नसीम सोलंकी के बहनोई के घर 90 लाख की चोरी…VIDEO:कानपुर में 3 नकाबपोश घर में घुसे, एक KG गोल्ड और कैश ले गए

नसीम सोलंकी के बहनोई के घर 90 लाख की चोरी…VIDEO:कानपुर में 3 नकाबपोश घर में घुसे, एक KG गोल्ड और कैश ले गए कानपुर में सपा विधायक नसीम सोलंकी के बहनोई के घर 90 लाख की चोरी हुई है। इसका CCTV भी सामने आया है। इसमें दिख रहा है कि 3 नकाबपोश बदमाशों ने वारदात को अंजाम दिया। शनिवार रात हुई इस चोरी में चोर 2.5 लाख रुपए नकद, एक KG सोना-चांदी के जेवरात व अन्य सामान ले गए। सूचना पर जाजमऊ व चकेरी थाने की पुलिस मौके पर पहुंची। नसीम सोलंकी के बहनोई जावेद आलम बड़े चमड़ा कारोबारी हैं। सबसे पहले चोरी की तस्वीरें देखिए… जाजमऊ के पॉश इलाके डिफेंस कॉलोनी में जावेद आलम का घर है। संजय नगर में उनकी टेनरी (फैक्ट्री) है। जावेद अपनी पत्नी शमीम बानो के साथ रहते हैं। शमीम बानो ने बताया- शुक्रवार को उनकी बेटी अपने बच्चों जोहा, जिलफ और नाज के साथ आई थी। शमीम ने बताया- बेटी मकान में पहले फ्लोर पर सो रही थी। जबकि मैं और मेरे पति जावेद दोनों ग्राउंड फ्लोर पर सो रहे थे। शनिवार को पहले फ्लोर पर सुबह 6 बजे जब मैं नमाज पढ़ने के लिए गई तो हमें चोरी की घटना की जानकारी हुई। उन्होंने बताया- मैंने अपने पति को चोरी के बारे में बताया। सूचना पर एसीपी कैंट, जाजमऊ थाना प्रभारी अजय प्रकाश मिश्र, फोरेंसिक टीम और डॉग स्क्वायड पहुंचा। छानबीन की गई। पुलिस ने इलाके के फुटेज भी देखे हैं। पुलिस ने घर में लगे सीसीटीवी चेक किए तो तीन बदमाश दिखाई दिए। इसमें दिख रहा है कि तड़के साढ़े 3 बजे 3 नकाबपोश चोर पीछे की दीवार फांदकर छत पर आए। यहां से सीढ़ी के रास्ते दरवाजा खोलकर अंदर घुसे। यहां कमरे में जाकर अलमारियों को तोड़ा। उसमें रखे एक किलो सोने के जेवर, कुछ चांदी के जेवर और ढाई लाख नकद व अन्य सामान ले गए। चोर छत के रास्ते से ही भाग निकले। बच्ची का स्कूल बैग नहीं छोड़ा
जावेद आलम के पड़ोस में बैंक में असिस्टेंट विपिन चन्द्र मिश्रा का मकान है। चोर इन्हीं की छत से होते हुए चमड़ा कारोबारी के यहां पहुंचे। विपिन चन्द्र मिश्रा के मुताबिक, चोरों को उनके यहां कुछ नहीं मिला तो उनकी पोती का स्कूल बैग ले गए। डीसीपी ईस्ट श्रवण कुमार सिंह ने बताया-सीसीटीवी फुटेज हाथ लगे हैं। उसमें जो नकाबपोश दिखे हैं। उनकी पहचान की जा रही है। पुलिस की तीन टीमों को घटना के खुलासे के लिए लगाया गया है। जल्द ही आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा। ………………….. ये खबर भी पढ़िए… मेरी आंखों के सामने पति को उठा ले गए बदमाश:पत्नी बोली- हत्यारों को नहीं छोडूंगी; झांसी में हाईवे के किनारे मिली लाश मेरे सामने बदमाश पति को कार में डालकर किडनैप कर ले गए। उनको बेरहमी से पीटा। गला दबाकर हत्या कर दी। 3 दिन बाद उनकी लाश मिली। पूरे शरीर पर चोट के निशान थे। हाथ टूटा था। मेरे छोटे-छोटे बच्चे अनाथ हो गए। मैं हत्यारों को छोडूंगी नहीं। यह कहना है झांसी के नंद किशोर की पत्नी लक्ष्मी का। पढ़िए पूरी खबर

किसान बोला-एक्सईएन ने बिल माफ करने के बदले बीवी मांगी:कहा- तुम्हारी पत्नी बहुत सुंदर है, साथ लाया करो; 95 हजार बकाया है

