिलों में नोडल अधिकारी नियुक्त किए गए हैं, जिनके मोबाइल और लैंडलाइन नंबर जारी किए गए हैं। हर जिले के लिए एक अलग अधिकारी को जिम्मेदारी सौंपी गई है, जो आग लगने की सूचना मिलने पर तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित करेगा। चंडीगढ़ में बनाया गया कंट्रोल रूम विभाग ने स्पष्ट किया है कि जंगलों में जानबूझकर आग लगाना एक गंभीर अपराध है, जिसके लिए दोषी को जुर्माना और सजा दोनों हो सकती हैं। आग से वन संपत्ति, वन्यजीव, पर्यावरण और मानव जीवन को भारी नुकसान पहुंचता है। चंडीगढ़ स्थित विभागीय मुख्यालय में भी 24 घंटे सक्रिय कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है, जहां टोल फ्री नंबर 1800-180-2323 पर कभी भी सूचना दी जा सकती है। साथ ही forestfirecontrol@gmail.com पर ईमेल द्वारा भी जानकारी भेजी जा सकती है। राज्य में 13 वाइल्ड लाइफ सेंचुरी पंजाब का कुल भौगोलिक क्षेत्रफल लगभग 50,362 वर्ग किलोमीटर है, जिसमें से लगभग 3.65% क्षेत्र (लगभग 1,842 वर्ग किलोमीटर) वन क्षेत्र के अंतर्गत आता है। जबकि 13 वाइल्डलाइफ सैंक्चुअरी (वन्यजीव अभयारण्य) और 2 ज़ूलॉजिकल पार्क मौजूद हैं। प्रमुख सैंक्चुअरी में हरिके, अंजानिया, और तलवंडी साबो शामिल हैं, जो पक्षियों और अन्य जीव-जंतुओं की जैव विविधता के लिए प्रसिद्ध हैं। राज्य के जंगलों में 300 से अधिक प्रजातियों के पक्षी पाए जाते हैं, जिनमें प्रवासी पक्षी भी शामिल हैं जो सर्दियों में हरिके झील जैसे क्षेत्रों में आते हैं। इसके अलावा, राज्य में 50 से अधिक स्तनधारी प्रजातियां, 20 से अधिक सरीसृप, और 40 से अधिक प्रकार के उभयचर और मछलियां भी पाई जाती है। पंजाब | दैनिक भास्कर
