रोहतक | पीजीआईएमएस में नए 12जे क्वार्टरों की तरफ से रास्ते के गेट को बंद कर दिया है। इसको लेकर नर्सिंग एसोसिएशन ने विश्वविद्यालय प्रशासन पर कर्मचारियों को प्रताड़ित करने के आरोप लगाए हैं। नर्सिंग एसोसिएशन के प्रधान विकास फौगाट ने वीसी कार्यालय में ज्ञापन देकर सोमवार तक का समय दिया। मंगलवार को हड़ताल करने की चेतावनी दी है। प्रधान ने कहा कि पीजीआईएमएस में आने वाले नर्सिंग स्टाफ को गेट बंद करके जानबूझकर परेशान किया जा रहा है। विश्वविद्यालय प्रशासन ने उनकी अधिकतर नर्सिंग स्टाफ को नए 12 जे में क्वार्टर अलॉट कर रखे हैं। जिनका रास्ता सिर्फ नियमानुसार बॉयज हॉस्टल के पास से होकर गुजरता है। उस गेट को बंद करने के चलते नर्सिंग स्टाफ को कई किलोमीटर दूर अवैध रास्ते से होकर विवि में आना पड़ता है। रोहतक | पीजीआईएमएस में नए 12जे क्वार्टरों की तरफ से रास्ते के गेट को बंद कर दिया है। इसको लेकर नर्सिंग एसोसिएशन ने विश्वविद्यालय प्रशासन पर कर्मचारियों को प्रताड़ित करने के आरोप लगाए हैं। नर्सिंग एसोसिएशन के प्रधान विकास फौगाट ने वीसी कार्यालय में ज्ञापन देकर सोमवार तक का समय दिया। मंगलवार को हड़ताल करने की चेतावनी दी है। प्रधान ने कहा कि पीजीआईएमएस में आने वाले नर्सिंग स्टाफ को गेट बंद करके जानबूझकर परेशान किया जा रहा है। विश्वविद्यालय प्रशासन ने उनकी अधिकतर नर्सिंग स्टाफ को नए 12 जे में क्वार्टर अलॉट कर रखे हैं। जिनका रास्ता सिर्फ नियमानुसार बॉयज हॉस्टल के पास से होकर गुजरता है। उस गेट को बंद करने के चलते नर्सिंग स्टाफ को कई किलोमीटर दूर अवैध रास्ते से होकर विवि में आना पड़ता है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
Related Posts

सोनीपत की यूनिवर्सिटी में मिली अफीम की खेती:कैंपस में लगे मिले 400 पौधे, 1000 वर्ग फुट में फैली, पुलिस ने माली को किया गिरफ्तार
सोनीपत की यूनिवर्सिटी में मिली अफीम की खेती:कैंपस में लगे मिले 400 पौधे, 1000 वर्ग फुट में फैली, पुलिस ने माली को किया गिरफ्तार सोनीपत में राई एजुकेशन सिटी में एक यूनिवर्सिटी में अब नशे की खेती का मामला सामने आया है। रोहतक के बाद अब सोनीपत में भी यूनिवर्सिटी कैंपस में अफीम की खेती का खुलासा हुआ है। पुलिस ने यूनिवर्सिटी में छापेमारी कर 400 अफीम के पौधे बरामद किए हैं। पुलिस ने एक आरोपी को भी गिरफ्तार किया है। राई एजुकेशन सिटी में यूनिवर्सिटी पुलिस कमिश्नर कार्यालय से महज कुछ दूरी पर वर्ल्ड यूनिवर्सिटी में अफीम की खेती की जा रही थी। सोनीपत क्राइम ब्रांच यूनिट-1 को गुप्त सूचना मिली थी कि वर्ल्ड यूनिवर्सिटी ऑफ डिजाइन के कैंपस में बड़े पैमाने पर अफीम की खेती की जा रही है। सूचना के आधार पर जब पुलिस टीम ने छापेमारी की तो उन्हें लगभग 1000 वर्ग फुट में फैली अफीम की खेती मिली। इस दौरान मौके पर मौजूद माली संत लाल को गिरफ्तार कर लिया गया, जो पिछले 9 साल से यहां काम कर रहा था। पुलिस कर रही आरोपी से पूछताछ पुलिस जांच में पता चला है कि यूनिवर्सिटी कैंपस में गुपचुप तरीके से अफीम के पौधे उगाए जा रहे थे। इन पौधों से कई बार अफीम निकाली जा चुकी थी। पुलिस को शक है कि यह काम सिर्फ माली तक सीमित नहीं था, बल्कि इसमें और भी लोग शामिल हो सकते हैं। फिलहाल पुलिस आरोपी से पूछताछ कर रही है कि इस अवैध खेती के पीछे कौन-कौन लोग शामिल हैं और इस अफीम की सप्लाई कहां की जा रही थी। गिरफ्तार किए गए आरोपी संत लाल को कोर्ट में पेश किया जाएगा। वहीं, मामले को लेकर पुलिस कमिश्नर प्रेस वार्ता कर अन्य खुलासे करेंगी , जिसमें इस अवैध कारोबार से जुड़े बड़े खुलासे होने की संभावना है। पुलिस अब यह भी जांच कर रही है कि यूनिवर्सिटी प्रशासन को इस खेती की जानकारी थी या नहीं।