किसान बोला-एक्सईएन ने बिल माफ करने के बदले बीवी मांगी:कहा- तुम्हारी पत्नी बहुत सुंदर है, साथ लाया करो; 95 हजार बकाया है बाराबंकी में बिजली विभाग के एक्सईएन (अधिशाषी अभियंता) पर एक किसान ने गंभीर आरोप लगाए हैं। किसान का कहना है कि एक्सईएन ने बिजली का बिल कम करने के एवज में उसकी बीवी को अकेले में बुलाया। कहा कि तुम्हारी बीवी तो बहुत सुंदर है। किसान ने आरोप लगाया- मुझे 94,864 रुपए बिजली का बिल भेजा गया। यह गलत है। मेरे घर में केवल 2 एलईडी लाइट और 1 टेबल वाला पंखा है। 2 साल का इतना बिल कैसे हो सकता है? एक्सईएन प्रदीप कुमार ने गलत नीयत से ज्यादा बिल भेजा और फिर पत्नी को भेजने की डिमांड की। मामले की जांच हैदरगढ़ के सीओ आलोक पाठक कर रहे हैं। अब पढ़िए किसान ने जेई पर जो आरोप लगाए एक साल से बिजली कटी है
बाराबंकी के हैदरगढ़ में अमरजीत रावत का घर है। अमरजीत ने बताया- मेरा घर 2 कमरों का है। घर में एसी, फ्रिज, कूलर कुछ भी नहीं है। 1 साल से मेरे घर की बिजली कटी हुई है। पिछले साल 2024 में एक्सईएन प्रदीप कुमार ने बिजली कटवाई थी। उसके बाद से आज तक नहीं जुड़ी। 1 साल से मेरी किसी ने मदद नहीं की। जब मैंने सीएम पोर्टल पर शिकायत की, तब जाकर सीओ ने संज्ञान लिया। जेई साहब बोले, बीवी को साथ लेकर आया करो…
अमरजीत ने बताया- 2024 में एक दिन एक्सईएन प्रदीप कुमार और उनकी टीम गांव में मीटर चेक करने आई थी। वो लोग मेरे घर भी आए। मीटर चेक भी किया, फिर थोड़ी देर अंदर रुके। इसके बाद घर से बाहर आ गए। मुझे थोड़ी दूर अकेले में ले जाकर कहने लगे कि तुम्हारी बीवी तो बहुत सुंदर है। यह बोलकर वो चले गए। अगले दिन कुछ लोग आए। मेरा मीटर चेक किया। उसमें कुछ किया, फिर मीटर उखाड़ कर साथ ले गए। इसके बाद मैं एक्सईएन के ऑफिस गया। मैंने उनको बताया कि हमारा मीटर हट गया है। उनको शिकायती पत्र भी दिया। उसके बाद वो अपने ऑफिस से बाहर निकल कर आए। मुझसे कहने लगे, तुम अकेले मत आया करो, अपनी बीवी को भी साथ लाया करो। इसके बाद मैं वहां से लौट आया। इज्जत की वजह से यह बात किसी को नहीं बताई। घर पर भी किसी को कुछ नहीं बताया। धीरे-धीरे इस बात को 1 साल बीत गया। इसके बाद 31 जनवरी को मैंने उनसे फिर से बिजली जोड़ने को कहा। इस पर उन्होंने बीवी के साथ 40 हजार रुपए लाने के लिए भी बोला। मोहल्ले वालों ने भी मेरी मदद नहीं की
अमरजीत ने बताया- इस बीच मैं अपने क्षेत्र के लोगों से मदद मांगता रहा। लेकिन वो लोग बोले कि हम लोग क्या कर सकते हैं? एक्सईएन से तो तुम्हारा पर्सनल मैटर है। आप उनसे ही मिलो। बहुत भटकने के बाद मैंने सीएम पोर्टल पर शिकायत की है। उसके बाद अब मामले में जांच हो रही है। जेई की सफाई- पैसे न देने पड़ें, इसलिए झूठा आरोप लगाया
एक्सईएन प्रदीप कुमार का कहना है, मेरे ऊपर लगे सभी आरोप गलत और निराधार हैं। मेरे ऊपर जो आरोप लगे हैं, उसके खिलाफ मैंने केस दर्ज करवा दिया है। हैदरगढ़ के सीओ से मिलकर मैंने उनको सारी बात बता दी है। 13 मार्च, 2024 को इनके घर का कनेक्शन काटा गया था। अमरजीत रावत को मैं पहचानता तक नहीं। इनका कहना है, ये मुझसे इसी 31 जनवरी को मिले भी थे, जो गलत है। मैं ऑफिस के बाहर भी इनसे नहीं मिला हूं। जिनका पैसा जमा नहीं होता है, उनके कनेक्शन काटे जाते हैं। पैसा जमा न करना पड़े, इसलिए ये झूठे आरोप लगा रहे हैं। ———————- यह खबर भी पढ़ें- महाकुंभ- वाराणसी में ट्रेन के इंजन पर श्रद्धालुओं का कब्जा, लखनऊ में बरेली एक्सप्रेस के सामने खड़े हो गए; हरदोई में ट्रेन में तोड़फोड़ महाकुंभ जाने वाली ट्रेनों में पैर रखने की जगह नहीं है। हालात यह है कि लखनऊ जंक्शन पर ट्रेन में जगह न मिलने पर नाराज श्रद्धालु बरेली प्रयागराज एक्सप्रेस के इंजन के सामने खड़े हो गए। लोको पायलट ने यात्रियों को देखकर ट्रेन रोकी। वाराणसी में भी श्रद्धालुओं ने ट्रेन के इंजन पर ही कब्जा कर लिया। पुलिसकर्मी ने लोगों को किसी तरह से बाहर निकाला। हरदोई में प्लेटफॉर्म पर खड़ी हुई ट्रेन के दरवाजे न खुलने से यात्री नहीं चढ़ पाए तो हंगामा कर दिया। कोच में तोड़फोड़ की। यहां पढ़ें पूरी खबर

यूपी की बड़ी खबरें:AMU में लंच के मेन्यू में बदलाव का नोटिस; प्राक्टर बोले- पहले जैसा ही मेन्यू रहेगा, ये टाइपिंग एरर है

