कोविड के बाद पेट्स के एसेसरीज स्टोर्स में लगातार इजाफा हुआ है। तीन साल पहले जहां करीब 20 दुकानें थीं, वहीं अब लुधियाना जिले में पेट्स एसेसरीज के करीब 156 स्टोर्स हैं, जहां पेट्स के जरूरत का हर सामान उपलब्ध है। वेटरनरी डॉक्टर्स का कहना है कि इसका कारण महामारी के दौरान पेट्स को अपनाने की बढ़ी प्रवृत्ति है। लोगों ने अकेलेपन और मानसिक तनाव से निपटने के लिए पेट्स को अपनाया, जिससे पेट्स की देखभाल और सामानों की मांग तेजी से बढ़ी। कोरोना ने यह कर दिखाया कि पालतू जानवर मानसिक स्वास्थ्य के लिए कितने महत्वपूर्ण हो सकते हैं, जिससे इस इंडस्ट्री को एकदम मजबूती मिली। पेट्स के सामानों में लेटेस्ट ट्रेंड्स में कई अनोखे और उपयोगी उत्पाद शामिल हैं। पेट्स की फैशन एक्सेसरीज काफी ट्रेंड में हैं और इसमें कई तरह के इनोवेटिव और कस्टमाइज्ड आइटम्स हैं। इन एसेसरीज से पेट्स को न केवल स्टाइलिश लुक मिलता है, बल्कि कुछ प्रैक्टिकल फायदों जैसे सुरक्षा और आराम के लिए भी उपयोगी होते हैं। हर मौके के हिसाब से कपड़े करन ने बताया कि अब पेट्स भी फैशनेबल कपड़े ओकेजन और सीजन के हिसाब से पहन रहे हैं। फेस्टिवल और खास अवसरों के लिए थीम्ड कपड़े, जैसे रंग बिरंगे कुर्ते उपलब्ध हैं। पेट्स के गले में बांधने के लिए ट्रेंडी और कलरफुल बंडानाज में बहुत ज्यादा वैरायटी हैं। इन्हें भी नाम या मैसेज के साथ कस्टमाइज किया जा सकता है। पेंट्स के लिए क्यूट और कलरफुल हेयरबैंड या बो टाई, जो खास मौके पर उनकी लुक को आकर्षक बनाते हैं। नॉर्मल के अलावा जॉइंट्स की समस्या वाले पेट्स के लिए ऑर्थोपेडिक बेडिंग भी उपलब्ध हैं। डाइट के इंपोर्टेंट ब्रांड्स हैं, जो ह्यूमन ग्रेड इंग्रीडिएंट्स से तैयार किए होते हैं। विंटर सीजन के लिए भी स्टाइलिश जैकेट्स और स्वेटर उपलब्ध होंगे। जीपीएस ट्रैकर्स से पेट्स पर रख रहे नजर कंवलप्रीत सिंह ने बताया कि आजकल पेट्स के लिए स्मार्ट उपकरण जैसे जीपीएस ट्रैकर्स और फिटनेस मॉनिटर्स बहुत लोकप्रिय हो रहे हैं, जिससे मालिक अपने पेट्स की सेहत और गतिविधियों पर नजर रख रहे हैं। इको-फ्रेंडली और सस्टेनेबल सामग्री से बने खिलौने और सामान का चलन भी बढ़ रहा है, जो पर्यावरण के अनुकूल होते हैं। इसके साथ ही स्वास्थ्य पर ध्यान देते हुए ऑर्गेनिक और स्पेशल डाइट फूड्स भी ट्रेंड में हैं, जो पेट्स की पोषण संबंधी आवश्यकताओं को पूरा करते हैं। कोविड के बाद पेट्स के एसेसरीज स्टोर्स में लगातार इजाफा हुआ है। तीन साल पहले जहां करीब 20 दुकानें थीं, वहीं अब लुधियाना जिले में पेट्स एसेसरीज के करीब 156 स्टोर्स हैं, जहां पेट्स के जरूरत का हर सामान उपलब्ध है। वेटरनरी डॉक्टर्स का कहना है कि इसका कारण महामारी के दौरान पेट्स को अपनाने की बढ़ी प्रवृत्ति है। लोगों ने अकेलेपन और मानसिक तनाव से निपटने के लिए पेट्स को अपनाया, जिससे पेट्स की देखभाल और सामानों की मांग तेजी से बढ़ी। कोरोना ने यह कर दिखाया कि पालतू जानवर मानसिक स्वास्थ्य के लिए कितने महत्वपूर्ण हो सकते हैं, जिससे इस इंडस्ट्री को एकदम मजबूती मिली। पेट्स के सामानों में लेटेस्ट ट्रेंड्स में कई अनोखे और उपयोगी उत्पाद शामिल हैं। पेट्स की फैशन एक्सेसरीज काफी ट्रेंड में हैं और इसमें कई तरह के इनोवेटिव और कस्टमाइज्ड आइटम्स हैं। इन एसेसरीज से पेट्स को न केवल स्टाइलिश लुक मिलता है, बल्कि कुछ प्रैक्टिकल फायदों जैसे सुरक्षा और आराम के लिए भी उपयोगी