कुरुक्षेत्र की बच्ची का करनाल में मिला शव:कबाड़ में फंसा, कुत्तों ने गर्दन-मुंह नोचा; 7 दिन पहले पिता ने नहर में फेंका था
कुरुक्षेत्र की बच्ची का करनाल में मिला शव:कबाड़ में फंसा, कुत्तों ने गर्दन-मुंह नोचा; 7 दिन पहले पिता ने नहर में फेंका था कुरुक्षेत्र में नहर में फेंकी गई आंचल का शव 7 दिन बाद आज सुबह करीब 11 बजे करनाल के सांभी के पास से बरामद हो गया। हालांकि आंचल की डेड बॉडी क्षत-विक्षत मिली है, क्योंकि कुत्तों ने उसकी गर्दन व मुंह को नोचा लिया और कबाड़ में फंसी रही। सूचना पर निगदू पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर कुरुक्षेत्र पुलिस काे सूचित किया है। स्कूल की वर्दी से आंचल की बॉडी की पहचान हुई है। साथ ही उसके 2 अगले दांत टूटे हुए थे, जिससे परिजनों ने उसकी पहचान कर ली। अब पुलिस उसके शव का पोस्टमॉर्टम कराएगी 7 साल की आंचल को उसके पिता ललित ने मिर्जापुर पुल के पास नहर में फेंका था। तलाश के लिए गोताखोर, SDRF और पुलिस की टीम ने लगातार ऑपरेशन चलाया। पुलिस 2 बार आरोपी पिता से घटनास्थल की निशानदेही करवा चुकी थी। कल भी कोर्ट के आदेश पर पुलिस ने आरोपी ने घटनास्थल की निशानदेही करवाई थी। करनाल एरिया में चला सर्च ऑपरेशन गोताखोर प्रगट सिंह ने बताया कि लोग आज करनाल एरिया में सर्च ऑपरेशन चलाया। बटेडा हेड से ऑपरेशन शुरू किया गया है। वे सर्च करते हुए बटेड़ा से सांभी, नीलोखेड़ी, सोकड़ा और करनाल तक गए। अगर शव करनाल से आगे बहकर निकल गया होगा तो उसकी बरामदगी मुश्किल हो जाएगी। पत्नी ने मांगी आरोपी पती के लिए फांसी शांति देवी के मुताबिक, उसकी बेटी तो चली गई है। कोर्ट से यही दरख्वास्त है कि आरोपी को फांसी की सजा मिले या उम्र कैद की सजा दी जाए। वह किसी न किसी तरह अपने बच्चों को पाल ही लेगी, मगर ललित को इससे कम कोई सजा न दी जाए। आरोपी उनको जहर देकर भी जान से मारने की कोशिश कर चुका है।

हरियाणा में 5 युवतियां ब्रह्मकुमारी बनीं:MA, एमटैक, ITI डिप्लोमा होल्डर; 16 साल की लड़की भी दुल्हन की तरह सजकर वैरागन हुई
हरियाणा में 5 युवतियां ब्रह्मकुमारी बनीं:MA, एमटैक, ITI डिप्लोमा होल्डर; 16 साल की लड़की भी दुल्हन की तरह सजकर वैरागन हुई हरियाणा में 5 युवतियां एक साथ जीवन से सन्यास लेकर ब्रह्मकुमारी बन गई हैं। ये लड़कियां एमए, एमटेक और ITI डिप्लोमा होल्डर जैसी उच्च शिक्षित हैं। सभी युवतियों ने सिरसा में शिवलिंग पर वरमाला डालकर जीवन भगवान की सेवा में समर्पित करने का प्रण ले लिया। वहीं, जींद में एक 16 साल की लड़की जैन वैरागन बन गई। वह 10वीं तक पढ़ी है, लेकिन 2 साल से अपने घर में ही वैरागियों की तरह जीवन जी रही थी। पिता ने भी बेटी के फैसले का समर्थन किया। लड़की का नाम काशवी जैन है। उसे फतेहाबाद के रतिया में दुल्हन की तरह सजाकर साध्वी शिवा की शिष्या बनाया गया। रतिया में हुआ तिलक रस्म समारोह