यूपी की बड़ी खबरें:AMU में लंच के मेन्यू में बदलाव का नोटिस; प्राक्टर बोले- पहले जैसा ही मेन्यू रहेगा, ये टाइपिंग एरर है अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी फिर से चर्चा में है। इस बार यहां सुलेमान हॉल की ओर से रविवार को लेकर लंच मेन्यू में परिवर्तन की सूचना जारी की गई। इसमें लिखा गया कि रविवार के लंच मेन्यू में परिवर्तन किया गया है, मांग के अनुसार, चिकन बिरयानी की जगह बीफ बिरयानी परोसी जाएगी, यह परिवर्तन विभिन्न छात्रों की मांग के अनुसार किया गया है। वहीं AMU प्रॉक्टर वसीम अहमद का कहना है सुलेमान हॉल में मेन्यू में बदलाव से संबंधित एक सूचना जारी की गई थी। यह एक प्रकार की टाइपिंग गलती थी। मेन्यू में कोई बदलाव नहीं किया गया है। खाना पहले की तरह ही परोसा जाएगा। बता दें AMU में छात्र और छात्राओं के लिए अलग-अलग 20 छात्रावास हैं। यहां तीनों टाइम खाना दिया जाता है। पढ़िए पूरी खबर गन्ना लदे ट्रक ने बाइक सवार युवक को कुचला; अमरोहा में गुस्साए लोगों ने मिल गेट पर किया प्रदर्शन अमरोहा के मंडी धनौरा में शनिवार को 19 वर्षीय युवक की गन्ना लदे ट्रक की चपेट में आने से मौत हो गई। मृतक की पहचान बछरायूं क्षेत्र के गांव मलेशिया निवासी सचिन कुमार के रूप में हुई है। शनिवार की रात करीब साढ़े नौ बजे सचिन कुमार मंडी धनौरा से अपने गांव लौट रहे थे। घटना से आक्रोशित ग्रामीणों ने वेव शुगर मिल के गेट पर शव रखकर प्रदर्शन शुरू कर दिया। कार्रवाई की मांग को लेकर लोगों ने धरना दिया। पढ़िए पूरी खबर अलीगढ़ पुलिस ने 50 हजार के इनामी को अरेस्ट किया; स्टील फैक्ट्री के कैशियर से 12 लाख की लूट में था शामिल अलीगढ़ के स्टील फैक्ट्री के कैशियर से 12 लाख रुपए की लूट में शामिल 50 हजार के इनामी बदमाश को पुलिस ने दबोच लिया है। बदमाश से लूट के 99,500 रुपए भी बरामद हुए हैं। 10 जनवरी को हुई लूट में तीन आरोपियों को पुलिस पहले ही जेल भेज चुकी है। सीओ भंवरे दीक्षा अरुण ने बताया कि स्वाट, सर्विलांस और इगलास पुलिस की टीम ने करवन नदी पुल, मथुरा रोड से गांव नगला जार निवासी प्रेम सिंह उर्फ पीके पुत्र भूरी सिंह को गिरफ्तार कर जेल भेजा दिया है। पढ़िए पूरी खबर गोरखपुर में OLX पर कैमरा बेच रहे युवक से लूट; विरोध करने पर की मारपीट, तीनों बदमाश बाइक से फरार गोरखपुर के कैंपियरगंज में बदमाशों ने ऑनलाइन कैमरा खरीदने के बहाने एक युवक को जाल में फंसाया और लूट की वारदात को अंजाम दिया। युवक को सुनसान जगह पर बुलाकर बदमाशों ने पहले कैमरा छीना, फिर विरोध करने पर उसकी पिटाई कर दी। वारदात के बाद तीनों बदमाश बाइक से फरार हो गए। पुलिस ने पीड़ित की शिकायत पर केस दर्ज कर लिया है और बदमाशों की तलाश में जुट गई है। पढ़िए पूरी खबर

महाकुंभ से लौट रहे 4 श्रद्धालुओं की हादसे में मौत:सोनभद्र में ट्रेलर ने बोलेरो को मारी टक्कर, 6 गंभीर; रायपुर जा रहे थे

महाकुंभ से लौट रहे 4 श्रद्धालुओं की हादसे में मौत:सोनभद्र में ट्रेलर ने बोलेरो को मारी टक्कर, 6 गंभीर; रायपुर जा रहे थे सोनभद्र में श्रद्धालुओं से भरी बोलेरो को ट्रेलर ने टक्कर मार दी। हादसे में 4 लोगों की मौत हो गई। 6 गंभीर रूप से घायल हो गए, जिन्हें जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है। बोलेरो सवार श्रद्धालु महाकुंभ स्नानकर छत्तीसगढ़ के रायपुर लौट रहे थे। टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि बोलेरो के परखच्चे उड़ गए। हादसा बभनी के दरनखाड़ के पास हुआ। 4 तस्वीरें… हादसे में मरने वाली की पहचान रायपुर निवासी लक्ष्मीबाई (30) और अनिल प्रधान (37), ठाकुर राम यादव (58) और रुक्मणी यादव (56) के रूप में हुई। घायलों में रामकुमार (33), दिलीप देवी (58), अभिषेक, अहान (4), योगी लाल (36), हर्षित (ढाई वर्ष), सुरेंद्री देवी (32) शामिल हैं। खबर लगातार अपडेट की जा रही है….

महाकुंभ में अब तक 42 करोड़ ने डुबकी लगाई:हरदोई में प्रयागराज जा रही ट्रेन में तोड़फोड़, काशी में इंजन में घुसी महिलाएं

महाकुंभ में अब तक 42 करोड़ ने डुबकी लगाई:हरदोई में प्रयागराज जा रही ट्रेन में तोड़फोड़, काशी में इंजन में घुसी महिलाएं महाकुंभ का रविवार 28वां दिन है। 13 जनवरी से अब तक 42 करोड़ श्रद्धालु स्नान कर चुके हैं। सुबह से ही संगम पर श्रद्धालुओं की काफी भीड़ है। संगम पर श्रद्धालुओं को रुकने नहीं दिया जा रहा। स्नान के बाद श्रद्धालुओं को पुलिस वहां से निकाल रही है। महाकुंभ जा रही ट्रेनों में जबरदस्त भीड़ है। वाराणसी में जगह न मिलने पर महिलाएं ट्रेन इंजन में घुस गईं और गेट बंद कर लिया। किसी तरह पुलिसकर्मियों ने महिलाओं को बाहर निकाला। हरदोई में भी कोच का गेट न खोलने पर नाराज श्रद्धालुओं ने हंगामा कर दिया। ट्रेन में जमकर तोड़-फोड़ की। आज उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी और कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार महाकुंभ में डुबकी लगाएंगे। कल 1.22 करोड़ श्रद्धालुओं ने डुबकी लगाई थी। शनिवार को दो मुख्यमंत्री राजस्थान के भजनलाल शर्मा और मध्य प्रदेश के मोहन यादव पहुंचे। दोनों मुख्यमंत्रियों ने संगम में एक साथ डुबकी लगाई। महाकुंभ से जुड़े अपडेट्स के लिए लाइव ब्लॉग से गुजर जाइए….