होते हैं। हर मौके के हिसाब से कपड़े करन ने बताया कि अब पेट्स भी फैशनेबल कपड़े ओकेजन और सीजन के हिसाब से पहन रहे हैं। फेस्टिवल और खास अवसरों के लिए थीम्ड कपड़े, जैसे रंग बिरंगे कुर्ते उपलब्ध हैं। पेट्स के गले में बांधने के लिए ट्रेंडी और कलरफुल बंडानाज में बहुत ज्यादा वैरायटी हैं। इन्हें भी नाम या मैसेज के साथ कस्टमाइज किया जा सकता है। पेंट्स के लिए क्यूट और कलरफुल हेयरबैंड या बो टाई, जो खास मौके पर उनकी लुक को आकर्षक बनाते हैं। नॉर्मल के अलावा जॉइंट्स की समस्या वाले पेट्स के लिए ऑर्थोपेडिक बेडिंग भी उपलब्ध हैं। डाइट के इंपोर्टेंट ब्रांड्स हैं, जो ह्यूमन ग्रेड इंग्रीडिएंट्स से तैयार किए होते हैं। विंटर सीजन के लिए भी स्टाइलिश जैकेट्स और स्वेटर उपलब्ध होंगे। जीपीएस ट्रैकर्स से पेट्स पर रख रहे नजर कंवलप्रीत सिंह ने बताया कि आजकल पेट्स के लिए स्मार्ट उपकरण जैसे जीपीएस ट्रैकर्स और फिटनेस मॉनिटर्स बहुत लोकप्रिय हो रहे हैं, जिससे मालिक अपने पेट्स की सेहत और गतिविधियों पर नजर रख रहे हैं। इको-फ्रेंडली और सस्टेनेबल सामग्री से बने खिलौने और सामान का चलन भी बढ़ रहा है, जो पर्यावरण के अनुकूल होते हैं। इसके साथ ही स्वास्थ्य पर ध्यान देते हुए ऑर्गेनिक और स्पेशल डाइट फूड्स भी ट्रेंड में हैं, जो पेट्स की पोषण संबंधी आवश्यकताओं को पूरा करते हैं। पंजाब | दैनिक भास्कर
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जगराओं में पकड़ी गई दो महिला तस्कर:100 नशीली गोलियां बरामद, जमानत पर जेल से रिहा हुई थी, करने जा रही थी सप्लाई पंजाब के जगराओं में नशा तस्करी के धंधे में शामिल महिलाओं ने जेल से जमानत पर बाहर आने के बाद फिर से नशा तस्करी का धंधा शुरू कर दिया। पुलिस ने आरोपी 2 महिलाओं को उस समय गिरफ्तार कर लिया, जब दोनों महिलाएं नशे की गोलियां बेचने जा रही थी। पुलिस ने आरोपियों से 100 नशे की गोलियां बरामद कर थाना सिधवां बेट में मामला दर्ज कर लिया। आरोपियों की पहचान सिमरनजीत कौर उर्फ सीमा तथा प्रेमो बाई निवासी खोलिया वाला पुल मलासिया बाझन सिधवां बेट के रूप में हुई है। जानकारी देते हुए थाना सिधवां बेट के एएसआई लखविंदर सिंह ने बताया कि वह पुलिस पार्टी के साथ गश्त के दौरान गांव गिद्दडविडी की तरफ जा रहे थे। इसी दौरान उन्हें सूचना मिली कि नशा तस्करी के मामले में जेल से जमानत पर बाहर आई दोनों महिलाओं ने अपनी आदत नही बदली। आरोपियों ने फिर से नशा तस्करी का धंधा शुरू करते हुए आसपास के एरिया में नशे की गोलियां सप्लाई करना शुरू कर दिया। 2023 में भी पकड़ी गई थी तस्करी करते हुए इस समय भी दोनों आरोपी महिलाएं नशे की गोलियां लेकर अपने घर से बेचने के लिए बाहर निकली हैं और गांव मलासिया बाझन से मेन जीटी रोड सिधवां बेट से होते हुए किशनपुरा चौक की तरफ आ रही है। पुलिस ने सूचना मिलने के बाद तुरंत कार्रवाई करते हुए रास्ते में नाकाबंदी कर आरोपी महिलाओं को पकड़ लिया। इस दौरान पुलिस ने आरोपियों से 100 नशे की गोलियां बरामद कर थाना सिधवां बेट में मामला दर्ज कर गिरफ्तार कर लिया। जांच अधिकारी ने बताया कि आरोपियों महिलाओं पर पहले 2023 में भी नशा तस्करी का मामला सिधवां बेट में दर्ज हुआ था। जिसके चलते आरोपी दोनों महिलाएं जेल में बंद थी। कुछ समय पहले ही दोनों आरोपी महिलाएं जेल से जमानत पर बाहर निकली थी।
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