जानकारी के अनुसार, रविवार को रतिया में साध्वी शिवा की शिष्या वैरागन बनीं काशवी जैन का तिलक रस्म समारोह मनाया गया। इसके लिए उन्हें दुल्हन की तरह सजाया गया था। उनकी तिलक रस्म बबीता जिंदल और अनीता जैन ने पूरी कराई। साथ ही साध्वी शिवा ने तिलक लगाकर काशवी को आशीर्वाद दिया। अब 2 फरवरी 2025 को दिल्ली में काशवी का दीक्षा समारोह होगा। इसके बाद वह पूरी तरह भौतिक दुनिया से नाता तोड़ अध्यात्म की दुनिया में बढ़ेंगी और प्राणी जगत के कल्याण के काम करेंगी। काशवी बोलीं- बचपन से जैन दीक्षा अंगीकार करने का मन था
काशवी के पिता अमित जैन सरकारी विभाग में कार्यरत हैं। वहीं, उनकी मां सीमा एक गृहिणी हैं। पिता का कहना है उनकी पुत्री काशवी जैन दीक्षा के लिए पिछले 2 साल से वैरागन की तरह रह रही है। अक्सर वह जैन समाज के कार्यक्रम में भाग लेती थी। वहीं से उसके मन में जैन धर्म के प्रति अगाध आस्था होती चली गई। काशवी का एक भाई और एक बहन है। अपनी नई शुरुआत के बारे में काशवी का कहना है कि बचपन से ही उनका जैन दीक्षा अंगीकार करने का मन था। अब उनकी इच्छा पूरी हो रही है। इसके लिए उन्होंने जैन साध्वी शिवा के चरणों में वैरागन का मार्ग अपनाया है। सिरसा में 5 युवतियां ब्रह्मकुमारी बनीं
इधर, सिरसा शहर के हिसार रोड पर स्थित ब्रह्मकुमारीज आनंद सरोवर में अयोजित प्रभु समर्पण समारोह में हरियाणा की 4 और उत्तर प्रदेश की एक युवती ने सांसारिक बंधनों को त्याग कर ब्रह्मकुमारीज का जीवन अपना लिया। रविवार को हुए इस आयोजन में पांचों युवतियों ने शिवलिंग पर वरमाला डालकर अपना जीवन मानव सेवा और प्रभु को समर्पित करने का वचन लिया। साध्वी बनीं हरियाणा के रोहतक जिले की रहने वाली रुहानी BA तक पढ़ी हैं। वहीं, रोहतक की ही सुनीता ने बीकॉम और अंजू ने 12वीं तक पढ़ाई की है। अंजू के पास ITI डिप्लोमा भी है। इसके अलावा सिरसा की रहने वाली धन वर्षा ने एमटेक किया है। वहीं, UP कि जिले हापुड़ में तिलकवा गांव की रहने वाली सिद्धि MA पास हैं। वह पंजाब के मानसा जिला के कस्बे झुनीर में पहले से ही ब्रह्मचारी आश्रम में कार्यरत हैं। रुहानी बोलीं- आश्रम में ध्यान लगाने से लाभ मिला
रुहानी का कहना है कि वह शुरू से अध्यात्म की ओर जाना चाहती थीं। पढ़ाई के साथ-साथ वह आश्रम भी जाया करती थीं। उन्होंने बताया कि उनकी आंखों में थोड़ी समस्या हुई थी। इलाज भी कराया, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। इसके बाद उन्होंने आश्रम में ध्यान लगाया, जिससे उनके जीवन पर गहरा असर हुआ। धीरे-धीरे आंखों की समस्या भी दूर हो गई। 5 साल में पूरी होती है ब्रह्मकुमारी बनने की प्रक्रिया
संस्था की अंतरराष्ट्रीय संयुक्त मुख्य प्रशासिका राजयोगिनी सुदेश दीदी का कहना है कि ब्रह्मकुमारी बनने के लिए संस्था की एक प्रक्रिया तय है, जो सभी पर लागू होती है। इच्छुक साधक को राजयोग मेडिटेशन कोर्स के लिए 6 माह तक नियमित सत्संग व राजयोग ध्यान के अभ्यास के बाद केंद्र प्रभारी दीदी द्वारा सेवा केंद्र पर रहने की अनुमति दी जाती है। 5 साल तक सेवा केंद्र में रहने के दौरान संस्थान की दिनचर्या और गाइडलाइन का पालन करना होता है। इस दौरान बहनों का आचरण, चाल-चलन, स्वभाव और व्यवहार परखा जाता है। इसके बाद ट्रायल के लिए मुख्यालय शांतिवन के लिए माता-पिता को अनुमति पत्र भेजा जाता है। तपस्या का मार्ग धारण करना साधारण बात नहीं
सुदेश दीदी ने कहा कि आजीवन ब्रह्मचर्य, त्याग और तपस्या के मार्ग को धारण करना साधारण बात नहीं हैं। छोटी उम्र में बड़ा निर्णय कर समाज के लिए उदाहरण बनकर जीवन जीना मानव जीवन की शान है। उन्होंने बहनों को अपना शुभ आशीष देते हुए सदा इस मार्ग पर मजबूती से चलने की प्रेरणा दी।