यूपी में 20-25 KM की रफ्तार से चल रही हवा:125 साल में तीसरी बार सबसे गर्म रहा जनवरी, अयोध्या सबसे ठंडा शहर

यूपी में 20-25 KM की रफ्तार से चल रही हवा:125 साल में तीसरी बार सबसे गर्म रहा जनवरी, अयोध्या सबसे ठंडा शहर यूपी में मौसम विभाग ने लगातार चौथे दिन भी कोहरे और बादल का अलर्ट किसी भी जिले में नहीं जारी किया गया है। यह 15 साल बाद ऐसा हुआ है, जब मौसम विभाग ने फरवरी माह के दूसरे सप्ताह में लगातार 7 दिनों तक कोई चेतावनी नहीं जारी है। 2007 में ऐसा हुआ था जब फरवरी माह में तापमान 30°C तक चला गया था। शनिवार को सबसे गर्म शहर बांदा रहा। यहां तापमान 26.4°C रहा। सबसे ठंडा शहर अयोध्या रहा, जहां रात को तापमान 7°C दर्ज किया गया। 125 साल में तीसरी बार सबसे गर्म रहा जनवरी का महीना
IMD के अनुसार इस बार जनवरी का महीना काफी गर्म रहा। 125 साल में ये तीसरी बार है, जब जनवरी का महीना इतना गर्म रहा। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि 1901 से देश में मौसम का रिकॉर्ड रखा जा रहा है। तब से लेकर आज तक के रिकॉर्ड को देखें तो ये तीसरी बार है, जब जनवरी महीने में इतनी गर्मी पड़ी हो। इससे पहले 1958 में 19.21 डिग्री तापमान के साथ जनवरी पहला सबसे गर्म महीना रहा। फिर 1990 में 19.1 तापमान के साथ जनवरी दूसरा सबसे गर्म महीना रहा। ये आंकड़ा पूरे भारत के तापमान को देखकर निकाला गया है। 1991 से अब तक सबसे गर्म रहा फरवरी का माह
मौसम वैज्ञानिक अतुल कुमार सिंह ने बताया कि 1991 में फरवरी के शुरुआती सप्ताह में तापमान 28 डिग्री सेल्सियस तक गया था लेकिन इस बार पहले सप्ताह में 34 साल का रिकॉर्ड ब्रेक हुआ है और इस बार 30 डिग्री के ऊपर कई जिलों में तापमान चला गया है उन्होंने बताया कि कल से हवा बिल्कुल शांत हो जाएगी तापमान 2 से 3 डिग्री सेल्सियस बढ़ेगा। अगले 1 सप्ताह कोई बारिश की संभावना नहीं मौसम वैज्ञानिक अतुल कुमार सिंह ने बताया कि कोई एक्टिविटी ना होने से ठंड में कमी आने लगी है और मौसम गर्म होने लगा है। इस समय आसमान भी बिल्कुल साफ है। उन्होंने बताया कि वेस्ट यूपी में तापमान ठीक है लेकिन ईस्ट यूपी में अप और नॉर्मल तापमान है। उन्होंने बताया अगले एक हफ्ते तक प्रदेश में बारिश होने की भी कोई संभावना नहीं है। गेहूं की फसल खतरा
खेतों में गेहूं की फसल में बालियां बन रही हैं और उसके बाद दाना पड़ेगा। मौसम में तेजी से परिवर्तन आ रहा है और 10 दिन में 20 डिग्री सेल्सियस से 27 डिग्री सेल्सियस तापमान पहुंच गया है। इससे गेंहू की गुणवत्ता प्रभावित हो रही है। बढ़े हुए तापमान के कारण गेहूं की बालियां बनने और मिल्की स्टेज प्रभावित होगी, जिसका उत्पादन पर असर पड़ेगा। ………………..

दिल्ली में मायावती को औवेसी से भी कम वोट मिले:68 सीटों पर लड़ीं, सभी पर जमानत जब्त; चंद्रशेखर भी फेल

