हरियाणा के सिरसा में चल रहे शादी समारोह में रविवार को अचानक राजस्थान पुलिस पहुंच गई। टीम ने शादी करा रहे बिचौलिये को पकड़ लिया। फिर दुल्हन और उसके साथ आए रिश्तेदारों की जांच की गई तो सभी फर्जी निकले। यहां तक कि जिन लोगों को माता-पिता बनाकर लाया गया था, वे दुल्हन का नाम तक नहीं जानते थे। इसका का भंडाफोड़ होते हुए शादी समारोह में अफरा-तफरी मच गई, सब अपने सामान समेट कर चलते बने। राजस्थान पुलिस इस मामले में शादी के जोड़े में आई दुल्हन, उसके रिश्तदारों और बिचौलिए को हिरासत में ले लिया। इसके बाद पंजाब से बारात लेकर आया दूल्हा दुल्हन के लिए लेकर लाया लहंगा और अन्य सामान समेट कर लौट गया। यहां जानिए इस फर्जी शादी का पूरा मामला… 4 पॉइंट में जानिए लड़के पक्ष को कैसे फंसाया गया… 1. दिव्यांग है दूल्हा, नहीं हो रही थी शादी
शादी के फर्जीवाड़े का खुलासा होने पर दूल्हे पक्ष के होश उड़ गए। दूल्हे ने बताया कि वह दिव्यांग है और पंजाब के मोगा जिला स्थित गांव नवाचंद से बारात लेकर आए हैं। उसकी शादी नहीं हो रही थी। कुछ दिन पहले पंजाब के मुक्तसर के सिंघेवाला गांव की रहने वाली महिला बीरपाल ने उसके मौसा को फोन किया कि आपका लड़का दिव्यांग है, उसकी शादी नहीं हो रही है तो मैं करा सकतीं हूं। उसके मौसा ने इसकी जानकारी युवक के परिजनों को दी तो उन्होंने हामी भर दी। 2. 2 लाख रुपए में तय हुआ रिश्ता
दूल्हे के मुताबिक, उसके परिवार की ओर से सहमति मिलने के बाद बीरपाल ने उन्हें बताया कि इसमें दो लाख रुपए खर्च आएगा। इस पर लड़का पक्ष सहमत हो गया और उसे लड़की दिखाने बुलाया। शुक्रवार (30 मई) को ही लड़का पक्ष पंजाब के मोगा से डबवाली पहुंचा और लड़की देख कर हां भर दी। उनकी एक लाख रुपए में डील हो गई, बाकी रुपए बाद में देना तय हुआ। रविवार को शादी के लिए बात हो गई और वह वापस चले गए। 3. डेढ़ लाख और मांगने के लिए किए फोन
दूल्हे के मुताबिक, शनिवार (31 मई) की शाम से महिला बीरपाल के उनके पास फोन आने शुरू हो गए और कहा कि डेढ़ लाख रुपए और देने होंगे। तभी शादी होगी। इस पर उनके बीच कई बार बात हुई। आखिर लड़के पक्ष ने डेढ़ लाख देने से मना कर दिया। बाद में महिला का दोबारा फोन आया कि कोई बात नहीं। जो बात पहले तय हुई थी, आपको एक लाख ही देने होंगे। इसके बाद डबवाली सच कैंटीन पर शादी के लिए बात फाइनल हुई। 4. शादी में हुआ भंडाफोड़, बिना दुल्हन लौटे
दूल्हे के मुताबिक, रविवार को वह और उसका परिवार शादी के लिए डबवाली पहुंचे। लड़की के लिए शादी का लहंगा और नए कपड़े खरीदे। मिठाई और कोल्ड ड्रिंक आदि सामान खरीदा। शादी की तैयारी चल रही थी। तभी पुलिस पहुंच गई और मामले का भंडाफोड़ हो गया। 5. पहले भी कई फर्जी शादियां करवा चुका
राजस्थान पुलिस के अनुसार आरोपी रेशम सिंह पहले भी कई लोगों की फर्जी शादियां करवा चुका है। शुरू में शादी के चार से पांच दिन लड़की दुल्हन बनकर ससुराल यानी लड़के के घर पर रहती थी। इसके चार से पांच दिन बाद वह गहने या पैसे लेकर फरार हो जाती है। एक तरह से ये गिरोह शादी के नाम पर लाखों रुपए लेकर और शादी के बाद गहने चोरी कर चूना लगाने का काम करता था। शादी के लिए लड़की के माता-पिता या अन्य रिश्तेदार भी फर्जी बनाकर लाता था। दोनों पक्षों में हुआ समझौता