दिल्ली में मायावती को औवेसी से भी कम वोट मिले:68 सीटों पर लड़ीं, सभी पर जमानत जब्त; चंद्रशेखर भी फेल हरियाणा चुनाव के बाद अब दिल्ली के चुनाव में बसपा जीरो पर रही। लगातार फ्लॉप हो रही पार्टी का परफार्मेंस इस बार AIMIM से भी नीचे चला गया। बसपा ने यहां 68 सीटों पर चुनाव लड़ा था। उसे 0.58% वोट मिले। बसपा के मुकाबले आल इंडिया मजलिस इत्तेहादुल मुस्लेमीन यानी AIMIM को 0.78% वोट मिले। जबकि ओवैसी ने केवल 5 सीटों पर चुनाव लड़ा था। लगातार गिरता जा रहा बसपा का ग्राफ
बहुजन समाज पार्टी के कभी दिल्ली में भी विधायक हुआ करते थे। 2008 में पार्टी के दो विधायक थे। लेकिन वक्त के साथ-साथ बसपा का ग्राफ गिरता चला गया। 2008 के दिल्ली चुनाव में बसपा का वोट शेयर 14 प्रतिशत से ज्यादा था। उस समय बसपा अपने सबसे अच्छे दौर से गुजर रही थी। यूपी में उसकी पूर्ण बहुमत की सरकार थी। लेकिन उसके बाद से पार्टी लगातार धरातल में जाती रही। 2013 के चुनाव में बसपा का वोट शेयर 5.35% पर आ गया, जो 2015 में और गिरकर 1.30% रह गया। 2020 के चुनाव में बसपा का वोट शेयर मात्र 0.71% रह गया। दिल्ली में मायावती ने एक भी रैली नहीं की। पूरा चुनाव आकाश आनंद के चेहरे पर लड़ा गया। सबसे ज्यादा देवली सुरक्षित सीट पर 2581 वोट मिले
बसपा को सबसे ज्यादा देवली सुरक्षित सीट पर 2581 वोट मिले, वहीं सबसे कम वोट मटिया में महल 130 वोट मिले। 53 सीटें ऐसी रहीं जहां बसपा को एक हजार से कम वोट मिले। वहीं 68 में से 42 सीट ऐसी रही जहां नोटा से भी कम वोट बसपा को मिले। छाप छोड़ने में नाकाम रही आजाद समाज पार्टी
यूपी के नगीना सीट से सांसद चंद्रशेखर की आजाद समाज पार्टी कांशीराम भी दिल्ली की 8 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ी। लेकिन वह भी अपनी छाप छोड़ने में नाकाम रही। केवल 2 सीटें ही ऐसी रहीं, जहां उन्हें बसपा के उम्मीदवार से अधिक वोट मिला। चंद्रशेखर के प्रत्याशी को नार्थ ईस्ट दिल्ली में सबसे अधिक 3080 वोट मिले। AIMIM ने 2 सीटों पर दी कड़ी टक्कर
असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी ने दिल्ली की 2 सीटों मुस्तफाबाद और ओखला में अपने प्रतिद्वंदी को कड़ी टक्कर दी। हालांकि दोनों ही स्थान पर पार्टी को तीसरे स्थान से संतोष करना पड़ा। AIMIM ने सबसे ज्यादा ओखला में 39558 वोट हासिल किए। यहां आम आदमी पार्टी के अमानतुल्लाह खां 23 हजार वोटों से जीत दर्ज करने में कामयाब रहे। ओखला के अलावा मुस्तफाबाद में AIMIM के मोहम्मद ताहिर हुसैन को 33470 वोट मिले। यहां भाजपा ने आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी को 17 हजार से अधिक वोटों से हराया। बसपा को करीब से कवर करने वाले वरिष्ठ पत्रकार सैयद कासिम कहते हैं कि कांग्रेस जैसी पार्टी जिसने सालों से दिल्ली में हुकूमत की, वह भी इस समय अपना वोट प्रतिशत बढ़ाने के लिए जूझ रही है। मुकाबला जब सीधा होता है तो उसमें दूसरी पार्टियां का महत्व खत्म हो जाता है। मतदाता भी अपना वोट बर्बाद करने के बजाय मुकाबले में मौजूद दो में से एक को अपना वोट देता है। ओवैसी की परफार्मेंस को लेकर यूपी में अखिलेश यादव को चिंता करने की जरूरत है। क्योंकि जिस तरह से उन्होंने दो मुस्लिम बाहुल्य सीटों पर मजबूती से चुनाव लड़ा, वह मुस्लिम वोटों की राजनीति करने वालों के लिए खतरे की घंटी नजर आ रही है। देखना दिलचस्प होगा कि यूपी में अखिलेश यादव इस चुनौती से किस तरह पार पाते हैं। दिल्ली में हारे यूपी के दो दिग्गज
दिल्ली के चुनाव में यूपी के कई नेताओं की साख भी दांव पर लगी थी। इसमें कुछ पार्टी के प्रचार प्रसार का काम देख रहे थे जो कुछ सीधे तौर पर चुनाव लड़ रहे थे। मनीष सिसोदिया दिल्ली के पूर्व उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया मूल रूप से हापुड़ के रहने वाले हैं। वे 545 वोटों से चुनाव हार गए। आम आदमी पार्टी में वह केजरीवाल के बाद दूसरे नंबर की हैसियत रखते हैं। अवध ओझा गोंडा के रहने वाले अवध ओझा जो आईएएस की कोचिंग चलाते हैं, उन्हें बुरी तरह हार का सामना करना पड़ा। अवध ओझा पटपड़गंज सीट से चुनाव लड़ रहे थे। इस सीट पर दिल्ली के पूर्व उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया तीन बार विधायक चुने गए थे। इस बार उन्होंने अपनी सीट बदल ली थी। यहां से अवध को भाजपा के रविंदर सिंह नेगी ने 28072 वोटों के अंतर से चुनाव हराया है। यूपी की बहू आतिशी जीतीं दिल्ली की निवर्तमान मुख्यमंत्री आतिशी मार्लेना यूपी के मिर्जापुर जिले की बहू हैं। उनकी शादी यहां के प्रवीण सिंह से हुई है। वे दिल्ली की कालका से चुनाव लड़ रही थीं। आतिशी कई राउंड तक पीछे रहीं, हालांकि आखिर में उन्हें जीत नसीब हुई और उन्होंने रमेश बिधूड़ी को करीब साढ़े तीन हजार वोटों से हरा दिया। ———————————————————— ये खबर भी पढ़ें… BJP ने केजरीवाल समेत 26 में से 16 किले ढहाए:जाट बहुल सभी 10 सीटें भी छीन लीं; AAP कहां बिखरी, 8 अंदरूनी फैक्टर्स BJP ने दिल्ली में आम आदमी पार्टी के 26 में से 16 किले ढहा दिए हैं। इनमें अरविंद केजरीवाल की नई दिल्ली विधानसभा सीट भी शामिल है। इन 26 सीटों पर AAP लगातार 3 विधानसभा चुनावों से जीत रही थी। BJP को सबसे ज्यादा फायदा वेस्ट और नॉर्थ-वेस्ट दिल्ली में हुआ है। 2020 में यहां की 20 सीटों में से BJP सिर्फ 1 सीट जीती थी, लेकिन इस बार बढ़कर 16 सीटें जीत गई है। पढ़ें पूरी खबर…

मेरी आंखों के सामने पति को उठा ले गए बदमाश:पत्नी बोली- हत्यारों को नहीं छोडूंगी; झांसी में हाईवे के किनारे मिली लाश

मेरी आंखों के सामने पति को उठा ले गए बदमाश:पत्नी बोली- हत्यारों को नहीं छोडूंगी; झांसी में हाईवे के किनारे मिली लाश मेरे सामने बदमाश पति को कार में डालकर किडनैप कर ले गए। उनको बेरहमी से पीटा। गला दबाकर हत्या कर दी। 3 दिन बाद उनकी लाश मिली। पूरे शरीर पर चोट के निशान थे। हाथ टूटा था। मेरे छोटे-छोटे बच्चे अनाथ हो गए। मैं हत्यारों को छोडूंगी नहीं। यह कहना है झांसी के नंद किशोर की पत्नी लक्ष्मी का। उनके पति की किडनैप कर हत्या कर दी गई। 4 दिन बाद भी बदमाशों का सुराग नहीं मिल पाया। घटना के बाद दैनिक भास्कर टीम ने नंद किशोर की पत्नी लक्ष्मी से बात की। पढ़िए रिपोर्ट…। घर के बाहर से उठाकर ले गए थे
रक्सा क्षेत्र के राजापुर निवासी नंदकिशोर अहिरवार (40) राजमिस्त्री थे। इमलिया गांव में काम चल रहा था। 5 फरवरी की शाम साढ़े 6 बजे बाइक से घर लौटे। तभी लाल रंग की कार से तीन-चार बदमाश आए। नंदकिशोर को जबरन कार में डालकर ले गए। पत्नी लक्ष्मी ने नंदकिशोर के बड़े भाई बालकिशन, उनके बेटे अजय, छोटू यादव पर शक जताया। उनके खिलाफ केस दर्ज कराया। 3 दिन बाद शनिवार को बबीना टोल से हाईवे के किनारे एक लाश मिलने की सूचना पर पुलिस पहुंची। लाश को बबीना सीएचसी ले गए। परिजनों को बुलाकर शिनाख्त करवाई। नंदकिशोर के गले में गमछा बंधा था। पूरे शरीर पर चोट के निशान थे। बदमाशों ने गमछे से गला घोंटकर हत्या की थी। घर में सोते मिले थे आरोपी
राजमिस्त्री नंदकिशोर अहिरवार की पत्नी लक्ष्मी ने पुलिस को बताया था कि उसके पति का जेठ से पिछले छह साल से जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। बड़ा भाई अपने हिस्से की जमीन बेच चुका था। अब नंदकिशोर की जमीन में से हिस्सा मांग रहा था। महिला ने जेठ बालकिशन, उसके पुत्रों व छोटू यादव पर अपहरण की आशंका जताई। नामजद आरोपियों के घर जब पुलिस ने दबिश दी थी तो वे अपने घरों में सोते हुए मिले। उनसे पुलिस पूछताछ कर रही है। पत्नी बोली- मारकर फेकेंगे की धमकी सच निकली नंदकिशोर की पत्नी लक्ष्मी ने कहा- पति शाम को काम से लौटे थे। घर के अंदर भी नहीं आ पाए थे कि गेट से बदमाश उनको पकड़कर ले गए और मारकर फेंक दिया। काफी समय से भाइयों के बीच जमीन का विवाद चल रहा है। इसमें छोटू यादव भी शामिल था। वो हमसे लड़ता था और कहता था कि मारकर फेकेंगे और उसने मेरे पति को मारकर फेंक भी दिया। इसमें जेठ अजय समेत कई लोग शामिल हैं। इन्होंने मेरे पति को मार डाला। मेरे छोटे-छोटे बच्चे अनाथ हो गए। अब उनको कौन पालेगा। अब मुझे न्याय चाहिए, जिस तरीके से मेरे पति को मारा है। उसी तरह से हत्यारों को तिल-तिलकर मरना होगा। भरी जवानी में मुझे विधवा बना दिया। मैं इनको नहीं बख्शूंगी। 5 टीमें हत्यारों की तलाश में जुटीं
एसपी सिटी ज्ञानेंद्र कुमार सिंह का कहना है कि मामले में नामजद आरोपियों से लगातार पूछताछ जारी है। अपहरणकर्ताओं की गिरफ्तारी के लिए पांच पुलिस टीमें गठित की हैं। जल्द उन्हें दबोच लिया जाएगा। ————————————————– ये खबर भी पढ़ें… अवधेश प्रसाद ने बेटे को जिताया:चुनावी मंच से आंसू बहाए, योगी पर बोले- मुझे कुत्ता बनाया; सियासी मोमेंट VIDEO में मिल्कीपुर उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी की जीत हुई। लेकिन, सांसद अवधेश प्रसाद अपने बेटे अजीत प्रसाद की जीत को लेकर ओवर-कॉन्फिडेंट थे। इसी के चलते उन्होंने काउंटिंग के दौरान जब भाजपा प्रत्याशी सपा से 35 हजार वोटों से आगे हुआ, तो खुशी से चिल्लाने लगे कि सपा आगे हो गई है। पढ़िए पूरी खबर

मिल्कीपुर जीत से भाजपा ने नाक बचाई, संदेश-अयोध्या छीन ली:योगी मजबूत होंगे, सपा को तरकस में नए तीर लाने होंगे…रिजल्ट का एनालिसिस