सिरसा के रोड़ी थाने के जांच अधिकारी सुनील कुमार ने बताया कि राजस्थान पुलिस ने इस मामले की सूचना दी थी। वह रेशम सिंह को अपने साथ ले गए हैं। उधर, लड़की और लड़के पक्ष को जांच में शामिल किया। फिलहाल दोनों पक्षों में समझौता हो गया है, जिन्हें थाने से भेज दिया गया है। आगे इस मामले की जांच राजस्थान पुलिस ही करेगी। हरियाणा के सिरसा में चल रहे शादी समारोह में रविवार को अचानक राजस्थान पुलिस पहुंच गई। टीम ने शादी करा रहे बिचौलिये को पकड़ लिया। फिर दुल्हन और उसके साथ आए रिश्तेदारों की जांच की गई तो सभी फर्जी निकले। यहां तक कि जिन लोगों को माता-पिता बनाकर लाया गया था, वे दुल्हन का नाम तक नहीं जानते थे। इसका का भंडाफोड़ होते हुए शादी समारोह में अफरा-तफरी मच गई, सब अपने सामान समेट कर चलते बने। राजस्थान पुलिस इस मामले में शादी के जोड़े में आई दुल्हन, उसके रिश्तदारों और बिचौलिए को हिरासत में ले लिया। इसके बाद पंजाब से बारात लेकर आया दूल्हा दुल्हन के लिए लेकर लाया लहंगा और अन्य सामान समेट कर लौट गया। यहां जानिए इस फर्जी शादी का पूरा मामला… 4 पॉइंट में जानिए लड़के पक्ष को कैसे फंसाया गया… 1. दिव्यांग है दूल्हा, नहीं हो रही थी शादी
शादी के फर्जीवाड़े का खुलासा होने पर दूल्हे पक्ष के होश उड़ गए। दूल्हे ने बताया कि वह दिव्यांग है और पंजाब के मोगा जिला स्थित गांव नवाचंद से बारात लेकर आए हैं। उसकी शादी नहीं हो रही थी। कुछ दिन पहले पंजाब के मुक्तसर के सिंघेवाला गांव की रहने वाली महिला बीरपाल ने उसके मौसा को फोन किया कि आपका लड़का दिव्यांग है, उसकी शादी नहीं हो रही है तो मैं करा सकतीं हूं। उसके मौसा ने इसकी जानकारी युवक के परिजनों को दी तो उन्होंने हामी भर दी। 2. 2 लाख रुपए में तय हुआ रिश्ता
दूल्हे के मुताबिक, उसके परिवार की ओर से सहमति मिलने के बाद बीरपाल ने उन्हें बताया कि इसमें दो लाख रुपए खर्च आएगा। इस पर लड़का पक्ष सहमत हो गया और उसे लड़की दिखाने बुलाया। शुक्रवार (30 मई) को ही लड़का पक्ष पंजाब के मोगा से डबवाली पहुंचा और लड़की देख कर हां भर दी। उनकी एक लाख रुपए में डील हो गई, बाकी रुपए बाद में देना तय हुआ। रविवार को शादी के लिए बात हो गई और वह वापस चले गए। 3. डेढ़ लाख और मांगने के लिए किए फोन
दूल्हे के मुताबिक, शनिवार (31 मई) की शाम से महिला बीरपाल के उनके पास फोन आने शुरू हो गए और कहा कि डेढ़ लाख रुपए और देने होंगे। तभी शादी होगी। इस पर उनके बीच कई बार बात हुई। आखिर लड़के पक्ष ने डेढ़ लाख देने से मना कर दिया। बाद में महिला का दोबारा फोन आया कि कोई बात नहीं। जो बात पहले तय हुई थी, आपको एक लाख ही देने होंगे। इसके बाद डबवाली सच कैंटीन पर शादी के लिए बात फाइनल हुई। 4. शादी में हुआ भंडाफोड़, बिना दुल्हन लौटे
दूल्हे के मुताबिक, रविवार को वह और उसका परिवार शादी के लिए डबवाली पहुंचे। लड़की के लिए शादी का लहंगा और नए कपड़े खरीदे। मिठाई और कोल्ड ड्रिंक आदि सामान खरीदा। शादी की तैयारी चल रही थी। तभी पुलिस पहुंच गई और मामले का भंडाफोड़ हो गया। 5. पहले भी कई फर्जी शादियां करवा चुका
राजस्थान पुलिस के अनुसार आरोपी रेशम सिंह पहले भी कई लोगों की फर्जी शादियां करवा चुका है। शुरू में शादी के चार से पांच दिन लड़की दुल्हन बनकर ससुराल यानी लड़के के घर पर रहती थी। इसके चार से पांच दिन बाद वह गहने या पैसे लेकर फरार हो जाती है। एक तरह से ये गिरोह शादी के नाम पर लाखों रुपए लेकर और शादी के बाद गहने चोरी कर चूना लगाने का काम करता था। शादी के लिए लड़की के माता-पिता या अन्य रिश्तेदार भी फर्जी बनाकर लाता था। दोनों पक्षों में हुआ समझौता
सिरसा के रोड़ी थाने के जांच अधिकारी सुनील कुमार ने बताया कि राजस्थान पुलिस ने इस मामले की सूचना दी थी। वह रेशम सिंह को अपने साथ ले गए हैं। उधर, लड़की और लड़के पक्ष को जांच में शामिल किया। फिलहाल दोनों पक्षों में समझौता हो गया है, जिन्हें थाने से भेज दिया गया है। आगे इस मामले की जांच राजस्थान पुलिस ही करेगी। पंजाब | दैनिक भास्कर