मिल्कीपुर जीत से भाजपा ने नाक बचाई, संदेश-अयोध्या छीन ली:योगी मजबूत होंगे, सपा को तरकस में नए तीर लाने होंगे…रिजल्ट का एनालिसिस ‘अयोध्या के मिल्कीपुर में भी भाजपा को शानदार जीत मिली है। हर वर्ग ने भारी संख्या में भाजपा के लिए मतदान किया। आज देश तुष्टिकरण नहीं, भाजपा के संतुष्टिकरण की पॉलिसी को चुन रहा है।’ मोदी का यह दिल्ली में दिया गया विजयी भाषण है। मोदी ने मिल्कीपुर की जीत का जिक्र करके देश को संदेश देने की कोशिश की है कि हम अयोध्या फिर जीत गए…। अंदाजा लगा सकते हैं, मिल्कीपुर की जीत भाजपा के लिए कितनी महत्वपूर्ण है। भाजपा ने 8 महीने में सपा से यह सीट छीन ली, बड़े अंतर से। समाजवादी पार्टी ने मिल्कीपुर विधायक अवधेश प्रसाद को सांसद का टिकट दिया और वह जीत गए। तभी से सीट खाली थी। सपा ने अवधेश के बेटे अजीत प्रसाद को टिकट दिया तो भाजपा ने नए और साफ-सुथरे चेहरे पर दांव लगाया। लोकसभा चुनाव में 7,733 वोटों से पीछे रहने वाली भाजपा ने 61 हजार से ज्यादा के मार्जिन से जीत हासिल की। भाजपा और योगी देश में संदेश देना चाहते थे कि हम अयोध्या में कमजोर नहीं हुए। यह रणनीति कामयाब रही। इस जीत के मायने, हार-जीत के कारण और उत्तर प्रदेश की सियासत में इस जीत का क्या असर होने वाला है, इसे 11 सवालों के जवाब में समझिए… 1- मिल्कीपुर की जीत भाजपा के लिए इतनी महत्वपूर्ण क्यों है?
1967 में अस्तित्व में आई मिल्कीपुर सीट पर 17 बार चुनाव हुए। इससे पहले भाजपा केवल 2 बार ही जीती। मिल्कीपुर सीट अयोध्या (फैजाबाद) संसदीय क्षेत्र में आती है। राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा के 3 महीने बाद हुए हुए लोकसभा चुनाव में अयोध्या हारने पर भाजपा की देश-दुनिया में बदनामी हुई। इसलिए भी मिल्कीपुर को जीतना भाजपा के लिए प्रतिष्ठा वापस पाने की लड़ाई थी। 2- तो क्या भाजपा ने मिल्कीपुर जीतकर अयोध्या हार का बदला लिया?
बिलकुल। भाजपा यही जता भी रही है। अयोध्या लोकसभा क्षेत्र में 5 विधानसभा सीटें आती हैं। लोकसभा चुनाव में अयोध्या को छोड़कर बाकी 4 पर भाजपा हारी थी। मिल्कीपुर में 7,733 वोटों से भाजपा हारी थी। अब 61 हजार 636 वोटों के बड़े अंतर से सपा प्रत्याशी को हराकर भाजपा यही बता रही है कि अयोध्या हम नहीं हारे हैं। भाजपा यह नरेटिव भी बनाएगी कि संविधान और आरक्षण का मुद्दा जहां से उठा, वहीं खत्म हो गया। 3- सरकारी मशीनरी के दुरुपयोग से क्या भाजपा यह चुनाव जीत पाई?
उपचुनाव में सरकारी मशीनरी के दुरुपयोग का आरोप कोई नई बात नहीं है। पहले की सरकारों में भी यह होता रहा है और अब भी हो रहा है। कुछ हजार का अंतर तो ठीक है लेकिन 61 हजार का मार्जिन अकेले सरकारी मशीनरी के दुरुपयोग से हासिल करना थोड़ा मुश्किल है। बूथ प्रबंधन से लेकर भाजपा की टाइट चुनावी रणनीति इस जीत में अहम वजह रही है। पार्टी ने हर जाति के वोटर को साधने के लिए उस जाति के प्रभावी लीडर को जिम्मेदारी सौंपी। यादवों को साधने के लिए विधायक रामचंद्र यादव, ब्राह्मणों को साधने लिए खब्बू तिवारी और ठाकुरों को साधने के लिए लल्लू सिंह और सपा के बागी अभय सिंह को लगाया। 4- इस जीत का अभी और आगे क्या कोई भारी असर पड़ने वाला है?
1 सीट से नंबर में कोई अंतर नहीं आएगा। फर्क दिखेगा लीडरशिप के कामकाज में, उनके कॉन्फिडेंस में। विधानसभा के अंदर योगी और उनकी सरकार ज्यादा हमलावर होगी। लोकसभा चुनाव में 29 सांसद गंवाने के बाद उत्तर प्रदेश की भाजपा लीडरशिप में निराशा थी, 2027 के चुनाव के नतीजों को लेकर सवाल उठाए जाने लगे थे। पार्टी में अंतर्कलह भी सामने आई। 9 सीटों के उपचुनाव और अब मिल्कीपुर के नतीजों के बाद तय हो गया कि सीएम योगी आगे और ताकतवर होंगे। 5- कैंडिडेट चयन का हार-जीत में कितना असर रहा?
इसका बड़ा असर रहा। समाजवादी पार्टी ने परंपरागत परिवार को टिकट दिया। सांसद अवधेश प्रसाद ने अपने बेटे अजीत प्रसाद को मैदान में उतारा। भाजपा ने परिवारवाद का मुद्दा जोरशोर से उठाते हुए बिलकुल नए चेहरे को मैदान में उतारा। भाजपा प्रत्याशी चंद्रभानु पासवान पहली बार चुनाव लड़े। पेशे से कपड़ा व्यापारी चंद्रभानु की साफ-सुथरी इमेज ने वोटरों को प्रभावित किया। 6- सपा कार्यकर्ताओं पर रेप केस, रिजल्ट पर इसका कोई प्रभाव दिखा?
दलित युवती से रेप में अयोध्या के सपा कार्यकर्ता मुईद खान फिर नवाब सिंह यादव का नाम आया। इन्होंने अपराध किया है या नहीं, यह तो कोर्ट के फैसले से पता चलेगा लेकिन भाजपा यह माहौल बनाने में कामयाब रही कि इनके लोग अपराध में लिप्त हैं। वोटर्स में इसका ज्यादा न सही थोड़ा असर रहा है। बेटियों की सुरक्षा बड़ा मुद्दा बनी रही। 7- सपा प्रत्याशी अजीत प्रसाद अपने बूथ पर भी हार गए, इसका क्या मतलब हुआ?
इस बूथ पर सामान्य खासकर ब्राह्मण वोटर्स ज्यादा हैं। अवधेश प्रसाद पुराने और जमे जमाए नेता हैं, इसलिए उन्हें इनके वोट मिलते रहे। अजीत प्रसाद की छवि आस-पड़ोस में ठीक नहीं है। उन पर जमीन कब्जाने, आम पब्लिक से विवाद करने जैसे आरोप भी थे। परिवारवाद बड़ा मुद्दा था ही, इसलिए बूथ के वोटर्स ने भी इन्हें हरा दिया। 8- 403 सीट की विधानसभा में एक सीट बढ़ने से क्या फर्क पड़ जाएगा?
आंकड़ों की बात करे तो कोई फर्क नहीं पड़ेगा। लेकिन भाजपा मनौवैज्ञानिक रूप से ताकतवर हो जाएगी। खासकर योगी के तेवर फिर देखने लायक होंगे। 2022 में भाजपा ने 255 सीटें जीती, पिछले उपचुनाव के बाद यह संख्या बढ़कर 257 हो गई, अब यह 258 हो गई। एनडीए के 291 विधायक हैं। बहुमत के लिए 202 सीटें ही चाहिएं। 9- क्या सपा का पीडीए अब असरदार नहीं रहा?
ऐसा नहीं कह सकते। राजनीति में समीकरण बनते-बिगड़ते देर नहीं लगती। अलबत्ता कुंदरकी, मीरापुर के बाद मिल्कीपुर जीतकर भाजपा ने यह जताने की कोशिश जरूर की है कि सपा का पीडीए फार्मूला असरदार नहीं रहा और इसकी काट उन्होंने ढूंढ ली है। 10- इस हार में समाजवादी पार्टी के लिए क्या संदेश दिखता है?
लड़ाई बड़ी हो या छोटी, ताकत पूरी लगानी पड़ेगी। सीएम योगी ने यहां 6 महीने में 6 सभाएं की। हर बूथ की माइक्रो वर्किंग की। भाजपा का जो वोटर नहीं निकलता था, उसे इस बार पोलिंग बूथ तक पहुंचाया। परिवारवाद और पुराने चेहरों की बजाय नए और साफ-सुथरा कैंडिडेट को उतारना होगा। सपा को नए सिरे से रणनीति बनानी होगी। पीडीए के अलावा तरकस में नए तीर-कमान लाने होंगे। और अंत में… 11- चुनाव से ठीक पहले अवधेश प्रसाद के रोने का भी वोटरों पर कोई असर नहीं हुआ?
बिलकुल हुआ…लेकिन नेगेटिव। सांसद जिस ढंग से रोये, वह वोटरों को शायद पसंद नहीं आया। लोग कह रहे थे- सांसद के रोने में फीलिंग नहीं थी। —————————– यह खबर भी पढ़ें अवधेश के आंसू फेल कर भाजपा ने मिल्कीपुर जीता, RSS घर-घर पहुंचा, अजीत प्रसाद की इमेज परिवारवाद तक समेटी, जीत की ग्राउंड जीरो स्ट्रैटजी मिल्कीपुर सीट BJP ने जीत ली। सपा से फैजाबाद सीट पर हुई हार का बदला सिर्फ 8 महीने में ले लिया। दरअसल, 5 फरवरी को हुई रिकॉर्ड वोटिंग ने ही BJP की जीत के संकेत दे दिए थे। चंद्रभानु पासवान मिल्कीपुर सीट से विधायक बन गए हैं। उन्होंने सपा कैंडिडेट अजीत प्रसाद को 61 हजार वोट के बड़े अंतर से हराया। सपा जिस सीट को अपना गढ़ बता रही थी, वहां के लोगों ने कमल को चुनकर सबको चौंका दिया। यहां पढ़ें पूरी खबर

महाकुंभ जाने वाले ट्रेन के इंजन में श्रद्धालुओं का कब्जा:GRP के सिपाही ने थप्पड़ मारकर उतारे; हरदोई में खड़ी ट्रेन में नहीं घुस पाए यात्री

महाकुंभ जाने वाले ट्रेन के इंजन में श्रद्धालुओं का कब्जा:GRP के सिपाही ने थप्पड़ मारकर उतारे; हरदोई में खड़ी ट्रेन में नहीं घुस पाए यात्री महाकुंभ जाने के लिए श्रद्धालुओं की स्टेशनों पर जबरदस्त भीड़ देखने को मिल रही है। वाराणसी में यात्रियों को जगह नहीं मिली तो ट्रेन के इंजन में ही लोगों ने कब्जा कर लिया। इसके बाद पहुंचे GRP के सिपाही ने लोगों को थप्पड़ मारकर बाहर निकाले। वहीं हरदोई में प्लेटफॉर्म पर खड़ी हुई ट्रेन के दरवाजे नहीं खुलने से यात्री नहीं चढ़ पाए और ट्रेन रवाना हो गई। अब बात वाराणसी के कैंट स्टेशन की
शनिवार को वाराणसी के कैंट स्टेशन पर प्रयागराज महाकुंभ जाने के लिए यात्रियों की भीड़ थी। रात में करीब 1 बजकर 30 मिनट पर प्लेटफॉर्म नंबर 2 पर ट्रेन खड़ी थी। जब यात्रियों को ट्रेन में जगह नहीं मिली तो एक-एक करके करीब 20 से अधिक यात्री ट्रेन के इंजन में चढ़ गए। और अंदर से दरवाजा बंद कर लिया। पहले 3 तस्वीरें देखिए… लोको पायलट के कहने पर भी नहीं खोला गेट
जब लोको पायलट पहुंचे तो भी लोगों ने अंदर से दरवाजा नहीं खोला। इस दौरान लोको पायलट कहते रहे कि बाहर निकल जाइए लेकिन श्रद्धालु नहीं माने। इस पूरे घटनाक्रम के बाद लोको पायलट ने GRP को बुला लिया। इसके बाद जब GRP के सिपाही पहुंचे। जब श्रद्धालु नहीं उतरे तो सिपाही ने एक-दो यात्रियों को थप्पड़ मारकर नीचे उतारा। लोको पायलट की नहीं सुन रहे थे श्रद्धालु
कानपुर के एक यात्री ने बताया- वह कानपुर जाने वाली ट्रेन का इंतजार कर रहे थे। तभी प्लेटफॉर्म नंबर 2 पर देखा कि ट्रेन के इंजन में लोग चढ़ रहे थे। साथ ही हर-हर महादेव के जयकारे भी लगा रहे थे। मैंने तुरंत GRP को जानकारी दी। हरदोई स्टेशन पर ट्रेन में नहीं चढ़ सके यात्री शनिवार देर रात हरदोई स्टेशन पर भी प्रयागराज जाने वाली ट्रेन आकर खड़ी हुई। लेकिन ट्रेन के दरवाजे अंदर से श्रद्धालुओं ने नहीं खोले। जब दरवाजे नहीं खुले तो बाहर के यात्रियों ने हंगामा शुरू कर दिया। इस दौरान पत्थर फेंककर उन्होंने ट्रेन के शीशे भी तोड़ दिया। वहीं थोड़ी देर बाद सिग्नल होने पर ट्रेन रवाना हो गई। इस दौरान करीब 2 हजार यात्री ट्रेन में नहीं चढ़ सके। ………………….. ये खबर भी पढ़ें… अवधेश प्रसाद ने बेटे को जिताया:चुनावी मंच से आंसू बहाए, योगी पर बोले- मुझे कुत्ता बनाया; सियासी मोमेंट VIDEO में मिल्कीपुर उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी की जीत हुई। लेकिन, सांसद अवधेश प्रसाद अपने बेटे अजीत प्रसाद की जीत को लेकर ओवर-कॉन्फिडेंट थे। इसी के चलते उन्होंने काउंटिंग के दौरान जब भाजपा प्रत्याशी सपा से 35 हजार वोटों से आगे हुआ, तो खुशी से चिल्लाने लगे कि सपा आगे हो गई है। पढ़िए पूरी खबर